थिंपु, 17 अगस्त । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को भूटान में रुपे कार्ड लांच किया और इसी के साथ अब यह सिंगापुर के बाद दूसरा ऐसा देश बन गया है जो रुपे कार्ड का इस्तेमाल कर सकता है।
श्री मोदी ने भूटान के प्रधानमंत्री डॉ लोटाय शेरिंग की उपस्थिति में रुपे कार्ड को लांच करने के बाद कहा, “मुझे खुशी हो रही है कि मैंने रुपे कार्ड लांच किया। यह डिजिटल भुगतान और दोनों देशों के बीच व्यापार और पर्यटन को बढ़ावा दने में मदद करेगा।”
भारत और भूटान के 10 क्षेत्रों में सहयोग समझौता:
इससे पहले भारत और भूटान ने अंतरिक्ष, विज्ञान, इंजीनियरिंग, न्यायिक और संचार सहित 10 क्षेत्रों में सहयोग के करारों पर हस्ताक्षर किये हैं।
भूटान की दो दिन की यात्रा पर गये प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और वहां के प्रधानमंत्री लोतेय शेरिंग के बीच शिष्टमंडल स्तर की वार्ता के बाद इन समझौतों पर हस्ताक्षर किये गये।
अंतरिक्ष के क्षेत्र में सहयोग के लिए भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) में निदेशक और भूटान के सूचना और संचार मंत्रालय में निदेशक ने हस्ताक्षर किये। इससे भूटान को संचार, लोक प्रसारण और आपदा प्रबंधन के क्षेत्र में मदद मिलेगी। भूटान की जरूरत के अनुसार अतिरिक्त बैंडविड्थ और ट्रांसपोंडर भी उपलब्ध कराया जायेगा।
नागरिक उड्डयन के क्षेत्र में सहयोग के लिए नागरिक उड्डयन मंत्रालय में महानिदेशक अरविंद हांडा और भूटान के सूचना और संचार मंत्रालय में कार्यकारी सचिव पेम्बा वांगचुक ने हस्ताक्षर किये। शिक्षा और ज्ञान के क्षेत्र में सहयोग के लिए भारत में नेशनल नॉलेज नेटवर्क के परियोजना निदेशक आर एस मणि और भूटान के संचार मंत्रालय के निदेशक जिग्मे तेंजिन ने हस्ताक्षर किये।
दोनों देशों ने ऊर्जा क्षेत्र में सहयोग का समझौता भी किया और इसमें बिजली खरीद के समझौते पर भारत की पीटीसी इंडिया लिमिटेड के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक दीपक अमिताभ तथा वहां की ड्रक ग्रीन पावर कारपोरेशन लिमिटेड के प्रबंध निदेशक डी रिंजिन ने हस्ताक्षर किये।
न्यायिक क्षेत्र में सहयोग के लिए भूटान में भारत की राजदूत रुचिरा काम्बोज और भूटान के राष्ट्रीय विधि संस्थान के महानिदेशक लोबजांग रिंजिन ने हस्ताक्षर किये। भूटान के जिग्मे सिंग्ये वांगचुक स्कूल आफ लॉ और भारत के नेशनल लॉ स्कूल बेंगलुरु के बीच सहयोग के समझौते पर भी हस्ताक्षर किये गये।
शिक्षा के क्षेत्र में सहयोग पर भी दोनों देशों के बीच सहमति बनी और भूटान रॉयल विश्वविद्यालय ने भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान कानपुर, भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान दिल्ली, मुंबई और सिलचर के साथ भी सहयोग के समझौतों पर हस्ताक्षर किये।
नरेन्द्र मोदी ने कहा: भारत सहयोग करता रहेगा-
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भूटान में विकास कार्यक्रमों में महत्वपूर्ण योगदान की प्रतिबद्धता व्यक्त करते हुए आज कहा कि भारत वहां की पंचवर्षीय योजनाओं में निरंतर सहयोग करता रहेगा।
भूटान की दो दिन की यात्रा पर आज यहां पहुंचे श्री मोदी ने भूटान के प्रधानमंत्री लोतेय शेरिंग के साथ शिष्टमंडल स्तर की वार्ता की। दोनों पक्षों ने विभिन्न क्षेत्रों में भागीदारी और सहयोग बढ़ाने के विभिन्न करारों पर विस्तार से चर्चा की।
इसके बाद दोनों प्रधानमंत्रियों की मौजूदगी में विज्ञान, प्रौद्योगिकी, इंजीनियरिंग, गणित और न्यायिक क्षेत्रों में सहयोग के करारों पर हस्ताक्षर किये गये। उन्होंने श्री शेरिंग के साथ मिलकर 7200 मेगावाट की मेंगदेछू पनबिजली परियोजना का भी उद्घाटन किया। दोनों नेताओं ने भारत के नेशनल नोलिज नेटवर्क और भूटान के ड्रक रिसर्च और एज्युकेशन नेटवर्क के बीच संपर्क कार्यक्रम का भी उद्घाटन किया। श्री मोदी ने भारत के रूपे कार्ड को भी लांच किया। सिंगापुर के बाद भूटान दूसरा देश है जहां रूपे कार्ड लांच किया गया है।
बाद में श्री शेरिंग के साथ संयुक्त रूप से मीडिया को संबोधित करते हुए श्री मोदी ने कहा कि 130 करोड़ भारतीयों के दिलों में भूटान एक विशेष स्थान रखता है। उन्होंने कहा, “यह भारत का सौभाग्य है कि हम भूटान के विकास में प्रमुख भागीदार हैं। भूटान की पंचवर्षीय योजनाओं में भारत का सहयोग आपकी इच्छाओं और प्राथमिकताओं के आधार पर आगे भी जारी रहेगा।”
दोनों देशों के बीच संबंध मजबूत बनाने की चर्चा:
दो दिन की भूटान यात्रा पर गये प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज यहां भूटान के प्रधानमंत्री लोतेय शेरिंग के साथ मुलाकात की और दोनों देशों के बीच विभिन्न महत्वपूर्ण क्षेत्रों में भागीदारी को और मजबूत बनाने पर चर्चा की।
श्री मोदी श्री शेरिंग के निमंत्रण पर आज सुबह ही यहां पहुंचे थे। दोनों नेताओं ने शिष्टमंडल स्तर की वार्ता की जिसमें संबंधों में नयी ऊर्जा और भरोसा पैदा करने के बारे में बातचीत हुई।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने टि्वट कर जानकारी दी कि वार्ता के दौरान दोनों देशों के शिष्टमंडल ने विभिन्न महत्वपूर्ण क्षेत्रों में भागीदारी को और मजबूत बनाने के उपायों पर विस्तार से बात की। दोनों पक्षों ने विभिन्न करारों के प्रावधानों पर भी विचार विमर्श किया। इन करारों पर श्री मोदी की मौजूदगी में हस्ताक्षर किये जायेंगे।
इससे पहले श्री मोदी के यहां पहुंचने के बाद पारो हवाई अड्डे पर भव्य स्वागत किया गया। श्री शेरिंग ने श्री मोदी की अगवानी क। बाद में श्री मोदी को गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया।
श्री मोदी की यह दूसरी भूटान यात्रा है। इससे पहले वह 2014 में प्रधानमंत्री बनने के बाद पहले विदेशी दौरे पर भूटान गये थे।