नयी दिल्ली, 16 दिसंबर । भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने जामिया मिलिया इस्लामिया विश्वविद्यालय के छात्रों पर पुलिस की कार्रवाई के विरोध में कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा के धरने को कांग्रेस की भ्रम फैलाने एवं तुष्टीकरण की राजनीति का एक और नमूना बताते हुए कहा कि इसी धरने से उनकी राजनीतिक विफलता की इबारत लिखी जाएगी।
भाजपा के प्रवक्ता संबित पात्रा ने यहां एक संवाददाता सम्मेलन में श्रीमती प्रियंका गांधी वाड्रा के धरने की निंदा की और कहा कि यह जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में कुछ साल पहले एक धरने में भाग लेने श्री राहुल गांधी गये थे जहां ‘भारत तेरे टुकड़े होंगे इंशा अल्लाह इंशा अल्लाह’ तथा ‘अफज़ल हम शर्मिन्दा हैं तेरे क़ातिल ज़िन्दा हैं’ के नारे लगाये गये थे। उसी धरने में वामपंथी नेता सीताराम येचुरी, प्रकाश करात, डी. राजा भी शामिल हुए थे।
उन्होंने कहा कि श्रीमती वाड्रा के आज के इस धरने को उसी धरने के विस्तार के रूप में देखना चाहिए। उस धरने के बाद श्री राहुल गांधी राजनीतिक विफलता के शिकार हो गये थे और इस धरने से श्रीमती वाड्रा की राजनीतिक विफलता की इबारत लिखी जाएगी। उन्होंने कहा कि श्रीमती वाड्रा उसी भ्रम एवं हिन्दु मुस्लिम सांप्रदायिकीकरण की राजनीति एवं तुष्टीकरण को बढ़ावा दे रहीं हैं जो बिल्कुल उचित नहीं है। भाजपा उसकी कड़ी निंदा करती है।
जामिया मिलिया इस्लामिया सहित देश के विभिन्न स्थानों पर आगजनी एवं हिंसा की घटनाओं पर डॉ. पात्रा ने आरोप लगाया कि कांग्रेस और विपक्षी दल क्षुद्र राजनीतिक फायदे के लिये छात्रों को हिंसा के लिए भड़का रहे हैं और देश के सांप्रदायिक विभाजन के लिए दोबारा से अपने अपने जिन्ना खड़े करने की कोशिश कर रहे हैं।
उन्होंने हिंसा एवं आगज़नी के समय पर प्रश्नचिह्न लगाते हुए कहा कि ऐसा सुना गया है कि कांग्रेस श्री राहुल गांधी को पुन: अध्यक्ष बना कर लाँच करना चाहती है और इसी के लिए शनिवार को रामलीला मैदान में रैली आयोजित की गयी थी। आखिर ऐसा क्यों हुआ कि शनिवार की श्री गांधी की रैली के अगले दिन रविवार से देश में आगज़नी, तोड़फोड़ शुरु हो जाती है। आखिर ये कैसी साजिश है।
भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि श्री गांधी के नेतृत्व में विपक्षी दल छात्रों को भड़का रहे हैं और देश में हिन्दू मुस्लिम समुदायों को विभाजन की खातिर अपने अपने जिन्ना खड़े कर रहे हैं। असदुद्दीन ओवैसी आज ये युग के नये जिन्ना बन रहे हैं और अमालनुल्लाह खान दिल्ली में आम आदमी पार्टी के जिन्ना बन रहे हैं। पश्चिम बंगाल में सुश्री ममता बनर्जी ही जिन्ना बनने की राह पर हैं। आखिर क्या कारण है कि जो ममता बनर्जी कुछ माह पहले हिन्दी भाषियों के खिलाफ मुहिम छेड़ कर कहतीं हैं कि उनके राज्य में हिन्दी नहीं चलेगी, वो ही ममता बनर्जी आज हिन्दी में भाषण दे रहीं थीं। उन्होंने कहा कि सभी विपक्षी दलों को लग रहा है कि मुस्लिम वोट बैंक का खजाना खुल गया है और उसका टेंडर हासिल करने की होड़ लग गयी है। छद्म सेकुलरवाद के साथ तुष्टीकरण को बढ़ावा दिया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि संशोधित नागरिकता कानून में हिन्दू हो या मुसलमान, किसी भी भारतीय नागरिक के किसी अधिकार का कोई हनन नहीं हुआ है। उन्होंने उच्चतम न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश शरद अरविंद बोबड़े के एक बयान का उल्लेख किया जिसमें उन्होंने छात्रों को नसीहत दी है कि वे छात्र हैं तो उनका अधिकार विरोध प्रदर्शन का हो सकता है, लेकिन कानून व्यवस्था को तोड़ने, आगज़नी करने और सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने का कोई अधिकार नहीं है।