केन्द्र ने बताया;अप्रैल से लेकर अभी तक कोरोना मरीजों के लिए 12 नए एम्स में 1300 से अधिक ऑक्सीजन बेड,530 ICUबेड की व्यवस्था की गई attacknews.in

नयी दिल्ली, 19 मई । केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने बुधवार को बताया कि अप्रैल के दूसरे सप्ताह से लेकर अभी तक कोविड-19 मरीजों के इलाज के लिए 12 नए एम्स में 1300 से अधिक ऑक्सीजन के बेड (बिस्तर) और 530 आईसीयू बेड की व्यवस्था की गई और अब यहां करीब 1900 ऑक्सीजन बेड और 900 आईसीयू बेड हैं।

मंत्रालय के अनुसार, एम्स भुवनेश्वर, एम्स भोपाल, एम्स जोधपुर, एम्स पटना, एम्स रायपुर, एम्स ऋषिकेश, एम्स मंगलगिरी, एम्स नागपुर, एम्स रायबरेली, एम्स बठिंडा, एम्स बीबीनगर और एम्स गोरखपुर में अभी कुल 1925 बिना आईसीयू वाले ऑक्सीजन बेड और 908 आईसीयू बेड हैं।

प्रधानमंत्री स्वास्थ्य सुरक्षा योजना (पीएमएसएसवाई) के तहत अभी तक 22 नए एम्स को मंजूरी दी गई है।

बयान के अनुसार, इनमें से छह भोपाल, भुवनेश्वर, जोधपुर, पटना, रायपुर और ऋषिकेश में पहले से ही पूरी तरह शुरू हो चुके हैं। अन्य सात एम्स में ओपीडी सेवा और एमबीबीएस की कक्षाएं शुरू की गई हैं और पांच अन्य एम्स में केवल एमबीबीएस की कक्षाएं हो रही हैं।

मंत्रालय ने बयान में कहा, ‘‘ इन क्षेत्रीय एम्स, जिनकी स्थापना पीएमएसएसवाई के तहत की गई है या की जा रही है, इन्होंने पिछले साल वैश्विक महामारी की शुरुआत से ही कोविड-19 के प्रबंधन में अहम भूमिका निभाई है। यह योगदान और महत्वपूर्ण हो जाता, जब इस तथ्य पर गौर किया जाए कि इन्होंने उन इलाके में काफी मदद की जहां स्वास्थ्य तंत्र का ढांचा कमजोर है।’’

उसने कहा, ‘‘ मध्यम और गंभीर कोविड रोगियों के इलाज के लिए बिस्तर क्षमता का विस्तार करके दूसरी लहर की चुनौती को एक कड़ा जवाब दिया है।’’

बयान में कहा कि कोविड-19 के बढ़ते मामलों के मद्देनजर अप्रैल-मई में रायबरेली और गोरखपुर में एम्स की शुरुआत की गई, जिसने उत्तर प्रदेश के दूर-दराज जिलों फतेहपुर, बाराबंकी, कौशांबी, प्रतापगढ़, सुल्तानपुर, अंबेडकर नगर, बस्ती, संत कबीर नगर, महाराजगंज, कुशीनगर, देवरिया, बलिया, मऊ और आजमगढ़ के कोविड-19 के मरीजों का इलाज करने में मदद की ।

बयान के अनुसार, केवल रायपुर में एम्स में ही 19 मई तक कोविड-19 के 9,664 मरीजों का इलाज किया गया।

मंत्रालय ने कहा कि रायपुर, जोधपुर, पटना, ऋषिकेश, भुवनेश्वर और भोपाल एम्स पुरी तरह शुरू हो गए हैं वहीं बाकी पूरी तरह अभी शुरू नहीं हुए हैं।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने चक्रवात ‘‘ताउते’’ से हुए नुकसान का जायजा लेने के लिए गुजरात और केंद्र शासित क्षेत्र दीव के प्रभावित इलाकों का हवाई सर्वेक्षण किया,₹ 100 अरब सहायता की घोषणा attacknews.in

अहमदाबाद/भावनगर , 19 मई ।प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने चक्रवात ‘‘ताउते’’ से हुए नुकसान का जायजा लेने के लिए बुधवार को गुजरात और केंद्र शासित क्षेत्र दीव के प्रभावित इलाकों का हवाई सर्वेक्षण किया। मोदी ने 1000 करोड़ रुपए की फ़ौरी सहायता की घोषणा की।

मोदी चक्रवात से हुए नुकसान का जायजा लेने के लिए एक दिवसीय गुजरात दौर पर आज भावनगर पहुंचे जहां मुख्यमंत्री विजय रूपाणी ने उनका स्वागत किया।

एक अधिकारी ने बताया कि मोदी हेलीकॉप्टर पर सवार होकर प्रभावित क्षेत्रों के हवाई सर्वेक्षण के लिए निकले।

रूपाणी ने ट्वीट कर कहा, ‘‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भावनगर पहुंच गए हैं। वह चक्रवात ताउते से प्रभावित अमरेली, गिर सोमनाथ और भावनगर जिलों का हवाई सर्वेक्षण करेंगे।’’

चक्रवात के कारण गिर सोमनाथ जिले के दीव और उना शहर के बीच सोमवार को जल भराव की स्थिति बन गई थी और इससे संपत्ति को भी खासा नुकसान पहुंचा है। क्षेत्र में पेड़ भी बड़ी संख्या में गिर गए हैं।

प्रभावित इलाकों का मुआयना करने के बाद प्रधानमंत्री ने अहमदाबाद में एक बैठक भी की जिसमें मुख्यमंत्री के अलावा उपमुख्यमंत्री नितिन पटेल और राज्य सरकार के वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे।

गुजरात में चक्रवाती तूफान के कारण तटीय इलाकों में भारी नुकसान हुआ, बिजली के खंभे तथा पेड़ उखड़ गए तथा कई घरों व सड़कों को भी नुकसान पहुंचा। इस दौरान हुई घटनाओं में करीब 13 लोगों की मौत भी हुई है।

