श्रीनगर/ नयी दिल्ली, 20 अक्टूबर ।जम्मू कश्मीर में सीमावर्ती कुपवाड़ा जिले के तंगधार सेक्टर में रविवार को पाकिस्तानी सेना की ओर से संघर्षविराम का उल्लंघन और गोलीबारी में दो जवानों के शहीद होने तथा एक नागरिक की मौत की घटना के जवाब में भारतीय सैनिकों ने पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर(पीओके) में आतंकवादियों के कम से कम तीन से चार ठिकानों पर कार्रवाई की।
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि भारतीय सैनिकों ने नियंत्रण रेखा के समीप आतंकवादियों के ठिकानों को लक्ष्य करते हुए अपनी कार्रवाई में आर्टिलरी बंदूकों का इस्तेमाल किया , लेकिन पीओके में प्रवेश नहीं किया।
उन्होंने कहा कि यह सर्जिकल स्ट्राइक नहीं थी और पीओके के ठिकानों में मौजूद आतंकवादियों की वास्तविक संख्या का तात्कालिक रूप से स्पष्ट नहीं हो सका है।
सेना के प्रवक्ता ने बताया कि पाकिस्तानी सैनिकों की गोलीबारी में मृत नागरिक की पहचान मोहम्मद सादिक(55) तथा अन्य घायल नागरिकों की पहचान मोहम्मद मकबूल(70), मोहम्मद शफी(50) और युसूफ हामिद(22) के रूप में की गयी है।
थलसेना प्रमुख जनरल बिपिन रावत के अनुसार पाकिस्तान की ओर से अकारण की गई गोलीबारी के जवाब में रविवार को भारतीय सेना ने पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) की नीलम घाटी में चार आतंकी शिविरों और पाक सेना के कई ठिकानों को तोपों से निशाना बनाया जिसमें उनके छह से 10 सैनिक और इतनी ही संख्या में आतंकवादी मारे गए।
भारत की जवाबी कार्रवाई के एक दिन पहले शनिवार शाम पाकिस्तानी सेना ने नियंत्रण रेखा के पास जम्मू कश्मीर के तंगधार सेक्टर में आतंकवादियों की घुसपैठ में मदद के लिए गोलीबारी की थी। इस घटना में भारत के दो सैनिक शहीद हो गए थे। गोलीबारी में एक आम नागरिक की भी मौत हो गयी जबकि तीन अन्य घायल हो गए।
इस बीच एक उच्च पदस्थ सूत्र ने कहा कि भारतीय तोपों से की गई गोलाबारी में कम से कम 20 आतंकवादी मारे गए और यह आंकड़ा काफी अधिक भी हो सकता है।
जनरल रावत ने यहां एक कार्यक्रम से इतर संवाददाताओं से बातचीत करते हुए कहा कि जवाबी कार्रवाई में नियंत्रण रेखा के दूसरी तरफ आतंकी ढांचों को खासा नुकसान हुआ है।
उन्होंने कहा, “अब तक, हमारे पास उपलब्ध सूचना के मुताबिक 6-10 पाकिस्तानी सैनिक मारे गए हैं और करीब इतने ही आतंकवादी भी ढेर हुए हैं।” उन्होंने कहा कि मारे गए आतंकवादियों के बारे में और जानकारी हासिल की जा रही है।
जनरल रावत ने कहा, “तीन आतंकवादी शिविर नष्ट किये गए हैं और चौथे शिविर को भी हमने काफी नुकसान पहुंचाया है।”
सेना प्रमुख ने कहा कि पाकिस्तान अगर ऐसी गतिविधियां जारी रखेगा तो भारतीय सेना जवाबी कार्रवाई से नहीं हिचकिचाएगी।
सूत्रों ने बताया कि तंगधार सेक्टर के दूसरी तरफ नीलम घाटी में चार आतंकवादी शिविर भारतीय सेना की गोलीबारी में पूरी तरह से नष्ट हो गए। उस समय प्रत्येक ठिकाने में 10-15 आतंकवादी मौजूद थे। भारतीय सेना की इस कार्रवाई को फरवरी में बालाकोट हमले के बाद सबसे महत्वपूर्ण कार्रवाई बताया जा रहा है।
सरकारी सूत्रों ने कहा कि भारत की कार्रवाई के बाद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सेना प्रमुख जनरल रावत से बात की और वह नियंत्रण रेखा के हालात पर नजर रखे हुए हैं।
इस बीच, पाकिस्तान विदेश कार्यालय के प्रवक्ता मोहम्मद फैसल ने इस बात से इंकार किया कि भारतीय सेना ने पीओके में चार आतंकवादी शिविरों को निशाना बनाया था। उन्होंने कहा कि भारत के इस ‘‘झूठ’’ को बेनकाब करने के लिए पाकिस्तान संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के पांच स्थायी सदस्य देशों के राजनयिकों के वहां के दौरे की व्यवस्था कर सकता है।
