राजस्थान उच्च न्यायालय 24 जुलाई को सुनायेगा फैसला, तब तक सचिन पायलट समेत 19 बागी विधायकों को विधानसभा की सदस्यता से अयोग्य घोषित करने के मामले में विधानसभा अध्यक्ष कार्रवाई नहीं करेंगे attacknews.in

जयपुर 21 जुलाई । राजस्थान उच्च न्यायालय में कांग्रेस नेता सचिन पायलट गुट की ओर से दायर याचिका पर अब 24 जुलाई को फैसला आएगा तब तक विधान सभा अध्यक्ष विधायकों के नोटिस पर कोई कार्रवाई नहीं करेंगे।

मुख्य न्यायाधीश इन्द्रजीत मोहंती और प्रकाश गुप्ता की खंडपीठ ने मंगलवार को सुनवाई पूरी कर फैसला सुरक्षित रख लिया। न्यायालय में कल और आज सभी ने अपनी अपनी दलीलें दी थी।

विधानसभा अध्यक्ष डा सी पी जोशी के वकील अभिषेक सिंघवी ने दलील दी थी कि इस मामले में न्यायालय को दखल देने की जरूरत नहीं है। इसलिए याचिका खारिज होने योग्य है।

श्री सिंघवी ने कहा कि नोटिस पर स्टे का अंतरिम आदेश का मतलब पैरा 2-1-A की कार्यवाही पर स्टे होगा, जो नहीं किया जा सकता।

उन्होंने यह भी तर्क दिया कि अभिव्यक्ति के विचार का मतलब कुछ भी करने की स्वतंत्रता नहीं है। श्री सिंघवी ने कहा कि संविधान ने विधान सभा संचालन का अधिकार विधानसभा अध्यक्ष दिया है और यह नियम संविधान का हिस्सा है कि विधानसभा अध्यक्ष के पास विधायकों को अयोग्य घोषित करने उसके नियम बनाने के अधिकार हैं, जिसकी न्यायिक समीक्षा नहीं हो सकती है।

इससे पहले सचिन पायलट गुट की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता हरीश साल्वे और मुकुल रोहतगी शुक्रवार को अपनी दलीले दे चुके थे।

पायलट गुट की ओर से पी आर मीना ने न्यायालय में याचिका दायर की है। इसमें विधायकों के अयोग्यता संबंधी नोटिस पर अंतरिम रोक लगाने और जिस शेड्यूल में नोटिस दिया गया है उसकी संवैधानिकता को चुनौती दी है। अब न्यायालय के फैसले के बाद ही विधानसभा अध्यक्ष सी पी जोशी अपना फैसला लेंगे।

पायलट, 18 अन्य बागी कांग्रेस विधायकों की याचिका के तर्क  

इससे पहले यह बताया जा रहा था कि,राजस्थान उच्च न्यायालय राज्य के पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट और कांग्रेस के 18 अन्य बागी विधायकों द्वारा दायर याचिका पर मंगलवार को फैसला सुना सकता है।

याचिका में पायलट और इन 18 विधायकों को राज्य विधानसभा अध्यक्ष की ओर से अयोग्य करार देने संबंधी नोटिस जारी करने को चुनौती दी गई।

इस याचिका पर मुख्य न्यायाधीश इंद्रजीत महंती और न्यायमूर्ति प्रकाश गुप्ता ने शुक्रवार को सुनवाई शुरू की और दलीलें सोमवार शाम तक सुनी गईं।

इस मामले में सुनवाई सुबह साढ़े दस बजे से फिर से सुनवाई शुरू हो गई ।

बागी विधायकों ने कांग्रेस की प्रदेश इकाई में जारी कलह के बीच शुक्रवार को अदालत का रुख किया था। राजस्थान में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और बर्खास्त किए गए उपमुख्यमंत्री पायलट के बीच सत्ता को लेकर संघर्ष चल रहा है।

विधानसभा अध्यक्ष की तरफ से पेश हुए वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने सोमवार को दलील दी कि याचिका समय से पहले दायर की गई है, क्योंकि सदन से विधायकों को अयोग्य ठहराये जाने पर फैसला लिया जाना अभी बाकी है।

उन्होंने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष द्वारा जारी कारण बताओ नोटिस पर अदालत के हस्तक्षेप की कोई गुंजाइश नहीं है।

सिंघवी ने कहा कि जहां तक विधानसभा का सवाल है, विधानसभा अध्यक्ष सर्वोच्च होता है और जो नोटिस जारी किये गए हैं, वे विधानसभा अध्यक्ष की शक्तियों के दायरे में है।

विधानसभा अध्यक्ष की तरफ से पेश हुए एक वकील ने संवाददाताओं को बताया कि मुख्य न्यायाधीश ने पूछा कि क्या विधानसभा अध्यक्ष अयोग्यता के लिये दी गई ऐसी याचिका पर बिना कारण जाने नोटिस जारी करने के लिये बाध्य होता है?

सिंघवी ने दलील दी कि कारण जानने की कोई आवश्यकता नहीं है क्योंकि यह महज कारण बताओ नोटिस है।

पार्टी व्हिप की अवज्ञा करने को लेकर विधायकों को राजस्थान विधानसभा की सदस्यता से अयोग्य घोषित करने के लिये पार्टी द्वारा विधानसभा अध्यक्ष से शिकायत किये जाने के बाद यह नोटिस विधायकों को जारी किया गया था।

हालांकि, पायलट खेमे की दलील है कि पार्टी का व्हिप तभी लागू होता है जब विधानसभा का सत्र चल रहा हो।

कांग्रेस ने विधानसभा अध्यक्ष को दी गई अपनी शिकायत में पायलट और अन्य असंतुष्ट विधायकों के खिलाफ संविधान की 10वीं अनुसूची के पैराग्राफ 2(1)(ए) के तहत कार्रवाई करने की मांग की है।

विधायक सदन में जिस पार्टी का प्रतिनिधित्व करता है, यदि वह उसकी सदस्यता ‘स्वेच्छा’ से त्याग देता है तो यह प्रावधान उक्त विधायक को अयोग्य करार देता है।

मुख्यमंत्री गहलोत के खिलाफ बगावत करने के बाद पायलट को उप मुख्यमंत्री पद और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष पद से बर्खास्त किया जा चुका है।

सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस भी कोरोना काल में मजबूरी में “आत्मनिर्भर” बने, “जजमेन्ट” खुद ही टाइप कर रहे हैं attacknews.in

नयी दिल्ली, 21 जुलाई ।कोरोना काल में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के ‘आत्मनिर्भर’ होने की अपील पर देश में कितना अमल होगा यह तो समय बतायेगा, लेकिन उच्चतम न्यायालय के न्यायाधीश मजबूरी में ही सही, लेकिन ‘आत्मनिर्भर’ होने लगे हैं।

कोरोना महामारी के दौरान उच्चतम न्यायालय में वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये हो रही सुनवाई के कारण न्यायाधीश कोर्ट मास्टर को आदेश लिखवाने के बजाय खुद ही अपना आदेश टाइप करने लगे हैं, जिसका फायदा उन्हें खुद नजर आने लगा है।

न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ की टिप्पणी से तो कम से कम ऐसा ही लगता है।

न्यायमूर्ति चंद्रचूड़ ने मंगलवार को एक मामले की वीडियो कांफ्रेंसिंग से सुनवाई के दौरान अपने अनुभव साझा किये।

उन्होंने कहा कि वह वर्चुअल सुनवाई करते हुए जो भी आदेश देते हैं, उसे खुद ही लैपटॉप पर टाइप भी करते हैं।

न्यायमूर्ति चंद्रचूड़ ने कहा, “मैं कोर्ट मास्टर को आदेश देने के बजाय अब खुद लैपटॉप पर आदेश लिखता हूं, क्योंकि यह डिक्टेशन देने के मुकाबले ज्यादा आसान, सरल और सहज होता है। लैपटॉप पर अपना खुद का आदेश टाइप करना बहुत अच्छा है, क्योंकि यह आदेश बहुत सटीक हो जाता है।”

उन्होंने कहा कि इसका एक फायदा और है कि आदेश टाइप करने के बाद टाइपिंग के कारण होने वाली अशुद्धि को ठीक करने की जरूरत नहीं पड़ती।”

गौरतलब है कि उच्चतम न्यायालय में मार्च के मध्य से ही कोरोना को लेकर ऐहतियात बरती जाने लगी थी और कुछ दिनों तक तो केवल दोनों पक्षों और उनके वकीलों को ही अदालत कक्ष में सुनवाई के लिए जाने दिया जाता था। मीडियाकर्मियों का प्रवेश भी वर्जित था। बाद में राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन के दौरान वीडियो कांफ्रेंसिंग से सुनवाई शुरू होने लगी, जो अब भी जारी है। ऐसे में कोर्ट मास्टर मौजूद नहीं रह पाते हैं।

गैंगस्टर विकास दुबे को थाने से पुलिस छापामारी की सूचना फोन से देने के सबूत सामने आये इसके बाद उसने दी थी बड़े कांड की चेतावनी attacknews.in

कानपुर/नईदिल्ली ,21 जुलाई ।उत्तर प्रदेश में कानपुर के चौबेपुर के बिकरू गांव में दो जुलाई की रात आठ पुलिसकर्मियों की हत्या करने वाला दुर्दांत विकास दुबे का एक और आडियो वायरल हुआ है जिसमें उसने चौबेपुर थाने के एक सिपाही को बड़ा कांड करने की चेतावनी दी थी।

पुलिस सूत्रों ने मंगलवार को बताया कि विकास और चौबेपुर के सिपाही के बीच बातचीत का एक आडियो वायरल हुआ है जिसमें उसने पुलिस क्षेत्राधिकारी देवेन्द्र मिश्र और दबिश देने वाले पुलिसकर्मियों के सफाये की धमकी दी थी। इस आडियो से साफ हो गया है कि दबिश से पहले थाने से विकास के पास फोन गया था और उसे पुलिस कार्यवाही की सूचना दी गयी थी।

दुबे मुठभेड़: याचिकाकर्ता ने सेवानिवृत्त जजों के नामों की सूची सौंपी

इधर उत्तर प्रदेश में कानपुर के दुर्दांत अपराधी विकास दुबे और उसके गुर्गों की पुलिस-मुठभेड़ की स्वतंत्र जाँच की माँग कर रहे एक याचिकाकर्ता ने मंगलवार को उच्चतम न्यायालय में एक अर्जी सौंपी है जिनमें नये जाँच आयोग में शामिल किये जा सकने वाले पूर्व न्यायाधीशों के नाम प्रस्तावित हैं।

याचिकाकर्ताओं में से एक घनश्याम उपाध्याय ने अपनी अर्जी में उच्चतम न्यायालय के पूर्व मुख्य न्यायाधीश तीरथ सिंह ठाकुर और न्यायमूर्ति आर.एम. लोढ़ा के अलावा हाल ही में ही सेवानिवृत्त न्यायाधीश- न्यायमूर्ति आर. भानुमति, न्यायमूर्ति दीपक गुप्ता, न्यायमूर्ति अनिल आर. दवे, न्यायमूर्ति कुरियन जोसेफ, न्यायमूर्ति एफ.एम.आई. कलीफुल्ला, न्यायमूर्ति ए.के. पटनायक, न्यायमूर्ति के.पी.एस. राधाकृष्णन, न्यायमूर्ति विक्रमजीत सेन और न्यायमूर्ति एच.एल. गोखले के नाम भी दिये हैं।

याचिकाकर्ता का कहना है कि उक्त प्रस्तावित नामों में से किसी भी सेवानिवृत्त न्यायाधीश का नाम विकास दुबे एवं उसके गुर्गों की पुलिस-मुठभेड़ की जाँच के लिए प्रस्तावित नये आयोग में जोड़ा जा सकता है।

गौरतलब है कि शीर्ष अदालत ने राज्य सरकार द्वारा गठित न्यायिक आयोग को पुनर्गठित करने के संकेत दिये थे। आयोेग में एक सेवानिवृत्त न्यायाधीश और एक सेवानिवृत्त वरिष्ठ पुलिस अधिकारी को शामिल किया जाना है।

विकास दुबे मुठभेड़ मामले में न्यायिक आयोग को पुनर्गठित करेगा सुप्रीम कोर्ट:

इससे पहले कल उच्चतम न्यायालय ने कहा था कि, उत्तर प्रदेश के दुर्दांत अपराधी विकास दुबे के मुठभेड़ मामले की जांच के लिए राज्य सरकार की ओर से गठित न्यायिक आयोग को पुनर्गठित करेगा और इस बारे में बुधवार को आदेश जारी करेगा।

मुख्य न्यायाधीश शरद अरविंद बोबडे, न्यायमूर्ति ए एस बोपन्ना और न्यायमूर्ति वी रमासुब्रमण्यम की खंडपीठ ने सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता और उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से पेश हरीश साल्वे की दलीलें सुनने के बाद कहा कि वह राज्य सरकार की ओर से गठित जांच आयोग का पुनर्गठन करके उसमें शीर्ष अदालत के एक पूर्व न्यायाधीश और सेवानिवृत्त पुलिस अधिकारी को जोड़ेगी।

राज्य सरकार ने जांच आयोग के पुनर्गठन को लेकर हामी भरी, उसके बाद न्यायालय ने बुधवार को सुनवाई की तारीख मुकर्रर करते हुए श्री मेहता को संबंधित अधिसूचना का मसौदा उस दिन पेश करने का निर्देश दिया। खंडपीठ ने कहा कि वह मसौदा देखने के बाद आदेश जारी करेगी।

न्यायालय पेशे से वकील घनश्याम उपाध्याय, अनूप प्रकाश अवस्थी, विवेक तिवारी के अलावा गैर-सरकारी संगठन पीपुल्स यूनियन फॉर सिविल लिबर्टीज (पीयूसीएल) तथा कुछ अन्य याचिकाकर्ताओं की याचिकाओं की संयुक्त सुनवाई कर रही थी।

