प्रयागराज, 18 मार्च । कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने कहा कि मैंने और मेरे भाई ने बहुत संघर्ष देखे हैं। पिता और परिवार का बलिदान देखा है। राहुल को सत्ता का शौक नहीं है, वह आप सभी की भलाई चाहते हैं।
सिरसा से पौराणिक स्थल सीतामढ़ी पहुंचीं प्रियंका गांधी ने आंखों में आंसू लिए सोमवार शाम को अपने संबोधन में कहा कि उन्होंने देश की खातिर अपने परिवार में कई बलिदान देखे हैं, जिसमें उनकी दादी श्रीमती इन्दिरा गांधी और पिता पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की हत्या शामिल है। दर्द क्या होता है, मुझसे अधिक और कौन जान सकता है।
भदोही जिले के सीतामढ़ी में प्रियंका गांधी ने मछुआरों और महिलाओं से संवाद किया। लोकतंत्र में जनता की शक्ति का भान कराते हुए अपील किया कि देश और संविधान को बचाने के लिए सोच-समझ के वोट करें। प्रियंका ने कहा कि मैंने और मेरे भाई ने बहुत संघर्ष देखे हैं। पिता और परिवार का बलिदान देखा है। राहुल को सत्ता का शौक नहीं है, वह आप सभी की भलाई चाहते हैं।
उन्होंने कहा कि तीन दिवसीय गंगा यात्रा शुरू करने का उनका उद्देश्य सत्ता हासिल करना या कांग्रेस सरकार बनाना नहीं है, न तो उनके भाई को ‘सत्ता’ में कोई दिलचस्पी है, बल्कि वह देश और संविधान को बचाने के लिए अपील करने के लिए आई है। उन्होने कहा कि आज देश और संविधान दोनों खतरे में है।
कांग्रेस महासचिव ने कहा, मौजूदा सरकार ने पांच साल पहले खूब वादे किए और इतने साल की सत्ता के दौरान कोई वादा पूरा नहीं किया। न किसानों की भलाई हुई और न ही महिलाओं की। युवाओं को रोजगार भी नहीं मिला। ये सरकार जनता को और उसकी आशाओं एवं अपेक्षाओं को नकारने वाली है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का नाम लिए बिना प्रियंका ने कहा कि शक्तिमान और 56 इंच के सीने वाले इतने महान नेता आप हैं तो सभी वादे पूरे क्यों नहीं किये। सच ये है कि आप दुर्बल हैं।
उन्होंने कहा कि मौजूदा सरकार बहुत कमजोर सरकार है। चुनाव प्रचार के दौरान श्री मोदी द्वारा पांच साल पहले किए गए वादों को पूरा करने में विफलता के बारे में पूछे जाने पर वह कांग्रेस पर दोष मढ़ते हैं।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के “चौकीदार” कैंपेन पर निशाना साधते हुए प्रियंका गांधी ने कहा कि उनकी (पीएम मोदी) मर्जी अपने नाम के आगे क्या लगाएं। मुझे तो एक किसान ने कहा कि चौकीदार अमीरों के होते हैं, हम किसान तो अपने खुद चौकीदार होते हैं।
उन्होंने कहा कि भदोही भारत का कालीन निर्माण क्षेत्र है, लेकिन वस्तु एवं सेवा कर(जीएसटी) के कारण 60 प्रतिशत बुनकरों ने अपना कारोबार बंद कर दिया है। इलाहाबाद विश्वविद्यालय के स्टीमर पर मिले छात्रो ने उन्हें बताया कि वे इस सरकार में अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता से वंचित हैं और जब भी वे अपनी आवाज उठाने का प्रयास करते हैं उनकी आवाज को दबा दिया गया।
श्रीमती प्रियंका गांधी ने मतदाताओं से किसी भी पार्टी की खातिर नहीं बल्कि अपनी भलाई के लिए वोट डालने को कहा। उन्होंने कहा कि यह मतदाताओं के लिए केवल ‘चुनाव’ नहीं बल्कि सार्वजनिक विपत्तियों में दिलचस्पी रखने वाली सरकार से छुटकारा पाने के लिए ‘चुनौती’ है।
मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए कांग्रेस महासचिव ने कहा, भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने “सबका साथ सबका विकास” का नारा दिया, लेकिन सच्चाई यह थी कि मुट्ठी भर लोगों का विकास सुनिश्चित किया जा रहा था।
इससे पहले, कांग्रेस पार्टी में शामिल होने वाली भाजपा सांसद सावित्री बाई फुले ने कहा कि उन्होंने इसलिए भाजपा छोड़ दी क्योंकि श्री मोदी केवल झूठ बोलना जानते हैं और उनका मतलब केवल अपने ही लोगों (ललित मोदी, नीरव मोदी) इत्यादि से है।
समारोह के दौरान, कालीन व्यापारियों ने कांग्रेस महासचिव को कालीन भेंट किया, जबकि पार्टी के स्थानीय पदाधिकारियों ने उन्हें वाल्मीकि रामायण की एक प्रति भेंट की।
पूजा अर्चना के साथ यात्रा शुरू की:
कांग्रेस महासचिव और पूर्वी उत्तर प्रदेश की प्रभारी प्रियंका गांधी वाड्रा ने सोमवार को प्रयागराज में लेटे हनुमान के दर्शन किए और विधिविधान से गंगा की आरती तथा पूजा की। इसके बाद क्रूज बोट से उनकी प्रयागराज से बनारस की तीन दिवसीय यात्रा आरंभ हुई।
इसके पहले दर्शन और पूजा के बाद उनका काफिला शहर से करीब 20 किमी दूर मनैया घाट पहुंचा जहां उन्होंने स्थानीय लोगों का अभिवादन किया और अपनी इस यात्रा के लिए क्रूज बोट पर सवार हो गईं। क्रूज बोट पर इलाहाबाद विश्वविद्यालय के कुछ छात्र छात्राएं और कांग्रेस के कुछ नेता मौजूद थे।
प्रियंका का कार्यक्रम मनैया घाट से दुमदुमा घाट जाने का रहा जहां पर उन्होंने स्थानीय नेताओं और लोगों से मिली। वहां से वह सिरसा घाट और फिर सीतामढ़ी घाट पहुंची
सिरसा घाट और फिर सीतामढ़ी घाट में लोगों और स्थानीय नेताओं से मिलने के बाद प्रियंका विंध्याचल गई।
प्रियंका की प्रयागराज से बनारस की यह तीन दिवसीय यात्रा 20 मार्च को बनारस में संपन्न होगी।
देश के राजनीतिक नक्शे में खास जगह रखने वाले उत्तर प्रदेश में, लोकसभा चुनाव के मद्देनजर प्रियंका की यह यात्रा महत्वपूर्ण मानी जा रही है।
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