मध्यप्रदेश विधानसभा में देश चल रहे किसान आंदोलन के मृतकों को भी दे दी गई श्रद्धांजलि,साथ ही दूसरे दिन दिवंगत नेताओं को श्रद्धांजलि के बाद कार्यवाही स्थगित attacknews.in

भोपाल, 23 फरवरी । मध्यप्रदेश विधानसभा में आज पूर्व मुख्यमंत्री मोतीलाल बोरा, भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व सांसद कैलाश सारंग, पूर्व केंद्रीय मंत्रियों रामविलास पासवान, जसवंत सिंह, तरुण गोगोई और बूटा सिंह और अन्य दिवंगतों को श्रद्धांजलि अर्पित करने के बाद उनके सम्मान में कार्यवाही दिनभर के लिए स्थगित कर दी गयी।

सदन की कार्यवाही प्रारंभ होते ही अध्यक्ष गिरीश गौतम ने दिवंगत नेताओं के निधन का उल्लेख करते हुए सदन की ओर से श्रद्धांजलि अर्पित की। सदन में पूर्व सदस्य लोकेंद्र सिंह, गाेवर्धन उपाध्याय, श्याम होलानी, बद्रीनारायण अग्रवाल, कैलाश नारायण शर्मा, विनोद कुमार डागा, कल्याण सिंह ठाकुर, महेंद्र बहादुर सिंह, चनेशराम राठिया, श्रीमती रानी शशिप्रभा, डॉ राजेश्वरी प्रसाद त्रिपाठी, डॉ भानुप्रताप गुप्ता, हीरा सिंह मरकाम, लुइस बेक, ठाकुर देवप्रसाद आर्य और पूरनलाल जांगड़े को भी श्रद्धांजलि अर्पित की गयी।

इसके अलावा पूर्व केंद्रीय मंत्री माधव सिंह सोलंकी, कैप्टन सतीश शर्मा और कमल मोरारका तथा पूर्व केंद्रीय उप मंत्री रामलाल साही, उत्तराखंडव के चामोली जिले मे ग्लेशियर टूटने से आयी बाढ़ के कारण मृत्यु को प्राप्त हुए नागरिकों और सीधी जिले के शारदापाटन गांव में नहर में बस गिरने के कारण मृत यात्रियों के निधन उल्लेख के साथ उनके प्रति श्रद्धांजलि अर्पित की गयी।
अध्यक्ष ने कहा कि वे सदन की ओर से सभी दिवंगतों के प्रति श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं। इसके अलावा सदन के नेता एवं मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और विपक्ष के नेता कमलनाथ ने भी दिवंगत नेताओं के सामाजिक एवं राजनैतिक जीवन में योगदान का जिक्र करते हुए उनके प्रति श्रद्धासुमन अर्पित किए।

श्री कमलनाथ ने कहा कि दिल्ली में आंदोलन के बीच मृत्यु को प्राप्त होने वाले किसानों के प्रति भी श्रद्धांजलि अर्पित की जाना चाहिए।

इसके पहले कांग्रेस की पूर्व मंत्री विजयलक्ष्मी साधौ ने कहा कि दिवंगत किसानों को भी सदन की ओर से श्रद्धांजलि अर्पित की जाना चाहिए, जिसका समर्थन वरिष्ठ कांग्रेस विधायक सज्जन सिंह वर्मा ने किया।

अध्यक्ष ने सदस्यों से शांत होने का अनुरोध करते हुए कहा कि वे सभी सदस्यों की भावनाओं का सम्मान करते हैं, लेकिन श्रद्धांजलि जैसे विषय पर सभी को संवेदनशीलता का परिचय देना चाहिए। अंत में दिवंगतों के सम्मान में सदन में दो मिनट का मौन रखा गया और कार्यवाही कल सुबह यानी बुधवार सुबह 11 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गयी।

बजट सत्र का आज दूसरा दिन था। कल राज्यपाल के अभिभाषण के साथ यह प्रारंभ हुआ था। इसके पहले कल ही अध्यक्ष के निर्वाचन की प्रक्रिया पूरी की गयी। बजट सत्र 26 मार्च तक प्रस्तावित है।

राकेश टिकैत का ऐलान: दिल्ली में जल्द ही चालीस लाख ट्रेक्टरों की रैली निकालेंगे;केंद्र सरकार से कोई बातचीत नहीं की जाएगी attacknews.in

बीकानेर, 23 फरवरी । किसान नेता राकेश टिकैत ने मंगलवार को राजस्थान में चूरू जिले के सरदारशहर में आज ऐलान किया कि जल्द ही दिल्ली में 40 लाख ट्रेक्टरों की रैली निकाली जाएगी।

सरदारशहर कृषि कानून के खिलाफ किसान महापंचायत में श्री टिकैत ने कहा कि यह किसानों की आजादी की लड़ाई है। देश की आजादी की लड़ाई 90 साल चली थी। उन्होंने कहा कि जब तक तीनों कृषि कानून वापस नहीं लिए जाएंगे तब तक कोई बात नहीं की जाएगी। साथ ही जब तक एमएसपी कानून नहीं बनेगा तब तक लड़ाई जारी रहेगी।

केन्द्र सरकार किसानों के सम्मान से नहीं खेले-टिकैत

किसान नेता राकेश टिकैत ने केन्द्र सरकार को दो टूक शब्दों में कहा कि वह किसानों के सम्मान से खेलने से बाज आए।

सीकर में किसान महापंचायत में भाग लेने आये श्री टिकैत ने मंगलवार को मीडिया से बातचीत में कहा कि यह आंदोलन गैर राजनीतिक हैं तथा गरीब किसानों की रोजीरोटी से जुड़ा हुआ हैं।

उन्होंने कहा कि यह आंदोलन लम्बा चलने वाला है। उन्होंने कहा कि किसानों का संयुक्त मोर्चा मोर्चा द्वारा आयोजित यह किसान आंदोलन केन्द्र सरकार द्वारा किसानो के लिए लाये गये तीनों कानून वापस नहीं लिये जाने तक जारी रहेगा।

नोटों की खेती करने वालों के लिये बने किसान विरोधी कानून: प्रियंका

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) सरकार पर अहंकार पालने का आरोप लगाते हुये कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने कहा कि केन्द्र सरकार ने अपने विवेक से तीन नये कृषि कानून बनाये जो नोटों की खेती करने वाले खरबपतियों, उद्योगपतियों को जमाखोरी की पूरी तरह से छूट देता है।

बांके बिहारी मंदिर में पूजा अर्चना करने के बाद श्रीमती वाड्रा ने मंगलवार को मथुरा में किसान पंचायत को संबोधित करते हुये कहा कि भाजपा सरकार ने अन्नदाता के लिए अहंकार पाल लिया है। देश के लाखों किसानों जिन्होंने इस देश की जमीन को सींचा, देश की सीमा पर अपने बेटों को आपकी हमारी सुरक्षा के लिए शहीद होने भेजा। आज वह किसान सड़क पर बैठा है। 90 दिनों से राजधानी के बॉर्डर पर अपने अधिकारों की लड़ाई वह किसान लड़ रहा है। 215 किसान शहीद हुए। सरकार ने बिजली काटी, पानी बंद किया, मारपीट कराई,उन्हें प्रताड़ित किया, लेकिन उनकी बात नहीं सुनी।

सभी किसान एकजुट रहेंगे तो आपका कोई कुछ नहीं बिगाड़ पायेगा: अजित सिंह

राष्ट्रीय लोकदल के अध्यक्ष चौधरी अजित सिंह ने किसानों का आह्वान करते हुए कहा कि आप लोग एकजुट रहेंगे तो कोई भी आपका कुछ नहीं बिगाड़ पायेगा।

श्री सिहं आज मुजफ्फरनगर में शाहपुर क्षेत्र के सौरम गांव में आयोजित किसान पंचायत को सम्बोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि गत दिवस भाजपा के केंद्रीय राज्यमंत्री की मौजूदगी में सत्ता पक्ष के लोगों ने किसानों के साथ जो मारपीट की है वह निंदनीय है। इसके लिए दोषियेां के विरूद्ध पुलिस रिपोर्ट होनी चाहिए।

उन्होंने कहा कि यदि कोई सत्ता पक्ष का राजनेता गांव में आता है तो किसानों को पूरा हक है, कि वो उससे अपनी फसल के दाम के संबंध में बातचीत करे। यदि वह जवाब नहीं देता है तो ऐसे नेताओं को किसानों से संवाद करने का कोई हक नहीं है। मंत्री द्वारा जवाब न देकर आक्रोशित होना यह दर्शाता है कि ऐसे नेता राजनीति करने के लायक नहीं है ।