चक्रवाती तूफान के कारण 200 से अधिक तालुकाओं में बारिश हुई। एहतियाती तौर पर राज्य सरकार ने पहले ही दो लाख से अधिक लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचा दिया था।

मौसम विभाग ने कहा कि ताउते गुजरात के तट से “बेहद गंभीर चक्रवाती तूफान” के तौर पर आधी रात के करीब गुजरा और धीरे-धीरे कमजोर होकर “गंभीर चक्रवाती तूफान” तथा बाद में और कमजोर होकर अब “चक्रवाती तूफान” में बदल गया है।

रुपाणी ने मंगलवार को कहा था कि 16000 से ज्यादा घरों को नुकसान पहुंचा, 40 हजार से ज्यादा पेड़ और 70 हजार से ज्यादा बिजली के खंभे उखड़ गए जबकि 5951 गांवों में बिजली चली गई।

यह राज्य में आया, अब तक का सबसे भयावह चक्रवात बताया जा रहा है। ताउते के कारण सौराष्ट्र से लेकर उत्तरी गुजरात के तट तक भारी बारिश देखने को मिली। कम से कम 46 तालुका में 100 मिलीमीटर से ज्यादा बारिश हुई जबकि 12 में 150 से 175 मिलीमीटर तक बारिश दर्ज की गई।

चक्रवात ताउते दोपहर बाद अहमदाबाद जिले की सीमा से लगते हुए उत्तर की तरफ बढ़ गया । इससे पहले और इस दौरान भी यहां लगातार भारी बारिश हुई जिससे शहर के कई इलाकों में घुटनों तक पानी भर गया।

श्री मोदी ने गुजरात समेत अन्य प्रभावित राज्यों के मृतकों के लिए दो- दो लाख और गम्भीर घायलों के लिए 50-50 हज़ार रुपए की सहायता देने की भी घोषणा की।

श्री मोदी वायु सेना के विमान से भावनगर पहुंचे और वहां से हेलिकॉप्टर में बैठ कर हवाई निरीक्षण किया। उन्होंने सर्वाधिक प्रभावित जिलों अमरेली के जाफ़राबाद तालुक़ा, भावनगर के महुआ और गिर सोमनाथ के उना तथा दीव का हवाई दौरा किया।

उनके साथ मुख्यमंत्री विजय रूपाणी भी उपस्थित थे।
इसके बाद उन्होंने अहमदाबाद में मुख्यमंत्री रूपाणी और राज्य के वरिष्ठ सचिवों के साथ एक राहत और पुनर्वास कार्यों की समीक्षा बैठक भी की।

आधिकारिक सूचना के अनुसार उन्होंने गुजरात में राहत कार्यों के लिए तत्काल 1000 करोड़ रुपए की केंद्रीय वित्तीय सहायता की घोषणा की। केंद्र सरकार नुक़सान का और व्यापक जायज़ा लेने के लिए एक मंत्रियों की एक टीम को भी राज्य में भेजेगी और उसे बाद और सहायता दी जाएगी।

श्री मोदी ने कहा कि केंद्र सरकार इस मुश्किल समय में राज्य सरकार के साथ नज़दीकी के साथ काम करेगी और प्रभावित क्षेत्रों में आधारभूत संरचनाओं के पुनर्निर्माण और फिर से बहाली के लिए हर सम्भव सहायता देगी। अपने इस दौरे के दौरान उन्होंने राज्य में कोरोना की स्थिति का भी जानकारी ली और इससे बचाव के उपायों को लागू करने पर भी ज़ोर दिया।
प्रधानमंत्री ने देश के विभिन्न भागों में इस तूफ़ान के कारण जान गंवाने वालों के लिए गहरे दुःख का इजहार किया और इनमे से प्रत्येक के निकटतम सम्बंधी को 2-2 लाख रुपए और गम्भीर रूप से घायलों को 50 हज़ार रुपए की आर्थिक सहायता की भी घोषणा की। उन्होंने कहा कि सरकार अन्य प्रभावित राज्यों के साथ भी क़रीबी से काम कर रही है और जब ये राज्य नुक़सान सम्बंधी आंकलन देंगे तो उनके लिए भी तत्काल वित्तीय सहायता दी जाएगी।

उन्होंने कहा कि हमें आपदा प्रबंधन संबंधी और अधिक वैज्ञानिक अध्ययनों पर ध्यान केंद्रित करना जारी रखना होगा। उन्होंने ऐसी आपदाओं के दौरान अंतर राज्य समन्वय और प्रभावित क्षेत्रों से लोगों को जल्दी से स्थानांतरित करने के लिए और अत्याधुनिक संचार तकनीकों के इस्तेमाल की ज़रूरत पर भी ज़ोर दिया। उन्होंने प्रभावित क्षेत्रों में क्षतिग्रस्त मकानों और अन्य संपत्तियों के मरम्मत पर तत्काल ध्यान देने का आह्वान किया।

ज्ञातव्य है कि 17 मई की रात गुजरात के गिर सोमनाथ ज़िले में तट से टकराने के बाद कल देर रात तक राज्य में सक्रिय रहे इस तूफ़ान के असर से कम से कम 13 लोगों की मौत होने की पुष्टि राज्य सरकार ने अब तक की है। हालांकि अपुष्ट सूचनाओं के अनुसार यह संख्या 50 से भी अधिक बतायी जाती है। इससे फ़सलों, मकानों, सड़कों, बिजली के खंभों आदि को भी व्यापक नुक़सान पहुंचा है। इससे 80 हज़ार से अधिक पेड़ और 70 हज़ार बिजली के खंभे भी गिर गए थे। छह हज़ार से अधिक गावों में बिजली की आपूर्ति प्रभावित हुई थी। सौराष्ट्र क्षेत्र में कई पेट्रोल पम्प क्षतिग्रस्त हुए हैं। तेज़ बरसात से रेल पटरियों और सड़कों को भी नुक़सान पहुंचा है। कई रास्ते बंद थे। राज्य सरकार ने पहले ही कहा है कि नुक़सान का सर्वेक्षण आज से शुरू होगा और सभी प्रभावितों को नियमों के अनुरूप आर्थिक सहायता/मुआवज़ा दिया जाएगा।

