कांग्रेस नेता शशि थरुर पाकिस्तान में कहकर आ गये: भारत में मुसलमानों के साथ भेदभाव होता है,भारत में एक दूसरे से डर का माहौल है, चीनी जैसे दिखने वाले लोगों के साथ भेदभाव होता है  तबलीगी जमात को कोरोना के समय में मुसलमानों को परेशान किया गया attacknews.in

नयी दिल्ली 18 अक्टूबर । पाकिस्तान के मंच से कांग्रेस सांसद शशि थरूर के विवादित बयान की निंदा करते हुए भारतीय जनता पार्टी ( भाजपा ) ने कहा कि है कि वह (थरूर) पाकिस्तान में देश को नीचा दिखाने और बदनाम करने की कोशिश कर रहे हैं।

भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा ने रविवार को यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा कि क्या कांग्रेस पाकिस्तान में चुनाव लड़ना चाहती है? उन्होंने कहा, “ शशि थरूर ने भारत का मजाक बनाया है और भारत को एक खराब परिदृश्य से दिखाने की कोशिश की है।”

श्री पात्रा ने कहा, “ थरूर ने लाहौर लिटरेचर फ़ेस्टिवल में वर्चुअल माध्यम से पाकिस्तान के मंच से कहा था कि भारत में मुसलमानों और उत्तर-पूर्व के लोगों के साथ भेदभाव होता है। उन्होंने कहा कि भारत में एक दूसरे से डर का माहौल है। चीनी जैसे दिखने वाले लोगों के साथ भेदभाव होता है। उन्होंने तबलीगी जमात का पक्ष लेते हुए कहा कि कोरोना के समय में मुसलमानों को परेशान किया गया। ऐसा बयान देकर उन्होंने भारत का अपमान किया है।”

श्री पात्रा ने कहा, “ कोई और देश भारत जैसा लोकतांत्रिक नहीं है। यहां सबके लिए चिंता की जाती है। थरूर ने पाकिस्तानी मीडिया से भारत की बुराई की। कल्पना नहीं की जा सकती कि हिंदुस्तान का एक सांसद ऐसा बयान भी दे सकता है।”

भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि थरूर कहते हैं पाकिस्तान के मंच से कि तबलीगी जमात को लेकर किस तरह का पक्षपात हिंदुस्तान की सरकार कर रही है और मुसलमानों के खिलाफ कट्टरता दिखा रही है। थरूर यह बात पाकिस्तान जाकर बोल रहे हैं।

उन्होंने कभी पाकिस्तान से पूछने की हिम्मत की कि पाकिस्तान किस तरफ अल्पसंख्यकों पर अत्याचार करता है और कट्टरता दिखाता है। रोज पता चलता है कि वहां हिंदुओं, ईसाइयों और सिखों के साथ क्या हो रहा है। वहां किसी अस्पसंख्यक का अपहरण, दुष्कर्म और हत्या आम बात हो गई है। आखिर ये लोग क्या चाहते हैं? क्या पाकिस्तान से कांग्रेस चुनाव लड़ना चाहती है। “
श्री पात्रा ने कहा कि कोविड को लेकर पूरा विश्व देख रहा है कि हिंदुस्तान को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी ने किस प्रकार से सुरक्षित रखा, समय से लॉकडाउन हुआ, किस प्रकार 80 करोड़ लोगों को खाद्यान्न पहुंचाने का काम किया गया और आगे छठ पूजा तक चलता रहेगा।

उन्होंने कहा, “ राहुल गांधी चीन और पाकिस्तान में पहले ही हीरो बन चुके हैं। उन्होंने आर्टिकल 370 हटने के बाद बयान दिया था कि कश्मीर में सैंकड़ों लोग मारे गए हैं। इसके बाद उनके बयान का इस्तेमाल पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने संयुक्त राष्ट्र में किया था और कहा था कि भारत के बहुत बड़े नेता ने जम्मू कश्मीर में अत्याचार की बात कही है।

उज्जैन में जहरीली शराब पीने से 12 मृतकों की पोस्टमार्टम रिपोर्ट में सस्पेक्टेड टोक्सिन मौत का कारण बनी,शिवराज सिंह चौहान ने दोषियों पर सख्त कार्रवाई के दिए निर्देश attacknews.in

भोपाल, 16 अक्टूबर । मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने उज्जैन जिले में कथित तौर पर नशीले पदार्थ के सेवन से हुयीं मौत की घटना को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए आज कहा कि इस घटना के दोषियों को किसी भी कीमत से बख्शा नहीं जाएगा।

आधिकारिक जानकारी के अनुसार श्री चौहान ने उज्जैन की घटना को लेकर यहां एक बैठक ली, जिसमें उन्होंने उज्जैन में कल नशीले पदार्थ के सेवन से हुई मौतों के बाद शासन स्तर पर और स्थानीय प्रशासन द्वारा की गई कार्रवाई की विस्तृत जानकारी ली।

उन्होंने इस घटना को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए कहा कि इसके पीछे ज़िम्मेदार लोगों को किसी भी हालत में बख्शा नहीं जाएगा, उनके खिलाफ कार्रवाई की जा रही है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि नशे के सौदागरों को मध्यप्रदेश की धरती पर नहीं रहने दिया जाएगा। उन्होंने इस घटना को लेकर अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए हैं, जल्द ही दोषी सलाखों के पीछे होंगे।

श्री चौहान ने कहा कि मौत के सौदागरों को नेस्तनाबूत किया जाये। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि मिलावटखोरों के विरुद्ध सख्त एक्शन लिया जाए। किसी भी तरह की मिलावट का मामला हो, दोषी व्यक्ति बचना नहीं चाहिये।

उन्होंने कहा कि आम जनता को बचाने के लिए सभी संबंधित विभाग सतर्क, सजग और सक्रिय रहें। उन्होंने निर्देश दिया है कि उन्हें प्रतिदिन इस दिशा में की गई कार्रवाई की जानकारी दी जाए। किसी भी स्थान पर इस तरह की अवैध गतिविधियों को प्रश्रय न मिले। जो अधिकारी-कर्मचारी ऐसे कार्यों को प्रश्रय देंगे उनके विरुद्ध भी कड़े कदम उठाए जाएं।

उज्जैन में कथित तौर पर नशीले पदार्थ के सेवन से कम से कम 14 लोगों की मृत्यु हो गयी है। इस घटना के मामले की जांच की जा रही है। पुलिस ने इस मामले में कुछ लोगों को हिरासत में भी लिया है। इसके अलावा खाराकुंआ थाना प्रभारी सहित चार पुलिस कर्मचारियों को निलंबित भी किया जा चुका है।

जहरीली शराब के सेवन ने अब तक 12 मौतें

उज्जैन जिले में जहरीली शराब के सेवन से मरने वालों की संख्या बढकर 12 पहुंच गयी। वहीं, पुलिस ने इस मामले में एक आरोपी को गिरफ्तार किया है तथा कई लोगों को हिरासत में लेकर उनसे पूछताछ की जा रही है।

पुलिस सूत्रों ने आज बताया कि महाकाल थाना क्षेत्र में कल पुलिस ने 55 वर्षीय एवं 40 वर्षीय अज्ञात पुरुष के सार्वजनिक स्थल से शव बरामद किए और 40 वर्षीय जीतू को अधिक शराब पीने के कारण इलाज के लिये अस्पताल में भर्ती किया गया, जहां उसकी बाद में मौत हो गयी है।