विकास दुबे मुठभेड़ : न्यायालय ने जांच समिति में शीर्ष अदालत के पूर्व न्यायाधीश को शामिल करने पर विचार करने को कहा

उच्चतम न्यायालय ने सोमवार को उत्तर प्रदेश सरकार से कहा कि कुख्यात अपराधी विकास दुबे की मुठभेड़ की जांच के लिये गठित समिति में शीर्ष अदालत के एक पूर्व न्यायाधीश और सेवानिवृत्त पुलिस अधिकारी को शामिल करने पर विचार करे।

उत्तर प्रदेश सरकार ने उच्चतम न्यायालय को बताया कि वह जांच समिति के बारे में दिये गये सुझावों को शामिल करके नयी अधिसूचना का मसौदा 22 जुलाई को पेश कर देगी।

शीर्ष अदालत ने यह भी कहा कि एक अपराधी के खिलाफ इतने मामले दर्ज होने के बावजूद उसे जमानत मिलने से वह “स्तब्ध” है।

प्रधान न्यायाधीश एस ए बोबडे की अध्यक्षता वाली पीठ उन याचिकाओं पर सुनवाई कर रही थी जिनमें दुबे और उसके कथित सहयोगियों की मुठभेड़ों की अदालत की निगरानी में जांच कराने का अनुरोध किया गया है। पीठ ने उत्तर प्रदेश सरकार से कहा कि उसे ‘‘कानून का शासन बनाये रखना होगा।’’

शीर्ष अदालत ने कहा, “एक राज्य के तौर पर आपको कानून का शासन बरकरार रखना होगा। ऐसा करना आपका कर्तव्य है।”

पीठ ने कहा कि वह शीर्ष अदालत के किसी पीठासीन न्यायाधीश को जांच समिति का हिस्सा बनने के लिए उपलब्ध नहीं करा सकती।

उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से सालिसटीर जनरल तुषार मेहता ने पीठ से कहा कि उन्हें इस मुद्दे पर आवश्यक निर्देश प्राप्त करने और उससे न्यायालय को अवगत कराने के लिये कुछ वक्त चाहि।

पीठ ने सॉलीसीटर जनरल से कहा कि अगर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री कोई बयान देते है और इसके बाद कुछ होता है तो आपको इस पर गौर करना होगा।

पीठ ने कहा, “हम इस बात से चकित हैं कि विकास दुबे जैसे व्यक्ति को इतने सारे मामलों के बावजूद जमानत मिल गई।”

पीठ ने कहा, “यह संस्थान की विफलता है कि जिस व्यक्ति को जेल की सलाखों के पीछे होना चाहिए, उसे जमानत मिली।”

कानपुर के चौबेपुर इलाके के बिकरू गांव में तीन जुलाई की मध्यरात्रि दुबे को गिरफ्तार करने गई पुलिस की टीम पर घात लगाकर हमला कर दिया गया था जिसमें डीएसपी देवेंद्र मिश्रा समेत आठ पुलिसकर्मियों की मौत हो गई थी।

पुलिस के मुताबिक दुबे की 10 जुलाई की सुबह हुई मुठभेड़ में मौत हो गई थी जब उसे उज्जैन से कानपुर ले जा रहा पुलिस वाहन भौती इलाके में दुर्घटनाग्रस्त हो गया था और उसने मौके से भागने की कोशिश की थी।

मुठभेड़ में दुबे के मारे जाने से पहले उसके सभी पांच कथित सहयोगियों को अलग-अलग मुठभेड़ में मार गिराया गया था।

बिकरू कांड के विकास का साथी जय गिरफ्तार

उधर कानपुर से खबर है कि ,उत्तर प्रदेश के कानपुर में दो जुलाई को आठ पुलिस वालों के हत्यारे और पुलिस मुठभेड़ में मारे गये विकास के साथी जय बाजपेई और उसके एक दोस्त को पुलिस ने रविवार देर रात गिरफ्तार कर लिया ।

पुलिस ने जय पर घटना के दो दिन पहले विकास दुबे को दो लाख रुपये और 25 कारतूस देने के आरोप समेत कई धाराओं में देर रात नजीराबाद थाने में मुकदमा दर्ज किया गया है ।

अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के लिए 40 किलो चांदी की शिला से होगा राम मंदिर का भूमि पूजन,साथ ही होगा संगम का जल और मिट्टी का उपयोग,बाबरी मस्जिद के मुद्दई रहे मोहम्मद इकबाल अंसारी समारोह में शामिल होना चाहते हैं attacknews.in

अयोध्या, 21 जुलाई । उत्तर प्रदेश के अयोध्या में श्रीरामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के अध्यक्ष एवं मणिरामदास छावनी के महंत नृत्यगोपाल दास श्रीरामजन्मभूमि पर विराजमान रामलला के भूमि पूजन में चांदी से निर्मित 40 किलो की श्रीराम शिलापट समर्पित करेंगे।

महंत दास ने सोमवार को बताया कि पांच अगस्त को देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी श्रीरामजन्मभूमि परिसर में विराजमान रामलला के भव्य मंदिर की भूमि पूजन करेंगे, जिसमें मणिराम दास छावनी की ओर से 40 किलो चाँदी की श्रीराम शिला को समर्पित किया जायेगा। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी वैदिक मंत्रोच्चार के बीच रामलला की पवित्र भूमि पर इसे स्थापित करेंगे।

मोदी के आगमन की खबर से अयोध्या के संतों में खुशी की लहर

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी आगामी पांच अगस्त को श्रीरामजन्मभूमि पर विराजमान रामलला का भव्य मंदिर निर्माण के लिये भूमि पूजन करने के लिये अयोध्या आ रहे हैं। इसको लेकर अयोध्या के संत, धर्माचार्य तथा हिन्दू जनमानस में खुशी की लहर है।

तोताद्रिमठ के जगद्गुरू रामानुजाचार्य स्वामी अनंताचार्य महाराज ने सोमवार को यहां कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आगमन सभी के लिए खुशखबरी है। वे रामजन्मभूमि की आधारशिला रखने आ रहे हैं। इससे संत-धर्माचार्यों में खुशी है। अयोध्या राममंदिर से लोगों को शिक्षा मिलेगी। पूरे विश्व को यही से मानवता का संदेश मिलता रहा है। इसलिए प्रधानमंत्री का आना बेहद अहम है। उनके हाथों से राममंदिर का भूमिपूजन किया जायेगा। जो निश्चित रूप से अविस्मरणीय और ऐतिहासिक पल होगा।

शरद पवार का बयान भगवान राम के खिलाफ है: भारती

उधर सीहोर, (मप्र) में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष उमा भारती ने राम मंदिर पर दिये गये बयान के लिये राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के प्रमुख शरद पवार को ‘‘रामद्रोही’’ करार दिया है।

श्रीराम जन्म भूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने तीन या पांच अगस्त को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को राम मंदिर के भूमि पूजन के लिये अयोध्या में आमंत्रित किया है।

अयोध्या में राम मंदिर को लेकर पवार के बयान पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए उमा भारती ने सोमवार को कहा कि प्रधानमंत्री वह व्यक्ति हैं जो चार घंटे से अधिक नहीं सोते हैं।

उन्होंने कहा, ‘‘वह (मोदी) 24 घंटे काम करते हैं। उन्होंने आज तक कभी छुट्टी नहीं ली। मुझे उनका स्वभाव मालूम है, वह हवाई जहाज में भी आने-जाने के समय फाइल का काम करते जायेंगे। अगर प्रधानमंत्री, भगवान राम को दो घंटे का समय देते हैं और दो-तीन घंटे के लिये अयोध्या जाते हैं तो इसमें ऐसी कौन सी अर्थव्यवस्था कैसे बिगड़ जायेगी।’’ भारती ने कहा, ‘‘मैं मानती हूं कि पवार का यह बयान प्रधानमंत्री मोदी के खिलाफ नहीं है बल्कि यह भगवान राम के खिलाफ है।’’ गौरतलब है कि राम मंदिर की आधारशिला रखे जाने की प्रस्तावित तिथि के बारे में संवाददाताओं के सवाल के जवाब में पवार ने रविवार को सोलापुर में कहा था, ‘‘कोविड-19 का उन्मूलन महाराष्ट्र सरकार की प्राथमिकता है, लेकिन कुछ लोगों को लगता है कि मंदिर का निर्माण करने से इस पर काबू पाने में मदद मिलेगी।

पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती ने कहा कि राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) के प्रमुख शरद पवार का बयान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी नहीं, बल्कि भगवान श्रीराम के खिलाफ है।

भगवान राम को लेकर नेपाल के प्रधानमंत्री के बयान के बारे में सुश्री भारती ने कहा कि यदि वहां के प्रधानमंत्री को लगता है कि श्रीराम नेपाल के हैं, तो उन्हें वहां भी भव्य राम मंदिर बनवाना चाहिए।

अयोध्या में श्रीराम मंदिर भूमि पूजन में होगा संगम का जल और मिट्टी का उपयोग

प्रयागराजसे खबर है कि , श्री राम मंदिर भूमि पूजन के लिए तीर्थराज प्रयाग के पतित पावनी गंगा, श्यामल यमुना और अन्त: सलिल स्वरूपा प्रवाहित सरस्वती के संगम से पवित्र जल और मिट्टी अयोध्या ले जायी जायेगी।

विश्व हिन्दू परिषद (विहिप) के महानगर प्रवक्ता अश्वनि कुमार मिश्र ने मंगलवार को यहां बताया कि श्रीराम मंदिर निर्माण के लिए होने वाले भूमि पूजन में प्रयागराज संगम के पवित्र जल और मिट्टी का भी प्रयोग होगा। उन्होंने बताया कि कितने लोग पवित्र जल और मिट्टी लेकर जाएंगे, शीघ्र बैठक कर कार्ययोजना तैयार की जाएगी।

राम मंदिर निर्माण में उडुपी की मिट्टी का होगा इस्तेमाल

कर्नाटक के मंदिरों के शहर उडुपी की मिट्टी का इस्तेमाल उत्तर प्रदेश में अयोध्या के राम मंदिर के निर्माण में किया जाएगा।

अडमार मठ अदालिता मंडली ने बताया कि उडुपी की मिट्टी अयोध्या के उस स्थान पर भेजी जाएगी जहां राम मंदिर का निर्माण होगा।

न्योता मिला तो जरूर बनूंगा भूमि पूजन कार्यक्रम का हिस्सा : अंसारी

बाबरी मस्जिद के मुद्दई रहे मोहम्मद इकबाल अंसारी ने कहा कि श्रीरामजन्मभूमि परिसर में विराजमान रामलला का भव्य मंदिर निर्माण के लिये पांच अगस्त को होने वाले भूमि पूजन कार्यक्रम का निमंत्रण मिलने पर वह जरूर शामिल होंगे।

श्री अंसारी ने बातचीत में कहा “ श्रीरामजन्मभूमि परिसर में रामलला के भव्य मंदिर निर्माण के लिये हो रहे भूमि पूजन में अगर श्रीरामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट मुझे आमंत्रित करता है तो मैं अवश्य आऊंगा।”

अयोध्या में भूमि पूजन की तैयारी चरम पर

उत्तर प्रदेश के अयोध्या में पांच अगस्त को भव्य राममंदिर निर्माण के लिये होने वाले भूमि पूजन की तैयारियां जोर-शोर से चल रही हैं।

संतों के अलावा चुनिंदा अतिथियों की मौजूदगी में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मंदिर निर्माण के लिये भूमि पूजन करेंगे। इस ऐतिहासिक कार्यक्रम के मद्देनजर अयोध्या में राजनैतिक सरगर्मियां भी बढ़ी हैं। सोमवार को भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह ने यहां आकर राम मंदिर निर्माण की तैयारियों और प्रधानमंत्री के आगमन को लेकर विहिप मुख्यालय कारसेवकपुरम् में श्रीरामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के पदाधिकारियों के साथ बैठकें भी की थीं।

पंचतत्व में विलीन लाल जी टंडन : अयोध्या में भव्य राम मंदिर बनते देखने की उनकी अंतिम इच्छा पूरी नहीं हो सकी, अटल बिहारी वाजपेयी को पिता,भाई और साथी मानते थे टंडन attacknews.in

लखनऊ/भोपाल 21 जुलाई । मात्र 12 वर्ष की आयु में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ से जुड़ने वाले लालजी टंडन के जीवन में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का खास स्थान रहा है। करीब छह दशक के राजनीतिक करियर में उन्होने कई मौकाें पर सार्वजनिक रूप से श्री वाजपेयी को कभी पिता तो कभी भाई या साथी की संज्ञा से नवाजा।

मध्यप्रदेश के 85 वर्षीय राज्यपाल श्री टंडन का मंगलवार तड़के 0535 बजे उत्तर प्रदेश में अपने गृहनगर लखनऊ के एक निजी अस्पताल में निधन हो गया।

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के कद्दावर नेता रहे श्री टंडन पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की तरह लखनऊ में समाज के हर वर्ग में पंसद किये जाते रहे हैं। मुस्लिम समुदाय के बीच भी वह खासे लोकप्रिय रहे वहीं विपक्षी दल भी उनका सम्मान करते थे। बहुजन समाज पार्टी (बसपा) सुप्रीमो मायावती लंबे समय तक उन्हे राखी बांधती रही। श्री टंडन उन्हे अपनी मुंहबोली बहन कहते थे। उत्तर प्रदेश में बसपा के साथ बनी भाजपा की सरकार में श्री टंडन की भूमिका अहम रही थी।

श्री टंडन की पहचान लखनऊ में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के उत्तराधिकारी के तौर पर भी मानी गयी। श्री टंडन को राजनीति में लाने का श्रेय श्री वाजपेयी को जाता है। वर्ष 1960 में उनके राजनीतिक जीवन की शुरूआत हुयी। वह कई बार सार्वजनिक रूप से श्री वाजपेयी को अपना सखा,पिता और भाई कहते रहे है।