किसान पंचायतों की अनसुनी भाजपा को पड़ेगी भारी: जयंत

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर किसान आंदोलन को बदनाम करने का आरोप लगाते हुये राष्ट्रीय लोकदल (रालोद) के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष जयंत चौधरी ने कहा कि पूरे देश में हो रही किसान पंचायतें केन्द्र सरकार को संदेश दे रहीं हैं, जिसको अनसुना करना उसके लिए ठीक नही रहेगा।

श्री चौधरी ने मंगलवार को रूधौली में किसान पंचायत को संबोधित करते हुए कहा कि 1907 में शुरू हुआ ‘पगड़ी सम्भाल जट्टा’ आंदोलन भी अंग्रेजो द्वारा लाए गए तीन क़ानूनों के विरूद्ध ही था जैसा आज आंदोलन लड़ा जा रहा हैं और वह क़ानून भी किसानों से उनके ज़मीन पर अधिकार को ख़त्म करने और 25 प्रतिशत टैक्स लगाने के विरोध में था। उन क़ानूनों को नो महीने लम्बे चले आंदोलन के बाद अंग्रेज़ी हुकूमत को वापिस लेना पड़ा,ठीक ऐसे ही ये सरकार भी झुकेगी।

स्वस्थ भारत के लिए चौतरफा रणनीति पर काम कर रही है सरकार:नरेन्द्र मोदी ने याद दिलाया कि कुछ महीनों में ही देश ने 2500 प्रयोगशालाओं का नेटवर्क स्थापित किया और कुछ दर्जनभर जांचों की तुलना में जांच कार्य 21 करोड़ पहुंचा attacknews.in

नयी दिल्ली 23 फरवरी । प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज कहा कि सरकार स्वस्थ भारत बनाने की दिशा में चौतरफा रणनीति पर काम कर रही है।

श्री मोदी ने मंगलवार को स्वास्थ्य क्षेत्र में बजट प्रावधानों को प्रभावी तरीके से लागू करने के बारे में आयोजित वेबिनार को वीडियो कांफ्रेन्स के माध्यम से संबोधित करते हुए कहा कि इस वर्ष के बजट में स्वास्थ्य क्षेत्र का आवंटन अप्रत्याशित है और इससे प्रत्येक नागिरक को बेहतर स्वास्थ्य सेवा प्रदान करने का सरकार का संकल्प दिखता है।

उन्होंने कहा कि पिछला वर्ष महामारी के कारण काफी कठिन और चुनौतीपूर्ण था। इस चुनौती पर काबू पाने और अनेक लोगों की जान बचाने पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए उन्होंने इसका श्रेय सरकार तथा निजी क्षेत्र के संयुक्त प्रयासों को दिया।

देश को स्वस्थ बनाने से संबंधित चौतरफ रणनीति का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि पहली रणनीति बीमारी रोकथाम और आरोग्य संवर्धन है। स्वच्छ भारत अभियान, योग, गर्भवती महिलाओँ और बच्चों की समय से देखभाल और इलाज जैसे कदम इसके हिस्से हैं। दूसरी रणनीति गरीब से गरीब को सस्ता और कारगर इलाज प्रदान करना है। आयुष्मान भारत तथा प्रधानमंत्री जन औषधि केंद्र जैसी योजनाएं इस दिशा में काम कर रही हैं। तीसरी रणनीति स्वास्थ्य संरचना तथा स्वास्थ्य सेवा पेशेवर लोगों की गुणवत्ता और संख्या बढ़ानी है। पिछले छह वर्षों में एम्स जैसे संस्थानों का विस्तार तथा पूरे देश में मेडिकल कॉलेजों की संख्या बढ़ाने की दिशा में प्रयास है।

उन्होंने कहा कि चौथी रणनीति बाधाओं को पार करने के लिए मिशन मोड में काम करना है। मिशन इंद्र धनुष का विस्तार जनजातीय तथा देश के दूरदराज के क्षेत्रों तक किया गया है।

उन्होंने कहा कि देश ने तपेदिक उन्मूलन के 2030 लक्ष्य को पांच वर्ष घटाकर 2025 कर दिया है। प्रधानमंत्री ने कहा कि कोरोना वारयस की रोकथाम में अपनाए गए प्रोटोकॉल टीबी रोकथाम में भी बनाए जा सकते हैं क्योंकि बीमारी संक्रमित व्यक्ति के ड्रॉपलेट से फैलती है।

उन्होंने कहा कि मास्क पहनना और रोग की जल्द से जल्द जांच और इलाज टीबी की रोकथाम के लिए महत्वपूर्ण है।

श्री मोदी ने याद दिलाया कि कुछ महीनों के अंदर ही देश ने 2500 प्रयोगशालाओं का नेटवर्क स्थापित किया और इस तरह कुछ दर्जनभर जांचों की तुलना में जांच कार्य 21 करोड़ पहुंच गया है।

उन्होंने कहा , “ कोरोना महामारी ने हमें यह सबक दी कि हमें न केवल महामारी से लड़ना है बल्कि भविष्य में ऐसी स्थिति से निपटने के लिए तैयार भी रहना है।इसलिए स्वास्थ्य सेवा से संबंधित प्रत्येक क्षेत्र को मजबूत बनाना समान रूप से आवश्यक है।”

उन्होंने कहा कि हमें मेडिकल उपकरण से लेकर दवाइओं, वेंटिलेटर से लेकर वैक्सीन, वैज्ञानिक अनुसंधान से लेकर निगरानी संरचना, डॉक्टरों से लेकर महामारी विज्ञानियों सब पर फोकस करना होगा ताकि भविष्य मेंदेश किसी स्वास्थ्य आपदा से निपटने में बेहतर रूप से तैयार हो। प्रधानमंत्री आत्मनिर्भर स्वस्थ्य भारत योजना के पीछे यह प्रेरणा है। इस योजना के अंतर्गत यह निर्णय लिया गया है कि देश में ही अनुसंधान से लेकर जांच और इलाज तक एक आधुनिक ईकोसिस्टम विकसित किया जाएगा।यह योजना प्रत्येक क्षेत्र में हमारी क्षमताओं को बढ़ाएगी।

युवा इंजीनियर भविष्य की चुनौतियों के स्वदेशी समाधान तैयार करें : मोदी

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज आह्वान किया कि भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थानों को स्वदेशी तकनीक एवं विज्ञान के शोध केन्द्रों के रूप में विकसित किया जाना चाहिए जहां हमारे विद्यार्थी बदलते वक्त के अनुरूप भविष्य की चुनौतियों के लिए आज ही समाधान तैयार कर सकें।

श्री मोदी ने यहां वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) खड्गपुर के दीक्षांत समारोह को संबोधित करते हुए यह आह्वान किया। इस मौके पर केन्द्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक, शिक्षा राज्य मंत्री संजय धोत्रे, आईआईटी खड़गपुर के अध्यक्ष संजीव गोयनका एवं निदेशक वी. के तिवारी उपस्थित थे।

श्री मोदी ने कहा, “इस संस्थान से देश को 21वीं सदी के आत्मनिर्भर भारत में बन रहे नए इकोसिस्टम के लिए नये नेतृत्व की भी उम्मीद है। नया इकोसिस्टम, हमारे स्टार्टअप्स की दुनिया में, नया इकोसिस्टम, हमारे इनोवेशन शोध की दुनिया में, नया इकोसिस्टम, हमारे कॉरपोरेट जगत में, और नया इकोसिस्टम, देश की प्रशासनिक व्यवस्था में, इस कैंपस से निकलकर आपको सिर्फ अपना नया जीवन ही स्टार्ट नहीं करना है, बल्कि आपको देश के करोड़ों लोगों के जीवन में बदलाव लाने वाले स्वयं में एक स्टार्ट अप भी बनना हैं।”

उन्होंने कहा, “इसलिए ये जो डिग्री और मेडल आपके हाथ में है, वो एक तरह से करोड़ों आशाओं का आकांक्षा पत्र है, जिन्हें आपको पूरा करना है। आप वर्तमान पर नजर रखते हुए भविष्य की भी कल्पना करें। हमारी आज की ज़रूरतें क्या हैं और 10 साल बाद क्या ज़रूरतें होने वाली हैं, उनके लिए आज काम करेंगे तो, कल के नवान्वेषण भारत आज करेगा।”