पाकिस्तानी सेना के प्रवक्ता मेजर जनरल आसिफ गफूर ने सिलसिलेवार ट्वीट करते हुए कहा कि भारत की कार्रवाई में कुल पांच पाकिस्तानी नागरिकों की मौत हुई है।
पाकिस्तान ने भारत द्वारा की गयी कार्रवाई की निंदा करने के लिए भारतीय उपउच्चायुक्त गौरव आहलूवालिया को तलब किया।
गफूर ने आरोप लगाया, “भारतीय सेना द्वारा निर्दोष नागरिकों को निशाना बनाना कथित शिविरों को निशाना बनाने के उनके झूठे दावों को सही ठहराने का एक प्रयास है।”
गफूर ने दावा किया कि पाकिस्तानी सेना के हमले में नौ भारतीय सैनिकों की मौत हो गई और भारत के दो बंकर तबाह हो गए।
हालांकि भारतीय सेना के एक वरिष्ठ अधिकारी ने गफूर के आरोपों को खारिज कर दिया।
भारतीय सेना ने एक बयान में कहा कि पाकिस्तानी सेना ने कल शाम तंगधार सेक्टर के भारतीय क्षेत्र में आतंकवादियों की घुसपैठ कराने के लिए अकारण संघर्षविराम का उल्लंघन शुरू कर दिया।
इसमें कहा गया है कि भारतीय सेना की जवाबी कार्रवाई में आतंकवादियों के शिविरों और इन शिविरों को सुरक्षा प्रदान करने वाली अनेक पाकिस्तानी चौकियों तथा कुछ शस्त्र स्थलों को निशाना बनाया गया।
बयान के अनुसार अगर पाकिस्तानी सेना सीमा पार से आतंकी गतिविधियों को मदद देना जारी रखता है तो भारतीय सेना को अपने हिसाब के समय और जगह पर जवाब देने का अधिकार है।
जनरल रावत ने कहा, “विशेष प्रावधानों (जम्मू कश्मीर के) को रद्द किये जाने के बाद से, हमें सीमा पार से आतंकियों की घुसपैठ के बारे में बार-बार जानकारी मिल रही थी।”
पाकिस्तान ने पीओके में भारतीय सेना की ओर से आतंकी शिविरों को ध्वस्त करने की रिपोर्ट को खारिज किया-
इधर इस्लामाबाद, से खबर है कि,पाकिस्तान ने रविवार को उन खबरों को खारिज कर दिया जिसमें पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) में कम से कम चार आतंकवादी शिविरों को भारतीय सेना की ओर से निशाना बनाए जाने का दावा किया गया था।
पाकिस्तान ने कहा कि वह भारत के इस ‘‘झूठ’’ को बेनकाब करने के लिए संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के पांच स्थायी सदस्य देशों के राजनयिकों के वहां के दौरे की व्यवस्था कर सकता है।
भारत सरकार के सूत्रों के मुताबिक भारतीय सेना ने रविवार को पीओके में कम से कम चार आतंकवादी शिविरों और पाकिस्तान सेना की चौकियों को निशाना बनाते हुए भारी हथियारों से गोलाबारी की थी।
उन्होंने बताया कि जम्मू-कश्मीर में तंगधार से लगती नियंत्रण रेखा (एलओसी)के इलाके में की गई कार्रवाई में पांच पाकिस्तान सैनिकों की मौत हो गई थी।
ऐसी खबरें हैं कि भारतीय सेना की गोलाबारी में कम से कम चार आतंकवादी भी मारे गए और पाकिस्तान को भारी नुकसान पहुंचा।
इस खबर पर प्रतिक्रिया देते हुए पाकिस्तान विदेश विभाग के प्रवक्ता मोहम्मद फैसल ने कहा, ‘‘ पाकिस्तान एलओसी के नजदीक कथित लांचिंग पैड को भारत द्वारा निशाना बनाने संबंधी भारतीय मीडिया की खबर को साफ तौर पर खारिज करता है।’’
विदेश विभाग ने कहा कि पाकिस्तान ने सुरक्षा परिषद के पांचों सदस्यों से अपील की है कि वे भारत से आतंकवादी लांचिंग पैड के बारे में जानकारी देने को कहें।
पाकिस्तानी सेना के प्रवक्ता मेजर जनरल आसिफ गफूर ने भी भारतीय मीडिया की खबरों को खारिज करते हुए कहा कि आतंकवादी शिविरों को निशाना बनाने को लेकर गलत दावा किए जा रहे हैं।
इस बीच, पाकिस्तान ने भारतीय उप उच्चायुक्त गौरव आहलूवालिया को तलब कर भारतीय सेना की ओर से नियंत्रण रेखा पार जुरा, शाहकोट और नौशेरी सेक्टरों में कथित तौर पर की गई गोलाबारी की निंदा की। पाकिस्तान ने दावा किया कि इस गोलाबारी में उसके पांच नागरिक मारे गए।