भाजपा के दिवंगत नेता 1978 से 1984 तक और फिर 1990 से 96 तक उत्तर प्रदेश विधान परिषद के सदस्य रहे जबकि 1991 में उन्हे मंत्री पद मिला । वर्ष 1996 से 2009 तक लगातार तीन बार विधायक का चुनाव जीते वहीं 1997 में वह नगर विकास मंत्री रहे। वर्ष 2009 के लोकसभा चुनाव में अस्वस्थता के चलते जब उन्हे पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के स्थान पर लखनऊ संसदीय सीट का टिकट मिला तो वह सबसे पहले श्री वाजपेयी से आर्शीवाद लेने दिल्ली गये और लौट कर कहा कि वह अटल की खड़ांऊ लेकर आये है और उन्ही के आशीष से चुनाव लड़ेंगे।

अटल की तरह श्री टंडन को भी लखनऊ की जनता से सर आंखों पर बैठाया और वह भारी बहुमत से विजयी हुये। वर्ष 2014 के चुनाव में भाजपा ने हालांकि उनकी बजाय मौजूदा रक्षामंत्री राजनाथ सिंह पर भरोसा किया और बुजुर्ग नेता का उचित सम्मान देते हुये 21 अगस्त 2018 को बिहार के राज्यपाल बनाया गया जबकि 20 जुलाई 2019 को उन्हे मध्यप्रदेश का राज्यपाल नियुक्त किया गया।

अपने राजनीतिक करियर में कई उतार-चढ़ाव देखने वाले श्री टंडन के लिये 2004 का साल विषम परिस्थितियां लेकर आया जब लोकसभा चुनाव के दौरान अपने जन्मदिन के मौके पर वह महिलाओं को साड़ी बांट रहे थे कि अचानक भगदड़ मच गई और इस घटना में 21 महिलाओं की मौत हो गई। महिलाओं की मौत के मामले ने विरोधियों ने इसका आरोप श्री टंडन पर मढ़ दिया। इस मामले में उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज की गयी और उन्हे चुनाव आयोग का भी सामना करना पड़ा था।

चुनाव के दौरान हुयी इस घटना से खफा चुनाव आयोग ने भाजपा को पार्टी की मान्यता रद्द करने की भी चेतावनी दे दी थी हालांकि मामला कुछ दिनों में शांत हो गया और कुछ समय बाद श्री टंडन भी इन आरोपों से मुक्त हो गए और उनका सफर फिर शुरू हुआ।

श्री टंडन का जन्म 12 अप्रैल, 1935 में लखनऊ में हुआ था। उन्होंने स्नातक कालीचरण डिग्री कॉलेज लखनऊ से किया। उनका विवाह 26 फरवरी 1958 में कृष्णा टंडन के साथ हुआ। श्री टंडन के तीन पुत्रों में एक गोपालजी टंडन योगी सरकार में मंत्री हैं।

अयोध्या में मंदिर बनते नहीं देख सके टंडन

मघ्यप्रदेश के राज्यपाल और भारतीय जनता पार्टी के नेता लालजी टंडन का आज यहां निधन हो जाने से अयोध्या में भव्य राम मंदिर बनते देखने की उनकी अंतिम इच्छा पूरी नहीं हो सकी ।

उत्तर प्रदेश में जब श्री कल्याण सिंह की सरकार थी तब श्री टंडन नगर विकास मंत्री के साथ अयोध्या मामले के प्रभारी भी थे । वो चाहते थे कि अयोध्या में जल्द भव्य राम मंदिर बने । राम मंदिर के लिये भूमि पूजन आगामी पांच अगस्त को प्रस्तावित है लिहाजा उनकी अंतिम इच्छा पूरी नहीं हो सकी ।

मध्य प्रदेश के राज्यपाल लालजी टंडन का तड़के हुआ था निधन:

मध्य प्रदेश के राज्यपाल लालजी टंडन का मंगलवार सुबह लखनऊ के मेदांता अस्पताल में निधन हो गया। वह 85 वर्ष के थे।

मेदांता अस्पताल के निदेशक डॉ राकेश कपूर ने बताया, ‘ टंडन का सुबह पांच बजकर 35 मिनट पर हृदयगति रूकने से निधन हो गया।’

कपूर ने बताया कि टंडन 11 जून को मेदांता अस्पताल में भर्ती हुए थे। जांचों में पता लगा कि वह यकृत के रोग से ग्रसित थे। धीरे धीरे उनके गुर्दे और यकृत ने काम करना बंद कर दिया था।

उन्होंने बताया कि टंडन कई दिनों से जीवन रक्षक प्रणाली पर थे और तमाम कोशिशों के बावजूद उन्हें बचाया नहीं जा सका।

टंडन के पुत्र एवं उत्तर प्रदेश सरकार में कैबिनेट मंत्री आशुतोष टंडन ‘गोपाल जी’ ने भी यह जानकारी दी ।

उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने टण्डन के निधन पर गहरा दुख व्यक्त किया।

राजभवन के एक प्रवक्ता के मुताबिक राज्यपाल ने अपने शोक संदेश में कहा, “लालजी टण्डन शालीन, मृदुभाषी एवं जमीन से जुड़े हुए व्यक्ति थे। उन्हें राजनीति का लम्बा अनुभव था। टण्डन के निधन से अपूरणीय क्षति हुई है।”

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी टंडन के निधन पर गहरा शोक व्यक्त करते हुए कहा, ‘लालजी टंडन के निधन से देश ने एक लोकप्रिय जन नेता, योग्य प्रशासक एवं प्रखर समाज सेवी को खोया है।’

इस बीच उत्तर प्रदेश सरकार के एक प्रवक्ता ने बताया कि प्रदेश सरकार ने तीन दिन के राजकीय शोक की घोषणा की है।

उल्लेखनीय है कि टंडन को सांस लेने में दिक्कत, बुखार और पेशाब संबंधी समस्या के कारण अस्पताल में भर्ती कराया गया था।

मध्यप्रदेश में पांच दिन का राजकीय शोक घोषित

मध्यप्रदेश के राज्यपाल लालजी टंडन के निधन के कारण राज्य में पांच दिन का राजकीय शोक घोषित किया गया है।

इस संबंध में सामान्य प्रशासन विभाग की ओर से जारी किए गए आदेश के अनुसार 21 जुलाई से 25 जुलाई तक राजकीय शोक रहेगा। इस दौरान सरकारी इमारतों पर, जहां राष्ट्रीय ध्वज नियमित फहराया जाता है, ध्वज आधा झुका रहेगा। इस अवधि में कोई भी शासकीय और मनोरंजन संबंधी आयोजन नहीं होंगे।

आदेश में कहा गया है कि दिवंगत राज्यपाल के सम्मान में आज राज्य सरकार के सभी कार्यालयों में अवकाश रहेगा।

मंत्रिमंडल की बैठक लालजी टंडन के प्रति श्रद्धांजलि अर्पित करने के बाद स्थगित

मध्यप्रदेश के राज्यपाल लालजी टंडन को आज यहां मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की मौजूदगी में हुयी मंत्रिमंडल की बैठक में श्रद्धांजलि अर्पित करने के बाद उनके सम्मान में बैठक स्थगित कर दी गयी।

श्री चौहान ने विधिवत श्री टंडन के निधन की सूचना मंत्रिमंडल में दी और उनके प्रति श्रद्धांजलि अर्पित की।

श्री चौहान ने श्री टंडन के जीवन से जुड़े अनेक संस्मरण सुनाए और कहा कि श्री टंडन के निधन के कारण प्रदेश में राजकीय शोक घोषित किया गया है। इसके विधिवत आदेश जारी किए जा रहे हैं।

बैठक में दो मिनट का मौन रखा गया और दिवंगत आत्मा की शांति तथा शोक संतप्त परिजनों को यह गहन दुख सहने की शक्ति देने की प्रार्थना ईश्वर से की गयी। इसके बाद बैठक स्थगित कर दी गयी।

पंचतत्व में विलीन हुये टंडन

मध्यप्रदेश के राज्यपाल लालजी टंडन का मंगलवार को लखनऊ में पूरे राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार कर दिया गया।

गुलाला घाट पर शाम करीब साढ़े चार बजे श्री टंडन के पार्थिव शरीर को मुखाग्नि उनके छोटू पुत्र अमित टंडन ने दी। इस मौके पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और उनके मंत्रिमंडल के कई सहयोगी मौजूद थे।

पुड्डुचेरी में संविधान का मखौल: राज्य में मुख्यमंत्री नारायणसामी ने विधानसभा में उप राज्यपाल किरण बेदी को अपमानित करके खुद ही सदन को संबोधित कर दिया attacknews.in

पुड्डुचेरी, 21 जुलाई । पुड्डुचेरी की उप राज्यपाल किरण बेदी ने मंगलवार को कहा कि यहां के कुछ निर्वाचित प्रतिनिधियों को पुड्डुचेरी में उपलब्ध मनोचिकित्सक के पास जाने की जरूरत है क्योंकि उन्हें इसकी मदद की आवश्यकता है।

श्रीमती बेदी ने एक व्हाट्सअप पोस्ट में कहा कि कुछ चुने हुए प्रतिनिधि प्रतिदिन भ्रामक बातें फैला रहे हैं और लोगों के सामने झूठ परोस रहे हैं। उन्होंने कहा, “ मैं इसके लिए उन कारणों को समझ सकती हूं क्योंकि वे कुछ वैसे निर्णय लेने के लिए राज निवास को धमकाने में सक्षम नहीं हैं जिस तरह से वह उनके अनुरूप है और जैसा कि उन्हें ज़रूरत है।”

उप राज्यपाल ने कहा कि कुछ लोग अक्सर झूठ बोल रहे हैं और गलत साबित करना चाह रहे हैं, मुझे लगता है कि उन्हें एक चिकित्सकीय मनोवैज्ञानिक से मिलने की जरूरत है।

विधायक जयमूर्ति और अन्य सदस्यों द्वारा विधानसभा में उनके खिलाफ की गई टिप्पणी को 100 प्रतिशत झूठा बताते हुए उप राज्यपाल ने कहा कि वह तथ्यों को उजागर करने के लिए एकत्र कर रही हैं लेकिन ऐसा करने का यह समय नहीं है।

बजट सत्र के संबोधन के लिए नहीं आईं बेदी, सदन की कार्यवाही स्थगित

उधर कल पुड्डुचेरी विधानसभा के बजट सत्र की शुरुआत सोमवार को हो गई लेकिन इसे संबोधित करने के लिए उप राज्यपाल किरण बेदी के सदन में नहीं आने के बाद सदन की कार्यवाही 1200 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई।

मुख्यमंत्री वी नारायणस्वामी 1205 बजे पुड्डुचेरी का वार्षिक बजट पेश करने वाले थे। बजट सत्र के पहले दिन सदन की कार्यवाही 0930 बजे शुरू होने पर सदस्यों ने कुछ मिनटों तक सुश्री बेदी के आने का इंतजार किया।

नारायणसामी ‘गैरकानूनी और अनियमित’ कार्य कर रहे हैं: बेदी

इसी बीच पुड्डुचेरी की उप राज्यपाल किरण बेदी ने सोमवार को विधानसभा में बजट पेश किये जाने को लेकर कहा कि मुख्यमंत्री वी नारायणसामी जो कर रहे हैं वह ‘गैरकानूनी और अनियमित’ है।

सुश्री बनर्जी ने व्हाट्सएप पर ऑडियो क्लिप में कहा कि उन्हें केंद्र शासित प्रदेश सरकार अधिनियम 1963 प्रावधानों के अंतर्गत आवश्यक वार्षिक वित्तीय विवरण और अनुदान की मांग से संबंधित जानकारी नहीं भेजी गई है जो कि गंभीर चूक है।

उप राज्यपाल ने कहा कि वार्षिक वित्तीय विवरण (एएफएस) के नियम 27(1) में स्पष्ट रूप से कहा गया है कि वित्तीय वर्ष की बजट फाइल को विधानसभा में पेश किये जाने से पहले प्रत्येक केंद्र शासित प्रदेश के प्रशासक को भेजा जाना चाहिए।

सुश्री बेदी ने कहा,“ मेरे पास बजट फाइल नहीं है। श्री नारायणसामी ने बजट फाइल को विधानसभा में पेश किये जाने से पहले मेरे पास नहीं भेजा है। ”

उप राज्यपाल ने कहा, “ जब मैंने बजट का विवरण देखा ही नहीं तो इसे विधानसभा में पेश कैसे कर सकती हूं।”

पुड्डुचेरी विधानसभा से विपक्षी दलों के सदस्यों ने किया वॉकआउट

पुड्डुचेरी विधानसभा में विपक्षी दलों के सभी सदस्यों ने उप राज्यपाल किरण बेदी के संबोधन के बगैर मुख्यमंत्री वी नारायणस्वामी की तरफ से बजट पेश किये जाने का विरोध करते हुये सदन से वॉकआउट किया।

वित्त विभाग संभाल रहे श्री नारायणस्वामी ने सोमवार को जैसे ही विधानसभा में बजट पेश करना शुरू किया तो विपक्षी दलों के सभी सदस्य यह सवाल करने लगे कि उप राज्यपाल ने सदन को संबोधित क्यों नहीं किया? विपक्षी दलों के सदस्यों ने इस संबंध में श्री नारायणस्वामी से स्पष्टीकरण मांगा।

भारतीय जनता पार्टी के सदस्यों ने कहा कि केवल उप राज्यपाल के पास विधानसभा का सत्र बुलाने की शक्ति है और विधानसभा के पास उप राज्यपाल के संबोधन को लंबित रखने की शक्ति नहीं है।

विधानसभा में जब मुख्यमंत्री ने बजट भाषण पढ़ना जारी रखा तब विपक्षी दलों के सदस्य हंगामा करते विरोध करने लगे। इसके बाद एनआर कांग्रेस, अन्नाद्रमुक और भाजपा के सदस्यों ने विधानसभा से वॉकआउट किया।

