भोपाल, 07 मार्च ।मध्यप्रदेश में पिछले पांच छह दिनों से चल रहे राजकीय घटनाक्रमों के बीच मुख्यमंत्री कमलनाथ ने आज प्रसिद्ध कवि हरिवंशराय बच्चन की कविता ‘अग्निपथ’ की पंक्तियों का स्मरण करते हुए ट्वीट किया है।
श्री कमलनाथ ने ट्वीट के माध्यम से लिखा है:
‘ वृक्ष हों भले खड़े, हों घने हों बड़े,
एक पत्र छाँह भी, माँग मत, माँग मत, माँग मत,
अग्निपथ अग्निपथ अग्निपथ।
तू न थकेगा कभी,
तू न रुकेगा कभी,
तू न मुड़ेगा कभी,
कर शपथ, कर शपथ, कर शपथ,
अग्निपथ अग्निपथ अग्निपथ।
यह महान दृश्य है,
चल रहा मनुष्य है,
अश्रु श्वेत रक्त से,
लथपथ लथपथ लथपथ,
अग्निपथ अग्निपथ अग्निपथ।’
श्री कमलनाथ ने ट्वीट में इसके आगे पीछे और कुछ नहीं लिखा है।
माना जा रहा है कि इस कविता के जरिए श्री कमलनाथ राज्य की मौजूदा चुनौतियों और उनसे पार पाने के लिए अपने अथक प्रयास (अग्निपथ) जारी रखने की दृढ़ता प्रदर्शित कर रहे हैं।
कमलनाथ ने अपने ब्लॉग जरिए भाजपा पर साधा निशाना
मध्यप्रदेश में सियासी घटनाक्रमों के बीच मुख्यमंत्री कमलनाथ ने आज अपने ब्लाॅग जरिए राज्य के मुख्य विपक्षी दल भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर हमला करते हुए कहा कि वे यह कभी कल्पना भी नहीं कर सकता थे, कि सत्ता की लोलुपता भाजपा के नेताओं को इस क़दर नैतिक पतन की ओर ले जाएगी कि वे प्रदेश के नागरिकों के प्रजातंत्रीय निर्णय की ही सौदेबाजी करने लगेंगे।
श्री कमलनाथ ने अपने एक खुले पत्र में प्रदेशवासियों से कहा कि आज सचमुच भाजपा नेताओं के इस अशोभनीय आचरण ने मध्यप्रदेश के गौरवशाली इतिहास और वैभवशाली विरासत को कलंकित करने की कोशिश की है। वे हतप्रभ हैं कि भाजपा को आखिर इस कदाचरण की प्रेरणा मिली कहां से। क्या ये लोग उन माफ़ियाओं से प्रेरित हैं, जिन्हें वे जड़ से मिटा देना चाहते हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि क्या ये लोग उन मिलावटखोरों के प्रभाव में हैं, जिनसे मैं प्रदेश को मुक्त करने का संकल्प ले चुका हूँ। क्या इन्होंने इस षड़यंत्र की कुचेष्टा उन रेत माफियाओं और वसूली माफियाओं के साथ मिलकर की है, जिनके खिलाफ मैने लड़ाई का शंखनाद किया है और प्रदेश के राजस्व को पांच गुना बढ़ा कर रेत माफियाओं की कमर तोड़ दी है।
पत्र में उन्होंने कहा कि आज प्रदेश भाजपा नेताओं ने न सिर्फ प्रदेश सरकार को अस्थिर करने की कोशिश की है, अपितु उन्होंने प्रदेश के विकास पर सीधा आक्रमण किया है। प्रदेश में धीरे-धीरे आ रहे निवेश और उसकी असीम संभावनाओं को आघात पहुंचाने की धृष्टता की है, किसानों की कर्ज माफी और उनके उज्ज्वल भविष्य पर वार किया है, युवाओं के रोजगार के सुनहरे अवसरों पर प्रहार किया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के नागरिकों के ‘इंदिरा गृह ज्योति योजना’ से सस्ती बिजली के साकार हो चुके सपने को ठेस पहुँचाने की कोशिश की है, क्योंकि किसी प्रदेश के विकास की अनिवार्य शर्त है उसकी राजनैतिक स्थिरता। मैं आश्वस्त हूँ, मेरे सभी विधायक साथी सरकार के साथ दृढ़ता से खड़े हैं, प्रदेश के विकास के प्रति प्रतिबद्ध और समर्पित हैं।
उन्होंने कहा कि वे आज एक बात भाजपा नेताओं को साफ कर देना चाहते हैं कि मैंने चालीस साल से ज्यादा के अपने सार्वजनिक जीवन में कभी भी नफरत, निराशा और नकारात्मकता को कोई स्थान नहीं दिया है। याद कीजिए जब मैं केंद्र में मंत्री था और प्रदेश में सरकार भाजपा की थी, तब भी मैने पूरे मनोयोग से प्रदेश के विकास में अपना योगदान दिया है। एक क्षण भी मेरे मन में इस बात का खयाल कभी नहीं आया कि प्रदेश में भाजपा सरकार है और मैं उसे अस्थिर करूँ। मेरे अंतरमन में हमेशा मध्यप्रदेश की तरक्की का भाव ही रहा है।
उन्होंने भाजपा नेताओं से अनुरोध किया कि वे सत्ता की भूख का प्रदर्शन इस तरह न करें कि लोगों का प्रजातंत्र पर से भरोसा ही उठ जाए। वे प्रार्थना करते हैं कि हनुमान जी भाजपा को मर्यादा, संयम और चरित्रबल दें, ताकि हम सब पक्ष और प्रतिपक्ष मिलकर प्रदेश के विकास के स्वप्न को साकार कर सकें।