तूफ़ान ताउ ते के असर से पिछले 24 घंटे में गुजरात के सभी 33 जिलों के कुल 251 में से 226 तालुक़ा में बरसात भी हुई है और इसमें सर्वाधिक 226 मिलीमीटर मध्यवर्ती खेड़ा ज़िले के नडियाद में दर्ज की गयी है। 24 तालुक़ा में 100 मिमी या अधिक, 86 तालुक़ा में 50 मिमी या अधिक और 139 में 25 मिमी या अधिक बरसात हुई है ।

चक्रवात के कारण गिर सोमनाथ जिले के दीव और उना शहर के बीच सोमवार को जल भराव की स्थिति बन गई थी और इससे संपत्ति को भी खासा नुकसान पहुंचा है। क्षेत्र में पेड़ भी बड़ी संख्या में गिर गए हैं।

गुजरात में चक्रवाती तूफान के कारण तटीय इलाकों में भारी नुकसान हुआ, बिजली के खंभे तथा पेड़ उखड़ गए तथा कई घरों व सड़कों को भी नुकसान पहुंचा। इस दौरान हुई घटनाओं में करीब 13 लोगों की मौत भी हुई है।

चक्रवाती तूफान के कारण 200 से अधिक तालुकाओं में बारिश हुई। एहतियाती तौर पर राज्य सरकार ने पहले ही दो लाख से अधिक लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचा दिया था।

मौसम विभाग ने कहा कि ताउते गुजरात के तट से “बेहद गंभीर चक्रवाती तूफान” के तौर पर आधी रात के करीब गुजरा और धीरे-धीरे कमजोर होकर “गंभीर चक्रवाती तूफान” तथा बाद में और कमजोर होकर अब “चक्रवाती तूफान” में बदल गया है।

रुपाणी ने मंगलवार को कहा था कि 16000 से ज्यादा घरों को नुकसान पहुंचा, 40 हजार से ज्यादा पेड़ और 70 हजार से ज्यादा बिजली के खंभे उखड़ गए जबकि 5951 गांवों में बिजली चली गई।

यह राज्य में आया, अब तक का सबसे भयावह चक्रवात बताया जा रहा है। ताउते के कारण सौराष्ट्र से लेकर उत्तरी गुजरात के तट तक भारी बारिश देखने को मिली। कम से कम 46 तालुका में 100 मिलीमीटर से ज्यादा बारिश हुई जबकि 12 में 150 से 175 मिलीमीटर तक बारिश दर्ज की गई।

चक्रवात ताउते दोपहर बाद अहमदाबाद जिले की सीमा से लगते हुए उत्तर की तरफ बढ़ गया । इससे पहले और इस दौरान भी यहां लगातार भारी बारिश हुई जिससे शहर के कई इलाकों में घुटनों तक पानी भर गया।

“कोवैक्सीन” का बच्चों पर परीक्षण रोकने अनुरोध वाली याचिका पर केन्द्र से मांगा जवाब;ट्रायल में हिस्सा लेने वाले बच्चों के स्वास्थ्य या मानसिक स्थिति पर प्रतिकूल प्रभाव का संदेह attacknews.in

नयी दिल्ली, 19 मई । दिल्ली उच्च न्यायालय ने भारत के औषधि महानियंत्रक (डीसीजीआई) द्वारा ‘भारत बायोटेक’ को कोविड-19 रोधी टीके ‘कोवैक्सीन’ के दो से 18 वर्ष के बच्चों पर परीक्षण के लिए दी गई अनुमति रद्द करने के लिये दायर याचिका पर बुधवार को केन्द्र को नोटिस जारी किया।

मुख्य न्यायाधीश डीएन पटेल और न्यायमूर्ति ज्योति सिंह ने स्वास्थ्य मंत्रालय , महिला एवं बाल विकास मंत्रालय, केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (सीडीएससीओ) और ‘भारत बायोटेक’ को नोटिस जारी किये। इन सभी को 15 जुलाई तक नोटिस के जवाब देने हैं। यह याचिका संजीव कुमार ने दायर की गई है।

अदालत ने हालांकि कोविड-19 रोधी टीके ‘कोवैक्सीन’ के दो से 18 वर्ष के बच्चों पर ‘क्लीनिकल ट्रायल’ के लिए 12 मई को दी गई अनुमति पर कोई भी अंतरिम आदेश पारित करने से इनकार कर दिया।

‘क्लीनिकल ट्रायल’ 525 स्वस्थ स्वयंसेवकों पर किया जाएगा। इन्हें भी टीके 28 दिन के अंतर में दो खुराक में लगाए जाएंगे।

‘कोवैक्सीन’ का विकास हैदराबाद आधारित भारत बायोटेक और भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) ने किया है। यह उन दो टीकों में शामिल है, जिन्हें भारत में अभी व्यस्कों को लगाया जा रहा है।

कुमार ने अपनी याचिका में संदेह व्यक्त किया है कि ट्रायल में हिस्सा लेने वाले बच्चों को टीका लगने से उनके स्वास्थ्य या मानसिक स्थिति पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ सकता है।

उन्होंने यह भी दावा किया था कि ट्रायल में हिस्सा लेने वाले बच्चों को स्वयंसेवक नहीं कहा जा सकता, क्योंकि वे ट्रायल से उन पर पड़ने वाले परिणाम को समझने के सक्षम नहीं है।

याचिका में कहा गया कि स्वस्थ बच्चों पर यह परीक्षण करना ‘‘हत्या’’ के बराबर है। इसमें इस तरह के परीक्षणों में शामिल लोगों या इसे संचालित करने के लिए अधिकृत लोगों के खिलाफ आपराधिक मुकदमा चलाने की मांग की गई है।

शिवराज सिंह चौहान ने बताया:मध्यप्रदेश में कोरोना प्रकरणों में निरंतर गिरावट, संक्रमण लगातार कम हो रहा और बड़ी संख्या में रोज मरीज स्वस्थ हो रहे हैं attacknews.in

