खरगोन/भोपाल 19 मई । मध्यप्रदेश के खरगोन जिले के बलकवाड़ा थाना पुलिस ने रेमडेसिविर इंजेक्शन की कालाबाजारी के आरोप में इंदौर स्थित दो अस्पतालों के कर्मचारियों समेत 5 लोगों को गिरफ्तार किया है।
पुलिस अधीक्षक शैलेंद्र सिंह चौहान ने आज पत्रकार वार्ता में बताया कि शुक्ला अस्पताल इंदौर में कार्यरत मुख्य आरोपी दिलीप पाटीदार, सीएचएल अस्पताल इंदौर में कार्यरत ओटी टेक्नीशियन रोहित पाटीदार, सचिन शितोले निवासी ठीकरी, अभिषेक कनासे निवासी जुलवानिया थाना तथा हर्ष महाजन निवासी ठीकरी को गिरफ्तार कर उनसे विभिन्न कंपनियों के 12 रेमडेसिविर इंजेक्शन जब्त किये गये। उन्हें आज खरगोन स्थित एक न्यायालय के समक्ष पेश किया गया, जहां से 3 दिन का पुलिस रिमांड प्राप्त किया गया है।
प्रदेश सरकार जीवन रक्षक दवाई की कालाबाजारी के मामले में जांच की घोषणा करे-कमलनाथ
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता व पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने प्रदेश सरकार से कोरोना महामारी में जीवन रक्षक दवाई और इंजेक्शनों की कालाबाजारी को लेकर उच्चस्तरीय जांच की मांग की है।
श्री कमलनाथ ने ट्वीट के माध्यम से कहा ‘मध्यप्रदेश में इस कोरोना महामारी में एक तरफ़ जीवन रक्षक दवाइयों, इंजेक्शनो, उपकरणो के अभाव में कई लोगों की जाने जा रही है, इसके लिये लोग आज भी दर- दर भटक रहे है, वही दूसरी तरफ़ आपदा की इस घड़ी में प्रदेश भर में भाजपा व उसके नेताओ से जुड़े हुए लोगों के नाम निरंतर इसकी कालाबाज़ारी में, नक़ली इंजेक्शन सप्लाई में प्रतिदिन सामने आ रहे है। मै सरकार से माँग करता हूँ कि इन कालाबाज़ारी के सभी मामलों की व इसमें सामने आये रसूखदार, सत्ताधारी ज़िम्मेदार लोगों की संलिप्तता की उच्चस्तरीय जाँच की घोषणा हो ’।
श्री कमलनाथ ने लिखा है कि इन मिलावटी नरपिशाचो के ख़िलाफ़ कड़ी से कड़ी कार्यवाही हो, इन्हें बख्शा नहीं जावे।यह मानवता के दुश्मन है, इंसानियत के दुश्मन है। संकट की इस घड़ी में भी इनके लिये पैसा ही भगवान है। यह आपदा में भी अवसर तलाश रहे है। जनता इनको कभी माफ़ नहीं करेगी ’।