डिंडौरी (मध्यप्रदेश), 27 दिसंबर । डिंडौरी जिले के शहपुरा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में आयोजित नसबंदी ऑपरेशन के करीब आधे घंटे बाद एक आदिवासी महिला की कथित तौर पर आज मौत हो गई।
मृतक महिला की मां गायत्री बाई ने आरोप लगाया कि कारीगडरी गांव की रहने वाली उसकी बेटी तीबी बाई (25) की मौत चिकित्सकों की लापरवाही के कारण हुई है।
गायत्री ने कहा, ‘‘ मेरी बेटी नसबंदी कराने के लिए शहपुरा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में आज पहुंची थी। उस समय वह पूरी तरह से स्वस्थ थी। महिला को बेहोशी का इंजेक्शन लगाकर ऑपरेशन कक्ष में ले जाया गया और नसबंदी करने के करीब आधे घंटे बाद उसने अस्पताल में ही दम तोड़ दिया।’’ वहीं, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी आर के मेहरा ने बताया, ‘‘तीबी बाई की मौत श्वांस नली में तम्बाकू का जर्दा फंसने से हुई है।’’
मेहरा ने कहा, ‘‘उसका ऑपरेशन कर दिया गया था। ऑपरेशन के करीब आधे घंटे बाद उसे हिचकी आई और जर्दा उसके श्वास नली में फंस गया, जिससे उसकी मौत हुई। अमूमन यह जर्दा आदिवासी महिलाएं इंजेक्शन लगाते समय मुंह में डाल देती हैं, ताकि दर्द महसूस न हो। ’’
उन्होंने कहा कि आज लगे इस नसबंदी शिविर में कुल 32 ऑपरेशन हुए, जिनमें से छठे नंबर पर तीबी बाई का ऑपरेशन किया गया था। इन ऑपरेशनों को मेडिकल कॉलेज जबलपुर से आये डॉ. आशीश राज ने किया।
मेहरा ने बताया कि मृतक के परिजन को 10,000 रुपये की तात्कालिक सहायता दे दी गई है। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य विभाग ने उसके परिजन को दो लाख रुपये देने की घोषणा भी की है।
इसी बीच, शहपुरा पुलिस थाना प्रभारी अनिल पटेल ने बताया कि इस संबंध में मामला दर्ज कर लिया गया है और जांच जारी है।attacknewe.in