पुलिस ने विज्ञप्ति जारी कर बताया कि उज्जैन शहर के खाराकुआ, महाकाल, कोतवाली, जीवाजीगंज के अंतर्गत कुल 12 पुरुषो की संदिग्ध जहरीली शराब पीने से मौत के मामले दर्ज किए हैं। मृतको का पोस्टमार्टम कराये जाने पर प्रथम दृष्टया सस्पेक्टेड टोक्सिन के कारण मृत्यु होना पाया गया।

पुलिस की उक्त मामले में प्रारंभिक जांच में यह तथ्य सामने आये की जहरीली शराब का निर्माण और विक्रय सिकन्दर, युनूस, गब्बर एवं अन्य व्यक्तियों द्वारा गोपनीय रूप से किया जाता था और बाजार से स्प्रिट लाकर झिंझर नामक जहरीली शराब छोटी-छोटी पोलिथीन मे भरकर सेवन के लिए सस्ते दामों में गरीब मजदूर वर्ग के लोगो को विक्रय किया जाता था।

खाराकुआ पुलिस ने आबकारी अधिनियम के तहत आरोपी सिकन्दर, युनुस ,गब्बर एवं अन्य व्यक्तियों के विरुद्ध प्रकरण पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया। उनमें से यूनुस को गिरफ्तार कर लिया और अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी के लिये टीम गठित की है।

सम्पूर्ण घटना संवेदनशील होने से और इस प्रकार के जहरीली शराब एवं नशीले पदार्थ के निर्माण और विक्रय के नेटवर्क की पतासाजी की जा रही है।

पुलिस ने फरार आरोपियों पर इनाम उद्घोषणा की गई है और रासुका के अन्तर्गत प्रकरण तैयार किए गए हैं। वहीं, पुलिस ने जिले में शहर और देहात के सभी थानों क्षेत्रों में जहरीली शराब निर्माण एवं विक्रम करने वालों पर बडी कार्रवाई करते हुए आबकारी अधिनियम के तहत प्रकरण दर्ज कर कई लोगों को गिरफ्तार किया है। साथ ही इनके कब्जे से 623 लीटर अवैध शराब भी जब्त की गयी।

पुलिस अधीक्षक मनोज कुमार सिंह ने इसके पूर्व प्रारंभिक जांच में खाराकुआ थाना के अन्तर्गत जहरीली शराब की विक्रय एवं निर्माण की जानकारी नही होने पर थाना प्रभारी खाराकुआ निरीक्षक एम एल मीना, बीट प्रभारी उपनिरीक्षक निरंजन शर्मा, बीट आरक्षक शेख अनवर एवं आरक्षक नवाज़ शरीफ को निलंबित कर जांच के आदेश दिए।

उज्जैन में डीनेचर स्प्रिट के सेवन से संदिग्ध रूप से हुईं मृत्यु के मामलों की जांच के लिए भेजे गए वरिष्ठ अधिकारियों का एक जांच दल यहां पहुंचा है। जांच दल को 17 अक्टूबर को घटना से संबंधित या स्पिरिट से नशायुक्त पेय एवं अवैध शराब निर्माण के संबंध में गोपनीय जानकारी दी जा सकती है।

राज्य शासन द्वारा गठित जांच दल ने जांच प्रारम्भ की विभिन्न क्षेत्रों का भ्रमण कर निरीक्षण किया

इधर  उज्जैन में संदिग्ध रूप से डिनेचर्ड स्पिरिट के सेवन से मृत 12 व्यक्तियों के प्रकरण की जांच करने के लिये राज्य शासन द्वारा उच्च स्तरीय जांच दल गठित किया गया है।

जांच दल में अतिरिक्त मुख्य सचिव डॉ.राजेश राजौरा के साथ अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक श्री एसके झा एवं पुलिस उप महानिरीक्षक श्री सुशांत सक्सेना को रखा गया है।

गठित जांच दल ने आज 16 अक्टूबर को जांच प्रारम्भ कर दी है । जांच दल ने आज उज्जैन के छत्रीचौक, रीगज टॉकीज, खाराकुआ थाना एवं विभिन्न  रैन बसेरों   में जाकर मौके का मुआयना किया व पूछताछ की।

इस अवसर पर कलेक्टर श्री आशीष सिंह एवं पुलिस अधीक्षक श्री मनोज सिंह भी मौजूद थे।

अभिनेता संजय दत्त को भरोसा है कि, वह कैंसर की बीमारी को जल्द मात दे देंगे attacknews.in

मुंबई, 15 अक्टूबर । कैंसर से अपनी जंग के बारे में अभिनेता संजय दत्त ने पहली बार खुलकर अपने मन की बात रखी और कहा कि उन्हें विश्वास है कि इस बीमारी को वह जल्द ही मात दे देंगे।

अगस्त में खबरें आई थीं कि दत्त फेफड़ों के कैंसर से पीड़ित हैं। तब 61 वर्षीय अभिनेता ने घोषणा की थी कि उपचार लेने के लिए वह अपनी पेशेवर प्रतिबद्धताओं से कुछ समय के लिए दूरी बनाऐंगे।

बुधवार शाम को इंस्टाग्राम पर डाले गए एक वीडियो में संजय दत्त जाने-माने हेयर स्टाइलिस्ट आलिम हकीम के सैलून पर बाल कटवाते नजर आ रहे हैं।

अभिनेता ने बालों में हकीम द्वारा बनाए गए चोट के निशान जैसे डिजाइन की ओर इशारा करते हुए कहा, ‘‘मेरे जीवन में यह निशान हाल में आया है लेकिन मैं इसे हरा दूंगा, मैं कैंसर को जल्द मात दूंगा।’’

अभिनेता की आगामी फिल्म ‘‘केजीएफ: चैप्टर 2’’ और रणबीर कपूर के साथ ‘‘शमशेरा’’ है।

दत्त ने कहा कि 2018 में आई फिल्म ‘‘केजीएफ’’ के सिक्वल के लिए वह दाढ़ी बढ़ा रहे हैं, फिल्म के लिए उन्हें अगले महीने से शूटिंग शुरू करनी है। उन्होंने यह भी कहा कि सेट पर लौटकर उन्हें खुशी हो रही है।

वीडियो के अंत में जब हकीम कहते हैं कि उन्हें अभिनेता को उत्साहित देखकर खुशी हुई तो इस पर दत्त कहते हैं कि उपचार के दौरान उनका वजन कम हो गया था लेकिन अब उन्होंने फिर से व्यायाम शुरू कर दिया है।

वीडियो में उन्होंने आगे कहा, ‘‘मेरी सेहत धीरे-धीरे फिर बनने लगी हैं। मैं इससे बाहर निकल आऊंगा।’’

अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष ने भारत को लोगों की सुरक्षा, स्वास्थ्य पर प्रमुखता से ध्यान देने की प्राथमिकता बताई attacknews.in

वाशिंगटन 15 अक्टूबर । अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) की प्रबंधन निदेशक किस्टलिना जार्जीवा ने कहा है कि भारत की प्राथमिकता सबसे कमजोर लोगों की सुरक्षा करने, अच्छी तरह से लक्षित सहायता देने और छोटे तथा मझोले उद्योगो की रक्षा करने की होनी चाहिए, ताकि वे एक देश के रूप में उनकी कोरोना वायरस महामारी के खिलाफ लड़ाई में हार न हो।

जार्जीवा ने आईएमएफ और विश्व बैंक की वार्षिक आम बैठक के दौरान बुधवार को यहां एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि लोगों को बचाने और उनके स्वास्थ्य की देखभाल भारत की प्राथमिकता होनी चाहिए।