भोपाल, 18 मई । मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि प्रदेश में कोरोना प्रकरणों में निरंतर गिरावट जारी है। संक्रमण लगातार कम हो रहा है तथा बड़ी संख्या में रोज मरीज स्वस्थ हो रहे हैं। किल कोरोना अभियान के अंतर्गत ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों में एक-एक मरीज की पहचानकर उसका इलाज किया जा रहा है।

श्री चौहान आज निवास से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से प्रदेश में कोरोना की स्थिति एवं व्यवस्थाओं की समीक्षा कर रहे थे।

उन्होंने कहा कि अब हम एग्रेसिव स्ट्रेटेजी अपनाकर कोरोना को प्रदेश से शीघ्र समाप्त करें। शहरों एवं ग्रामों में मोबाइल टैस्टिंग यूनिट प्रारंभ करें तथा एग्रेसिव टैस्टिंग की जाए। अधिक से अधिक टैस्ट किए जाए। एक भी मरीज छूटे नहीं यह सुनिश्चित करें। साथ ही वैक्सीनेशन कार्य भी युद्ध स्तर पर किया जाए।

केन्द्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर श्योपुर से वी.सी. में शामिल हुए। उन्होंने मध्यप्रदेश में कोरोना के प्रभावी नियंत्रण के लिए मुख्यमंत्री श्री चौहान सहित पूरी टीम की सराहना की। उन्होंने प्रदेश में ऑक्सीजन, रेमडेसिविर आदि की उपलब्धता तथा श्रेष्ठ स्वास्थ्य सेवाओं एवं अधोसंरचना के लिए श्री चौहान को धन्यवाद दिया।

प्रदेश के 4 जिलों में ही अब 200 से अधिक तथा 10 जिलों में 100 से अधिक नए प्रकरण आए हैं। इंदौर में 1262, भोपाल में 661, जबलपुर में 306, सागर में 201, ग्वालियर में 175, रतलाम में 170, रीवा में 168, उज्जैन में 154, अनूनपुर में 111 तथा शिवपुरी में 105 कोरोना के नए प्रकरण आए हैं।
प्रदेश में 5412 कोरोना के नए प्रकरण आए हैं, 11358 मरीज पिछले 24 घंटों में स्वस्थ हुए हैं। प्रदेश की कोरोना ग्रोथ रेट 1.00 फीसदी है तथा साप्ताहिक पॉजिटिविटी 11 फीसदी है। आज की पॉजिटिविटी 7.8 फीसदी है तथा साप्ताहिक प्रकरण 51486 हैं।

प्रदेश के 9 जिलों में 5 फीसदी से कम साप्ताहिक पॉजिटिविटी है, वहीं 25 जिलों में 10 फीसदी से कम साप्ताहिक पॉजिटिविटी है। गुना, छिंदवाड़ा, भिंड, बड़वानी, बुरहानपुर, अशोकनगर, झाबुआ, अलीराजपुर, खंडवा में 5 फीसदी से कम साप्ताहिक पॉजिटिविटी है तथा इन जिलों सहित होशंगाबाद, देवास, सतना, रायसेन, बालाघाट, राजगढ़, मंदसौर, विदिशा, मंडला, छतरपुर, टीकमगढ़, मुरैना, हरदा, श्योपुर, आगर-मालवा तथा निवाड़ी में 10 से कम साप्ताहिक पॉजिटिविटी है। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कम संक्रमण वाले सभी जिलों को बधाई दी।

मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि प्रदेश में ऐसे बच्चे जिनके माँ-बाप दोनों का निधन हो गया है, उनके लिए बनाई गई योजना का लाभ देना 1-2 दिन में प्रारंभ कर दिया जाए। प्रदेश के 28 जिलों में 155 ऐसे बच्चे चिन्हित किए गए हैं, जिन्हें योजना का लाभ दिया जाना है।
श्री चौहान ने कहा कि उत्कृष्ट कार्य करने वाले कोरोना वॉलेंटियर्स को सम्मानित किया जाए।

जबलपुर जिले की समीक्षा में बताया गया कि वहां 1925 करोना वॉलेंटियर्स सक्रिय है, जिनके द्वारा लावारिस कोरोना मरीजों का अंतिम संस्कार जैसे विभिन्न सेवा कार्य किए जा रहे हैं।

मुख्यमंत्री ने कोरोना संक्रमण न्यूनतम होने पर झाबुआ एवं खंडवा जिलों को बधाई दी। झाबुआ में साप्ताहिक पॉजिटिविटी 0.8 फीसदी तथा खंडवा में 0.2 फीसदी है। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि यहां कोरोना संक्रमण शून्य करने के सघन प्रयास किए जाएं।

प्रदेश में कोविड के 23 हजार 445 मरीजों का नि:शुल्क इलाज किया जा रहा है। इनमें से 15 हजार 112 का शासकीय अस्पतालों में, 2396 का अनुबंधित अस्पतालों में तथा 5937 का मुख्यमंत्री कोविड उपचार योजना के अंतर्गत सम्बद्ध निजी अस्पतालों में इलाज चल रहा है। मुख्यमंत्री कोविड उपचार योजना में मरीजों के इलाज पर शासन द्वारा आज की‍ स्थिति में 6 करोड़ 10 लाख 19 हजार 628 व्यय हुआ।

प्रदेश में नकली रेमडेसिविर बेचने वालों, कालाबाजारी करने वाले 67 व्यक्तियों के विरूद्ध आपराधिक प्रकरण दर्ज किए गए हैं। इसके अलावा अधिक शुल्क लिए जाने पर अस्पतालों के विरूद्ध कार्रवाई की गई है। कुल 254 प्रकरणों में कार्रवाई करते हुए मरीजों के परिजनों को 97 लाख 29 हजार रूपए की राशि वापस दिलाई गई है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि वैक्सीनेशन के लिए एक नकली स्लॉट का मामला भी सामने आया है। उन्होंने इस संबंध में तुरंत जाँच कर दोषियों के‍ विरूद्ध कड़ी कार्रवाई किए जाने के निर्देश दिए।

श्री चौहान ने निर्देश दिए कि जहाँ-जहाँ किसान गेहूँ, चने के उपार्जन से शेष रह गए हैं, उन खरीदी केन्द्रों पर खरीदी चालू रखी जाए।