पश्चिम बंगाल राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने राजनीतिक हिंसा को लेकर ममता को लगाई फटकार,ममता बनर्जी की चेतावनी-बंगाल के लोग राज्य को चलाएंगे न कि बाहरी attacknews.in

कोलकाता, 21 जुलाई । पश्चिम बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने मंगलवार को राज्य में ‘राजनीतिक हिंसा’ की घटनायें होने को लेकर ममता बनर्जी सरकार को फटकार लगाई।

श्री धनखड ने ट्वीट कर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से कहा, “ राज्य की प्रत्येक हिसंक घटना कानून-व्यवस्था के लिए चिंताजनक है। उन्होंने कहा,“ विपक्षी नेताओं और सांसदों को पुलिस द्वारा परेशान किया जाना चिंताजनक है। राजनीतिक कार्य करने वाले पुलिस अधिकारी कानून से बेखबर हैं।”

राज्यपाल का यह ट्वीट मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस प्रमुख द्वारा 1993 में कोलकाता में पुलिस फायरिंग में मारे गए तेरह लोगों की याद में ‘शहीद दिवस’ के रूप में मनाए जाने के लिए एक रैली को संबोधित किए जाने के कुछ मिनट बाद आया है।

इससे पहले दिन में श्री धनखड़ ने एक अन्य ट्वीट में ममता बनर्जी सरकार से राज्यपाल और केंद्र सरकार के खिलाफ ‘टकराव’ छोड़ने का आग्रह किया।

इसी समय विपक्षी भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने राज्य में बढ़ रही हिंसा में हस्तक्षेप के लिए राज्यपाल का दरवाजा खटखटाया है। राज्य में जारी राजनीतिक हिंसा के आरोप लगाते हुए सुश्री बनर्जी के दोहरे मानदंडों को लेकर भाजपा आज ‘काला दिवस’ मना रही है।

तेरह जुलाई को हेमटाबाद विधायक देवेंद्र नाथ रॉय को फांसी पर लटकाए जाने के बाद भाजपा में गुस्सा है।

बंगाल के लोग राज्य को चलाएंगे न कि बाहरी: ममता

इधर पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री एवं तृणमूल कांग्रेस की प्रमुख ममता बनर्जी ने भारतीय जनता पार्टी को ‘बाहरी लोगों की पार्टी’ करार दिया है और कहा है कि बंगाल के लोग राज्य को चलायेंगे न कि बाहरी लोग।

सुश्री बनर्जी ने ‘शहीद दिवस’ के मौके पर एक वर्चुअल रैली को संबोधित करते हुए यह बात कही। उन्होंने कहा, “पश्चिम बंगाल में किसी भी बाहरी व्यक्ति का शासन नहीं होगा। राज्य में बंगाली लोगों का शासन होगा।”

तृणमूल प्रमुख ने राजस्थान में ‘राजनीतिक उथल-पुथल’ के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जिम्मेदार ठहराते हुए उन पर सीधा हमला बोला और पूछा, “गुजरात को क्यों सभी राज्यों पर शासन करना चाहिए।”

केंद्र के अन्याय का बंगाल के लोग देंगे मुंहतोड़ जवाब : ममता

ममता बनर्जी ने मंगलवार को केंद्र की मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए राज्य को संसाधनों से वंचित करने का आरोप लगाया और कहा कि यहां के लोग इस ‘अन्याय’ का मुंहतोड़ जवाब देंगे।

सुश्री बनर्जी ने आज की वर्चुअल रैली के जरिये अगले वर्ष होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए वास्तव में अपनी पार्टी के अभियान की भी शुरूआत की। उन्होंने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को बाहरी लोगों की पार्टी बताते हुए यहां तक कहा, “बंगाल को यहां के चलायेंगे न कि बाहरी लोग।”

अगले विस चुनाव में तृणमूल का सफाया हो जायेगा: घोष

इधर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की पश्चिम बंगाल इकाई के अध्यक्ष दिलीप घोष ने मंगलवार को राज्य की ममता बनर्जी सरकार को आड़े हाथ लेते हुए कहा कि वह अपनी उपलब्धियों के नाम पर जनता को बरगला रही है तथा इसका खामियाजा उसे अगले वर्ष होने वाले विधानसभा चुनाव में भुगतना पड़ेगा और तृणमूल कांग्रेस का सफाया हो जायेगा।

श्री घोष ने यहां प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि 2019 के चुनाव में तृणमूल आधी हो गयी थी और अब अगले साल के विधानसभा चुनाव में पूरी तरह साफ हो जायेगी। उन्हाेंने दावा किया कि 2021 के विधानसभा चुनाव के बाद तृणमूल सड़क पर आ जायेगी और गलियों में बैठकें लेना शुरू कर देगी।

भारत में रविवार देर रात 24 घंटे में रिकाॅर्ड 39 हजार नये मरीजों के साथ संक्रमितों की संख्या 11.16 लाख के पार हुई,27,472 की मौत,रिकवरी दर 63 फीसदी के करीब attacknews.in

नयी दिल्ली 19 जुलाई । देश में वैश्विक महामारी कोरोना वायरस (कोविड-19) संक्रमण के मामले पिछले तीन दिनों में एक लाख से अधिक वृद्धि दर्ज करते हुए रविवार की रात 11.13 लाख के पार पहुंच गये लेकिन राहत की बात यह है कि मरीजों के स्वस्थ होने की दर 63 फीसदी के करीब पहुंच गयी यानी अब तक 6.96 लाख से अधिक लोग इस महामारी से निजात पा चुके हैं।

देश में आज मरीजों के स्वस्थ होने की दर में आंशिक रूप से कमी दर्ज करते हुए 62.51 फीसदी पहुंच गयी जबकि मृत्यु दर 2.46 फीसदी रही। शनिवार को संक्रमितों के स्वस्थ होने की दर 63.10 फीसदी रही जबकि मृत्यु दर महज 2.50 फीसदी रही। शुक्रवार को मरीजों के स्वस्थ होने की दर 63.35 फीसदी रही जबकि मृत्यु दर महज 2.55 फीसदी रही। चिंता की बात यह है कि पिछले दो दिनों के दौरान मरीजों के स्वस्थ होने की दर में करीब एक फीसदी कमी आई है।

देश में तीन मई को कोरोना रिकवरी दर 26.59 प्रतिशत थी जो 31 मई को बढ़कर 47.40 प्रतिशत हो गई और इसमें लगातार इजाफा हो रहा है।

‘कोविड19इंडियाडॉटओआरजी’ के आंकड़ों के अनुसार देश में कोरोना वायरस संक्रमण के 1116400 मामलों की आज रात तक पुष्टि हो चुकी है जबकि सुबह यह संख्या 1077618 थी। अब तक कुल 696073 मरीज स्वस्थ हुए हैं जबकि 27472 लोगों की इस महामारी से मौत हो चुकी है। अन्य 389453 सक्रिय मामलों का विभिन्न अस्पतालों में इलाज किया जा रहा है।

इन आंकड़ों से यह स्पष्ट है कि सक्रिय मामलों की तुलना में स्वस्थ लोगों की संख्या 3.06 लाख से अधिक हो चुकी है। इससे यह भी साफ है कि देश में अब तक कोरोना वायरस के जितने मरीज आये हैं, उनमें से आधे से अधिक पूरी तरह बीमारी से निजात पा चुके हैं। समय पर कोरोना के संदिग्ध मामलों की जांच और उनके सही तरीके से इलाज की अहम भूमिका रही।

इस बीच, कोरोना संक्रमण के प्रसार को नियंत्रित करने के लिए देश के विभिन्न हिस्सों में फिर संपूर्ण लॉकडाउन अथवा जनता कर्फ्यू जैसे प्रतिबंध लगाये जा रहे हैं। देश के विभिन्न हिस्सों में राज्य सरकारें अपने स्तर से भी कोरोना संक्रमण को नियंत्रित करने के लिए लॉकडाउन या पूर्णबंदी या फिर जनता कर्फ्यू लागू कर रही हैं।

इसके अलावा देश में परीक्षण सुविधाओं में खासी बढ़ोतरी की गई है। आईसीएमआर द्वारा सुझाई गई परीक्षण रणनीति के तहत अब सभी पंजीकृत चिकित्सा विशेषज्ञ जांच की सिफारिश कर सकते हैं। राज्यों/ केन्द्र शासित प्रदेशों द्वारा गोल्ड स्टैंडर्ड आरटी-पीसीआर आधारित व्यापक परीक्षण के साथ रैपिड एंटीजन प्वाइंट ऑफ केयर (पीओसी) जांच के परिणाम स्वरूप नमूनों की जांच में खासी बढ़ोतरी हुई है। कुल 13791869 नमूनों के परीक्षण के साथ भारत में प्रति दस लाख (टीपीएम) परीक्षण का आंकड़ा 9,994.1 नमूनों तक पहुंच गया।

कोरोना जांच करने वाली प्रयोगशालाओं की संख्या बढ़कर 1262 हो गई है जिनमें 889 प्रयोगशालाएं सरकारी और 373 निजी क्षेत्र की हैं। इनमें रियल टाइम आरटी पीसीआर आधारित परीक्षण प्रयोगाशालाएं 648 (सरकारी, 397 ,निजी 251),ट्रूनैट आधारित परीक्षण प्रयोगाशालाएं 510 (सरकारी,455 ,निजी 55) तथा सीबीएनएएटी आधारित परीक्षण प्रयोगशालाएं 104 (सरकारी,37 , निजी 67) हैं।

गौरतलब है कि कोरोना संक्रमण के मामले में पूरे विश्व में तीसरे स्थान पर स्थित भारत में कोरोना वायरस संक्रमण के मामले गुरुवार की रात 10 लाख के पार पहुंच गये थे। गुरुवार की रात संक्रमितों का आंकड़ा 1001863 था जो शनिवार की रात को 1070417 पर पहुंच गया था और आज रात इसने 11 लाख के आंकड़ें को भी पार कर लिया जो चिंता का विषय है।

दिल्ली में कोरोना रिकवरी दर 84 फीसदी, निषिद्ध क्षेत्रों की संख्या बढ़कर 685

केंद्र सरकार के हस्तक्षेप के बाद राजधानी में कोरोना वायरस पर काफी हद तक नियंत्रण करने में सफलता मिली है और रविवार को संक्रमण को मात देने वालों की संख्या लगातार बारहवें दिन नये मामलों की तुलना में अधिक रही। हालांकि निषिध्द क्षेत्रों की संख्या बढ़ती हुई आज 685 पर पहुंच गई।

दिल्ली स्वास्थ्य मंत्रालय के पिछले 24 घंटों के आंकड़ों के अनुसार नये मामले कल के 1475 की तुलना में आज घटकर 1211 रह गए। सात जुलाई के 1379 की तुलना में आज सबसे कम मामले आए हैं। आज 1860 ने वायरस को शिकस्त दी।

केंद्रीय गृहमंत्री ने 15 जून को दिल्ली की स्थिति काबू से बाहर होने पर कमान संभाली और तबाड़तोड़ कदम उठाए। इसके बाद राजधानी में वायरस काबू करने में बड़ी सफलता मिली।

दिल्ली में कुल संक्रमितों का आंकडा हालांकि एक लाख 22 हजार 793 पर पहुंच गया जबकि इसमें से स्वस्थ होने वालों की संख्या एक लाख तीन हजार 134 अर्थात 83.99 प्रतिशत पर पहुंच गया है।

नौ जुलाई को रिकार्ड 4027 मरीज ठीक हुए थे।

पिछले 24 घंटों में 31 और लोगों की मौत के साथ ही मृतकों की कुल संख्या 3628 पर पहुंच गयी।

दिल्ली सरकार ने प्लाजमा थैरेपी से गंभीर कोरोना मरीजों के उपचार के लिए दो प्लाजमा बैंक आईएलबीएस और एलएनजेपी में खोले हैं।

दिल्ली में 23 जून को 3947 एक दिन के सर्वाधिक मामले आए थे।

महाराष्ट्र और तमिलनाडु के बाद दिल्ली तीसरा राज्य है जहां संक्रमितों का आंकड़ा एक लाख से अधिक है। महाराष्ट्र में वायरस का आंकड़ा तीन लाख को पार कर गया है।

दिल्ली में नये मामलों की तुलना में मरीजों के ठीक होने की संख्या लगातार बढ़ रही है और सक्रिय मामल़ों की संख्या घटकर 16031 रह गई है।

कोरोना जांच में पिछले कुछ दिनों में आई तेजी से कुल जांच का आंकड़ा आज 8,18,989 पर पहुंच गया। पिछले 24 घंटों में दिल्ली में 20206 जांच की गई। इसमें आरटीपीसीआर जांच 5762 और रैपिड एंटीजेन जांच 14444 थी। दिल्ली में 10 लाख की जनसंख्या पर जांच का औसत 43104 हो गया है।

दिल्ली सरकार के कुल कोरोना बेड की संख्या 15475 हैं जिसमें से 3592 पर मरीज हैं जबकि 11883 खाली हैं।

होम आइशोलेशन में मरीजों की संख्या भी गत दिवस के 9136 से घटकर आज 8819 रह गई।

यूपी में कोरोना के रिकार्ड 2250 मरीज,लखनऊ में 392

कोरोना संक्रमण काल के कठिन दौर का सामना कर रहे उत्तर प्रदेश में नये मरीजों की संख्या में उत्तरोत्तर बढ़ोत्तरी दर्ज की जा रही है। पिछले 24 घंटों में राजधानी लखनऊ में काेरोना के 392 मामले सामने आये जबकि राज्य में यह संख्या 2250 थी।

लखनऊ में कोरोना के बढ़ते मामलों से चिंतित मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शाम सात बजे जिला प्रशासन के अधिकारियों की बैठक तलब की। बैठक में पुलिस कमिश्नर,जिलाधिकारी,नगर आयुक्त और मुख्य चिकित्साधिकारी से विचार विमर्श किया गया।