उन्होंने कहा, ‘‘क्या करने की आवश्यकता है? स्पष्ट है, सबसे कमजोर लोगों की सुरक्षा, अच्छी तरह से लक्ष्यित सहायता, छोटे और मझोले उद्योगों की रक्षा, ताकि उनकी हार न हो।’’

उन्होंने आगे कहा कि जब तक हमारे पास स्वास्थ्य संकट से निपटने का एक टिकाऊ रास्ता नहीं है, हमें कठिनाइयों, अनिश्चितता और असमान सुधार का सामना करना पड़ेगा।

कोविड-19 को एक मानवीय संकट बताते हुए उन्होंने कहा कि खासतौर से जिन देशों में मौत अधिक हुई हैं, वहां ये संकट अधिक गहरा है। उन्होंने आगे कहा कि इस महामारी से भारत में एक लाख लोगों से अधिक की मौत हुई है।

जार्जीवा ने कहा, ‘‘इसलिए लोगों को बचाने और उनकी सेहत पर ध्यान देने की प्राथमिकता होनी चाहिए।’’

उन्होंने कहा, ‘‘भारत ने अपनी क्षमता के अनुरूप उपाय किए हैं, दो प्रतिशत राजकोषीय उपाय और गारंटी के रूप में चार प्रतिशत राहत, लेकिन प्रत्यक्ष राजकोषीय उपाय नहीं किए गए।’’

उन्होंने कहा, ‘‘इससे मदद मिलती है, लेकिन जब आप विकसित अर्थव्यवस्थाओं की क्षमताओं को देखते हैं, या कुछ अन्य उभरते बाजारों के उपायों को देखते हैं, तो यह कुछ हद तक कम है। हम इस साल भारत में बेहद आश्चर्यजनक रूप से जीडीपी में दस प्रतिशत का संकुचन देख रहे हैं।’’

जार्जीवा ने कहा कि भारत की एक जीवंत अर्थव्यवस्था थी।

उन्होंने कहा कि अच्छे वक्त में देश अपनी बुनियाद को मजबूत करके बुरे वक्त का मुकाबला अधिक मजबूती से कर सकते हैं।

उन्होंने कहा कि इस संकट का सबसे महत्वपूर्ण सबक यह है कि अच्छे समय में मजबूत बुनियाद तैयार करनी है। ऐसे में जब बुरा वक्त आता है तो अधिक लचीलापन दिखाया जा सकता है।

विश्व बैंक ने कोविड-19 के चलते महामंदी के बाद सबसे गहरी मंदी से जूझ रही है दुनिया के कई विकासशील और सबसे गरीब देशों के लिए ‘‘भयावह घटना’’ बताया attacknews.in

वाशिंगटन, 15 अक्टूबर । विश्व बैंक के अध्यक्ष डेविड मालपास ने कहा है कि कोरोना वायरस महामारी के चलते दुनिया 1930 के दशक की महामंदी के बाद से सबसे गहरी मंदी से जूझ रही है और उन्होंने कोविड-19 महामारी को कई विकासशील और सबसे गरीब देशों के लिए ‘‘भयावह घटना’’ बताया।

उन्होंने संवाददाताओं से कहा कि आर्थिक संकुचन की सीमा को देखते हुए कई देशों में ऋण संकट का खतरा बढ़ गया है।

उन्होंने अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष और विश्व बैंक की वार्षिक बैठक के मौके पर बुधवार को संवाददाताओं से कहा कि यहां बैठकों में इस मुद्दे पर बहुत अधिक ध्यान दिया गया है।

उन्होंने कहा, ‘‘मंदी बहुत गहरी है, महामंदी के बाद से सबसे बड़ी मंदी में एक है। और कई विकासशील देशों तथा सबसे गरीब देशों के लोगों के लिए ये वास्तव में अवसाद की एक भयावह घटना है।’’

उन्होंने कहा कि इस बैठक और कार्रवाई का केंद्र बिंदु इन देशों को राहत पहुंचाना है तथा विश्व बैंक इन देशों के लिए एक बड़ा वृद्धि कार्यक्रम तैयार कर रहा है।

एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि विश्व बैंक को लगता है कि इस समय ‘के’ आाकर का सुधार हो रहा है। ‘के’ आकार के सुधार का अर्थ मंदी के बाद दुनिया के विभिन्न हिस्सों में अगल-अगल दर से सुधार का होना है।

दिल्ली-एनसीआर में पसरी धुंध; वायु गुणवत्ता ‘बहुत खराब’ श्रेणी में पहुंची,इससे पहले हवा की गुणवत्ता का इतना खराब स्तर फरवरी में था attacknews.in

नयी दिल्ली, 15 अक्टूर । दिल्ली-एनसीआर में बृहस्पतिवार को धुंध पसरने के साथ ही पूरे क्षेत्र में हवा की गुणवत्ता ‘बहुत खराब’ स्तर पर पहुंच गई। क्रमिक प्रतिक्रिया कार्य योजना (जीआरएपी) के तहत बिजली जनरेटर पर प्रतिबंध सहित कई सख्त वायु प्रदूषण-रोधी उपायों को भी लागू कर दिया गया है।

नासा के कृत्रिम उपग्रह द्वारा ली गई तस्वीरों में पंजाब के अमृतसर, पटियाला, तरनतारन और फिरोजपुर तथा हरियाणा के अंबाला और राजपुरा में बड़े पैमाने पर खेतों में पराली जलाए जाने का पता चला है।

पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय की वायु गुणवत्ता प्रारंभिक चेतावनी प्रणाली ने कहा कि राजधानी की वायु गुणवत्ता पर इसका प्रभाव फिलहाल कम है।

महानगर में सुबह 11:10 बजे वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 315 का दर्ज किया। इस साल इससे पहले हवा की गुणवत्ता का इतना खराब स्तर फरवरी में था।

चौबीस घंटे का औसत एक्यूआई बुधवार को 276 था, जो ‘खराब’ श्रेणी में आता है। यह मंगलवार को 300, सोमवार को 261, रविवार को 216 और शनिवार को 221 था।

बृहस्पतिवार सुबह प्रदूषण का सबसे अधिक स्तर आईटीओ (एक्यूआई 372), विवेक विहार (एक्यूआई 370) और शादीपुर (एक्यूआई 359) में दर्ज किया गया।

पड़ोसी शहरों फरीदाबाद (317), गाजियाबाद (326), ग्रेटर नोएडा (344) और नोएडा (314) में भी हवा की गुणवत्ता बहुत खराब रही।

शून्य और 50 के बीच एक्यूआई को ‘अच्छा’, 51 और 100 के बीच ‘संतोषजनक’, 101 और 200 के बीच ‘मध्यम’, 201 और 300 ‘खराब’, 301 और 400 के बीच ‘बहुत खराब’ और 401 और 500 के बीच ‘गंभीर’ माना जाता है।

भारत मौसम विज्ञान विभाग के एक वरिष्ठ वैज्ञानिक ने कहा कि हवा की गुणवत्ता में गिरावट का कारण हवा की गति कम होना हो सकता है जिसकी वजह से हवा में प्रदूषक पदार्थ जमा होते हैं।

दिल्ली-एनसीआर में पीएम10 का स्तर सुबह 9:30 बजे 300 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर तक बढ़ गया। यह इस मौसम का अब तक का उच्चतम स्तर है। भारत में पीएम10 का स्तर 100 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर से नीचे सुरक्षित माना जाता है।

पीएम2.5 का स्तर 151 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर दर्ज किया गया। पीएम2.5 का स्तर 60 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर तक सुरक्षित माना जाता है।