नर्स अपनी सेवा से मरीजों में नवजीवन का संचार करें-शिवराज

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने नवनियुक्त नर्सो से कहा कि कोरोना जैसी वैश्विक महामारी के समय यह पीड़ित मानवता की सेवा का महान अवसर है। आपको ‘सिस्टर’ के धर्म का पूरा निर्वाह करना है।

श्री चौहान आज निवास से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से प्रदेश के विभिन्न जिलों में नवनियुक्त नर्सों को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि कोरोना के समय मरीज के साथ अस्पताल में अटैडेंट नहीं रहता। ऐसे में नर्स की ड्यूटी ओर बढ़ जाती है। उसे निरंतर मरीज के हैल्थ पैरामीटर्स चैक करने के अलावा उसकी निरंतर देखभाल करना तथा उसका मनोबल बढ़ाना भी आवश्यक है। अपने नवीन कार्य का प्रारंभ करें तथा अपनी सेवा से मरीजों में नवजीवन का संचार करें। प्रदेश में 1015 नर्सों की नियुक्ति की गई है।

श्री चौहान ने कहा कि नर्स को हम ‘सिस्टर’ अर्थात बहन कहते हैं। बहन स्नेह, प्रेम और आत्मीयता की प्रतिमूर्ति होती है। उनका परिवार के प्रति अद्भुत स्नेह होता है। इसी प्रेम, स्नेह एवं आत्मीयता से वे मरीजों की सेवा करें। उन्होंने सिस्टर सरोज यादव द्वारा कोरोना उपचार के दौरान उनकी की गई सेवा की सराहना भी की।

मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना काल युद्ध काल जैसा है। हम पिछले लगभग 1.5 वर्ष से कोरोना के विरूद्ध लड़ाई लड़ रहे हैं। हमें दूसरी लहर के बाद अब तीसरी लहर के लिए भी तैयार रहना है। ऐसे में ‘सिस्टर’ पूरे धैर्य एवं संयम के साथ अपने पवित्र कर्तव्य का निर्वाह करें।

श्री चौहान ने एक कहानी के माध्यम से बताया कि कार्य के प्रति तीन प्रकार का दृष्टिकोण हो सकता है। पहला कार्य को मजबूरी अथवा बोझ मानना, दूसरा उसे केवल आजीविका मानना तथा तीसरा कार्य को सेवा का अवसर मानकर उसके लिए ईश्वर को धन्यवाद देना। हम कार्य को सेवा मानें तथा सकारात्मक दृष्टिकोण रखकर कार्य करें।

श्री चौहान ने कहा कि आप में से कई ‘सिस्टर्स’ की ड्यूटी वैक्सीनेशन के लिए लगाई जाएगी। वैक्सीन हमारे लिए अमृत समान है। सभी ‘सिस्टर्स’ इस बात का ध्यान रखें कि वैक्सीन का एक भी डोज़ बेकार न जाए।

ब्लैक फंगस के उपचार के लिये टॉस्क फोर्स बनाई जाये-शिवराज

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने निर्देश दिये हैं कि ब्लैक फंगस ‘म्यूकॉरमाइकोसिस’ के उपचार संबंधी व्यवस्थाओं के लिये एक डेडिकेटेड टॉस्क फोर्स बनाई जाये, जिसमें स्वास्थ्य मंत्री, चिकित्सा शिक्षा मंत्री, संबंधित विभागों के ए.सी.एस./पी.एस., ईएनटी विशेषज्ञ डॉ. एस.पी. दुबे, डॉ. लोकेन्द्र दवे तथा अन्य एक्सपर्ट रहेंगे। टास्क फोर्स तुरंत कार्य करना प्रारंभ कर दें।

श्री चौहान आज निवास से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से मंत्रियों एवं अधिकारियों के साथ ब्लैक फंगस रोग के संबंध में चर्चा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि प्रदेश में ब्लैक फंगस ‘म्यूकॉरमाइकोसिस की प्राथमिक अवस्था में ही पहचान कर हर मरीज का उपचार करें। इस कार्य को जन-आंदोलन का रूप दिया जाए तथा हर जिले में इसकी जाँच की व्यवस्था हो। इस कार्य में निजी चिकित्सकों का भी पूरा सहयोग लिया जाए।

राजस्थान में नाराज़ है सचिन पायलट गुट : गुड़ामालानी से कांग्रेस विधायक हेमाराम चौधरी ने विधानसभा सदस्यता से इस्तीफा दिया attacknews.in

बाड़मेर 18 मई ।राजस्थान में वरिष्ठ कांग्रेस विधायक हेमाराम चौधरी ने आज विधानसभा सदस्यता से इस्तीफ़ा दे दिया।

सीमांत बाड़़मेर जिले के गुड़ामालानी विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस विधायक श्री चौधरी ने विधायक पद से अपना इस्तीफा ई-मेल और डाक से विधानसभा अध्यक्ष डॉ. सीपी जोशी को भेज दिया। उन्होंने आज ही इस्तीफ़ा स्वीकार करने का अनुरोध किया।

इस्तीफ़ा भेजने के बाद श्री चौधरी ने कहा कि उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष को अपना इस्तीफा भेज दिया है। उन्होंने पहले भी इस्तीफा दिया था, लेकिन उस समय उनका इस्तीफ़ा स्वीकार नहीं किया गया था।

श्री चौधरी के इस्तीफे के बाद कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने श्री चौधरी से फोन पर बात की। इसके बाद श्री डोटासरा ने सोशल मीडिया के जरिए इसे पारिवारिक मामला बताते हुए शीघ्र सुलझाने की बात कही।

उन्होंने बताया कि श्री हेमाराम चौधरी हमारी पार्टी के वरिष्ठ और सम्मानीय नेता हैं। उनके विधायक पद से इस्तीफ़े की जानकारी के बाद मेरी उनसे बात हुई है। यह पारिवारिक मामला है, जल्द ही मिल बैठकर सुलझा लिया जाएगा।

उल्लेखनीय है कि श्री चौधरी ने 14 फरवरी 2019 को भी विधानसभा सदस्यता से इस्तीफा दिया था, लेकिन तब पार्टी ने उन्हें मना लिया था।