हरियाणा में कोरोना के 617 नये मामले, कुल संख्या 26164 हुई, 349 मौतें

हरियाणा में कोरोना संक्रमण की स्थिति अब उत्तरोत्तर गम्भीर रूप धारण करती जा रही है। राज्य में आज सायं तक कोरोना के 614 नये मामले आने के बाद राज्य में कोरोना मरीजों की कुल संख्या 26164 पहुंच गई है। वहीं इनमें से 349 लोगों की मौत हो चुकी है और 19793 मरीज स्वस्थ हो चुके हैं। राज्य में कोरोना के सक्रिय मामले अब 6022 हैं।

राज्य के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग के कोरोना की स्थिति को लेकर यहां जारी बुलेटिन में यह जानकारी दी गई। राज्य में काेरोना संक्रमण पॉजिटिव दर 5.94 प्रतिशत, रिकवरी दर 75.65 प्रतिशत जबकि मृत्यु दर 1.33 प्रतिशत है। राज्य के सभी 22 जिले इस समय कोरोना की चपेट में हैं। राज्य में कोरोना मामले अब लगातार बढ़ रहे हैं।

कर्नाटक में कोरोना मामले 64000 के करीब,1240 की मौत

कर्नाटक में पिछले 24 घंटे के दौरान कोरोना वायरस (कोविड-19) के 4120 रिकॉर्ड मामले सामने आने के बाद संक्रमितों की संख्या रविवार को बढ़कर 64000 के करीब पहुंच गयी तथा 91 और लोगों की मौत के साथ ही मृतकों का आंकड़ा 1300 से अधिक हो गया।

आधिकारिक सूत्रों के मुताबिक कर्नाटक में संक्रमितों की संख्या बढ़कर 63772 हो गयी है। इस दौरान 91 और लोगों की मौत के बाद मृतकों का आंकड़ा 1336 हो गया है।

महाराष्ट्र में कोरोना मामले 3.10 लाख के पार,रिकवरी दर 55 फीसदी से घटी

देश में कोरोना वायरस (कोविड-19) से सबसे गंभीर रूप से प्रभावित महाराष्ट्र में दिनों-दिन स्थिति बिगड़ती जा रही है और पिछले 24 घंटों के दौरान 9518 रिकॉर्ड मामले सामने आने के बाद संक्रमितों की संख्या रविवार की रात बढ़कर 3.10 लाख के पार पहुंच गयी लेकिन चिंता की बात यह है कि मरीजों की रिकवरी दर 55 फीसदी से घटकर 54 फीसदी पर आ गयी है।

आधिकारिक सूत्रों के अनुसार राज्य में अब तक 310455 लोग इस महामारी की चपेट में आए हैं। इस दौरान 258 और लोगों की इससे मौत होने से मृतकों की संख्या बढ़कर 11854 हो गयी है। राज्य में इस अवधि में केवल 3906 लोग रोगमुक्त हुए हैं जिसके बाद स्वस्थ होने वालों की कुल संख्या 169569 हो गयी है।

मुंबई में कोरोना मामले 1.01 लाख के पार, रिकवरी दर 70 फीसदी

देश की अर्थव्यवस्था की रीढ़ मानी जाने वाली महाराष्ट्र की राजधानी मुंबई कोरोना वायरस (कोविड-19) से पूरे देश में सबसे भयंकर रूप से प्रभावित है तथा पिछले 24 घंटों के दौरान 1038 नये मामले सामने आने के बाद संक्रमितों की संख्या रविवार को बढ़कर 1.01 लाख से अधिक हो गयी तथा 64 और लोगों की मौत के साथ मृतकों का आंकड़ा 5700 को पार कर गया लेकिन राहत की बात यह है कि मरीजों के स्वस्थ होने की दर 71 फीसदी के करीब पहुंच गयी है।

आधिकारिक सूत्रों के मुताबिक संक्रमितों की संख्या बढ़कर 101388 हो गयी तथा इस दौरान मृतकों का आंकड़ा 5714 पहुंच गया है। इस अवधि में 1193 और मरीजों के रोगमुक्त होने के बाद स्वस्थ लोगों की संख्या बढ़कर 71685 हो गयी है।

तमिलनाडु में कोरोना मामले 1.70 लाख के पार, रिकवरी दर 69 फीसदी

तमिलनाडु में कोरोना वायरस (कोविड-19) का प्रकोप थमने का नाम नहीं ले रहा है और 4979 रिकॉर्ड मामले सामने आने के बाद रविवार को संक्रमितों की संख्या 1.70 लाख के पार पहुंच गयी लेकिन राहत की बात यह है कि स्वस्थ होने वाले लोगों की दर बढ़कर 69 फीसदी पहुंच गयी है।

राज्य में संक्रमित मरीजों के स्वस्थ होने की दर 69.08 फीसदी पहुंच गयी है जो शनिवार को 68.70 फीसदी रही थी। राज्य में संक्रमितों की मृत्यु दर महज 1.45 प्रतिशत है।

आंध्र में कोरोना मामले 50000 के करीब,642 की मौत

आंध्र प्रदेश में पिछले 24 घंटों के दौरान कोरोना वायरस (कोविड-19) के 5041 रिकॉर्ड मामले सामने आने के बाद रविवार को संक्रमितों की संख्या 50000 के करीब पहुंच गयी तथा 56 और लोगों की मौत के साथ ही मृतकों का आंकड़ा 642 पहुंच गया।

आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि राज्य में संक्रमितों की कुल संख्या 49650 हो गयी है। इस दौरान 1127 और लोगों के स्वस्थ होने के बाद रोगमुक्त लोगों की संख्या बढ़कर 22890 हो गयी है।

राजस्थान में कोरोना के 934 मामले सामने आने से आंकड़ा 29 हजार के पार

राजस्थान में रविवार को अब तक के सबसे अधिक 934 नये संक्रमित मिलने के बाद संक्रमितों का आंकड़ा 29 हजार 434 पर पहुंच गया, जबकि छह मरीजों के मौत के बाद मृतकों की संख्या बढ़कर 559 हो गयी।
चिकित्सा विभाग की रात में जारी रिपोर्ट के अनुसार जोधपुर कोराेना का प्रमुख केंद्र बनकर उभर रहा है।

मध्यप्रदेश में कोरोना के 837 नए मामले सामने आने के साथ संक्रमितों की 22600 हुई ,721 की मौत,एक्टिव मरीजों की संख्या 6568 रह गई attacknews.in

भोपाल, 19 जुलाई ।मध्यप्रदेश में कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों के बीच आज 837 नए मामले सामने आए और कोरोना संक्रमितों की कुल संख्या 22600 हो गयी है। इसके साथ ही उपचाररत मरीजों (एक्टिव केस) की संख्या 6568 हो गयी है।

राज्य के स्वास्थ्य संचालनालय की ओर से आज रात जारी बुलेटिन के अनुसार राज्य में कुल 15986 सैंपल की जांच में 837 सैंपल पॉजीटिव पाए गए और कुल संक्रमितों की संख्या 22600 हो गयी। हालाकि इनमें से अभी तक 15311 व्यक्ति स्वस्थ हो चुके हैं। आज स्वस्थ होने वाले 447 व्यक्ति हैं, जो नए मिले प्रकरणों की तुलना में लगभग आधे हैं।अब तक कोरोना के कारण 721 मरीजों की मौत हो चुकी है ।

हरदा में कोरोना संक्रमितों की संख्या 133 हुयी

हरदा जिले में 13 नए कोरोना संक्रमित मिलने के बाद कोरोना संक्रमितों का आंकड़ा 133 पर पहुंच गया है।
जिले के मुख्य चिकित्सा और स्वास्थ्य अधिकारी डॉ किशोर कुमार नागवंशी ने कल रात की स्थिति के अनुरूप यह जानकारी दी।

उन्होंने बताया कि हरदा जिले में वर्तमान में कोरोना संक्रमण के सक्रिय मरीज़ों की संख्या 62 है, जिनका उपचार किया जा रहा है। 66 मरीज़ स्वस्थ होकर डिस्चार्ज हो चुके हैं, वहीं इनमें से पांच मरीज़ों की मृत्यु हो चुकी हैं।

नीमच जिले में अब कम हो रही संक्रमितों की संख्या

नीमच जिले में चार व्यक्तियों की कोरोना संबंधी रिपोर्ट पॉजीटथ्व आयी है, जिसके चलते कुल संख्या 537 हो गयी है।

आधिकारिक सूत्रों के अनुसार कल रात चार लोगों की रिपोर्ट पॉजीटिव आयी, जिनमें से दो नीचम और दो मनासा निवासी है। जिले में अब तक कोरोना संक्रमितों की संख्या 537 हो गई है, जबकि 10 व्यक्तियों की मृत्यु हो चुकी है। जिले में कुल संक्रमितों में से 468 व्यक्ति स्वस्थ होकर अपने घर लौटे गए हैं और 59 व्यक्तियों का उपचार जारी है।

पन्ना में मात्र नौ एक्टिव केस

पन्ना जिले में सात नए कोरोना संक्रमित मरीज मिलने के बाद इनकी संख्या बढ़कर 67 हो गई है।

आधिकारिक सूत्रों के अनुसार कल रात 210 जांच रिपोर्ट में से सात नए संक्रमित मिले। अब तक 58 मरीज स्वस्थ होकर घर जा चुके हैं। इस तरह नौ मरीजों का कोविड केयर सेंटर में इलाज चल रहा है। प्रशासन लोगों से कोरोना संक्रमण रोकने के लिए सभी आवश्यक उपाय अपनाने का अनुरोध कर रहा है।

इंदौर में कोरोना संक्रमण के 129 नये मामले, एक्टिव केस 1505 हुए

मध्यप्रदेश के इंदौर जिले में कोरोना संक्रमण के 129 नये मामले आने के बाद संक्रमितों की संख्या 6035 तक जा पहुंची है। हालाकि राहत की खबर है कि अब तक 4238 संक्रमित रोगी स्वस्थ होकर घर जा चुके हैं, जिसके बाद अस्पताल में उपचाररत रोगियों (एक्टिव केस) की संख्या 1505 है।

मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ प्रवीण जड़िया की ओर से कल रात जारी बुलेटिन के अनुसार अब तक एक लाख अठारह हजार चार सौ सत्तावन सैंपल की जांच की गयी है, जिनमें से 6035 संक्रमित मिले हैं। कल 1957 सैम्पल की जांच में 129 संक्रमित रोगी मिले।

डॉ जड़िया ने बताया कि कल चार मौत दर्ज की गयी हैं, जिसमें से तीन मौत अप्रैल माह और एक 16 जुलाई की है। इसके बाद मृतकों की कुल संख्या 292 जा पहुंची है।

इस बीच कल 63 संक्रमित रोगियों को स्वस्थ होने पर विभिन्न कोविड केयर अस्पतालों से छुट्टी दिये जाने के बाद अब तक कुल 4238 रोगियों को छुट्टी दी जा चुकी है। वहीं संस्थागत क्वारेंटाइन केंद्रों से भी नौ संदेहियों को स्वस्थ पाये जाने पर छुट्टी दिये जाने के बाद अब तक कुल 4869 लोगों को छुट्टी दी जा चुकी है।

भोपाल में 149 नए कोरोना संक्रमित, कुल संख्या 4370 हुयी

भोपाल जिले में आज सुबह कोरोना संक्रमण के 149 नए मामले आने के बाद कोरोना संक्रमितों की संख्या बढ़कर 4370 हो गयी है।

मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी कार्यालय की ओर से बताया गया है कि जिले में कल रात तक कोरोना संक्रमितों की संख्या 4221 थी। सुबह 149 कोरोना संक्रमित मिलने के बाद इनकी संख्या 4370 हो गयी है।

इस बीच आज सुबह यहां चिरायु अस्पताल से 35 व्यक्ति कोरोना संक्रमण से मुक्त होकर अपने घर रवाना हो गए। भोपाल में अब तक लगभग 2950 व्यक्ति कोरोना संक्रमण को मात दे चुके हैं। शेष लगभग 1200 लोगों का अस्पताल, क्वारेंटाइन सेंटर और होम आइसोलेशन में इलाज चल रहा है।

भोपाल में इंदौर के बाद सबसे अधिक कोरोना संक्रमण के मामले सामने आए हैं। पिछले 20 दिनों से यहां पर कोरोना संक्रमण की रफ्तार तेजी से बढ़ी है। यही वजह है कि आज पूरे शहर में पूर्ण लॉकडाउन लागू किया गया है। हालाकि आपातकालीन सेवाओं को इससे मुक्त रखा गया है।

सीहोर में तीन नए प्रकरण, एक की मौत

सीहोर जिले में कोरोना संक्रमण के तीन नए मामले सामने आने के बाद संक्रमितों की संख्या 105 हो गयी है।

आधिकारिक सूत्रों के अनुसार राजधानी भोपाल से सटे सीहोर जिले में कल रात एक कोरोना संक्रमित की मौत भी दर्ज की गयी है। अब तक कुल पांच लोग जिले में गंवा चुके हैं। मौत श्यामपुर क्षेत्र निवासी व्यक्ति की हुयी है। जबकि तीन नए प्रकरण सीहोर जिला मुख्यालय पर मिले हैं।

रीवा में मिले चार कोरोना संक्रमित

रीवा जिले में आज कोरोना के चार नए मामले सामने आने के बाद कुल संक्रमितों की संख्या बढ़कर 143 तक पहुंच गयी।

आधिकारिक जानकारी के अनुसार आज प्राप्त रिपोर्ट में चार नए लोगों में कोरोना संक्रमण पाया गया है। इसी के साथ जिले में कुल संक्रमितों की संख्या बढ़कर अब 143 तक पहुंच गयी है। इनमें 67 मरीजों के स्वस्थ होने जाने के बाद वर्तमान में 75 मरीजों का यहां के कोविड सेंटर में इलाज चल रहा है।