स्थिति की गंभीरता को देखते हुए जीआरएपी बृहस्पतिवार से लागू हो गया। इसके तहत दिल्ली और इसके आसपास के क्षेत्रों में कई तरह के प्रदूषण विरोधी उपाय किए जाते हैं।

इसे पर्यावरण और वन मंत्रालय ने 2017 में उच्चतम न्यायालय द्वारा स्थापित पर्यावरण प्रदूषण (रोकथाम और नियंत्रण) प्राधिकरण के माध्यम से लागू करने के लिए अधिसूचित किया था।

हवा की गुणवत्ता खराब होने पर जीआरएपी के तहत किए जाने वाले उपायों में लोगों के यातायात के लिए बस और मेट्रो सेवाएं बढ़ाने, पार्किंग शुल्क में बढ़ोतरी और डीजल जनरेटर पर प्रतिबंध लगाना शामिल है।

“आपातकालीन” स्थिति में किए जाने वाले उपायों में दिल्ली में ट्रकों के प्रवेश पर रोक, निर्माण गतिविधियों पर प्रतिबंध और सम-विषम योजना को लागू करना शामिल है।

दिल्ली सरकार ने बुधवार को जीआरएपी के तहत वायु प्रदूषण-रोधी उपायों को लागू करने के निर्देश जारी किए, जिसमें अस्पतालों और रेलवे जैसी आवश्यक सेवाओं को छोड़ कर बाकी जगहों पर बिजली जनरेटर पर प्रतिबंध लगाना शामिल है।

दिल्ली के ऊर्जा मंत्री सत्येंद्र जैन ने केंद्र सरकार से दिल्ली के 300 किलोमीटर के भीतर कोयले से चलने वाले 13 बिजली संयंत्रों को बंद करने का अनुरोध किया है, जो प्रदूषण नियंत्रण मानदंडों को पूरा करने के लिए मिली दो समय-सीमाएं चूक गए हैं।

केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने भी कहा है कि उसने 50 टीमें गठित की हैं, जो सर्दियों के दौरान वायु प्रदूषण फैलाने वाले कारकों व मानदंडों का उल्लंघन करने वालों पर नजर रखेंगी

भोपाल में 12 साल की बच्ची के साथ सामूहिक बलात्कार, पुलिस ने किया 3 बलात्कारियों को गिरफ्तार attacknews.in

भोपाल, 14 अक्टूबर । मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में 12 साल की एक बच्ची के साथ कथित रूप से बार-बार सामूहिक बलात्कार करने का मामला सामने आया है। इस मामले में तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है।

अशोका गार्डन पुलिस थाने के प्रभारी आलोक श्रीवास्तव ने बृहस्पतिवार को बताया कि 12 साल की बच्ची से सामूहिक बलात्कार के मामले में तीन आरोपियों को बुधवार रात को गिरफ्तार किया गया।

उन्होंने कहा कि बच्ची के परिजन की शिकायत के अनुसार तीनों आरोपियों ने इस बच्ची से ऑनलाइन गेम पबजी के दौरान दोस्ती करके उसे बहला फुसलाकर शहर के गौतम नगर पुलिस थाना इलाके में ले जाकर इस साल सितंबर माह में सामूहिक बलात्कार किया और इसका वीडियो भी बना लिया।

श्रीवास्तव ने बताया कि इसके बाद आरोपी बच्ची को इस वीडियो को सोशल मीडिया में डालने की धमकी देकर ब्लैकमेल करते रहे तथा उसके साथ कई बार सामूहिक बलात्कार किया।

उन्होंने कहा कि बुधवार को बच्ची की मां को शंका हुई तो पूछताछ में बच्ची ने अपनी मां को पूरी बात बता दी, जिसके बाद उन्होंने अशोका गार्डन पुलिस थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई।

श्रीवास्तव ने बताया कि इस मामले में तीनों आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया और आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया।

उज्जैन में जहरीली शराब से 11 मौतों पर शिवराज सिंह चौहान ने SIT जांच शुरू करवाई,दोषियों को किसी भी कीमत पर नहीं छोडने के आदेश,थाना प्रभारी सहित चार पुलिस कर्मी निलंबित attacknews.in

भोपाल/उज्जैन , 15 अक्टूबर । मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने उज्जैन में जहरीली शराब से सात श्रमिकों की मौत की घटना की जांच विशेष जांच दल (एसआईटी) से कराने के साथ ही घटना के दोषी अधिकारियों को निलंबित किए जाने के निर्देश दिए हैं।

आधिकारिक जानकारी के अनुसार श्री चौहान ने इस मामले को लेकर यहां एक उच्च स्तरीय बैठक ली, जिसमें उन्होंने घटना की एसआईटी से जांच कराने और दोषी अधिकारियों को निलंबित करने के निर्देश दिए हैं। इसके साथ ही मुख्यमंत्री ने कहा कि दोषियों को किसी कीमत पर छोड़ा नहीं जाएगा।

मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि अन्य कई स्थानों पर ऐसी वस्तुएं बेची जा रही हैं, इसका पता लगाएं और ऐसे लोगों का नेटवर्क तोड़ें। नशीले पदार्थ बेचने वालों को कड़ी सजा मिले। उन्होंने गृह विभाग के अपर मुख्य सचिव को मामले की जांच रिपोर्ट सौंपने के निर्देश दिए हैं।

उज्जैन में जहरीली शराब के सेवन से कल से आज तक  ग्यारह मजदूरों की मौत हो गयी है।

आधिकारिक जानकारी के अनुसार श्री चौहान ने उज्जैन में कुछ व्यक्तियों की संदिग्ध मृत्यु और उसकी परिस्थितियों के संबंध में आज यहां निवास पर एक विशेष बैठक बुलाकर वरिष्ठ अधिकारियों से जानकारी ली।

उन्होंने इस घटना को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए निर्देश दिए हैं कि ऐसे पदार्थ बेचने वालों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई की जाए। ऐसे व्यक्तियों का नेटवर्क तोड़ा जाए। इस घटना की एसआईटी द्वारा जांच की जाये।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में अन्य कई स्थानों पर यदि ऐसी वस्तुएं बेची जा रही हैं, पुलिस बल इसका पता लगाए और दोषियों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई करे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि अपर मुख्य सचिव गृह इस मामले में समन्वय कर प्रारंभिक जांच के आधार पर प्रतिवेदन दें।

उन्होंने कहा कि ऐसे विषैले नशीले पदार्थ बेचने वाले समाज के दुश्मन है। इन्हें कड़ी सजा मिले। ऐसे लोगों को फांसी के फंदे तक पहुंचाने का कार्य किया जाए। जिन व्यक्तियों की मृत्यु हुई है, वे काफी निर्धन भी हैं। संभवत: कई दिन से वे इस तरह का नशा कर रहे होंगे।

उन्होंने कहा कि ऐसे नशीले पदार्थ बेचने वालों का नेटवर्क ध्वस्त किया जाए। उन्होंने कहा कि न सिर्फ उज्जैन बल्कि पूरे प्रदेश में इस तरह के मामलों पर नजर रखी जाए। जहां कहीं भी ऐसे मिलावटी और जहरीले पदार्थों का विक्रय होने की आशंका हो सख्त से सख्त कार्यवाही की जाए।

श्री चौहान ने भोपाल में एक बालिका के विरुद्ध हुए अपराध के संबंध में पुलिस द्वारा की गई कार्यवाही की जानकारी प्राप्त की। उन्होंने कहा कि बालिकाओं और महिलाओं के विरुद्ध अपराध किसी भी स्थिति में सहन नहीं किए जाएंगे। ऐसी घटनाओं को अंजाम देने वाले अपराधिक तत्वों के लिए सरकार कठोरतम कार्यवाही करेगी। पुलिस महानिदेशक विवेक जौहरी ने जानकारी दी कि इस घटना के तीन आरोपी गिरफ्तार किए जा चुके हैं। करीब दो माह पूर्व की घटना की पृष्ठभूमि में पबजी जैसे खेल हैं, जो प्रतिबंधित किए जा चुके हैं।