प्रधानमंत्री ने छात्रों का आह्वान करते हुए कहा कि उनमें विषयों को ज्यादा विस्तार से देखने की, एक नए विज़न की एक अद्भुत क्षमता होती है। इसलिए आज हमारे आसपास सूचना का जो भंडार है उसमें से समस्याओं और उनके पैटर्न को वे बहुत बारीकी से देख पाते हैं। समस्याओं के पैटर्न की समझ हमें उनके दीर्घकालिक समाधान की तरफ ले जाती है। ये समझ भविष्य में नई खोज, नए आविष्कार का एक आधार बनती है। यह सोचिए, आप कितने जीवन में बदलाव ला सकते हैं, कितने जीवन बचा सकते हैं, देश के संसाधनों को बचा सकते हैं, अगर आप पैटर्न को समझें और उसे समझ कर समाधान निकालें। इससे संभव है कि भविष्य में यही समाधान आपको कारोबारी सफलता भी दें।

उन्होंने कहा कि जीवन के जिस मार्ग पर अब आप आगे बढ़ रहे हैं, उसमें निश्चित तौर पर आपके सामने कई सवाल भी आएंगे। ये रास्ता सही है, या गलत है, नुकसान तो नहीं हो जाएगा, समय बर्बाद तो नहीं हो जाएगा। ऐसे बहुत से सवाल आपके दिल दिमाग को जकड़ लेंगे। ऐसी दशा में अपने सामर्थ्य को पहचानकर पूरे आत्मविश्वास और निःस्वार्थ भाव से आगे बढ़ना चाहिए। उन्होंने कहा कि विज्ञान ने सैकड़ों साल पहले की इन समस्याओं को आज काफी सरल कर दिया है। लेकिन ज्ञान विज्ञान के प्रयोग में धीरज बहुत जरूरी है। आप सभी, ज्ञान, विज्ञान, प्रौद्योगिकी और नवान्वेषण के जिस मार्ग पर चले हैं, वहां जल्दबाज़ी के लिए कोई स्थान नहीं है। आप जिस प्रयोग पर काम कर रहे हैं, संभव है उसमें आपको पूरी सफलता ना भी मिले। लेकिन उस असफलता को भी सफलता ही माना जाएगा क्योंकि आप उससे भी कुछ सीखेंगे। आपको याद रखना है कि हर वैज्ञानिक और तकनीकी असफलता से एक नया रास्ता निकलता है। ये विफलता ही सफलता का रास्ता बना सकती है।

उन्होंने कहा कि 21वीं सदी के भारत की स्थिति के साथ साथ ज़रूरतें और आकांक्षाएं भी बदल गई हैं। अब आईआईटी को भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान से आगे, स्वदेशी प्रौद्योगिकी संस्थान के अगले स्तर पर ले जाने की जरूरत है। हमारी आईआईटी जितना ज्यादा भारत की चुनौतियों को दूर करने के लिए शोध करेंगी, भारत के लिए समाधान तैयार करेंगी, उतना ही वो वैश्विक आकांक्षाओं का भी माध्यम बनेंगी। हमारी इतनी बडी जनसंख्या के बीच जो प्रयोग सफल होकर निकलेगा, वो दुनिया में कहीं पर भी असफल नहीं होगा।

श्री मोदी ने विद्यार्थियों से सस्ती, अफोर्डेबल, इनवायर्नमेंट फ्रेंडली टेक्नोलॉजी, क्लीन कुकिंग के लिए सोलर के आधार पर घर में चूल्हा जलाने और सोलर के आधार पर ही घर के लिए आवश्यक एनर्जी स्टोरेज की बैटरी की व्यवस्था, डिजास्टर प्रूफ छोटे-बड़े घरों का निर्माण, हेल्थ टेक के फ्यूचरिस्टिक सोल्यूशंस, सस्ते एवं सटीक जानकारी देने वाले पर्सनल हेल्थकेयर उपकरणों के निर्माण की दिशा में योगदान देने का आग्रह किया और कहा, “आप सभी से सिर्फ आपके माता पिता और आपके शिक्षकों की ही उम्मीदें नहीं जुड़ीं हैं बल्कि 130 करोड़ भारतवासियों की आकांक्षाओं के भी आप प्रतिनिधि हैं। देश की आकांक्षाएं ही आज का आपका प्रमाणपत्र है। ये प्रमाणपत्र दीवार पर टिकाने के लिए या कैरियर के लिए सिर्फ भेजने के लिए नहीं है। ये जो आपको आज सर्टिफिकेट मिल रहा है। वो 130 करोड़ देश की आकांक्षाओं का एक प्रकार का मांग पत्र है, विश्वास पत्र है, आश्वासन पत्र है।…. बीते सालों में जो 75 बड़े इनोवेशन, बड़े समाधान आईआईटी खड़गपुर से निकले हैं, उनका संकलन करें। उनको देश और दुनिया तक पहुंचाएं। अतीत की इन प्रेरणाओं से आने वाले वर्षों के लिए, देश को नया प्रोत्साहन मिलेगा, नौजवानों को नया आत्मविश्वास मिलेगा।”

कर्नाटक में भाजपा नेताओं की पत्थर खदान में विस्फोट से 6 लोगों के चिथड़े उड़े:खनन अधिकारी द्वारा वैन से जिलेटिन छड़ों के परिवहन की कोशिश में हुआ विस्फोट attacknews.in

चिकबलपुर (कर्नाटक), 23 फरवरी । पत्थर की एक खदान में जिलेटिन की छड़ों को हटाते समय मंगलवार तड़के हुए विस्फोट में छह लोगों की मौत हो गई।

मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा के गृह निवास शिवमोगा में 22 जनवरी को भी एक ऐसे ही हादसे में छह लोगों की ही मौत हो गई थी।

कर्नाटक के स्वास्थ्य मंत्री एवं चिकबलपुर से विधायक के. सुधाकर घटनास्थल पर पहुंचे। उन्होंने कहा कि शव बेहद बुरी हालत में थे।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी घटना पर दुख जताया है।

उन्होंने कहा, ‘‘ कर्नाटक के चिकबलपुर में लोगों के हताहत होने की खबर से दुखी हूं। मैं मृतकों के परिवार के प्रति संवेदनाएं व्यक्त करता हूं और घायलों के जल्द स्वस्थ होने की कामना करता हूं।’’

मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा ने भी हादसे पर दुख व्यक्त करते हुए कहा कि मामले में जांच के आदेश दिए गए हैं और अधिकारियों को दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई का निर्देश भी दिया गया है।

उन्होंने कहा, ‘‘ घटना की उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिए गए हैं और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।’’

पुलिस के अनुसार, घटना पेरसेंड्रा के पास हिरणागवल्ली में हुई।

स्थानीय लोगों द्वारा जिलेटिन की छड़ों के अधिक इस्तेमाल की शिकायत किए जाने के बाद पुलिस ने सात फरवरी को यहां उत्खनन रोक दिया था, लेकिन यहां अवैध रूप से काम जारी था। कुछ दिन पहले यहां छापा भी मारा गया था और ठेकेदार को जिलेटिन का इस्तेमाल ना करने को लेकर चेतावनी दी गई थी।

उन्होंने बताया कि मंगलवार सुबह यह हादसा उस समय हुआ, जब ये लोग जिलेटिन की छड़ें हटाने की कोशिश कर रहे थे।

घटना में घायल हुए एक वाहन के चालक ने पुलिस से कहा, ‘‘ उन्होंने (मारे गए लोगों ने) एक थैला पकड़ रखा था और उन्होंने मुझसे उन्हें वाहन से जंगल तक ले जाने को कहा था। वे एक सुनसान जगह पर गए और फिर अचानक एक विस्फोट हुआ।’’

चालक के पैरों और हाथ में गंभीर चोटें आई हैं।

पुलिस ने बताया कि खनन अधिकारी जब खदान से एक वैन के जरिये जिलेटिन के परिवहन की कोशिश कर रहे थे, तभी रासायनिक प्रतिक्रियाओं के कारण इनमें विस्फोट हो गया। विस्फोट में पांच लोगाें की मौत हो गयी लेकिन वैन का ड्राइवर बच गया। पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया है। धमाका इतना जबरदस्त था कि शव घटनास्थल से 1000 मीटर दूर तक बिखरे हुए पाये गये।

मृतकों की पहचान इंजीनियर उमाकांत, कंप्यूटर ऑपरेटर गंगाधर, चौकीदार महेश, एकाउंटेंट रामू और एक अन्य व्यक्ति के रूप में की गयी ।

घायल को चिकबल्लापुर अस्पताल में भर्ती कराया गया है। पेरेसांद्रा पुलिस ने इस सिलसिले में मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।

खदान का स्वामित्व गुडुबांडे के भारतीय जनता पार्टी के नेता नागराज रेड्डी, आंध्र प्रदेश के राघवेंद्र रेड्डी और शिवा रेड्डी के पास है।

गौरतलब है कि करीब एक माह पहले शिमोगा जिले में हुए इसी तरह के विस्फोट में सात लोगों की मौत हो गयी थी।