जबलपुर में एक कोरोना मरीज की मौत

जबलपुर में आज एक कोरोना संक्रमित मरीज की अस्पताल में उपचार के दौरान मौत हो गई।

नेताजी सुभाषचंद बोस चिकित्सा महाविद्यालय की ओर से जारी बुलेटिन के अनुसार कोरोना संक्रमित एक बुर्जुग व्यक्ति की सुबह में उपचार के दौरान मौत हो गई। कल कोरोना संक्रमित पाए जाने पर इस व्यक्ति को भर्ती किया गया था। इस व्यक्ति में कोरोना संक्रमण के लक्षण के अलावा अन्य प्रकार की बीमारियां थी।

सीहोर में छह व्यक्तियों की रिपोर्ट कोरोना पॉजिटिव

सीहोर जिले में आज छह व्यक्तियों की कोरोना जांच रिपोर्ट पॉजीटिव प्राप्त हुई है।

मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ सुधीर डेहरिया ने बताया कि तीन लोगों की रिपोर्ट कल देर रात को ट्रूनेट मशीन सीहोर से पॉजीटिव आई जबकि तीन लोगों की रिपोर्ट आज भोपाल से पॉजीटिव प्राप्त हुई। कोरोना संक्रमितों में सीहोर के भोपाल नाका, दांगी कॉलोनी, चाण्क्यपुरी, दुर्गा कॉलोनी का एक-एक व्यक्ति तथा आष्टा के किला मोहल्ले से एक व्यक्ति और ग्राम मानाखेड़ी का एक व्यक्ति शामिल हैं। संक्रमितों में सभी पुरुष है। सभी को उपचार के लिए कोविड केयर सेंटर सीहोर में भर्ती किया गया है।

नरसिंहपुर जिले में आठ नए कोरोना संक्रमित मिले

नरसिंहपुर जिले में हर दिन नए संक्रमण केस सामने आने पर कलेक्टर वेदप्रकाश दने जिले की सीमाओं पर फिर से चेक पोस्ट को सक्रिय कर दिया है। यहाँ आज आठ लोग कोरोना संक्रमित मिले हैं।

जिला प्रशासन से मिली जानकारी के अनुसार जिले की सीमा मेें प्रवेश करने वाले का नाम दर्ज किया जाएगा और चेक पोस्ट पर स्वास्थ्य टीम के सदस्य आने वाले व्यक्ति का परीक्षण करेगें। चार दिन से लगातार जिले में पाॅजिटिव केस सामने आ रहे हैं। आज शाम के समय आई रिपोर्ट में आठ नए केस सामने आने से एक्टिव केसों की संख्या बढ़कर 61 को गई है। अन्य जिलों से आने वाले सडक मार्ग पर चेक पोस्ट बना कर वहां पर पुलिस, राजस्व विभाग के सदस्य और स्वास्थ्य कर्मचारी तैनात किए जा रहे हैं।

शिवपुरी में आठ नए कोरोना संक्रमितों के मिलने के साथ कुल संख्या हुई 235

शिवपुरी सहित जिले में आज आठ लोगों की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद कुल पॉजिटिव मरीजों की संख्या बढ़कर 235 हो गई है।

मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी कार्यालय से प्राप्त जानकारी के अनुसार आज आठ लोगों की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। इसमें सात शिवपुरी शहर के विभिन्न इलाकों के हैं और एक मरीज जिले के खोड क्षेत्र का है। यहाँ कुल पॉजिटिव मरीजों की संख्या 235 हो गई है। अभी तक 124 मरीज स्वस्थ हो चुके हैं।

सागर में मिले 10 कोरोना पाॅजिटिव

सागर जिले में आज 10 लोगों की कोरोना जॉंच रिपोर्ट पॉजिटिव मिली है।

यहाँ के बुंदेलखंड मेडिकल कॉलेज से आज 10 लोगों की कोरोना जॉंच रिपोर्ट पॉजिटिव प्राप्त हुई है। जिले में आज तक 521 कोरोना मरीज मिल चुके है जबकि 400 मरीज स्वस्थ होकर घर पहुँच चुके हैं।

भिण्ड में आज छह कोरोना पाॅजिटिव मिले

भिण्ड जिले में आज छह कोरोना पाॅजिटिव मिले हैं।
जिला प्रशासन से प्राप्त जानकारी के अनुसार आज जिले में छह कोरोना पाॅजिटिव मिले हैं। अब कोरोना पाॅजिटिवों की संख्या 419 हो गई है। इसमें 335 ठीक होकर घर चले गए है जबकि 84 का भिण्ड कोरोना सेंटर में इलाज चल रहा है।

भारत में कोरोना संक्रमित मरीजों की मृत्युदर घटी,विश्व में सबसे कम मृत्युदर वाला देश बना “India”, क्लिनिकल प्रबंधन के कारण संभव हुआ attacknews.in

नयी दिल्ली, 19 जुलाई । केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने रविवार को कहा कि भारत में कोविड-19 के मामलों में मृत्यु दर क्रमश: घट रही है और इसका श्रेय अस्पतालों में भर्ती मरीजों के बेहतर क्लीनिकल प्रबंधन को जाता है।

मंत्रालय ने कहा कि भारत, दुनिया में कोविड-19 के मरीजों की सबसे कम मृत्यु दर वाले देशों में एक है।

मंत्रालय ने कहा कि ऐसे 29 राज्य एवं केंद्र शासित प्रदेश हैं, जहां मामला मृत्यु दर (सीएफआर) देश के औसत से कम है। पांच राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों में सीएफआर शून्य है और 14 में मृत्यु दर एक प्रतिशत से कम है।

स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि अस्पतालों में भर्ती मरीजों के कारगर क्लीनिकल प्रबंधन पर केंद्र सरकार और राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों की सजग कोशिशों के कारण भारत का सीएफआर 2.5 प्रतिशत से नीचे आया है।

मंत्रालय ने कहा कि मामलों को बढ़ने से रोकने की कारगर नीति, तत्परता से जांच करना और देखभाल की समग्र मानक पर आधारित बेहतरीन क्लीनिकल प्रबंधन प्रोटोकॉल ने सीएफआर में कमी लाई है।

मंत्रालय ने कहा, ‘‘सीएफआर क्रमश: घट रही है, यह 2.49 प्रतिशत है। भारत, दुनिया में कोविड-19 से सबसे कम मृत्यु दर वाले देशों में एक है। ’’

एक महीने पहले यह दर 2.82 प्रतिशत थी, जो 10 जुलाई को घट कर 2.72 हो गई तथा इसके बाद यह घट कर वर्तमान में 2.49 प्रतिशत हो गई है।

मंत्रालय ने कहा कि केंद्र के दिशानिर्देशों के तहत राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों की सरकारों ने जांच को तेजी से बढ़ाया तथा सार्वजनिक एवं निजी क्षेत्र की कोशिशों को एकजुट कर अस्पतालों का बुनियादी ढांचा बढ़ाया।

कई राज्यों ने बुजुर्ग, गर्भवती महिलाएं और पहले से किसी बीमारी से पीड़ित लोगों का पता लगाने के लिये आबादी का सर्वेक्षण किया।

मंत्रालय ने कहा कि मोबाइल ऐप जैसी प्रौद्योगिकी ने इसमें मदद की। इसने अधिक जोखिम ग्रस्त आबादी को निरंतर निगरानी में रखे जाने को सुनिश्चित किया। इस तरह, समय रहते रोग का पता लगाने, समय पर उपचार मुहैया करने और मृत्यु दर कम करने में मदद मिली।

मंत्रालय ने कहा, ‘‘जमीनी स्तर पर आशा और एएनएम (सहायक स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं) जैसे अग्रिम मोर्चे पर सेवा देने वाले स्वास्थ्य कर्मियों ने प्रवासी लोगों के प्रबंधन में सराहनीय योगदान दिया तथा समुदाय स्तर पर जागरूकता बढ़ाई। ’’

मणिपुर, नगालैंड, सिक्किम, मिजोरम, अंडमान एवं निकोबार द्वीप समूह में सीएफआर शून्य है।

जिन राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों में सीएफआर राष्ट्रीय औसत से कम है उनमें त्रिपुरा (0.19 प्रतिशत),  असम (0.23), केरल (0.34), ओडिशा (0.51), गोवा (0.60), हिमाचल प्रदेश (0.75), बिहार (0.83), तेलंगाना (0.93), आंध्र प्रदेश (1.31), तमिलनाडु (1.45), चंडीगढ़ (1.71), राजस्थान (1.94), कर्नाटक (2.08) और उत्तर प्रदेश (2.36) शामिल हैं।

भारत में एक दिन में कोविड-19 के सर्वाधिक 38,902 मामले आने के साथ ही रविवार को संक्रमण के कुल मामलों की संख्या बढ़ कर 10,77,618 हो गई, जबकि इस रोग से उबरने वाले लोगों की कुल संख्या 6,77,422 हो गई है।

स्वास्थ्य मंत्रालय के सुबह आठ बजे तक जारी आंकड़ों के अनुसार एक दिन में इस रोग से 543 लोगों की मौत के साथ मृतकों की संख्या 26,816 हो गई। पिछले 24 घंटों में 23,672 मरीज इस रोग से उबरे हैं, जो अब तक की सर्वाधिक संख्या है।

स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि दुनिया में कोविड-19 से सबसे अधिक प्रभावित 11 देशों अमेरिका, ब्राजील, रूस, पेरू, चिली, मेक्सिको, दक्षिण अफ्रीका, ब्रिटेन, ईरान, पाकिस्तान, स्पेन में कुल मिलाकर भारत से आठ गुना अधिक मामले हैं और 14 गुना अधिक मौतें हुई हैं।

देश में अब भी 3,73,379 लोग संक्रमित हैं। संक्रमितों की कुल संख्या में विदेशी नागरिक भी शामिल हैं।

यह लगातार चौथा दिन है, जब कोरोना वायरस के एक दिन में 30,000 से अधिक मामले सामने आए हैं।

राजस्थान में विपक्ष के नेता ने अशोक गहलोत सरकार को दिया झटका; बहुमत में है या नहीं, निर्णय सदन में शक्ति परीक्षण से ही होगा attacknews.in

जयपुर, 19 जुलाई ।राजस्थान विधानसभा में प्रतिपक्ष के नेता गुलाबचंद कटारिया ने रविवार को कहा कि सरकार बहुमत में है या नहीं, इसका निर्णय सदन में शक्ति परीक्षण से ही होगा।

उन्होंने कहा कि राज्यपाल और मुख्यमंत्री के बीच शनिवार को हुई वार्ता पर केवल कयास लगाए जा सकते हैं। मुख्यमंत्री ने सरकार को समर्थन दे रहे विधायकों की सूची दी होगी अथवा राज्य में चल रहे राजनीतिक संकट के समाधान के बारे में चर्चा की होगी।

कटारिया ने कहा कि जो भी हो, लेकिन सच्चाई यह है कि केवल सदन में शक्ति परीक्षण से ही यह तय होगा कि सरकार बहुमत में है या नहीं।

उन्होंने आगे कहा कि जिस तरह से फोन टैपिंग हो रही है, वह एक सामान्य नागरिक के अधिकारों पर हमला है और सारी सरकार सब काम छोड़कर केवल होटल में बंद होकर बैठी है।

कटारिया ने कहा कि प्रदेश में राष्ट्रपति शासन लगे, भाजपा का ऐसा कोई विचार नहीं है। अभी कल के फैसले के बाद आगे क्या स्थिति बनती है, कांग्रेस में जो दो गुट हुए हैं, उसके बाद क्या होता है, क्या नहीं, यह पता चलने के बाद ही कुछ विचार किया जाएगा।

उन्होंने कहा कि 19 विधायकों की योग्यता के निर्णय के बाद यदि सरकार शक्ति परीक्षण के लिए राज्यपाल से आग्रह करती है तो वह इसपर विचार कर सकते हैं।

सदन में प्रतिपक्ष के उपनेता राजेन्द्र राठौड़ ने कहा कि जनता द्वारा नकारे जाने और दिल्ली विधानसभा का चुनाव हारने के बाद राजस्थान में चल रहे राजनीतिक ड्रामे में कांग्रेस नेता अजय माकन को नई नियुक्ति दी गई है।

उन्होंने कहा कि जो ऑडियो मुख्यमंत्री निवास से उनके विशेषाधिकारी ने जारी किया है, उससे सवाल उठता है कि किस अधिकार से जनप्रतिनिधियों के टेलीफोन टैप हुए।

राठौड़ ने कहा कि सारे कानून कायदों को ताक पर रखकर राज्य सरकार ने यह बेजा हरकत की है। कांग्रेस के नेताओं को भाजपा की मांग को पूरा करना चाहिए।

उन्होंने कहा यदि वह चाहे तो इसकी जांच सीबीआई को सौंपी जा सकती है।

भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनियां ने कहा कि राज्य में अस्थिरता भी है, संवैधानिक संकट भी है…क्या होगा, यह भविष्य के गर्भ में है लेकिन आपातकाल जैसी परिस्थितयां राजस्थान की सरकार ने निश्चित रूप से पैदा कर दी हैं।

पूनियां ने कहा कि विधानसभा सत्र आवश्यकता के अनुसार बुलाया जा सकता है। राज्यपाल को संवैधानिक अधिकार हैं लेकिन सामान्य तौर पर 21 दिन का नोटिस दिया जाता है। परिस्थितयां क्या बनती हैं, सब इसी पर निर्भर करेगा।

उन्होंने कहा कि गहलोत खेमे में कुछ लोगों को निर्दलीय विधायकों, क्षेत्रीय पार्टी के विधायकों को जबरन रोककर रखा गया है और उन्हें नहीं लगता है कि सरकार के पास बहुमत है, इसलिए सरकार भयभीत भी है।

भाजपा राजस्थान सरकार गिराने की कर रही है साजिश-माकन

इधर जयपुर में कांग्रेस नेता अजय माकन ने भारतीय जनता पार्टी पर राजस्थान सरकार को गिराने की सजिश करने का आरोप लगाते हुए कहा है कि उसका राज्य में चुनी हुई कांग्रेस सरकार को गिराने की साजिश एवं षड़यंत्र का चेहरा आए दिन बेनकाब हो रहा है।