मुख्यमंत्री ने ऐसी गतिविधियों पर नजर रखने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि समाज में बालिकाओं और महिलाओं के विरुद्ध घटनाओं के संबंध में कार्यवाही न करने वाले दोषी व्यक्ति भी दंडित किए जाएं। बैठक में मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस, अपर मुख्य सचिव गृह डॉ. राजेश राजौरा, आयुक्त जनसंपर्क डॉ सुदाम खाडे उपस्थित थे।

उज्जैन में अब तक 11 व्यक्तियों की संदिग्ध मृत्यु

उज्जैन कलेक्टर श्री आशीष सिंह ने जानकारी देते हुए बताया कि-

•14 अक्टूबर की रात्रि एवं 15 अक्टूबर की सुबह संभवतः डीनेचर्ड स्पिरिट पीने से अब तक कुल 11 व्यक्तियों की संदिग्ध मृत्यु हो चुकी है।

•पोस्ट मार्टम के बाद विसरा जांच हेतु सागर लेबोरेटरी में आज ही भेजा जाएगा।

•माननीय मुख्यमंत्री  के निर्देशानुसार कड़ी कार्यवाही की जायेगी।प्राथमिक जांच में दो-तीन संदिग्ध व्यक्तियों के नाम सामने आये हैं, उनके विरूद्ध रासुका की कार्यवाही की जा रही है।

•जांच में कुछ दवा स्टोर्स के नाम भी सामने आये हैं, जिनके स्टाक के वेरिफिकेशन का कार्य किया जा रहा है। दवा बाजार स्थित गुप्ता सर्जिकल मेडिकल के यहां निर्धारित मात्रा से अधिक स्पीरिट पाये जाने पर स्टोर को सील किया गया है।

•नगर निगम व डॉक्टर्स की टीम को फुटपाथ एवं रैन बसेरों में रह रहे लोगों के स्वास्थ्य परीक्षण के लिये लगाया गया है, जिनके द्वारा जांच की जा रही है, जिससे कि अन्य किसी व्यक्ति द्वारा भी इसी तरह के डीनेचर्ड स्पिरिट का सेवन किया गया हो तो उसकी जान बचाई जा सके।

जहरीली शराब मामले में थाने प्रभारी सहित चार निलंबित

उज्जैन जिले में कथित तौर पर जहरीली शराब के सेवन से अाधा दर्जन से अधिक लोगों की मौत के मामले में आज थाना प्रभारी सहित चार पुलिस कर्मचारियों को निलंबित कर दिया गया।

पुलिस सूत्रों के अनुसार पुराने शहर क्षेत्र में खाराकुंआ थाना क्षेत्र में कथित तौर पर जहरीली शराब पीने से सात लोगों की संदिग्ध मौत के मामले में पुलिस अधीक्षक मनोज कुमार सिंह ने लापरवाही एवं वरिष्ठ अधिकारियो को समय पर जानकारी नही देने के मामले में खाराकुंआ थाना प्रभारी एम एल मीणा, उप निरीक्षक निरंजन शर्मा, आरक्षक नवाज शरीफ एवं शेख अनवर को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया।

उज्जैन की घटना पर कमलनाथ ने सरकार को घेरा

मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने आज कहा कि उज्जैन जिले में शराब माफिया ने नौ लोगों की जान लेकर उनके परिवार बर्बाद कर दिए , इसलिए दोषियों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई होना चाहिए।

श्री कमलनाथ ने ट्वीट के जरिए मृतकों के प्रति श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा कि पीड़ित परिवारों को न्याय मिलना चाहिए और उनकी हरसंभव मदद कर दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होना चाहिए।

उन्होंने सरकार से जानना चाहा है कि आखिर माफिया कब तक यूं ही निर्दोषों की जान लेता रहेगा। पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार के कार्यकाल में माफिया पर कार्रवाई की गयी थी, लेकिन अब ये लोग फिर से सक्रिय हो गए हैं।

तमिलनाडु और महाराष्ट्र सहित 21 राज्यों को जीएसटी क्षतिपूर्ति की भरपाई के लिए केंद्र सरकार से मिली 78452 करोड़ रुपये जुटाने की अनुमति attacknews.in

नयी दिल्ली 14 अक्टूबर । सरकार ने तमिलनाडु को भी जीएसटी क्षतिपूर्ति की भरपाई के लिए 9627 करोड़ रुपये बाजार से जुटाने की अनुमति दे दी है।

वित्त मंत्रालय के सूत्रों के अनुसार महाराष्ट्र सहित 20 राज्यों को कल यह अनुमति दी गयी थी और अब तमिलनाडु के भी विकल्प एक का चयन करने की इच्छा व्यक्त करने पर उसे भी यह अनुमति दे दी गयी है। इस तरह से अब तक 21 राज्यों को 78452 करोड़ रुपये जुटाने की अनुमति दी जा चुकी है।

20 राज्यों को 688215 करोड़ रुपये जुटाने की अनुमति मिली

कल सरकार ने महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश और उत्तर प्रदेश सहित 20 राज्यों को जीएसटी क्षतिपूर्ति की भरपाई के लिए बाजार से 68825 करोड़ रुपये जुटाने की अनुमति दे दी  थी ।

वित्त मंत्रालय के व्यय विभाग ने इन राज्यों को 68825 करोड़ रुपये अतिरिक्त जुटाने की अनुमति दी है। इन राज्याें को सकल राज्य घरेलू उत्पाद का 0.50 प्रतिशत राशि जुटाने की अनुमति मिली है।

देश में जीएसटी लागू करने के कारण राज्यों के राजस्व को होने वाले नुकसान की भरपाई के लिए जीएसटी उपकर लगाया था और इसकी भरपाई इसी से की जा रही है। कोरोना के कारण राजस्व संग्रह में कमी आने के कारण राज्यों को क्षतिपूर्ति राजस्व नहीं मिल पा रहा है। इसके मद्देनजर केन्द्र ने राज्यों को क्षतिपूर्ति राजस्व की भरपाई दो विकल्प दिये थे जिसमें से 20 राज्यों ने पहले विकल्प का चयन कर बाजार से राशि जुटाने की इच्छा जतायी। हालांकि अधिकांश कांग्रेस शासित या उसके समर्थन से चल रही राज्य सरकारों ने इस विकल्प का चयन नहीं किया और वे केन्द्र को धनराशि जुटाकर देने की मांग की।

जीएसटी परिषद की दो चरणों में संपन्न 42वीं बैठक में इस पर सहमति नहीं बन पायी लेकिन राज्य इस पर सहमत हुये हैं कि बाजार से जुटायी जाने वाली उधारी का भुगतान करने के लिए क्षतिपूर्ति उपकर लगाने की अवधि को जुलाई 2022 के आगे बढ़ाने पर सहमत हो गये हैं।

जिन राज्यों ने पहले विकल्प का चयन किया है उनमें आंध्र प्रदेश, अरूणाचल प्रदेश, असम , बिहार, गोवा, गुजरात, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, कर्नाटक, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, नगालैंड, ओडिशा, सिक्किम, त्रिपुरा, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड शामिल है। आठ राज्यों ने अब तक किसी विकल्प का चयन नहीं किया है। महाराष्ट्र को छोड़कर विपक्षी दलों द्वारा शासित किसी राज्य ने इस विकल्प को नहीं चुना है।