कर्नाटक के खनन और भूविज्ञान मंत्री मुरुगेश आर निरानी ने सिलसिलेवार ट्वीट में कहा कि सरकार अवैध खनन गतिविधियों, परिवहन और खनन के लिए उपयोग किए जाने वाले विस्फोटकों के भंडारण के खिलाफ कड़े कदम उठा रही हैं।

निरानी ने कहा, ‘‘ शिवमोगा में हुए हादसे के जख्म अभी भरे ही नहीं थे कि चिकबलपुर में यह दुर्भाग्यपूर्ण विस्फोट हो गया।’’

उन्होंने कहा कि जहां खनन किया जाता है, उन इलाकों में लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सरकार कोई कसर नहीं छोड़ेगी। विस्फोट के कारण का पता लगाने के लिए विस्तृत जांच की जाएगी और इसके लिए जिम्मेदार लोगों को सजा दी जाएगी।

निरानी ने कहा कि मृतकों के परिवार और घायलों को सरकार सभी आवश्यक मदद मुहैया कराएगी।

उन्होंने घायलों के जल्द स्वस्थ होने की कामना करते हुए कहा कि वरिष्ठ अधिकारी मौके पर पहुंच चुके हैं और स्थिति का आकलन कर रहे हैं।

इस बीच, कांग्रेस ने राज्य सरकार पर निशाना साधते हुए आरोप लगाया कि भाजपा नेता इस अवैध गतिविधि में उसी तरह शामिल हैं, जिस तरह वे शिवमोगा में शामिल थे।

पार्टी ने ट्वीट किया, ‘‘ शिवमोगा विस्फोट के बाद नींद से उठने की बजाए, अवैध उत्खनन तथा विस्फोटकों के इस्तेमाल को खत्म करने के बजाए सरकार ऐसी गतिविधियों के समर्थन में खड़ी है, जिसके कारण जिलेटिन की वजह से एक और विस्फोट हुआ।’’

उन्होंने कहा, ‘‘ शिवमोगा की तरह, यहां भी भाजपा शामिल थी। स्वास्थ्य मंत्री डॉ. के. सुधाकर सीधी तौर पर इसके लिए जिम्मेदार हैं ।

मध्यप्रदेश के अभिभाषण में नरेंद्र मोदी का जिक्र करके राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने प्रधानमंत्री के ‘रिफार्म, परफॉर्म और ट्रांसफार्म’ के मंत्र को राज्य सरकार का मिशन बनाने का उल्लेख किया attacknews.in

भोपाल, 22 फरवरी । मध्यप्रदेश की राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने आज विधानसभा में कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘रिफार्म, परफॉर्म और ट्रांसफार्म’ का मंत्र ही राज्य सरकार का मिशन है और इक्कीसवीं सदी को ‘भारत और मध्यप्रदेश की सदी’ बनाने का हमारा संकल्प आत्मनिर्भर राज्य के निर्माण से ही साकार होगा।

श्रीमती पटेल ने बजट सत्र की शुरूआत के मौके पर अपने अभिभाषण में यह बात कही। लगभग 40 मिनट में उन्होंने 39 पेज का अभिभाषण पढ़ा और कहा कि ‘आत्मनिर्भर राज्य’ के निर्माण काे साकार करने के लिए सभी प्रदेशवासियों का वे आह्वान करती हैं।

अभिभाषण की शुरूआत में राज्यपाल ने कहा कि देश की आजादी का अमृत महोत्सव प्रारंभ हो चुका है। आत्मनिर्भर भारत के निर्माण की आधारशिला के रूप में नए संसद भवन की नींव का पत्थर रख दिया गया है। श्री मोदी के कुशल और प्रभावी नेतृत्व में देश आशाओं और विश्वास की एक नयी करवट ले रहा है।

राज्यपाल ने मौजूदा 11 माह की सरकार की उपलब्धियां गिनायीं और यह भी बताया कि जब सरकार का गठन हुआ, कोराेना के अभूतपूर्व संकट के चलते स्थितियां पूरी तरह विपरीत नजर आ रही थीं। ऐसे कठिन दौर में श्री मोदी करोड़ों भारतीयों के लिए आशा और विश्वास की किरण के रूप में सामने आए और इसी वजह से जन जन को कोरोना से जंग जीतने का सकारात्मक संदेश मिला। इसके चलते राज्य सरकार ने कोरोना संक्रमण की त्वरित एवं प्रभावी रोकथाम के लिए आईडेंटीफिकेशन, आइसोलेशन, टेस्टिंग और ट्रीटमेंट (आईआईटीटी) की रणनीति अपनायी और धीरे धीरे इस रोग से लड़ने से जुड़ी सुविधाएं भी बढ़ायी गयीं।

श्रीमती पटेल ने आकड़ों के हवाले से कहा कि मार्च 2020 में जहां कोरोना टेस्टिंग क्षमता 300 थी, उसे बढ़ाकर 30 हजार से अधिक किया गया। टेस्टिंग लेब की संख्या 03 से बढ़ाकर 32 हो गयी है। अब वर्तमान में हमारे पास 03 लाख 50 हजार से ज्यादा पीपीई किट्स और लगभग 02 लाख 40 हजार से अधिक टेस्टिंग किट उपलब्ध हैं। इस दौरान अस्पताल प्रबंधन और स्वास्थ्य सुविधाओं पर ज्यादा ध्यान दिया गया।

श्रीमती पटेल ने कहा कि जहां सरकार के समक्ष कोरोना से निपटने की चुनौती थी, तो अर्थव्यवस्था को पटरी पर बनाए रखना भी जरुरी था। इसके अलावा लॉकडाउन के कारण प्रवासी श्रमिकों और अन्य लोगों को सुरक्षित ढंग से अपने अपने घर और स्थान पर पहुंचाना भी चुनौतीपूर्ण कार्य था। लेकिन हमारी सरकार और प्रशासन ने संयम और मजबूती से कदम उठाए और धीरे धीरे सभी कामों को बेहतर ढंग से पूर्ण किया गया।

उन्होंने कहा कि राज्य में मुख्यमंत्री प्रवासी मजदूर सहायता योजना लागू कर 01 लाख 55 हजार श्रमिकों के खातों में 15 करोड़ रुपयों से अधिक की राशि अंतरित की गयी। इस दौरान कोरोना से संघर्ष के दौरान शहीद हुए 26 कोरोना योद्धाओं के परिवारों को 13 करोड़ रुपयों की राशि प्रदान की गयी। उन्होंने कहा कि श्री मोदी ने कोरोना संकटकाल में मुश्किल को मुमकिन में बदलने का मंत्र ‘आत्मनिर्भरता’ का दिया। इसी से प्रेरणा लेकर आत्मनिर्भर मध्यप्रदेश की परिकल्पना पर तेजी से कार्य शुरू किया गया। इस दिशा में भी राज्य ने रोडमैप बना लिया और उसके लक्ष्य के अनुरूप कार्य किए जा रहे हैं।

कश्मीर घाटी में 11 महीने बाद ट्रेन सेवा बहाल attacknews.in

नयी दिल्ली, 22 फरवरी । कोविड-19 महामारी के कारण करीब 11 महीने से स्थगित ट्रेन सेवा कश्मीर घाटी में सोमवार को बहाल कर दी गयी।

रेल मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि इससे आवागमन की सुविधा बढ़ेगी और पर्यटन क्षेत्र को बड़ा प्रोत्साहन मिलेगा।

गोयल ने ट्वीट किया, ‘‘रेलवे 22 फरवरी से कश्मीर घाटी में बनिहाल-बारामूला खंड पर दो ट्रेनों का परिचालन शुरू करने के साथ सेवा बहाल कर रहा है।’’

इससे पहले रेलवे ने कहा कि सभी ट्रेनों के परिचालन के लिए कोई तिथि तय नहीं की गयी है।

रेलवे चरणबद्ध तरीके से ट्रेन सेवाओं की संख्या में बढ़ोतरी कर रहा है।

रेलवे के एक प्रवक्ता ने कहा, ‘‘पहले से ही 65 प्रतिशत ट्रेनें चल रही हैं। जनवरी में 250 से अधिक ट्रेनें बढ़ायी गयीं और इसके बाद चरणबद्ध तरीके से ट्रेनों की संख्या और बढ़ायी जाएगी।’’

वर्तमान में देश भर में कुछ उपनगरीय ट्रेन सेवाओं के साथ सिर्फ स्पेशल ट्रेनें चल रही हैं जो पूरी तरह से आरक्षित होती हैं।

देश में पिछले साल लॉकडाउन की घोषणा के बाद 25 मार्च से सभी नियमित ट्रेन सेवाएं बंद कर दी गयी थीं।