श्री माकन ने आज यहां प्रेस कांफ्रेस में कहा कि भाजपाई साजिश की परतें दिन प्रतिदिन खुल रही हैं। विधायकों की निष्ठा खरीदने और लोकतंत्र को धूमिल करने का कुकृत्य एक राजनीतिक कलंक के तौर पर षडयंत्रकारियों के माथे पर लिखा साफ नज़र आ रहा है। राजस्थान की आठ करोड़ जनता इस साजिश को कभी माफ नहीं करेगी। जिस प्रकार से कांग्रेस के विधायकों को भाजपा की हरियाणा सरकार की मेहमाननवाज़ी में मानेसर, गुड़गांवा के होटल एवं रिसॉर्ट में रखा गया, यह अपने आप में भाजपाई सांठगांठ को साबित करता है।

बीमा कंपनियों द्वारा कोरोना कवच बीमा पॉलिसी लाने के बाद स्वास्थ्य बीमा करवाने वालों की बढती जा रही है संख्या और यह पाॅलिसी हो रही है लोकप्रिय attacknews.in

नयी दिल्ली, 19 जुलाई । कोरोना कवच स्वास्थ्य बीमा पालिसी बाजार में आने के साथ ही बेहद लोकप्रिय हो गयी है। कोविड-19 महामारी के फैलाव को देखते हुए करीब सभी साधारण और स्वास्थ्य बीमा कंपनियों ने कोरोना वायरस संक्रमण के लिए यह उत्पाद दस जुलाई से पेश करना शुरू किया है। इसका उद्येश्य है कि लोग इस महामारी के इलाज के लिए मुनासिब दर पर एक स्वास्थ्य बीमा संरक्षण ले सकें।

इसमें साढ़े तीन महीने से साढ़े नौ महीने के लिए पालिसी बेची जा रही है। इसमें बीमित व्यक्ति के चिकित्सा खर्च की अधिकतम राशि पांच लाख रुपये रखी गयी है। बीमा विनियामक इरडाई ने इसके लिए कंपनियों को मंजूरी दी है।

पालिसी बाजार के स्वास्थ्य बीमा कारोबार के प्रमुख अमुत छाबड़ा ने कहा, ‘इसके लिए बहुत अच्छा समर्थन मिला है, क्योंकि लोग इस योजना को खरीदने के इच्छुक है।’

उन्होंने बताया कि पालिसी बाजार की वेबसाइट पर कंपनियां हर रोज 300 से 500 तक यह पालिसी बेच रही हैं। यह पालिसी ज्यादातर युवा लोग ले रहे है।

उन्होंने कहा कि यह पालिसी काफी मुनासिब दर पर है। इसे मासिक 208 रुपये तक के न्यूनतम प्रीमियम पर लिया जा सकता है, जो बेहद सस्ता है।

महाराष्ट्र, तमिलनाडु, कर्नाटक और दिल्ली एनसीआर के लोगों ने इसमें अधिक रुचि दिखायी है।

एसबीआई जनरल इंश्योरेंस कंपनी के अंडरराइटिंग एवं पुनर्बीमा कारोबार के प्रमुख सुब्रमणियम ब्रह्मजोसियुला ने कहा कि इसमें फेमिली फ्लोटर और पांच लाख के बीमा पर 2500 रुपये रोज के हॉस्पिटल डेली कैश जैसे विकल्प भी दिए गए हैं, जो इसे अधिक आकर्षक बना रहे हैं।

इफको टोक्यो जनरल इंश्योरेंस के कार्यकारी उपाध्यक्ष (अंडरराइटिंग) सुब्रत मंडल ने भी कहा कि कोविड-19 को लेकर यह उत्पाद जारी हुए अभी एक सप्ताह ही हुए हैं और लोग काफी आकर्षित हुए है।

कोरोना कवच को व्यक्ति स्वयं के लिए और अपने जीवनसाथी, माता पिता , सास-स्वसुर और 25 साल से कम उम्र के आश्रित बच्चों के लिए खरीद सकता है।

अमेरिका के राष्ट्रपति चुनाव में कई राज्यों में बड़ा अंतर पैदा कर सकते हैं भारतीय-अमेरिकी मतदाता और किसी की भी हार-जीत में निर्णायक भूमिका निभा सकते हैं attacknews.in

वाशिंगटन, 19 जुलाई ।अमेरिका की डेमोक्रेटिक पार्टी के एक शीर्ष नेता ने कहा है कि तीन नवंबर को देश में होने वाले राष्ट्रपति पद के चुनाव में कई राज्यों में भारतीय-अमेरिकी ‘‘बड़ा अंतर पैदा करने वाले’’ मतदाता साबित हो सकते हैं।

देश में राष्ट्रपति पद के चुनाव के लिए करीब 100 दिन शेष हैं। ऐसे में रिपब्लिकन और डेमोक्रेटिक पार्टी के नेता मिशिगन, पेंसिल्वेनिया और विस्कॉन्सिन जैसे कई अहम राज्यों में प्रभावशाली भारतीय-अमेरिकी समुदाय को लुभाने की कोशिश कर रहे हैं।

डेमोक्रेटिक नेशनल कमेटी के अध्यक्ष थॉमस पेरेज ने कहा कि मिशिगन में 1,25,000 भारतीय-अमेरिकी मतदाता हैं।

उन्होंने राष्ट्रपति पद के पिछले चुनाव में डेमोक्रेटिक पार्टी की उम्मीदवार हिलेरी क्लिंटन की रिपब्लिकन पार्टी के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रम्प के हाथों हार का जिक्र करते हुए कहा, ‘‘हम 2016 में मिशिगन में 10,700 मतों से हारे थे।’’

उन्होंने कहा, ‘‘पेंसिल्वेनिया में 1,56,000 (भारतीय-अमेरिकी मतदाता) हैं। हम पेंसिल्वेनिया में 42,000 मतों से हारे थे। विस्कॉन्सिन में 37,000 (भारतीय-अमेरिकी) हैं। हम 2016 में विस्कॉन्सिन में 21,000 (मतों) से हारे थे।’’

पेरेज ने ‘एशियन अमेरिकन एंड पैसिफिक आइलैंडर्स’ (एएपीआई), ‘इंडियन-अमेरिकन इम्पैक्ट फंड’ और ‘साउथ एशियंस फॉर बाइडेन’ द्वारा आयोजित एक डिजिटल बैठक में कहा, ‘‘भारतीय-अमेरिकी मत, या और वृहद तौर पर देखें, तो एएपीआई के मत (2020 राष्ट्रपति पद के चुनाव में) बड़ा अंतर पैदा कर सकते हैं।’’

उन्होंने कहा, ‘‘मैंने जिन तीन राज्यों का जिक्र किया, उन्हीं के बारे में सोचिए। केवल भारतीय-अमेरिकी मत आगे बढ़ने के लिए बड़ा अंतर पैदा कर सकते हैं।’’

‘एएपीआई विक्टरी फंड’ के अध्यक्ष शेखर नरसिम्हन ने बताया कि एरिज़ोना (66,000), फ्लोरिडा (193,000), जॉर्जिया (150,000), मिशिगन (125,000), उत्तरी कैरोलिना (111,000), पेंसिल्वेनिया (156,000), टेक्सास (475,000) और विस्कॉन्सिन (37,000) में करीब 13 लाख भारतीय अमेरिकी मतदाता हैं।

उन्होंने बताया कि पार्टी 75 से 80 प्रतिशत भारतीय अमेरिकी मतदाताओं के मत हासिल करने की आकांक्षा रख सकती है।

बाइडेन चुनाव प्रचार मुहिम के लिए एएपीआई के राष्ट्रीय निदेशक अमित जानी ने कहा कि भारतीय अमेरिकी समुदाय का आकार और प्रभाव बढ़ा है। अब भारतीय-अमेरिकी बड़ी संख्या में राजनीति और सरकार का हिस्सा बन रहे है।

जानी ने कहा, ‘‘नवंबर में राष्ट्रपति पद का चुनाव ऐतिहासिक होगा और हमें अंतर पैदा करने के लिए भारतीय-अमेरिकी समुदाय के सहयोग की बहुत आवश्यकता है।’’

इससे पहले ‘ट्रम्प विक्टरी इंडियन अमेरिकन फाइनेंस कमेटी’ के सह अध्यक्ष अल मैसन ने एक साक्षात्कार में कहा था, ‘‘वे (भारतीय अमेरिकी) पहली बार बड़ा अंतर पैदा करेंगे।’’

मैसन ने आंकड़ों के गुरु कहे जाने वाले कार्तिक रामाकृष्णन के हवाले से कहा कि 2016 में हिलेरी क्लिंटन के लिए मतदान करने वाले 77 प्रतिशत भारतीय-अमेरिकी 2020 में ऐसा नहीं करेंगे।

उन्होंने दावा किया कि डेमोक्रेटिक पार्टी को मतदान देने वाले 50 प्रतिशत लोग इस बार ट्रम्प के लिए मतदान करेंगे।

अमेरिकी राष्ट्रपति बनने पर बाइडेन भारत को यूएनएसी का स्थायी सदस्य बनने में मदद करेंगे: वर्मा

इधर भारत में अमेरिका के पूर्व राजदूत रिचर्ड वर्मा ने शनिवार को कहा कि डेमोक्रेट पार्टी के राष्ट्रपति पद के संभावित उम्मीदवार जो बाइडेन अगर नवंबर में होने वाले चुनाव जीत जाते हैं तो वह संयुक्त राष्ट्र जैसी अंतरराष्ट्रीय संस्थाओं को नया रूप देने में मदद करेंगे ताकि भारत को सुरक्षा परिषद में स्थायी सीट मिल सके।

भारत लंबे समय से संयुक्त राष्ट्र तथा सुरक्षा परिषद में कई तरह के सुधार किए जाने पर जोर दे रहा है। उसका कहना है कि इसका स्वरूप वर्तमान वास्तविकताओं को नहीं दर्शाता है और ना ही उसका उचित प्रतिनिधित्व करता है।

वर्मा ने कहा, ‘‘ इसमें कोई संदेह नहीं है कि उनके (बाइडेन के) नेतृत्व में, वह संयुक्त राष्ट्र जैसी अंतरराष्ट्रीय संस्थाओं को नया रूप देने में मदद करेंगे ताकि भारत संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद का स्थायी सदस्य बन सकें। वह एक प्रमुख रक्षा भागीदार के रूप में भी भारत की स्थिति भी मजबूत करेंगे।’’ अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस,रूस और चीन इसके पांच स्थायी सदस्य हैं। इलमें केवल चीन ही भारत को यूएनएससी का स्थायी सदस्य बनाने का विरोध करता है।

उन्होंने कहा, ‘‘ वह (बाइडेन) हमारे नागरिकों को सुरक्षित रखने के लिए भारत के साथ मिलकर काम करेंगे। इसका मतलब है कि सीमा पार आतंकवाद के मामले में और जब उसके (भारत के) पड़ोसी यथास्थिति बदलने की कोशिश करेंगे तो वह भारत के साथ खड़े रहेंगे।’’

भारत के कई हिस्सों में भारी बारिश का अलर्ट,देश में अब तक छह फीसद अधिक वर्षा हुई, उत्तर भारत में कम बारिश,दिल्ली में बारिश के बाद जलभराव,कई झुग्गियां ढहीं,बिहार में वज्रपात से 12 लोगों की मौत attacknews.in

नईदिल्ली/पुणे 19 जुलाई ।पश्चिम बंगाल और सिक्किम समेत देश के कई हिस्सों में अगले 24 घंटों के दौरान कई इलाकों में भारी बारिश होने के आसार हैं।

मौसम विभाग ने रविवार को मौसम पूर्वानुमान जारी कर यह चेतावनी दी। विभाग ने कहा कि अरुणाचल प्रदेश,बिहार, असम और मेघालय के विभ्भिन इलाकों में इस दौरान अत्यधिक और कई हिस्सों लगातार मूसलाधार बारिश होने की आशंका है। साथ ही हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब, हरियाणा, चंडीगढ़, दिल्ली, उत्तर प्रदेश और तटीय कर्नाटक में अलग-अलग क्षेत्रों में भारी वर्षा की संभावना है।

मानसून: देश में अब तक छह फीसद अधिक वर्षा हुई, उत्तर भारत में कम बारिश

देश में मौजूदा मानसून में अब तक सामान्य से छह फीसद अधिक वर्षा हुई है लेकिन उत्तर भारत में कम बारिश हुई है।

भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने रविवार को यह जानकारी दी।

विभाग के मौसम विज्ञान संबंधी चार संभाग हैं तथा दक्षिण प्रायद्वीप, मध्य भारत, पूर्व और पूर्वोत्तर भारत संभागों में सामान्य से अधिक वर्षा हुई।

आईएमडी के अनुसार लेकिन उत्तर-पश्चिम भारत में अब तक 19 फीसद कम वर्षा हुई है। इस संभाग में जम्मू कश्मीर, लद्दाख, उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश, उत्तर प्रदेश, हरियाणा, पंजाब, दिल्ली और राजस्थान आते हैं।

विभाग ने बताया कि रविवार तक हिमाचल प्रदेश, राजस्थान, जम्मू कश्मीर में कम वर्षा दर्ज की गयी। लद्दाख में तो बहुत कम वर्षा हुई है।

आईएमडी के अनुसार मानसून निर्धारित समय एक जून को केरल पहुंचा था और देश में चार महीने की बारिश का सीजन का प्रारंभ हुआ था। भारत में मानसून के सामान्य रहने की संभावना है।

जून में जारी 2020 के मानसून के अद्यतन अनुमान में आईएमडी ने उत्तर पश्चिम भारत के दीर्घावधि औसत (एलपीए) की 107 फीसद बारिश होने का अनुमान प्रकट किया था जो ‘सामान्य से अधिक’ की श्रेणी में आती है।