श्री चौधरी सचिन पायलट खेमे के विधायक माने जा रहे हैं। पिछले साल पायलट खेमे के विधायकों की बाड़ेबंदी के समय भी वह 19 विधायकों के साथ थे। विधानसभा के बजट सत्र के दाैरान भी श्री चौधरी ने उनकी आवाज दबाने और उनके विधानसभा क्षेत्र में विकास के कामों में भेदभाव का आरोप लगाया था।

मध्यप्रदेश में मंगलवार को 5 हजार से अधिक कोरोना मरीज मिले, 70 की मौत;अबतक संक्रमितों की संख्या 7,42718 और मृतकों की संख्या 7139 हुई attacknews.in

भोपाल, 18 मई । मध्यप्रदेश में कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर के बीच आज भी पांच हजार से अधिक लोग कोरोना से संक्रमित मिले है।इस महामारी से आज 70 लोगों की जान चली गई।

मध्यप्रदेश की कोरोना ग्रोथ रेट 1.00 फीसदी है तथा साप्ताहिक पॉजिटिविटी 11 फीसदी है।

आज की पॉजिटिविटी 7.8 फीसदी है तथा साप्ताहिक प्रकरण 51486 हैं।

प्रदेश के 9 जिलों में 5 फीसदी से कम साप्ताहिक पॉजिटिविटी है, वहीं 25 जिलों में 10 फीसदी से कम साप्ताहिक पॉजिटिविटी है।

गुना, छिंदवाड़ा, भिंड, बड़वानी, बुरहानपुर, अशोकनगर, झाबुआ, अलीराजपुर, खंडवा में 5 फीसदी से कम साप्ताहिक पॉजिटिविटी है तथा इन जिलों सहित होशंगाबाद, देवास, सतना, रायसेन, बालाघाट, राजगढ़, मंदसौर, विदिशा, मंडला, छतरपुर, टीकमगढ़, मुरैना, हरदा, श्योपुर, आगर-मालवा तथा निवाड़ी में 10 से कम साप्ताहिक पॉजिटिविटी है।

राज्य के स्वास्थ्य संचालनालय की ओर से जारी बुलेटिन के अनुसार राज्य में 69,454 लोगों की कोरोना जांच सैंपल रिपोर्ट में 5,412 लोग कोरोना संक्रमित मिले हैं।

पॉजीटिविटी रेट आज (संक्रमण दर) घटकर 7़ 7 प्रतिशत दर्ज की गयी।

राज्य भर में 11,358 लोग कोरोना संक्रमण को हरा कर घर रवाना हुए है।

प्रदेश में वर्तमान में सक्रिय मरीजों की संख्या अब 82,967 है।

इस महामारी से प्रदेश भर में अब तक 7,42718 लोग कोरोना संक्रमित हो चुके हैं।

इनमें से 652612 लोग ठीक हो चुके है।

इस वैश्विक महामारी ने अब तक प्रदेश भर में 7139 लोगों की जान ले चुका है।

आज 70 लोगों की मौत हो गयी।

राज्य के इंदौर में जिले में आज 1262 लोग कोरोना संक्रमित पाये गये।

वहीं राजधानी भोपाल जिले में 667 लोग पॉजिटिव मिले हैं।

इसके अलावा ग्वालियर में 175, जबलपुर में 306, उज्जैन में 154, रतलाम में 170, रीवा में 168, सागर जिले में 201 नये कोरोना मरीज मिले है।

बाकी अन्य जिलों में भी 2 से लेकर 111 के बीच कोरोना संक्रमित मिले है।

चक्रवात से मुंबई में बारिश का रिकॉर्ड टूटा: मई में 24 घंटे में अब तक की सबसे अधिक बारिश दर्ज की गई attacknews.in

मुंबई, 18 मई । मुंबई में चक्रवाती तूफान ताउते के कारण 230 मिलीमीटर बारिश हुई। एक मौसम विशेषज्ञ ने इसे दर्ज इतिहास में मई में 24 घंटे में सबसे अधिक बारिश होने का दावा किया है।

भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) के मुंबई केंद्र के अनुसार, सांताक्रूज वेधशाला ने मंगलवार सुबह 8.30 बजे समाप्त हुई 24 घंटे की अवधि में 230.3 मिमी बारिश दर्ज की।

इसके अलावा, कोलाबा वेधशाला ने इसी अवधि के दौरान 207.6 मिमी बारिश दर्ज की।

आईएमडी की गणना के अनुसार, 204.5 मिमी से अधिक वर्षा को अत्यधिक भारी वर्षा माना जाता है, पुणे स्थित भारतीय उष्णकटिबंधीय मौसम विज्ञान संस्थान में उत्तरी हिंद महासागर में चक्रवातों को लेकर शोध करने वाले विनीत कुमार ने मंगलवार को ट्वीट किया, “मुंबई (सांताक्रूज): चक्रवात के प्रभाव के कारण पिछले 24 घंटों में 230 मिमी बारिश हुई, यह दर्ज इतिहास में मुंबई में मई में 24 घंटे में हुई सबसे अधिक बारिश है।”

अरब सागर में उठा तूफ़ान ‘ताउते’ गुजरात तट से टकराने और व्यापक तबाही मचाने के बाद कमज़ोर हुआ परन्तु ख़तरा अभी भी बना हुआ,गुजरात में मचाई ख़ासी तबाही, 10 मरे attacknews.in

गांधीनगर, 18 मई । अरब सागर में उठा अत्यंत तीव्र (एक्स्ट्रीम्ली सिवीयर) श्रेणी का तूफ़ान ‘ताउते’ गुजरात तट से टकराने और व्यापक तबाही मचाने के बाद निरंतर कमज़ोर होता जा रहा है पर इससे ख़तरा अभी भी बना हुआ है।

अब तक मिले आधिकारिक आंकडों के अनुसार तूफ़ान के चलते एक बच्चे और एक महिला समेत कम से कम तीन लोगों की मौत हुई है।

