नयी दिल्ली 05 दिसंबर ।वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने गुरुवार को राज्यसभा में कहा कि वैश्विक अर्थव्यवस्था में उथल पुथल, चीन और अमेरिका के बीच व्यापारिक तनाव का फायदा उठाने तथा विदेशी कंपनियों को लुभाने के लिए कार्पोरेट कर में कटौती गयी है।
राज्यसभा में ‘कराधान विधि (संशोधन) विधेयक 2019’ पर लगभग चार घंटे की चर्चा का जवाब देते हुए कहा कि वैश्विक अर्थव्यवस्था में हो रहे उतार चढ़ाव और चीन तथा अमेरिका के व्यापारिक तनाव देखते हुए बहुत सारी बहुराष्ट्रीय कंपनियां अपने विनिर्माण संयंत्र स्थल बदल रही हैं। कंपनी कर में कटौती इन कंपनियों को लुभाने के लिए की गयी है। इसका लाभ घरेलू तथा छोटी कंपनियों को मिलना तय किया गया है।
सदन ने इस विधेयक को ध्वनिमत से पारित कर लाेकसभा को लौटा दिया। यह विधेयक सितंबर 2019 में लाये गये अध्यादेश के स्थान पर लाया गया है।
विपक्ष के आरोपों को खारिज करते हुए वित्त मंत्री ने कहा कि देश की जनता का प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व पर पूरा भरोसा है और वर्ष 2019 का जनादेश इसका प्रतीक है। प्रधानमंत्री ने भारतीय अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए एक के एक कदम उठायें हैं। उन्होंने अर्थव्यवस्था में सुधार नहीं होने के आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि इसका कोई जादू नहीं है।
प्याज की आपूर्ति के लिए सभी प्रयास कर रही है सरकार:
वित्त मंत्री निर्मला ने नरेंद्र मोदी सरकार को गरीबों की सरकार करार देते हुए कहा कि प्याज की पर्याप्त आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए सभी प्रयास किये जा रहे हैं।
श्रीमती सीतारमण ने सदन में ‘ कराधान (संशोधन) विधेयक 2019’ पर हुई चर्चा का जवाब देते हुए कहा कि यह सरकार कुलीन वर्ग की नहीं है बल्कि गरीबों और आम आदमी की सरकार है। उज्जवला, आयुष्मान, जनधन और प्रधानमंत्री आवास योजना जैसे कल्याणकारी कार्यक्रमों के केंद्र में आम आदमी ही है। इनका उद्देश्य आम आदमी का सशक्तिकरण करना है।