नरेन्द्र मोदी ने पश्चिम बंगाल में जन सभा में कहा:जब तक राज्य में जबरन वसूली, ‘तोला बाजी’, सिंडिकेट और ‘कट मनी’ की संस्कृति समाप्त नहीं होती तब तक राज्य का विकास नहीं होगा attacknews.in

हुगली(पश्चिम बंगाल) /गुवाहाटी (असम)22 फरवरी । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को लोगों से ‘असल परिवर्तन’ के लिए भारतीय जनता पार्टी को सत्ता में लाने का आह्वान करते हुए आश्वासन दिया कि पार्टी न केवल पश्चिम बंगाल की अतीत की शानदार संस्कृति को बहाल करेगी बल्कि राज्य के सर्वांगीण विकास का मार्ग भी प्रशस्त करेगी।

श्री मोदी ने चिन्सुराह के ऐतिहासिक डनलप ग्राउंड में एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि राज्य के लोगों ने ‘असल परिवर्तन’ के लिए अपना मन बना लिया है। उन्होंने इसके लिए सभा में मौजूद समाज के सभी वर्गाें की विशाल सभा की ओर इशारा किया।

श्री मोदी ने बंगाल में होने वाले आगामी विधानसभा चुनाव के लिए भाजपा के चुनावी अभियान के तहत इस सभा का इस्तेमाल किया। सभा में मौजूद लोगों ने भी ‘मोदी-मोदी’ और ‘जयश्री राम’ के नारे लगाकर उनका उत्साहवर्द्धन और अभिवादन किया।
श्री मोदी ने कहा, “आप सभी की ओर से यह उत्साह और ऊर्जा कोलकाता से दिल्ली एक संदेश भेज रहा है। अब पश्चिम बंगाल ने ‘परिवर्तन’ के लिए अपना मन बना लिया है।”

प्रधानमंत्री ने अपने भाषण की शुरुआत जिले में स्थित प्रसिद्ध तारकेश्वर तीर्थ के देवता तारक नाथ को बंगला में श्रद्धांजलि अर्पित करने के साथ की। उन्होंने कहा कि केंद्र ने इलाके में रेलवे बुनियादी ढांचा और विद्युतीकरण में निवेश को प्राथमिकता दी है जिसकी अब तक की बंगाल की सरकारों ने उपेक्षा की है।

श्री मोदी ने कहा कि जब तक राज्य में जबरन वसूली, ‘तोला बाजी’, सिंडिकेट और ‘कट मनी’ की संस्कृति समाप्त नहीं होती तब तक राज्य का विकास नहीं होगा। उन्होंने लोगों से जीवन के हर पहलू में वास्तविक बदलाव के लिए भाजपा को वोट देने की अपील की।

उन्होंने कहा, “ पिछली बार, मैं यहां गैस कनेक्शन समर्पित करने आया था। आज, मैं बंगाल के लिए कई रेलवे परियोजनाओं की पेशकश करने के लिए यहां आया हूं। इस वर्ष ‘रेल और मेट्रो’ कनेक्टिविटी केंद्र की प्राथमिकता है।”

मेरी नजर पूर्वोत्तर को भारत के विकास का इंजन बनाने पर है: मोदी

इससे पहले असम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को कहा कि उनकी नजर पूर्वोत्तर को भारत के विकास का इंजन बनाने पर है और इसी उद्देश्य को ध्यान में रख कर केंद्र तथा राज्य सरकारें संयुक्त रूप से इस क्षेत्र में बुनियादी ढांचे के विकास पर काम कर रही हैं।

श्री मोदी ने असम में धेमजी के शीलापथर में तेल तथा गैस परियोजना को राष्ट्र को समर्पित करने के बाद कहा,“ मैंने कहा पूर्वोत्तर भारत के विकास का नया इंजन बनेगा। आज हम देख रहे हैं कि इस बात को महसूस किया जा रहा है।”

उन्होंने विशेष रूप से पूर्ववर्ती सरकाराें पर आरोप लगाते हुए कहा कि असम में ब्रह्मपुत्र के उत्तरी क्षेत्र के साथ सौतेला व्यवहार किया गया।

उन्होंने कहा, “असम की अर्थव्यवस्था में चाय बागानों की बड़ी भूमिका है। इन चाय बागानों में काम करने वाले लोगों की जिंदगी को आसान बनाया जाना चाहिए। हमारी सरकार की प्रमुख प्राथमिकताओं में से यह एक है।”

इंदौर में कमलनाध के टपकने वाली लिफ्ट हादसे की जांच के लिए तकनीकी समिति बनाने की घोषणा शिवराज सिंह चौहान ने की attacknews.in

भोपाल, 22 फरवरी । मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने आज विधानसभा में कहा कि इंदौर में एक अस्पताल में पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ और अन्य नेताओं द्वारा लिफ्ट का उपयोग करने के दौरान हुए हादसे की जांच के लिए तकनीकी समिति बनायी जाएगी।

श्री चौहान ने पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के सुझाव पर तकनीकी समिति बनाने की घोषणा करते हुए कहा कि यह समिति राज्य में लिफ्ट संचालन से संबंधित आवश्यक मापदंडों का परीक्षण करेगी। इसकी रिपोर्ट के आधार पर इस तरह के हादसे रोकने के लिए भी आवश्यक कदम उठाए जाएंगे।

श्री चौहान ने कहा कि कल भोपाल में भी एक लिफ्ट हादसा हुआ है, जिसमें कुछ लोग घायल भी हुए हैं। ये सब नहीं होना चाहिए।

इसके पहले सदन की कार्यवाही प्रारंभ होने पर श्री चौहान ने नेता प्रतिपक्ष कमलनाथ के स्वस्थ और सुरक्षित रहने पर ईश्वर के प्रति कृतज्ञता व्यक्त की।

मुख्यमंत्री ने कहा कि कल इंदौर में हुई लिफ्ट दुर्घटना की जांच की जायेगी।

मुख्यमंत्री ने कहा कि यह संतोष की बात है कि ईश्वर की कृपा से लिफ्ट दुर्घटना के दौरान श्री कमलनाथ और विधायक सज्जन सिंह वर्मा को चोट नहीं पहुंची और वे स्वस्थ एवं सुरक्षित हैं।

इसके पहले श्री कमलनाथ ने श्री चौहान के प्रति धन्यवाद ज्ञापित करते हुए कहा कि उन्होंने सद्भावनाएं प्रकट की हैं और एक घंटे के अंदर ही जांच के निर्देश दिए।

उन्होंने कहा कि लिफ्ट में हादसा हुआ और वह बेसमेंट तक चली गयी, जो नहीं जाना चाहिए थी। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि एक तकनीकी समिति बनायी जाना चाहिए, जो जांच करे और भविष्य में इस तरह की घटनाएं रोकने के लिए भी कदम उठाए।

उन्होंने कहा कि लिफ्ट के निरीक्षण इंजीनियर्स द्वारा प्रत्येक छह माह में होना चाहिए और उस पर अंतिम निरीक्षण की तिथि भी दर्ज होना चाहिए।

यमुनापार बसवार गांव में टूटी नावें देखने पैदल जा रही प्रियंका गांधी वाड्रा के काफिले में घुसा भेड़ों का झुंड ,चरवाहा गेंदा लाल पाल ने घटना से परेशान होकर कहा: “हमें तो बस इस बात का डर था कि इस भीड़ में कहीं हमारी भेड़ खो ना जाए” attacknews.in

प्रयागराज, 21 फरवरी । उत्तर प्रदेश के प्रयागराज जिले के यमुनापार बसवार गांव में रविवार को उस समय अफरा तफरी मच गई जब कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा के काफिले में भेड़ों का झुंड घुस गया। प्रियंका यमुना किनारे कार्यकर्ताओं और स्थानीय लोगों के साथ टूटी हुई नावें देखने पैदल जा रही थीं।

प्रियंका के काफिले में भेड़ों का झुंड घुसने पर भी काफिले की गति बनी रही और प्रियंका अपने कार्यकर्ताओं और लोगों के साथ घटनास्थल की ओर बढ़ती रहीं। हालांकि इस बीच चरवाहा गेंदा लाल पाल इस घटना से परेशान हो उठे और वह डंडे से भेड़ों को हांक कर बाहर निकालने में लगे रहे।

कांग्रेस नेता के मौके से रवाना होने के बाद बाद गेंदा लाल पाल ने बताया कि उन्हें कुछ देर पहले ही पता चला कि (दिवंगत पूर्व प्रधानमंत्री) इंदिरा गांधी की पोती, प्रियंका गांधी यहां आई हैं।