दिल्ली की वायु गुणवत्ता ‘बहुत खराब’ श्रेणी में पहुंची, इस मौसम में पहली बार हवा हुई इतनी खराब, बुधवार को आई प्रदूषण के स्तर में थोड़ी गिरावट attacknews.in

नयी दिल्ली,14 अक्टूबर । राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में बुधवार को प्रदूषण के स्तर में थोड़ी गिरावट आई, लेकिन वायु गुणवत्ता ‘‘खराब’’ श्रेणी में दर्ज की गई। यह जानकारी सरकारी एजेंसियों ने दी।

पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय की दिल्ली के लिए वायु गुणवत्ता प्रारंभिक चेतावनी प्रणाली के अनुसार बृहस्पतिवार तक वायु गुणवत्ता में थोड़ा सुधार होकर मध्यम श्रेणी में आने की संभावना है।

दिल्ली में 24 घंटे के दौरान वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 276 दर्ज किया गया। मंगलवार को एएक्यूआई 300 रहा था।

मंगलवार सुबह एक्यूआई “बहुत खराब” श्रेणी में दर्ज किया गया और यह 306 रहा था, जो फरवरी के बाद सबसे खराब था। इसके बाद ‘वेंटिलेशन इंडेक्स’ में थोड़ा सुधार होने से प्रदूषण के स्तर में थोड़ी कमी आयी।

‘वेंटिलेशन इंडेक्स’ वह गति है जिस पर प्रदूषक तितर-बितर हो सकते हैं। औसतन 10 किमी प्रति घंटे से कम हवा की गति के साथ 6,000 वर्गमीटर प्रति सेकंड से कम वेंटिलेशन सूचकांक, प्रदूषकों के फैलने के लिए प्रतिकूल है।

उल्लेखनीय है कि 0 और 50 के बीच एक्यूआई को ‘अच्छा’, 51 और 100 के बीच ‘संतोषजनक’, 101 और 200 के बीच ‘मध्यम’, 201 और 300 के बीच ‘खराब’, 301 और 400 के बीच ‘बहुत खराब’ और 401 और 500 के बीच ‘गंभीर’ माना जाता है।

कम तापमान और हवा स्थिर रहने से सतह के नजदीक प्रदूषक जमा हो जाते हैं जिससे वायु गुणवत्ता प्रभावित होती है।

भारतीय मौसम विभाग में वरिष्ठ वैज्ञानिक के अनुसार बुधवार को हवा की अधिकतम गति 10 किलोमीटर प्रति घंटा थी जो हरियाणा और पंजाब में खेत की आग से धुएं के परिवहन के लिए अनुकूल नहीं है।

उन्होंने कहा, ‘‘बुधवार और बृहस्पतिवार को वेंटिलेशन इंडेक्स 6,000 वर्गमीटर प्रति सेकंड रहने की संभावना है।’’

पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के वायु गुणवत्ता निगरानीकर्ता, सफर ने कहा, ‘‘हरियाणा, पंजाब और आस-पास के सीमावर्ती क्षेत्रों में मंगलवार को अपेक्षाकृत कम पराली जलायी गई।’’

खेतों में आग संख्या 357 थी लेकिन हवा की दिशा प्रदूषकों के परिवहन के लिए अनुकूल नहीं थी। इसलिए, इसलिए इससे दिल्ली के पीएम2.5 में नाममात्र की बढ़ोतरी की संभावना है।

बुधवार को न्यूनतम तापमान 23.7 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।

विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि दिल्ली-एनसीआर में हवा की गुणवत्ता खराब रहने से कोविड-19 महामारी में बढ़ोतरी हो सकती है।

दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण कमेटी ने बुधवार को क्रमिक प्रतिक्रिया कार्य योजना (जीआरएपी) के तहत राष्ट्रीय राजधानी में बृहस्पतिवार से डीजल जनरेटर के उपयोग पर प्रतिबंध लगाने के निर्देश जारी किए।

दिल्ली सरकार ने वायु प्रदूषण के खिलाफ एक व्यापक अभियान शुरू किया गया है। ‘युद्ध प्रदूषण के विरुद्ध’ का नेतृत्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और पर्यावरण मंत्री गोपाल राय द्वारा किया जा रहा है।

सर्दियों में वायु प्रदूषण के उच्च स्तर से निपटने के लिए उठाए जा रहे कदमों की निगरानी के लिए दिल्ली सचिवालय में 10 सदस्यीय विशेषज्ञ दल के साथ एक ‘ग्रीन वार रूम’ स्थापित किया गया है।

पर्यावरण विभाग ने धूल नियंत्रण मानदंडों की धज्जियां उड़ाने वाले निर्माण और निर्माण गिराने वाले बड़े स्थलों के खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई की है।

दिल्ली की वायु गुणवत्ता ‘बहुत खराब’ श्रेणी में पहुंची, इस मौसम में पहली बार हवा हुई इतनी खराब

इससे पहले कल हवा की गति कम होने और तापमान कम होने के चलते प्रदूषक तत्त्वों के हवा में जमा होने के कारण राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली की वायु गुणवत्ता मंगलवार सुबह “बहुत खराब” श्रेणी में पहुंच गई। इस मौसम में पहली बार हवा की गुणवत्ता इतनी खराब हुई है।

पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय की वायु गुणवत्ता प्रारंभिक चेतावनी प्रणाली के अनुसार, पंजाब, हरियाणा और पाकिस्तान के नजदीकी क्षेत्रों में खेतों में पराली जलाने की घटना में वृद्धि भी दिल्ली-एनसीआर में वायु गुणवत्ता को प्रभावित करने वाली है महानगर में सुबह 9:30 बजे वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 304 दर्ज किया, जो “बहुत खराब” श्रेणी में आता है। सोमवार को 24 घंटे का औसत एक्यूआई 261 रहा, जो फरवरी के बाद से सबसे खराब है। यह औसत रविवार को 216 और शनिवार को 221 दर्ज किया गया था।

दिल्ली के वजीरपुर में एक्यूआई 380, विवेक विहार में 355 और जहाँगीरपुरी में 349 रही, जहां सबसे अधिक प्रदूषण का स्तर दर्ज किया गया।

विश्व बैंक ने 1 अरब लोगों के लिए कोरोना वायरस का टीका खरीदने, वितरित करने, जांच और उपचार में विकासशील देशों की मदद करने के लिए 12 अरब डॉलर की राशि को दी मंजूरी  attacknews.in

विश्व बैंक ने कोरोना वायरस के टीके, देखभाल के लिए 12 अरब डॉलर की राशि को दी मंजूरी

वाशिंगटन, 14 अक्टूबर (एपी) विश्व बैंक ने कोरोना वायरस का टीका खरीदने, वितरित करने, जांच और उपचार में विकासशील देशों की मदद करने के लिए 12 अरब डॉलर की राशि को मंजूरी दी है, ताकि एक अरब लोगों के टीकाकरण में मदद मिल सके।

बैंक ने मंगलवार रात एक बयान में कहा कि यह 12 अरब डॉलर की राशि कोविड-19 वैश्विक महामारी से निपटने में विकासशील देशों की मदद करने के लिए विश्व बैंक समूह के 160 अरब डॉलर के पैकेज का हिस्सा है।

विश्व बैंक ने कहा कि कोविड-19 आपात कार्रवाई कार्यक्रम 111 देशों में पहले ही पहुंच रहे हैं।

उसने कहा कि विकासशील देशों में नागरिकों को भी कोविड-19 के सुरक्षित एवं प्रभावी टीके तक पहुंच की आवश्यकता है।