अनाधिकारिक सूचनाओं के अनुसार यह संख्या कम से कम 10 है। तूफ़ान से सर्वाधिक प्रभावित जिलों में अमरेली, गिर सोमनाथ, भावनगर, जूनागढ़, बोटाद और पोरबंदर के नाम शामिल हैं।

इसके असर से तटवर्ती हिस्सों में बड़े पैमाने पर पेड़, कच्चे, पक्के मकान और बिजली के खम्भे धराशायी हुए हैं। पेड़ गिरने के हज़ारों मामले सामने आए हैं और इनके चलते तटीय इलाक़ों में सड़क यातायात बुरी तरह प्रभावित हुआ है। तीन हज़ार सात सौ से अधिक गांव में बिजली आपूर्ति प्रभावित हुई है।

मौसम विभाग के अनुसार दोपहर बाद ढाई बजे तक यह यह अहमदाबाद से 105 किमी दक्षिण दक्षिण पूर्व में स्थित था। इसके शाम तक अहमदाबाद से गुज़रने और देर रात तक राज्य को प्रभावित करते रहने का अनुमान है। यह कमज़ोर होकर बाद में पड़ोसी राजस्थान की ओर रूख करेगा। इसके असर से कल से आज सुबह तक 17 जिलो के 70 से अधिक तालुक़ा में बरसात हुई थी जिसमें से सर्वाधिक 9 इंच (180 मिमी) अमरेली के बगसरा में थी। सुबह छह बजे से दोपहर दो बजे तक कुल 33 में से 32 जिलो के 176 तालुक़ा में बरसात हुई है जिसमें सर्वाधिक 135 मिमी भावनगर में है। वर्षा के कारण कई नदियों, जलाशयों और बांधो में जलस्तर बढ़ा है। शहरों और अन्य स्थानों पर निचले इलाक़ों में जलभराव भी हुआ है। तूफ़ान के चलते हवाओं की गति अब कम होकर 70 से 90 किमी प्रति घंटा हो गयी है।

मुख्यमंत्री विजय रूपाणी ने पत्रकारों को बताया कि तूफ़ान जब कल रात केंद्रशासित क्षेत्र दीव के निकट गुजरात तट से टकराया था तब इसके हवाओं की गति 160 किमी प्रति घंटा थी। अब तक तीन लोगों के तूफ़ान जनित घटनाओं से मौत की पुष्टि हुई है इनमे से वलसाड ज़िले के वापी का एक व्यक्ति, राजकोट ज़िले के जेतपुर में तीन साल का एक बालक और भावनगर के गरियाधार की 80 साल की एक महिला शामिल हैं। इनकी मौत दीवार आदि गिरने से हुई है। इस बीच, अनाधिकारिक सूचना के अनुसार अमरेली के राजुला में मकान गिरने से एक बच्ची तथा सूरत में पेड़ गिरने से एक व्यक्ति की मौत हुई है। आनंद ज़िले के खंभात के मोचीवाड़ में करंट लगने से एक बच्ची, अहमदाबाद के सानंद में बिजली का तार टूट कर गिरने से दो और गिर सोमनाथ ज़िले के उना तालुक़ा के अंजार गांव में पेड़ गिरने से दो लोगों की मौत हुई है।

श्री रूपाणी ने बताया कि पेड़ आदि गिरने से 196 रास्ते बंद थे। तूफ़ान निरंतर कमज़ोर हो रहा है पर कल सुबह तक इससे पूरी तरह सतर्क रहने की ज़रूरत है। सरकार तूफ़ान सम्बंधी बचाव कार्य की निरंतर निगरानी कर रही है। नुक़सान के आंकलन के लिए सर्वे भी किया जा रहा है। बताया जाता है कि देर शाम तक यह और कमज़ोर होकर तीव्र दबाव के क्षेत्र में परिवर्तित हो जाएगा।

इस बीच, राज्य के ऊर्जा मंत्री सौरभ पटेल ने बताया कि प्रभावित क्षेत्रों में 123 विद्युत सब स्टेशन बंद हैं। 3748 गांवों में बिजली की आपूर्ति ठप हुई थी जिनमे से 1115 में इसे ठीक कर लिया गया। 122 कोविड अस्पतालों में भी बिजली की आपूर्ति ठप हुई थी जिनमे से 66 में अभी भी यह प्रभावित है। 9 हज़ार किमी बिजली लाइन क्षतिग्रस्त है।

तूफ़ान कल रात भावनगर और गिर सोमनाथ जिलों। के बीच गुज़रात तट से टकराया था। इससे पहले एहतियाती तौर पर दो लाख लोगों को 840 तटीय गांव से 2000 से अधिक सुरक्षित आश्रय स्थलों में स्थानांतरित किया गया था। 19 हज़ार से अधिक मछुआरा नौकाओं को समुद्र से वापस बुला लिया गया था। तूफ़ान से आम, केले, पपीता, गन्ना और अन्य तरह की फ़सलों को भी ख़ासा नुक़सान हुआ है। कुछ स्थानों पर तट पर बंधी नौकाओं के बहने की भी सूचना है। क़रीब आधा दर्जन पेट्रोल पम्प और बड़ी संख्या में वाहनों को भी तूफ़ान जनित कारणों से नुक़सान पहुंचा है।

गिर सोमनाथ ज़िले के वेरावल में तट रक्षक दल और मरीन पुलिस ने एक नौका का बचाव कर इसमें सवार तीन मछुआरों को सुरक्षित बचा लिया। तटीय इलाक़ों में तूफ़ान का ज़ोर कुछ कम होने से कई बंदरगाहों पर लगे चेतावनी सिग्नल की तीव्रता कम कर दी गयी है।
तूफ़ान से मध्य गुजरात के वडोदरा समेत कई जिलों, अहमदाबाद और अन्य स्थानों पर तेज़ हवाओं के साथ वर्षा हुई है। इसके चलते आज गुजरात तकनीकी विश्वविद्यालय की एक ऑनलाइन परीक्षा को स्थगित भी कर दिया गया है।