काफिले में भेड़ों के झुंड के घुसने के बारे में गेंदा लाल ने कहा, “हमें तो बस इस बात का डर था कि इस भीड़ में कहीं हमारी भेड़ खो ना जाए। लेकिन भगवान की कृपा से हमारी सभी 100 भेड़ें मिल गईं।”

उल्लेखनीय है कि चार फरवरी, 2021 को जिला प्रशासन और पुलिस ने बालू के कथित अवैध खनन के खिलाफ कार्रवाई करते हुए निषाद समाज के लोगों को कथित तौर पर पीटा था और उनकी नावें तोड़ दी थीं। कांग्रेस महासचिव पीड़ितों से आज मिलने यहां आयी थी।

5 राज्यों के विधानसभा चुनाव के लिए केंद्रीय बलों की 250 कंपनियों के 25 हजार जवानों की तैनाती; पश्चिम बंगाल, असम, तमिलनाडु, केरल और पुड्डुचेरी में अप्रैल-मई में होंगे विधानसभा चुनाव attacknews.in

नयी दिल्ली 20 फरवरी । केंद्र सरकार ने चार राज्यों और एक केंद्र शासित प्रदेश (यूटी) में होने वाले विधानसभा चुनावों में केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (सीएपीएफ) की करीब 250 कंपनियों को तैनात करने का फैसला किया है।

सुरक्षा से जुड़े एक वरिष्ठ अधिकारी ने शनिवार को यहां यह जानकारी दी। एक कंपनी में करीब 100 या उससे अधिक जवान होते हैं तथा इस प्रकार 25,000 से अधिक जवानों को चार राज्यों और एक केंद्र शासित प्रदेश में निष्पक्ष और शांतिपूर्ण मतदान के लिए तैनात किया जाएगा।

देश के चार राज्यों पश्चिम बंगाल, असम, तमिलनाडु और केरल तथा एक केंद्र शासित प्रदेश पुड्डुचेरी में अप्रैल और मई में विधानसभा चुनाव होने हैं।
आधिकारिक सूत्र के मुताबिक केंद्रीय गृह मंत्रालय ने केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) , सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ), भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी), केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) और सशस्त्र सीमा बल (एसएसबी) की 250 कंपनियों को चुनावों में तैनात होने के लिए तैयार रहने के निर्देश दिये हैं।
अधिकारी ने बताया कि इन राज्यों में से पश्चिम बंगाल में सीएपीएफ की सबसे अधिक 125 कंपनियां तैनात की जायेंगी। इसके बाद तमिलनाडु में 45, असम में 40, केरल में 30 और पुड्डुचेरी में 10 कंपनियां तैनात की जायेंगी। उन्होंने बताया कि इस संबंध में हाल में चुनाव आयोग और केंद्रीय गृह मंत्रालय के अधिकारियों के बीच हुई बैठक में इस आशय का निर्णय लिया गया।
केंद्रीय बलों में सबसे अधिक सीआरपीएफ की 85 कंपनियां, इसके बाद बीएसएफ की 60 कंपनियां, और आईटीबीपी की 40 कंपनियां शामिल हैं। बाकी बल सीआईएसएफ और एसएसबी से लिये जायेंगे। करीब 75 कंपनियां रिजर्व के तौर पर रखी जायेंगी जिनका इस्तेमाल आपात स्थिति में किया जाएगा।

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने पेट्रोल और डीजल की बढ़ती कीमतों के आने वाले समय में ओर भी गंभीर होने के दिए संकेत;साथ ही दामों की बढोतरी पर केन्द्र और राज्य सरकारों को बातचीत करने की सलाह दी attacknews.in

चेन्नई, 20 फरवरी । केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने पेट्रोल तथा डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी को गंभीर मुद्दा करार देते हुए शनिवार को कहा कि उपभोक्ताओं को राहत दिलाने के लिए केंद्र तथा राज्य सरकारों को बात करनी चाहिए।

श्रीमती सीतारमण ने यहां पेट्रोल तथा डीजल की बढ़ रही कीमतों को लेकर कहा, “ यह एक गंभीर मुद्दा है और कीमतों में कमी के अलावा कोई भी जवाब लोगों को संतुष्ट नहीं कर सकता। उपभोक्ताओं के लिए खुदरा ईंधन मूल्य में कमी लाने के लिए केंद्र और राज्य सरकारों को बात करनी चाहिए।

उन्होंने कहा कि पेट्रोलियम पदार्थों के निर्यातक देशों का संगठन (ओपेक) ने उत्पादन का जो अनुमान लगाया था, उसमें भी कमी आने की संभावना है, जिससे चिंता और बढ़ रही है। तेल के दाम पर सरकार का नियंत्रण नहीं है। इसे तकनीकी तौर पर मुक्त कर दिया गया है। तेल कंपनियां कच्चा तेल आयात करती हैं, रिफाइन करती हैं और बेचती हैं।

उल्लेखनीय है कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल में नरमी के बावजूद घरेलू स्तर पर ईंधन की कीमतों में तेजी का रुख लगातार 12 वें दिन भी बना रहा और राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में पेट्रोल आज 39 पैसे बढ़कर 90.58 रुपए प्रति लीटर पर और डीजल 37 पैसे चढ़कर 80.97 रुपए प्रति लीटर पर पहुंच गया। देश के कई शहरों में पेट्रोल की कीमत 100 रुपये प्रति लीटर के पार पहुंच चुकी है।

बिहार के गोपालगंज में नाबालिग से बलात्कार के बाद हत्यारे को सुनाई अदालत ने फांसी की सजा attacknews.in

गोपालगंज, 20 फरवरी । बिहार में गोपालगंज जिले की एक अदालत ने नाबालिग के साथ दुष्कर्म करने के बाद उसकी हत्या करने के आरोप में शनिवार को एक व्यक्ति को फांसी की सजा सुनायी।

अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश सह लैंगिक उत्पीड़न से बच्चों के संरक्षण का अधिनियम 2012 (पास्को) के विशेष न्यायाधीश बालेंद्र शुक्ला ने यहां मामले में दोनों पक्षों की दलीले सुनने के बाद जिले के सिधवलिया थाना क्षेत्र के बखरौर गांव निवासी जय किशोर शाह को यह सजा सुनाई है।

आरोप के अनुसार, 25 अगस्त 2020 को सिधवलिया थाना क्षेत्र के बखरौर गांव में नौ वर्षीय किशोरी गांव के ही जय किशोर शाह के घर जाकर उसके बच्चे के साथ खेल रही थी। इसी बीच जयकिशोर ने दुष्कर्म करने के बाद नाबालिग की हत्या कर दी थी और घर में ताला बंद कर फरार हो गया था। बाद में संदेह के आधार पर घर का ताला तोड़ने पर छज्जे से शव बरामद किया गया था।
इस मामले को लेकर सिधवलिया थाने में कांड संख्या 187/2020 दर्ज किया गया था। कांड के अनुसंधानक की तरफ से आरोप पत्र समर्पित किए जाने के बाद मामले की सुनवाई चल रही थी।

सीधी मे बस दुर्घटना में नहर में काल कवलित हो गए मृतकों की संख्या बढ़कर 54 हुयी attacknews.in

सीधी, 20 फरवरी । मध्यप्रदेश के सीधी जिले के रामपुर नैकिन थाना क्षेत्र के सरदा में हुयी बस दुर्घटना के पांचवे दिन आज एक और व्यक्ति का शव मिलने से मृतकों की संख्या बढ़कर 54 हो गयी।

आधिकारिक जानकारी के अनुसार बाणसागर नहर में आज पांचवे दिन भी सर्च ऑपरेशन जारी रहा। इस दौरान दुर्घटना के शिकार एक और व्यक्ति का शव रीवा जिले की सीमा से बरामद किया गया, जिसके बाद अब मृतकों की संख्या बढ़कर 54 हो गयी है।

जिले के रामपुर नैकिन थाना क्षेत्र में बाणसागर बांध परियोजना से जुड़ी एक नहर में 16 फरवरी की सुबह एक बस अनियंत्रिति होकर गिर गयी थी। हादसे में अब तक 54 यात्रियों के शव बरामद हो चुके हैं।

बाणसागर नहर में सर्च ऑपरेशन जारी

कल भी सीधी जिले के रामपुर नैकिन के सरदा गांव में हुए बस हादसे के चौथे दिन तीन और यात्रियों के शव मिलने के बाद मृतकों की संख्या बढ़कर 53 हो गयी।

अधिकारिक सूत्रों ने बताया कि जिले के सरदा गांव में हुए बस हादसे के चौथे दिन भी बाणसागर नहर में एनडीआरएफ, एसडीआरएफ के दल एवं पुलिस होमगार्ड के जवानों का सर्च ऑपरेशन लगातार जारी ।

