देहरादून, तीन अप्रैल । नेशनल कांफ्रेंस के नेता उमर अब्दुल्ला के, कश्मीर में अलग प्रधानमंत्री की जरूरत संबंधी बयान की आलोचना करते हुए भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने बुधवार को राहुल गांधी से देश के सामने यह स्पष्ट करने को कहा कि वह इससे सहमत हैं या नहीं ।
उत्तराखंड की पांचों सीटों पर पहले चरण में 11 अप्रैल को होने वाले लोकसभा चुनाव के लिए भाजपा प्रत्याशियों के समर्थन में उत्तरकाशी जिला मुख्यालय में आयोजित एक जनसभा को संबोधित करते हुए शाह ने कहा, ‘‘उमर अब्दुल्ला कहते हैं कि कश्मीर में अलग प्रधानमंत्री होना चाहिए। उनके सहयोगी पाकिस्तान जिंदाबाद के नारे लगा रहे हैं और कांग्रेस चुप है। इनके साथ :कांग्रेस ने: चुनावी समझौता किया है । मैं कांग्रेस अध्यक्ष से कहना चाहता हूं कि आप स्पष्ट करें कि अब्दुल्ला की अलग प्रधानमंत्री की मांग के साथ आप सहमत हैं या नहीं ।’’
शाह ने चुनौती देते हुए कहा कि भाजपा के रहते अब्दुल्ला की देश में दो प्रधानमंत्री की मंशा कभी पूरी नहीं होगी। उन्होंने कहा, ‘‘हम सत्ता में रहें या विपक्ष में, मैं स्पष्ट करना चाहता हूं कि उनकी यह मंशा हमारी जान रहते कभी पूरी नहीं होगी।’’
उन्होंने कहा कि श्यामा प्रसाद मुखर्जी ने कश्मीर में अपने जीवन का बलिदान दिया था और उनके आदर्शों पर चलने वाली भाजपा देश में ऐसा कुछ कभी नहीं होने देगी ।
शाह ने कहा, ‘’क्या समझ रखा है देश को? और कांग्रेस चुप है । कांग्रेस अध्यक्ष चुप हैं ।’’ कांग्रेस के चुनाव घोषणापत्र का जिक्र करते हुए भाजपा अध्यक्ष ने कहा कि कांग्रेस ने सत्ता में आने पर वह देशद्रोह से संबंधित धारा को सीआरपीसी से हटाने की बात कही है । शाह ने पूछा कि आखिर वे (कांग्रेस) किसको बचाना चाहते हैं ।
उन्होंने आरोप लगाया, ‘‘आप किसको बचाना चाहते हैं? जेएनयू में नारे लगे कि ‘भारत तेरे टुकडे़ होंगे 1000’ और आप बाहर जाकर खडे़ रहे । क्या आप उनको बचाना चाहते हैं जिन पर राजद्रोह का मुकदमा चल रहा है ।’’
शाह ने कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष को वोट बैंक की राजनीति के लिये इतना नीचे नहीं गिरना चाहिए और देश की सुरक्षा के साथ खिलवाड़ नहीं करना चाहिए ।
उन्होंने कांग्रेस के घोषणापत्र में सीमा पर देश की सुरक्षा में लगे सैनिकों पर लगने वाले आरोपों के लिये बने कानून को समाप्त करने के ऐलान के लिये भी कांग्रेस की कडी आलोचना की और कहा कि उन्हें सैन्यकर्मियों की सुरक्षा से कोई मतलब नहीं है ।
इस संबंध में उन्होंने कांग्रेस को चुनौती देते हुए कहा, ‘ राहुल बाबा, आपकी पूरी पार्टी की इतनी औकात नहीं है कि सेना के जवानों की सुरक्षा के लिये बनाये कानून को समाप्त कर दें। भाजपा आपके मंसूबों के खिलाफ चटटान की तरह खडी है । हम उनकी सुरक्षा को दांव पर नहीं लगा सकते । उनके मनोबल को गिरने नहीं दे सकते । नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार देश के जवानों के साथ चट्टान की तरह खडी है।’’
शाह ने दावा किया, ‘ मोदी सरकार ने सबसे बडा काम देश को सुरक्षित रखने का किया है। देश में जब संप्रग की सरकार थी तब कोई भी देश में घुस आता था और जवानों के सिर काटकर पाकिस्तान ले जाता था। कोई जवाब नहीं था। न माददा था और न इच्छा थी।’
पुलवामा आतंकी घटना के बाद देश में पीडा, हताशा और आक्रोश के माहौल का जिक्र करते हुए शाह ने कहा कि पाकिस्तान द्वारा सीमा पर तोपें और टैंक लगा दिये जाने से सर्जिकल स्ट्राइक संभव नहीं थी। उन्होंने कहा कि इस बार सोनिया मनमोहन सिंह की सरकार नहीं थी आपकी बनायी हुई नरेंद्र मोदी की सरकार थी जिसने हवाई हमला कर आतंकवादियों को नेस्तनाबूद कर दिया ।
हवाई हमलों के बाद कांग्रेस में उदासी छा जाने का आरोप लगाते हुए भाजपा अध्यक्ष ने कहा कि इससे पूरे देश में खुशी की लहर छा गयी, हर जगह पटाखे चले, शहीदों के फोटों के साथ जुलूस निकाले गये और मोदी की तस्वीर पर माला पहनाई गयी ।
उन्होंने आरोप लगाया, ‘लेकिन राहुल गांधी एंड कंपनी का चेहरा उदास था । पाकिस्तान के प्रधानमंत्री और राहुल गांधी का चेहरा एकसमान था । उन्हें आनंद नहीं हुआ उन्हें लगा कि इससे भाजपा को फायदा होगा ।’
उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस देश को सुरक्षित नहीं रख सकती और न ही पाकिस्तान और आतंकवादियों को मुंहतोड जवाब दे सकती है और उन्हें मुंहतोड जवाब केवल देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ही दे सकते हैं ।
पिछले आम चुनावों की तरह इस बार भी प्रदेश की पांचों सीटों से भाजपा उम्मीदवारों को विजयी बनाने और प्रधानमंत्री मोदी को मजबूत करने की जनता से अपील करते हुए शाह ने आरोप लगाया, ‘कांग्रेस के हाथों में देश सुरक्षित नहीं है । देश को अगर एक रखना है, उसे सुरक्षित रखना है, उसे महान बनाना है, ग्लोबल लीडर बनाना है, विश्व की शीर्ष अर्थव्यवस्थाओं में लाना है तो यह काम राहुल बाबा या किसी गठबंधन का नहीं है । यह काम केवल प्रधानमंत्री मोदी ही कर सकते हैं ।
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