विश्व बैंक के अध्यक्ष डेविड मालपास ने एक बयान में कहा, ‘‘हम कोविड-19 आपातकाल से निपटने के अपने दृष्टिकोण को विस्तार दे रहे हैं, ताकि विकासशील देशों तक टीकों की उचित और समान पहुंच सुनिश्चित हो सके।’’

केंद्र सरकार ने सभी मंत्रालयों, विभागों और सार्वजनिक क्षेत्र की इकाईयों के लिए बीएसएनएल, एमटीएनएल की सेवाओं के उपयोग को अनिवार्य किया attacknews.in

नयी दिल्ली, 14 अक्टूबर । केंद्र सरकार ने अपने सभी मंत्रालयों, सार्वजनिक विभागों और सार्वजनिक क्षेत्र की इकाइयों के लिए सरकारी दूरसंचार कंपनियों भारत संचार निगम लिमिटेड (बीएसएनएल) और महानगर संचार निगम लिमिटेड (एमटीएनएल) की सेवाओं के उपयोग को अनिवार्य कर दिया है।

दूरसंचार विभाग (डीओटी) द्वारा जारी एक ज्ञापन में कहा गया, ‘‘भारत सरकार ने अपने सभी मंत्रालयों/ विभागों, सीपीएसई, केंद्रीय स्वायत्त निकायों द्वारा बीएसएनएल और एमटीएनएल की सेवाओं के अनिवार्य रूप से इस्तेमाल की मंजूरी दी है।’’

इस ज्ञापन पर 12 अक्टूबर की तारीख अंकित है और इसे वित्त मंत्रालय से परामर्श के बाद केंद्र सरकार के सभी सचिवालयों और विभागों को जारी किया गया।

ज्ञापन में कहा गया कि बीएसएनएल और एमटीएनएल की दूरसंचार सेवाओं के इस्तेमाल को अनिवार्य करने का निर्णय मंत्रिमंडल ने लिया।

दूरसंचार विभाग ने सभी मंत्रालयों, विभागों, सीपीएसई और केंद्रीय स्वायत्त संगठनों से कहा है कि वे इंटरनेट, ब्रॉडबैंड, लैंडलाइन और लीज्ड लाइन जरूरतों के लिए बीएसएनएल या एमटीएनएल नेटवर्क का अनिवार्य रूप से उपयोग करें।

यह आदेश सरकारी दूरसंचार कंपनियों के घाटे को कम करने के लिए किया गया है, जो तेजी से अपने ग्राहक आधार को खो रहे हैं।

बीएसएनएल को 2019-20 में 15,500 करोड़ रुपये का घाटा हुआ था, जबकि इस दौरान एमटीएनएल का घाटा 3,694 करोड़ रुपये रहा।

देश में पिछले 5 महीनों में साइकिलों की रिकार्ड बिक्री, कई शहरों के लोगों को अपनी पसंदीदा साइकिल खरीदने के लिए करना पड़ रहा है इंतजार attacknews.in

जयपुर, 14 अक्तूबर । दुनिया में साइकिल के प्रमुख बाजार भारत में पिछले पांच महीने में साइकिलों की बिक्री लगभग दोगुना हो गयी है और कई शहरों में लोगों को अपनी पसंद की साइकिल खरीदने के लिए इंतजार करना पड़ रहा है।

जानकारों के अनुसार देश में पहली बार लोगों का साइकिल को लेकर ऐसा रुझान देखने को मिला है और इसकी एक बड़ी वजह कोरोना महामारी के बाद लोगों का अपनी सेहत को लेकर सजग होना भी है।

एक अनुमान के अनुसार भारत दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा साइकिल विनिर्माता देश है।

साइकिल विनिर्माताओं के राष्ट्रीय संगठन एआईसीएमए के अनुसार मई से सितंबर 2020 तक पांच महीनों में देश में कुल 41,80,945 साइकिल बिक चुकी हैं।

आल इंडिया साइकिल मैन्युफेक्चरर्स एसोसिएशन (एआईसीएमए) के महासचिव केबी ठाकुर कहते हैं कि साइकिलों की मांग में बढोतरी अभूतपूर्व है। शायद इतिहास में पहली बार साइकिलों को लेकर ऐसा रुझान देखने को मिला है। उन्होंने बताया, ‘‘इन पांच महीनों में साइकिलों की बिक्री 100 प्रतिशत तक बढ़ी है। कई जगह लोगों को अपनी पंसद की साइकिल के लिए इंतजार करना पड़ रहा हैं, बुकिंग करवानी पड़ रही है।’’

संगठन ने बताया कि आंकड़ों के अनुसार कोरोना वायरस संक्रमण फैलने के बाद लॉकडाउन के कारण अप्रैल महीने में देश में एक भी साइकिल नहीं बिकी। मई महीने में यह आंकड़ा 4,56,818 रहा। जून में यह संख्या लगभग दोगुनी 8,51,060 हो गयी जबकि सितंबर में देश में एक महीने में 11,21,544 साइकिल बिकीं। बीते पांच महीने में कुल मिलाकर 41,80,945 साइकिल बिक चुकी हैं।

ठाकुर कहते हैं कि कोरोना वायरस संक्रमण महामारी ने लोगों को अपनी सेहत व इम्युनिटी को लेकर तो सजग बनाया ही वह सोशल डिस्टेंसिंग को लेकर सचेत हुए हैं। ऐसे में साइकिल उनके लिए ‘एक पंथ कई काज’ साधने वाले विकल्प के रूप में सामने आई है।

उन्होंने बताया कि अनलॉक के दौरान सड़कों पर वाहनों की संख्या व प्रदूषण में कमी के कारण भी लोग साइक्लिंग को लेकर प्रोत्साहित हैं। सबसे बड़ी बात यह है कि ज्यादा लोग पहली बार साइकिल खरीद रहे हैं।

जयपुर में आनंद साइकिल स्टोर के गोकुल खत्री कहते हैं कि लॉकडाउन के बाद साइकिलों की बिक्री 15 से लेकर 50 प्रतिशत बढ़ी है। वे कहते हैं कि लोग जरूरी काम निपटाने के साथ साथ वर्जिश के लिहाज से भी साइकिल खरीद रहे हैं, क्योंकि उन्हें लगता है कि यह सेहत ठीक रखने का यह सबसे सस्ता, सुंदर व टिकाउ जरिया है।

मानसरोवर के एक अन्य दुकानदार के अनुसार इस समय सबसे अधिक बिक्री 10,000 रुपये या इससे आपपास मूल्य की ऐसी साइकिलों की है जिन्हें ‘रफ टफ’ इस्तेमाल किया जा सके।

कोरोना वायरस महामारी के चलते लागू किए गए लॉकडाउन के चलते विनिर्माण को लेकर चुनौतियां भी आईं।

एक प्रमुख साइकिल कंपनी के प्रवक्ता ने कहा, ‘‘अनलॉक शुरू होते ही जहां साइकिलों की मांग में उछाल आया, वहीं मांग को पूरा करने के लिए उत्पादन करना मुश्किल हो रहा था। हालांकि बीते पांच महीने में हमने हालात काबू में कर लिए हैं और अब उत्पादन सामान्य स्तर की ओर जा रहा है।’’ उन्होंने बताया कि कई जगह पर कुछ विशेष मॉडल की साइकिल अभी भी स्टॉक में नहीं हैं, खासतौर से गियर वाली साइकिलें। उन्होंने कहा कि यह कमी जल्द दूर हो जाएगी।