कल सुबह रीवा जिले की सीमा में दुर्घटना के शिकार एक अन्य व्यक्ति का शव प्राप्त हुआ। इसके बाद शाम को एक अन्य शव बरामद किया गया, जिसके बाद दुर्घटना में मृतकों की संख्या बढ़कर 53 हो गयी है।

सीधी जिले के रामपुर नैकिन के सरदा गांव में हुए बस हादसे के चौथे दिन एक और यात्री का शव मिलने के बाद मृतकों की संख्या बढ़कर 53 हो गई है।

अधिकारिक सूत्रों ने बताया कि जिले के सरदा गांव में हुए बस हादसे के चौथे दिन भी बाणसागर नहर में एनडीआरएफ, एसडीआरएफ के दल एवं पुलिस होमगार्ड के जवानों का सर्च ऑपरेशन लगातार जारी रहा।

बस हादसे के लापता तीन यात्रियों की सर्चिंग के लिए आयेगी सेना की टुकड़ी

सीधी जिले के रामपुर नैकिन थाना क्षेत्र के सरदा गांव में बस हादसे में अभी भी तीन लोगों के लापता होने की आशंका की जिनकी सर्चिंग के लिए सेना को बुलाया गया ।

पुलिस अधीक्षक पंकज कुमावत बताया था कि तीन यात्री जो अभी तक लापता है। उनकी विशेष तरह से सर्चिंग करने के लिये बनारस से सेना के तीन लोगों की टीम जायजा लेने आई , जिनका हेड क्वाटर जबलपुर है।

सीधी बस हादसा : अब तक नहीं मिले तीन लापता लोग

तीन दिन पहले हुए बस हादसे के बाद से लापता तीन लोगों को राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) एवं इसकी राज्य इकाई गुरूवार को भी नहर के भीतर नहीं ढूंढ पाई थी । इस बस हादसे में 51 लोगों की मौत हो गई थी।

सीधी के पुलिस अधीक्षक पंकज कुमावत ने बताया कि जबलपुर से सेना का एक दल इस बस हादसे में लापता तीन लोगों को खोजने के लिए मौके पर पहुंचा ।

उन्होंने कहा कि इन तीन लापता लोगों को ढूंढने का अभियान सूर्यास्त के बाद बंद कर दिया गया।

कुमावत ने बताया कि एनडीआरएफ एवं राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) इन तीन लापता लोगों को ढूंढने के लिए इस नहर के भीतर कड़ी मेहनत कर रहे हैं, लेकिन आज इनमें से एक भी नहीं मिला।

वहीं, सीधी के कलेक्टर रवीन्द्र कुमार चौधरी ने बताया, ‘‘इस नहर में तीन किलोमीटर से अधिक लंबी सुरंग भी है। वहां पर बहुत ही कम ऑक्सीजन रहती है। इस बात की आशंका है कि लापता व्यक्ति इसमें हो सकते हैं। इसलिए इस सुरंग में भी इन तीन लापता लोगों की खोज की जा रही है।’’

उन्होंने बताया कि हादसे के वक्त इस बस में चालक समेत कुल 61 लोग इसमें सवार थे। उन्होंने कहा कि इनमें से 51 लोगों की डूबने से मौत हो गई जबकि छह को बचा लिया गया और तीन अन्य लोग अभी भी लापता हैं।

अधिकारी ने बताया कि इनके अलावा अलावा, बस चालक भी था, जिसे बुधवार सुबह गिरफ्तार किया गया है।

चौधरी ने बताया कि यह 32 सीट क्षमता वाली बस थी लेकिन इसमें 61 लोग सवार थे।

उन्होंने कहा कि बस में सवार 40 से अधिक लोग एएनएम (महिला स्वास्थ्य कार्यकर्ता) की भर्ती परीक्षा एवं अन्य परीक्षा देने सतना जा रहे थे, इसलिए बस खचाखच भरी हुई थी।

उल्लेखनीय है कि मध्य प्रदेश के सीधी जिला मुख्यालय से करीब 80 किलोमीटर दूर पटना गांव के पास मंगलवार सुबह हुए इस बस हादसे में 51 लोगों की मौत हो गई थी।

सीधी बस हादसे मामले में चार वरिष्ठ अधिकारी निलंबित

इस दर्दनाक हादसे के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने प्रभावित परिवारों से मुलाकात के बाद चार वरिष्ठ अधिकारियों को निलंबित कर दिया।

श्री चौहान ने सीधी जिले के 10 गांवों का देर रात तक भ्रमण कर हादसे में मृत यात्रियों के परिजनों को सांत्वना दी। इसके बाद रात में ही यहां मुख्यमंत्री ने कलेक्ट्रेट सभागार में आयोजित बैठक में राहत तथा बचाव कार्य की समीक्षा की। इस दौरान उन्होंने सड़क रखरखाव कार्य से जुड़े तीन वरिष्ठ अधिकारियों के अलावा सीधी जिले के क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी (आरटीओ) को निलंबित कर दिया।

बैठक के बाद पत्रकारों से चर्चा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा था कि जिन्हें हमने खोया खो दिया, उन्हें वापस नहीं लाया जा सकता है, पर पीड़ित परिवार को हरसंभव सहायता दी जाएगी। ऐसे परिवारों को सात सात लाख रुपये की तत्कालीन सहायता दी गई है। दुर्घटना में मृतक व्यक्तियों के परिजनों को उनकी स्थिति के अनुसार सहायता दी जाएगी।

मुख्यमंत्री ने कहा कि दुर्घटना के सही कारण तो जांच के बाद पता चलेंगे, पर आम जनता से जो फीडबैक मिला है, उसके आधार पर छुहिया घाटी की रोड खराब होना तथा बार-बार जाम लगने के कारण बस का मार्ग बदलना रहा है। इसलिए मध्यप्रदेश रोड डेवलपमेंट कारपोरेशन के महाप्रबंधक, सहायक महाप्रबंधक और प्रबंधक को निलंबित करने के निर्देश दिए गए हैं। क्षमता से अधिक सवारी होने तथा बस में निर्धारित मार्ग से दूसरे मार्ग में जाने के मामले में प्रथम दृष्टया दोषी मानते हुए जिला परिवहन अधिकारी सीधी को निलंबित करने के निर्देश दिए गए हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि एमपीआरडीसी के बड़े अधिकारी शीघ्र ही यहां आएंगे और छुहिया घाटी की तत्कालीन व्यवस्था के लिए 15 दिन में आवश्यक सुधार कार्य कराया जाएगा। इस रोड पर खतरनाक मोड़ को समाप्त करने के लिए दीर्घकालीन कार्य योजना बनेगी। इस रोड पर ट्रैफिक का दबाव घटाने के लिए रीवा गड्डी रामपुरनैकिन रोड तथा जिगना भरतपुर रोड का निर्माण शीघ्र पूरा किया जाएगा।

मुख्यमंत्री ने राहत तथा बचाव कार्य में तत्परता के लिए राजस्व प्रशासन पुलिस प्रशासन एनडीआरएफ एसडीआरएफ की तारीफ की। उन्होंने बचाव कार्य मे उत्कृष्ट कार्य करने पर शिवरानी लोनिया, लवकुश लोनिया तथा सतेन्द्र शर्मा को 5-5 लाख रुपए का पुरस्कार देने की घोषणा भी की।

मंगलवार को रामपुरनैकिन थाना क्षेत्र में सीधी से सतना रवाना हुयी बस बाणसागर परियोजना से जुड़ी नहर में गिर गयी थी। इस वजह से 51 यात्रियों की मृत्यु हुयी है। बस में सवार अधिकांश यात्री रेलवे और नर्सिंग संबंधी परीक्षा देने के लिए सतना जा रहे थे। नहर में कम से कम 20 फीट पानी भरा हुआ था। हादसे के बाद लगभग सात लोगों को बचा लिया गया था। शेष यात्री खुशकिस्मत नहीं रहे।

दुर्घटना पीड़ितों की हर संभव सहायता दी जाएगी- शिवराज

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि दुर्घटना पीड़ितों की हर संभव सहायता की जाएगी।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने गुरुवार को भी यहाँ पहुंचकर 10 गांवों का भ्रमण किया और बस दुर्घटना के मृतकों के परिजनों को सांत्वना दी। उन्होंने इसके बाद मुख्यमंत्री ने कलेक्ट्रेट सभागार में आयोजित बैठक में राहत तथा बचाव कार्य की सभी समीक्षा करते हुए दुर्घटना के बाद से शेष लोगों की खोज के लिए विशेष प्रयास करने के निर्देश दिए हैं।

