संयुक्त राष्ट्र/ न्यूयार्क, 28 सितम्बर । भारत ने संयुक्त राष्ट्र महासभा में ‘‘लगातार शेखी बघारने’’ और ‘‘जहर उगलने’’ के लिए पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान की निंदा करते हुए कहा था कि पाकिस्तान के पास पिछले सात दशक में ‘‘बड़ी उपलब्धियों के तौर’’ पर दिखाने के लिए केवल आतंकवाद, अल्पसंख्यक जातीय समूहों का सफाया करना, बहुसंख्यकों की कट्टरता और अवैध परमाणु सौदा है।
संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी मिशन के पहले सचिव मिजितो विनितो ने जवाब देने के अधिकार का इस्तेमाल करते हुए कहा था कि , ‘‘ पाकिस्तान के नेता ने हिंसा और घृणा को भड़काने वालों को प्रतिबंधित करने की मांग की, लेकिन जैसे-जैसे वह आगे बात करते गए, हम यह सोचने पर मजबूर हो गए कि क्या वह अपनी बात कर रहे हैं?’’
इमरान खान ने महासभा में उच्च स्तरीय चर्चा के दौरान अपने वीडियो में जम्मू-कश्मीर समेत भारत के आंतरिक मामलों की बात की थी, जिसके बाद भारत ने ‘‘जवाब देने के अपने अधिकार’’ का इस्तेमाल किया।
जब खान ने भारत पर हमेशा की तरह ‘‘आरोप लगाने वाला भाषण’’ देना शुरू किया, तो संयुक्त राष्ट्र महासभा के सभाकक्ष में भारत की सीट पर बैठे विनितो बर्हिगमन कर गए।
युवा भारतीय राजनयिक ने कहा, ‘‘उस व्यक्ति ने सभागार में लगातार शेखी बघारी, जिसके पास स्वयं कुछ दिखाने को नहीं है, जिसके पास बताने लायक कोई उपलब्धि नहीं है और दुनिया को देने के लिए कोई तर्कसंगत सुझाव नहीं है। इसके बजाए, हमने उसे झूठ, गलत सूचना फैलाते, युद्ध भड़काते और द्वेष फैलाते देखा।’’
विनितो ने एक देश के रूप में पाकिस्तान के इतिहास की निंदा करते हुए कहा, ‘‘इस देश के पास पिछले 70 साल में जो बड़ी उपलब्धियां दिखाने लायक है, वह आतंकवाद, अल्पसंख्यक जातीय समूहों का सफाया करना, बहुसंख्यकों की कट्टरता और अवैध परमाणु सौदे हैं।’’
उन्होंने कहा कि पाकिस्तान एक ऐसा देश है, जो संयुक्त राष्ट्र द्वारा गैरकानूनी करार दिए गए आतंकवादियों की बड़ी संख्या को आश्रय देता है। उन्होंने आतंकवादी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के संस्थापक हाफिज सईद और जैश-ए-मोहम्मद के सरगना मसूद अजहर का जिक्र करते हुए यह बात की।
विनितो ने कहा, ‘‘यह वही देश है, जो खूंखार और सूचीबद्ध आतंकवादियों को सरकारी कोष से पेंशन देता हैं। जिस नेता को आज हमने सुना, वह वही हैं, जिन्होंने आतंकवादी ओसामा बिन लादेन को जुलाई में पाकिस्तानी संसद में ‘‘शहीद’’ कहा था।’’
उन्होंने कहा कि यही वह पाकिस्तान है जिसने 39 साल पहले अपने लोगों को ही मारकर दक्षिण एशिया में नरसंहार किया था और यही वह देश है, जिसमें ‘‘इतनी भी शर्म नहीं’’ है कि वह इतने वर्ष बाद भी अपनी भयावहता के लिए ईमानदारी से माफी मांगे।
भारत ने ‘जवाब देने अपने अधिकार’ का इस्तेमाल करते हुए कहा कि ‘‘आज जहर उगलने वाले’’ खान ने अमेरिका में 2019 में सबके सामने स्वीकार किया था कि उनके देश में अब भी 30,000 से 40,000 आतंकवादी हैं, जिन्हें पाकिस्तान ने प्रशिक्षण दिया था और जिन्होंने अफगानिस्तान एवं भारत के जम्मू-कश्मीर में आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम दिया।