हाथरस कांड में उत्तरप्रदेश सरकार का सुप्रीम कोर्ट में हलफ़नामा:पीड़िता के परिजनों और गवाहों को दी गई  त्रिस्तरीय सुरक्षा; 15 अक्टूबर को सुनवाई attacknews.in

नयी दिल्ली, 14 अक्टूबर । उत्तर प्रदेश के हाथरस में कथित तौर पर सामूहिक दुष्कर्म की शिकार युवती के परिजनों और गवाहों को त्रि-स्तरीय सुरक्षा दी गयी है, साथ ही गांव में जगह-जगह सीसीटीवी कैमरे लगाये गये हैं।

राज्य सरकार की ओर से उच्चतम न्यायालय के समक्ष दायर ताजा हलफनामा में कहा गया है कि पीड़ित परिवार और गवाहों को तीन स्तरीय सुरक्षा दी गई है, इसके लिए पुलिस और अन्य सुरक्षाकर्मी तैनात किए गए हैं। साथ ही गांव की सीमा के साथ जगह-जगह सीसीटीवी कैमरे भी लगाए गए हैं।

उत्तर प्रदेश सरकार ने कहा है कि पीड़िता (19)के हाथरस जिले के चंदपा में रहने वाले परिजनों को पर्याप्त सुरक्षा दी जा रही है। इन परिजनों में पीड़ता के माता-पिता के अलावा दो भाई, एक भाभी और दादी शामिल हैं।

राज्य के गृह विभाग के विशेष सचिव राजेन्द्र प्रताप सिंह की ओर से दायर हलफनामा में कहा गया है कि पीड़िता के गांव के मुहाने पर आठ सुरक्षाकर्मी तैनात किये गये हैं, जिनमें एक इंस्पेक्टर, एक हेड कांस्टेबल, चार कांस्टेबल और दो महिला कांस्टेबल शामिल हैं। इसी तरह का फॉर्मेशन पीड़िता के घर के पास किया गया है, जबकि पीड़िता के घर के प्रवेश द्वार पर चौबीसों घंटे और सातों दिन दो सबइंस्पेक्टर को ड्यूटी पर लगाया गया है। घर के बाहर 15 सुरक्षाकर्मी कैम्प लगाये हुए हैं।

हलफनामा में कहा गया है कि गवाहों के घर के बाहर पर दो पालियों में छह-छह सुरक्षाकर्मी तैनात किये गये हैं। पीड़िता के घर के आसपास आठ सीसीटीवी कैमरे लगाये गये हैं। आसपास के इलाकों को प्रकाशमान करने के लिए 10 से 12 लाइटें लगायी गयीं हैं। ये लाइटें पहले से लगी लाइटों के अलावा हैं।

शीर्ष अदालत हाथरस मामले पर अगली सुनवाई 15 अक्तूबर यानी गुरुवार को करेगी।

गौरतलब है कि गत सुनवाई के दौरान न्यायालय ने राज्य सरकार से मुख्यतया तीन बातें पूछी थी, पहला- पीड़ित परिवार और गवाहों की सुरक्षा के क्या इंतजाम किए गए हैं? क्या पीड़ित परिवार के पास पैरवी के लिए कोई वकील है? और इलाहाबाद उच्च न्यायालय में मुकदमे की क्या स्थिति है?

हलफनामा में कहा गया है कि पीड़िता के परिजनों की ओर से सीमा कुशवाहा केस लड़ रही हैं और उन्हें सरकारी वकील भी मुहैया कराया जायेगा। साथ ही ,इलाहाबाद उच्च न्यायालय की लखनऊ पीठ ने हाथरस मामले में अगली सुनवाई दो नवम्बर तक टाल दी है।

हाथरस कांड में महिला अधिकारों की बात करने वाले राहुल गांधी की पार्टी के नेताओं ने कांग्रेस महिला नेत्री को कार्यालय में जमकर पीटा और कपड़े तक फाड़ दिये attacknews.in

देवरिया/नईदिल्ली ,11अक्टूबर। महिला अपराध पर कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी और महासचिव प्रियंका गांधी महिलाओं को न्याय दिलाने के लिए सड़क पर उतर जाते हैं,लेकिन उत्तर प्रदेश के देवरिया में उन्हीं के पार्टी दफ्तर में राष्ट्रीय सचिव सचिन नायर के सामने महिला नेत्री के साथ मारपीट हुई ।

पार्टी सूत्रों के अनुसार देवरिया में टाउन हाल स्थित कांग्रेस कार्यालय में कल देर शाम उस समय हंगामा मच गया जब पार्टी की एक महिला कार्यकर्ता ने सचिव व पूर्वांचल सह प्रभारी सचिन नायक पर गुलदस्ता फेंक दिया।आरोप है कि महिला ने नायक पर थप्पड़ भी चलाया । इसके बाद हंगामा मच गया और कार्यकर्ताओं ने उस महिला कार्यकर्ता को जमकर पीटा और यहीं नहीं रुके बल्कि इस मारपीट से महिला नेत्री के कपडों को भी फाड़ दिया गया । कुछ कार्यकर्ता रोकने की भी कोशिश में लगे रहे। महिला कार्यकर्ता के साथ आई तीन महिलाओं को भी जमकर पीटा गया।

महिलाओं को न्याय दिलाने के लिए सड़क पर उतरने वाली कांग्रेस का दफ्तर ही बीती शाम जंग का मैदान बन गया जहां राष्ट्रीय सचिव के साथ अभद्रता करने वाली महिला नेत्री को जमकर पीटा गया।

दरअसल, कांग्रेस के जिला मुख्यालय में शनिवार शाम उपचुनाव की तैयारी को लेकर बैठक चल रही थी कि एक महिला कार्यकर्ता सचिव सचिन नायक के पास जा पहुंची और उनसे टिकट के लिये गलत उम्मीदवार का चयन करने की शिकायत की। श्री नायक ने महिला से जाने को कहा कि उसने मेज पर रखा बुके उन पर फेंक दिया। यह देखते ही वहां मौजूद कार्यकर्ता महिला नेत्री को खसीटते हुये ले गये और जमकर पिटाई कर दी। बीचबचाव करने में तीन अन्य महिलायें भी पुरूष कार्यकर्ताओं के कोपभाजन का शिकार बन गयी।

राहुल गांधी ने हाथरस की घटना पर योगी पर हमला बोला

इधर कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने हाथरस की घटना पर उत्तर प्रदेश सरकार पर निशाना साधते हुए रविवार को कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और उनकी पुलिस ने कहा कि किसी का बलात्कार नहीं हुआ क्योंकि उनके लिए तथा अनेक अन्य भारतीयों के लिए तो वह (हाथरस मामले की पीड़ित) ‘‘कोई थी ही नहीं’’ ।

गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश के हाथरस में एक दलित युवती की कथित सामूहिक बलात्कार के बाद मौत हो गई थी।

गांधी ने ट्वीट में कहा कि शर्मनाक सच तो यह है कि अनेक भारतीय लोग दलितों, मुस्लिमों और आदिवासियों को इंसान ही नहीं मानते।

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने ट्वीट किया, ‘‘मुख्यमंत्री और उनकी पुलिस ने कहा कि किसी का बलात्कार नहीं हुआ क्योंकि उनके लिए तथा अनेक अन्य भारतीयों के लिए तो वह ‘कोई थी ही नहीं’ ।’’

उन्होंने अपने ट्वीट के साथ एक मीडिया रिपोर्ट भी साझा की जिसमें सवाल किया गया है कि पुलिस बलात्कार से इनकार क्यों कर रही है जब युवती ने खुद बलात्कार के बारे में कहा था।