लेकिन उत्तर पश्चिम भारत में मानसून कमजोर रहा है।

आईएमडी के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने कहा,‘‘ उत्तर-पश्चिम भारत में पर्याप्त वर्षा नहीं हुई है। लेकिन अब भी हमारे पास दो और महीने हैं।’’

विभाग ने 18 से 20 जुलाई तक उत्तर पश्चिम भारत में वर्षा का अनुमान लगाया है।

महापात्र का कहना है कि उम्मीद है कि जम्मू कश्मीर, लद्दाख, हिमाचल प्रदेश, दिल्ली, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में अच्छी वर्षा होगी।

दक्षिण प्रायद्वीप में सामान्य से 17 फीसद अधिक वर्षा हुई है जिसमें तमिलनाड, पुडुचेरी, केरल, कर्नाटक, आंध्र प्रदेश और तेलंगाना आते हैं। मध्य भारत में 12 फीसदी अधिक वर्षा हुई है। पूर्व और पूर्वोत्तर भारत में सामान्य से 10 फीसदी अधिक वर्षा हुई है।

उत्तरप्रदेश में जल्द ही जोर पकड़ेगा मानसून, होगी अच्छी बारिश

उत्तर प्रदेश के ज्यादातर हिस्सों में पिछले करीब 10 दिनों से रूठा मानसून जल्द ही जोर पकड़ेगा। मंगलवार से राज्य के अधिकतर इलाकों में बारिश होने की प्रबल सम्भावना है।

आंचलिक मौसम केन्द्र की रिपोर्ट के मुताबिक पिछले 24 घंटों के दौरान प्रदेश में कुछ स्थानों पर बारिश हुई अथवा गरज—चमक के साथ छींटे पड़े। हालांकि चंद जगहों पर भारी वर्षा भी हुई।

इस दौरान कतर्नियाघाट और कैसरगंज (दोनों बहराइच) में सबसे ज्यादा 12—12 सेंटीमीटर वर्षा रिकॉर्ड की गयी। इसके अलावा जौनपुर में आठ, मिश्रिख (सीतापुर), शाहजहांपुर और बिलारी (मुरादाबाद) में सात—सात, एल्गिनब्रिज (बाराबंकी) में छह, हाटा (कुशीनगर), गोरखपुर और नकुड़ (सहारनपुर) में पांच—पांच सेंटीमीटर बारिश दर्ज की गयी।

पिछले 24 घंटों के दौरान प्रदेश के ज्यादातर मण्डलों में दिन का तापमान सामान्य से ज्यादा रहा और लोगों को उमस भरी चिपचिपी गर्मी का सामना करना पड़ा।

अगले 24 घंटों के दौरान राज्य में कुछ स्थानों पर बारिश होने का अनुमान है। मंगलवार से प्रदेश में मानसून के फिर से जोर पकड़ने की सम्भावना है और 21 तथा 22 जुलाई को प्रदेश के ज्यादातर इलाकों में वर्षा हो सकती है।

इस बीच, जलभरण क्षेत्रों में व्यापक वर्षा और बांधों से पानी छोड़े जाने की वजह से घाघरा, शारदा, राप्ती और क्वानो नदियां उफान पर हैं। अनेक इलाके बाढ़ के पानी से घिर गये हैं।

केन्द्रीय जल आयोग की रिपोर्ट के मुताबिक घाघरा नदी एल्गिनब्रिज में खतरे के निशान को पार कर गयी है। वहीं, अयोध्या और तुर्तीपार में इसका जलस्तर लाल चिह्न के नजदीक पहुंच गया है।

शारदा नदी पलियाकलां में खतरे के निशान से ऊपर बह रही है। इसके अलावा राप्ती नदी का जलस्तर बर्डघाट (गोरखपुर) में और क्वानो नदी का जलस्तर चंद्रदीपघाट में खतरे के निशान को पार कर गया है।

उतराखण्ड में बारिश से उफनाई गोरी नदी में चार मकान बहे

उत्तराखंड के पिथौरागढ़ जिले के बंगापानी सब डिवीजन के चौरी बागर गांव में शनिवार रात भारी बारिश से उफनाई गोरी नदी के पानी में चार मकान, कुछ मवेशी और कृषि योग्य भूमि बह गयी है।

एक अधिकारी ने हालांकि कहा कि इसमें कोई हताहत नहीं हुआ क्योंकि स्थानीय लोगों को पहले ही सुरक्षा की दृष्टि से वहां से बाहर निकाल लिया गया था।

बंगापानी के उपजिलाधिकारी एके शुक्ला ने कहा, “खतरे को ध्यान में रखते हुए हमने उन मकानों में रहने वाले परिवारों को पहले ही शिफ्ट कर दिया था। वे सुरक्षित हैं।”

उन्होंने कहा कि प्रभावित परिवारों को मुआवजे के रूप में 1.19 लाख रुपये की राशि के अलावा 20 किलोग्राम राशन और अन्य जरूरी सामान मुहैया कराया गया है।

अधिकारियों के एक दल को नुकसान के शुरुआती आंकलन के लिए घटनास्थल पर भेजा गया है।

सीमावर्ती जिले के बंगापानी, मुनस्यारी और धारचूला के जिला मुख्यालय को जोड़ने वाले सभी मुख्य मोटर मार्ग कल रात हुई बारिश के कारण बंद हैं।

आपदा प्रबंधन के प्रभारी अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट राम दत्त पालीवाल ने कहा, “तवाघाट से लिपुलेख सड़क तीन स्थानों पर बंद है, जबकि जौलजीबी से मुनस्यारी और मुनस्यारी से थल तक के मार्ग सड़कों पर मलबा आने के कारण दो स्थानों पर बंद हैं

दिल्ली में बारिश के बाद जलभराव, व्यक्ति की डूबने से मौत, कई झुग्गियां ढहीं

दिल्ली में भारी बारिश के बाद रविवार को मिंटो ब्रिज के नीचे पानी भर गया, जहां 56 वर्षीय पिक-अप ट्रक के चालक की अपनी गाड़ी को निकालने की कोशिश में डूबने से मौत हो गई। इसके साथ ही कई झुग्गियां ढह गईं और और निचले इलाकों में पानी भर गया।

मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने बताया कि दिल्ली में सुबह साढ़े आठ बजे तक 74.8 मिमी बारिश दर्ज की गई।

कई निवासियों ने सोशल मीडिया पर वीडियो और तस्वीरें साझा की हैं, जिनमें बारिश का पानी लोगों के घरों में आता दिख रहा है और पानी से भरी सड़कों से निकलने की कोशिश करते वाहन नजर आ रहे हैं।

अधिकारियों ने बताया कि जलभराव की सूचना मिंटो रोड और रेलवे पुल के नीचे, जीटीके डिपो, आजादपुर अंडरपास, जवाहरलाल नेहरू मार्ग पर गुरूनानक चौक, साउथ एवेन्यू रोड और एमबी रोड पर पुल प्रह्लाद पुर अंडरपास समेत कई स्थानों से मिली।

राष्ट्रीय राजधानी के कई इलाकों में पानी भरने के बाद कई घटनाएं सामने आई।

अन्ना नगर में डब्ल्यूएचओ की इमारत के पास रविवार सुबह कुछ झुग्गियां गिर गईं। दमकल की तीन गाड़ियों को मौके पर भेजा गया। एनडीआरएफ की एक छोटी टीम को आईटीओ के पास स्थिति का जायजा लेने के लिए भेजा गया है।

पुलिस ने बाताया कि 56 वर्षीय चालक मिंटो ब्रिज के नीचे अंडरपास में पानी भरने की वजह से उसमें से अपना पिक-अप ट्रक निकालने की कोशिश कर रहे थे।

उन्होंने बताया कि मृतक की पहचान कुंदन के तौर पर हुई है। वह आज सुबह नयी दिल्ली रेलवे स्टेशन से कनॉट प्लेस जा रहा थे।

जलभराव के कारण मिंटो रोड अंडरपास में एक बस और दो ऑटोरिक्शा फंस गए।

दिल्ली अग्निश्मन सेवा के निदेशक अतुल गर्ग ने बताया, ” हमें सुबह सात बजकर 54 मिनट पर फोन आया। हमारी टीम घटनास्थल पर पहुंची, जहां जलभराव के कारण एक बस और दो ऑटोरिक्शा फंसे थे। हमारे कर्मियों ने बस के चालक एवं परिचालक और एक ऑटो चालक को सुरक्षित बाहर निकाल लिया।’’

उन्होंने बताया कि बस में कोई यात्री नहीं था।

जलभराव के कारण दिल्ली में कई स्थानों पर यातायात जाम भी लग गया।

दिल्ली यातायात पुलिस ने शहर भर के उन स्थानों के बारे में लोगों को जानकारी दी जहां जलभराव के कारण जाम लग गया है।

जलभराव के कारण मिंटो रोड, मथुरा रोड, आउटर रिंग रोड, महरौली-बदरपुर रोड और आश्रम में यातायात जाम लग गया।

कई निचले इलाकों और सड़कों पर पानी भर गया जहां मरम्मत का काम चल रहा था।

यातायात पुलिस ने ट्वीट किया, “पेड़ों के गिरने की वजह से कई स्थानों पर यातायात बाधित हुआ है। ”

ट्वीट में बताया गया है कि तिलक नगर मेट्रो स्टेशन के पास सर्विस लेन, प्रशांत विहार में लैंसर्स कॉन्वेंट स्कूल रोहिणी और ओबराय होटल के पास डॉ जाकिर हुसैन मार्ग पर पेड़ गिर गए।

बिहार में वज्रपात से 12 लोगों की मौत

बिहार के नौ जिले में रविवार को आकाशीय बिजली गिरने से 12 लोगों की मौत हो गयी तथा सात अन्य झुलस गये।

वज्रपात से पूर्णिया में तीन, बेगूसराय में दो तथा दरभंगा, नवादा, पूर्वी चंपारण, सहरसा, सारण, मधेपुरा और पटना में एक-एक व्यक्ति की मौत हुयी है।

बेगूसराय से मिली जानकारी के अनुसार, जिले के खोदावंदपुर थाना क्षेत्र के बिदुलिया गांव निवासी रामविलास महतो अपनी पत्नी विमला देवी के साथ दोपहर में खेत में काम कर रहा था तभी आकाशीय बिजली गिरी। इस दुर्घटना में विमला देवी की मौके पर ही मौत हो गयी जबकि उसका पति गंभीर रूप से झुलस गया। घायल रामविलास महतो को खोदावंदपुर सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में भर्ती कराया गया है। वहीं जिले के मुफस्सिल थाना क्षेत्र हरदिया गांव में तेज बारिश के साथ आकाशीय बिजली गिरने से गौरी चौधरी के पुत्र अनिल चौधरी (35) की मौत हो गयी।

दरभंगा से प्राप्त समाचार के अनुसार, जिले के बिरौल थाना क्षेत्र के अकबरपुर बेक गांव में वज्रपात की घटना में राजकुमार शर्मा की मौके पर ही मौत हो गई वही उसके तीन अन्य चचेरे भाई पवन शर्मा सुनील शर्मा और चरित्र शर्मा गंभीर रूप से घायल हो गया। घायलों को निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया है। वही जिले के जाले थाना क्षेत्र के ब्रहमपुर पूर्वी पंचायत के वार्ड संख्या चार स्थित जगजीवन नगर में वज्रपात की घटना में अर्जुन राम की पत्नी पार्वती देवी एवं उसकी पुत्री सिमरन गंभीर रूप से झुलस गयी जिन्हें रेफरल अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

नवादा से मिली सूचना के अनुसार, जिले के अकबरपुर थाना के सकरपुरा पंचायत के मोहनार गांव के ज्वाला राम (35) खेत में काम कर रहा था तभी आकाशीय बिजली गिरने से उसकी मौत हो गयी।

अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की आत्महत्या मामले में अभिनेत्री रिया चक्रवर्ती को मिली बलात्कार करने की धमकी attacknews.in

मुंबई ,19 जुलाई । बॉलीवुड अभिनेत्री रिया चक्रवर्ती को कथित रूप से अश्लील संदेश भेजने और धमकी देने के मामले में मुंबई पुलिस ने इंस्टाग्राम के दो एकाउंट धारकों के विरूद्ध प्राथमिकी दर्ज की है।

मुंबई सांताक्रूज पुलिस ने रविवार को इसकी पुष्टि की। इससे पहले 16 जुलाई को रिया ने एक इंस्टाग्राम उपयोगकर्ता की ओर से बलात्कार की धमकी भरे संदेश का स्क्रीनशॉट शेयर किया था और इसे साइबर क्राइम इंडिया को टैग करते हुए संदेश भेजने वाले के विरूद्ध कार्रवाई करने का अनुरोध किया था।

रिया का कहना है कि अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत के आत्महत्या करने के बाद उसे सोशल मीडिया पर बलात्कार की धमकियां दी जा रही हैं।

अपने कड़वे अनुभव के बारे में ब्लॉग करते हुए रिया ने लिखा,“मुझे स्वार्थी कहा गया, मैं चुप रही। मुझे कातिल कहा गया, मैं चुप रही। इसके अलावा भी अनेक अपमानजनक बातें कहीं गई लेकिन फिर भी मैं चुप रही।”

रिया ने मनु रावत नामक एक उपयोगकर्ता के संदेश पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा,“लेकिन मेरी चुप्पी आपको यह कहने का अधिकार कैसे देती है कि अगर मैं आत्महत्या नहीं कर रही हूं तो आप मेरे साथ बलात्कार और मेरी हत्या कर देंगे? क्या आपको लगता है कि आपने जो कहा है उसकी गंभीरता का एहसास आपको है?”

रिया ने कहा,“ये अपराध हैं, और कानून द्वारा कोई भी, मैं दोहराती हूं कि किसी को भी इस तरह की विषाक्तता फैलाने और किसी का भी उत्पीड़न नहीं किया जाना चाहिए। मैं आवश्यक कार्रवाई करने के लिए साइबर क्राइम इंडिया हेल्पलाइन से अनुरोध करती हूं।”