विनितो ने कहा, ‘‘यही वह देश है जिसने ईशनिंदा कानूनों के दुरुपयोग एवं जबरन धर्म परिवर्तन कराकर हिंदुओं, इसाइयों, सिखों और अन्य लोगों समेत अल्पसंख्यकों को व्यवस्थित तरीके से समाप्त कर दिया।’’
उन्होंने कहा, ‘‘यह ऐसा देश है, जो इस्लाम का हिमायती होने का दावा करता है, लेकिन उसने केवल इसलिए अपने साथी मुसलमानों की हत्या को बढ़ावा दिया, क्योंकि वे किसी अन्य समुदाय या पाकिस्तान में किसी अन्य क्षेत्र से संबंध रखते हैं।’’
भारत ने जोर देकर कहा कि जम्मू-कश्मीर उसका ‘‘अभिन्न अंग है, जिसे अलग नहीं किया जा सकता’’ और केंद्रशासित प्रदेश में लाए गए कानून और विधेयक उसका आंतरिक मामला है।
उन्होंने कहा, ‘‘कश्मीर में एकमात्र विवाद कश्मीर के उस हिस्से में है, जिस पर पाकिस्तान का अवैध कब्जा है। हम पाकिस्तान से अपील करते हैं कि वह अपने अवैध कब्जे वाले इलाकों को खाली करे।’’
भारत ने कहा कि पाकिस्तान के सामान्य देश बनने का एकमात्र जरिया यह है कि वह आतंकवाद को वित्तीय सहयोग देना बंद करे और अपना ध्यान उन समस्याओं पर केंद्रित करे, जो उसके नागरिक झेल रहे हैं तथा अपने ‘कुटिल’ एजेंडे के लिए संयुक्त राष्ट्र मंचों का दुरुपयोग करना बंद करे।
पीओके खाली करे पाकिस्तान , भारत ने दी चेतावनी
भारत ने पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर(पीओके) को एकमात्र शेष विवाद करार देते हुए तल्ख भरे स्वर में पड़ोसी देश से कहा कि वह पीओके को पूरी तरह से खाली करें तथा एक सामान्य देश बनने के लिए आतंकवाद को नैतिक, वित्तीय और अन्य तरह से समर्थन देना बंद करे।
भारत ने संयुक्त राष्ट्र महासभा के 75वें सत्र में अपने संबोधन के दौरान पाकिस्तान को यह हिदायत दी।
संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थाई मिशन के फर्स्ट सेक्रेटरी मिजितो विनितो ने भारत के बयान को उद्धृत करते हुए कहा कि पाकिस्तान को केंद्र शासित जम्मू-कश्मीर के उन सभी क्षेत्रों को खाली कर देना चाहिए , जहां उसने अवैध रूप से कब्जा कर रखा है।
उन्होंने कहा, “ कश्मीर में अब एकमात्र शेष विवाद वहां के उस हिस्से से जुड़ा है , जो अभी पाकिस्तान के कब्जे में है। हम पाकिस्तान से उन सभी क्षेत्रों को खाली करने की अपेक्षा करते हैं, जो अवैध रूप से उसके कब्जे में हैं।”
बयान में इस तथ्य की पुष्टि की गई कि केंद्र शासित प्रदेश जम्मू कश्मीर भारत का एक अभिन्न और अलग न किये जा सकने वाला हिस्सा है और वहां लागू कानून भारत का आंतरिक मामला है।
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने शुक्रवार को अपने संबोधन के दौरान कश्मीर को लेकर भारत विरोधी बयान दिया जिसका भारत ने कड़ा प्रतिवाद किया ।
उन्होंने यह भी कहा था कि भारत को पांच अगस्त 2019 को कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटाने वाले फैसले को रद्द करना होगा।
संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी प्रतिनिधि टी एस तिरुमूर्ति ने पाकिस्तान के प्रधानमंत्री के संबोधन के तुरंत बाद ट्वीट किया और इसे एक नया राजनयिक तिकड़म बताते हुए उनके भाषण को शातिराना झूठ, व्यक्तिगत आक्षेप और युद्ध के लिए भड़काने वाला करार दिया।