सीधी हादसे के दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी – शिवराज

भोपाल, से खबर है कि,मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने सीधी दौरे के बाद गुरुवार को कहा कि सीधी बस हादसे के दोषियों को किसी भी स्थिति में छोड़ा नहीं जाएगा।

श्री चौहान ने यहां अपने निवास पर वरिष्ठ अधिकारियों के साथ उच्च स्तरीय बैठक में कहा कि पूरे प्रदेश में एेसी सड़कों का सर्वेक्षण किया जाए, जहां दुर्घटनाएं होती हैं। उनके कारणों का पता लगाकर उन्हें दूर किया जाए। सड़कों की मरम्मत और क्रेन की व्यवस्थाएं भी पर्याप्त मात्राओं में की जाएं। वैकल्पिक मार्ग विकसित करने के लिए कार्ययोजना बनायी जाए। दुर्घटना संभावित क्षेत्रों में अप्रिय स्थिति से निपटने के लिए आवश्यक प्रबंध किए जाएं।

श्री चौहान ने कहा कि पूरे राज्य में बसों की फिटनेस और आेवरलोडिंग के संबंध में अभियान प्रारंभ कर दोषियों के खिलाफ वैधानिक कार्रवाई की जाए। ओवरलोडिंग बर्दाश्त नहीं की जाएगी।

बैठक में मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस, पुलिस महानिदेशक विवेक जौहरी और जल संसाधन तथा परिवहन विभाग के वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद थे।

छुहिया घाटी में सड़क सुधार का कार्य शीघ्र होगा शुरू: शुक्ला

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के निर्देश पर प्रदेश सड़क विकास निगम के प्रबंध संचालक श्रीमन शुक्ला ने आज यहां पहुंच कर तकनीकी अधिकारियों के साथ छुहिया घाटी का निरीक्षण किया और जिला प्रशासन, पुलिस प्रशासन और अन्य अधिकारियों के साथ सड़क सुधार के संबंध में चर्चा की।

आधिकारिक जानकारी के अनुसार श्री शुक्ला ने कहा कि छुहिया घाटी में सड़क सुधार का कार्य दो-तीन दिनों में शुरू कर दिया जायेगा। इसके कठिन मोड़ों को सुधारने के लिये सर्वेक्षण करके तकनीकी अधिकारी पूरी कार्य-योजना तैयार करेंगे। घाटी में भारी वाहनों के आवागमन दबाव को कम करने के लिये वैकल्पिक सड़कों को उन्नत करने की भी कार्यवाही की जायेगी। छुहिया घाटी में वाहनों का जाम न लगे, इसके लिये भी प्रबंध किये जायेंगे। बैठक में कलेक्टर रवीन्द्र कुमार चौधरी द्वारा छुहिया घाटी में आवागमन के संबंध में सुझाव भी दिये ।

केंद्र सरकार ने अक्टूबर 2020 से अब तक राज्यों को जीएसटी मुआवजे के एक लाख करोड़ रुपये जारी किए attacknews.in

नयी दिल्ली, 20 फरवरी । वित्त मंत्रालय ने शनिवार को कहा कि केंद्र ने अक्टूबर 2020 से अब तक राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को जीएसटी मुआवजे के रूप में एक लाख करोड़ रुपये जारी किए हैं।

मंत्रालय ने शुक्रवार को 23 राज्यों और तीन केंद्र शासित प्रदेशों (दिल्ली, जम्मू-कश्मीर और पुदुचेरी) को 5,000 करोड़ रुपये की 17वीं साप्ताहिक किस्त जारी की, जिसके साथ पिछले साल अक्टूबर में स्थापित विशेष उधारी खिड़की के तहत अब तक जारी की गई कुल राशि एक लाख करोड़ रुपये हो गई है।

शेष पांच राज्यों अरुणाचल प्रदेश, मणिपुर, मिजोरम, नागालैंड और सिक्किम में वस्तु और सेवा कर (जीएसटी) के कार्यान्वयन के कारण राजस्व में कोई अंतर नहीं आया है।

केंद्र ने जीएसटी के कार्यान्वयन के कारण राजस्व में 1.10 लाख करोड़ रुपये की अनुमानित कमी को पूरा करने के लिए अक्टूबर 2020 में राज्यों के लिए कर्ज जुटाने की एक विशेष सुविधा शुरू करवायी है।

केंद्र द्वारा राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों की ओर से इस सूविधा के जरिए बाजार से उधार लिया जा रहा है।

मंत्रालय ने बताया, ‘‘केंद्र सरकार द्वारा विशेष ऋण सुविधा के माध्यम से औसतन 4.83 प्रतिशत की ब्याज दर पर 1,00,000 करोड़ रुपये की राशि उधार ली गई है। इसमें से 91,460.34 करोड़ रुपये की राशि राज्यों को जारी की गई है और 8,539.66 करोड़ रुपये की राशि तीन केंद्र शासित राज्यों के लिए जारी की गई है।’’

मध्यप्रदेश,केरल, महाराष्ट्र, पंजाब, छत्तीसगढ़ में बढ़ रही हैं रोजाना कोरोना संक्रमितों की संख्या: केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने जारी किए आंकड़े attacknews.in

नयी दिल्ली, 20 फरवरी। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने शनिवार को कहा कि केरल, महाराष्ट्र, पंजाब, छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश में कोविड-19 के नए मामलों में बढ़ोतरी हुई है।

मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि पिछले सात दिनों में छत्तीसगढ़ में वायरस संक्रमण के रोजाना के मामलों में वृद्धि हुई है। पिछले 24 घंटे में राज्य से 259 नए मामले आए हैं।

केरल में रोजाना संक्रमण के मामलों में वृद्धि होती जा रही है और पिछले एक सप्ताह में महाराष्ट्र में भी तेज बढ़ोतरी हुई है। इससे शनिवार को देश में संक्रमण के नए मामलों में इजाफा हुआ है।

मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ‘‘पिछले 24 घंटे में महाराष्ट्र में कोविड-19 के 6,112 नए मामले आए।’’

महाराष्ट्र की तरह पंजाब में भी रोजाना के मामले बढ़ रहे हैं जहां पिछले 24 घंटे में 383 नए मामले आए।

मंत्रालय ने कहा कि 13 फरवरी के बाद से मध्यप्रदेश में भी संक्रमण के मामलों में बढ़ोतरी हुई है। पिछले 24 घंटे में राज्य से 297 नए मामले आए।

मंत्रालय ने कहा कि कोराना वायरस संक्रमण की कड़ी तोड़ने और इसके प्रसार पर रोक लगाने के लिए उचित व्यवहार अपनाए जाने की जरूरत है।

केवल दो राज्यों महाराष्ट्र और केरल में कोविड-19 के 75.87 प्रतिशत उपचाराधीन मामले हैं।

मंत्रालय ने कहा कि पिछले 24 घंटे में 18 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेश में संक्रमण से किसी की मौत नहीं हुई। इनमें तेलंगाना, हरियाणा, जम्मू कश्मीर, झारखंड, हिमाचल प्रदेश, त्रिपुरा, असम, चंडीगढ़, लक्षद्वीप, मणिपुर, मेघालय, लद्दाख, मिजोरम, सिक्किम, नगालैंड, अरुणाचल प्रदेश, अंडमान निकोबार द्वीपसमूह, दादरा और नगर हवेली तथा दमन और दीव हैं।

मंत्रालय ने कहा कि सुबह आठ बजे तक अनंतिम रिपोर्ट के मुताबिक 2,22,313 सत्र में कोविड-19 के 1,07,15,204 टीके दिए गए।

इनमें 63,28,479 स्वास्थ्यकर्मियों को पहली खुराक दी गयी जबकि 8,47,161 स्वास्थ्यकर्मियों को दूसरी खुराक दी गयी। इसके अलावा 35,39,564 अग्रिम मोर्चे के कर्मी भी हैं, जिन्हें पहली खुराक दी गयी।

पहली खुराक दिए जाने के 28 दिन होने पर 13 फरवरी से कोविड-19 टीकाकरण के तहत दूसरी खुराक देने की शुरुआत की गयी। अग्रिम मोर्चे के कर्मियों के लिए दो फरवरी से टीकाकरण शुरू हुआ।

मंत्रालय ने कहा कि नौ राज्यों में पांच लाख से ज्यादा खुराकें दी गयीं। इनमें उत्तरप्रदेश (11,52,042), महाराष्ट्र (8,60,386), गुजरात (8,56,657), राजस्थान (7,99,719), पश्चिम बंगाल (6,50,976), कर्नाटक (6,29,420), मध्य प्रदेश (6,26,391), बिहार (5,50,433) और ओडिशा (5,01,713) शामिल हैं।