राज्य ने आपदा नियंत्रण सम्बंधी कार्यों की निगरानी कर रहे राजस्व विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव पंकज कुमार ने बताया कि राहत कार्य के लिए एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की 50 से अधिक टीमें तैनात की गयी हैं। 17 जिलों के 840 गावों से दो लाख से अधिक लोगों को सुरक्षित स्थानों यानी तैयार किए गए दो हज़ार से अधिक आश्रय स्थलों पर स्थानांतरित किया जा चुका है। इनमे से सवा लाख पांच जिलों भावनगर, पोरबंदर, गिर सोमनाथ, अमरेली और जूनागढ़ के हैं। इस दौरान कोरोना सम्बंधी सभी मानकों का पालन किया गया।
तूफ़ान के सम्भावित असर वाले जिलों में नियंत्रण कक्ष स्थापित किए गए हैं। सम्भावित इलाक़ों में बिजली आपूर्ति पर असर की आशंका के मद्देनज़र ज़रूरी पावर बैक अप की व्यवस्था की गयी है। 161 आईसीयू एम्बुलेंस और मरीज़ों को निशुल्क अस्पताल तक पहुंचाने वाली 108 नम्बर की 607 एम्बुलेंस भी तैनात कर दी गयी हैं। ऑक्सिजन की निर्बाध आपूर्ति जारी रखने के लिए सड़कों पर ग्रीन कॉरिडर तैयार किए गए हैं।

समुद्र में उथल पुथल के चलते मछुआरों को इसमें जाने की अनुमति नहीं दी गयी है। 19811 मछुआरा नौकाओं को वापस बुलाया गया है, समुद्र में अब एक भी नौका नहीं है। गुजरात के वेरावल, पीपवाव, जाफ़राबाद आदि बंदरगाहों पर भी अति गम्भीर श्रेणी नम्बर का 10 नम्बर का चेतावनी सिग्नल लगा दिया गया है। पोरबंदर, सिक्का, नवलखी, बेडी, न्यू कांडला, मांडवी और जखौ बंदरगाहों पर आठ नम्बर का सिग्नल है।

एहतियाती तौर पर 11 हज़ार से अधिक होर्डिंग्स और 668 अस्थायी संरचनाओं को हटा लिया गया है। चौबीसों घंटे काम कर रहे एक केंद्रीय नियंत्रण कक्ष के ज़रिए पूरी स्थिति पर नज़र रखी जा रही है। एहतियाती तौर पर अहमदाबाद , सूरत और वडोदरा के हवाई अड्डों को भी बंद रखा गया है। तूफ़ान प्रभावित क्षेत्र में ही गिर का वन है जो एशियाई शेरों का एकमात्र प्राकृतिक आवास है। वन विभाग ने शेरों और अन्य वन्य जीवों के बचाव के लिए भी उपाय किए हैं।

14वीं ऑक्सीजन एक्सप्रेस पहुँचते ही मध्य प्रदेश में 500 मीट्रिक टन तक ऑक्सीजन की आपूर्ति हुई, राज्य में अबतक 44 टैंकरों में पहुंची हैं ऑक्सीजन attacknews.in

 

भारतीय रेलवे द्वारा ऑक्सीजन एक्सप्रेस से 13 राज्यों को 10,000 मीट्रिक टन तरल चिकित्सा ऑक्सीजन आपूर्ति को पार किया

मध्य प्रदेश के लिए 14वीं ऑक्सीजन एक्सप्रेस से 02 टैंकरों में 21.77 मीट्रिक टन  ऑक्सीजन की आपूर्ति की गई

भोपाल 18 मई ।भारतीय रेलवे द्वारा देश भर के विभिन्न राज्यों में ऑक्सीजन एक्सप्रेस ट्रेनों को चलाने के प्रयासों को गति देते हुए कोविड के खिलाफ सयुंक्त जंग को मजबूती प्रदान करने तथा  कोविड मरीजों को राहत प्रदान के लिए जीवन रक्षक के रूप में तरल चिकित्सा ऑक्सीजन (LMO) के परिवहन के लिए लगातार ऑक्सीजन एक्सप्रेस ट्रेन चलाई जा रही है। इसे रोल ऑन रोल ऑफ सेवा के तहत ऑक्सीजन टैंकरों को ट्रक के माध्यम से जल्द से जल्द उनके गंतव्य स्टेशन तक पहुंचाया जा रहा है।

इस सुविधा के अंतर्गत देश भर के राज्यों को जहां ऑक्सीजन टैंक सीधे ऑक्सीजन आपूर्तिकर्ता फैक्ट्री से शीघ्रता शीघ्र अपने गंतव्य को पहुंच रहे हैं।

भारतीय रेलवे द्वारा इस अभियान के अंतर्गत अब तक 160 ऑक्सीजन एक्सप्रेस से देश के विभिन्न राज्यों में 600 टैंकरों में लगभग 10300 मीट्रिक टन चिकित्सा उपयोगी हेतु मेडिकल ऑक्सीजन की आपूर्ति कर चुका है।

मध्य प्रदेश के लिए 14वीं ऑक्सीजन एक्सप्रेस को तरल चिकित्सा ऑक्सीजन (LMO) से भरे 02 टैंकरों के साथ रोल ऑन-रोल ऑफ (RO-RO) सेवा दिनाँक 17 मई 2021 को दोपहर 15:55 बजे बोकारो से रवाना हुई और दिनाँक 18 मई 2021 को  समय 11:40 बजे सागर (मकरोनिया) पहुंची।

इस ऑक्सीजन एक्सप्रेस के 02 टैंकरों में 21.77 मीट्रिक टन तरल चिकित्सा ऑक्सीजन (LMO) भरी है। ऑक्सीजन एक्सप्रेस से 02 टैंकर तरल चिकित्सा ऑक्सीजन मकरोनिया (सागर) में अनलोड किये गए। यह ऑक्सीजन एक्सप्रेस बोकारो से  कोटशिला, झारसुगुड़ा, बिलासपुर, नई कटनी जंक्शन होते हुए सागर के मकरोनिया स्टेशन पहुंची।

भारतीय रेल द्वारा मध्यप्रदेश में कुल 14 ऑक्सीजन एक्सप्रेस पहुंचाई जा चुकी हैं  जिनसे 44 टैंकरों में कुल 497.77 (लगभग 500 एमटी तक) मीट्रिक टन तरल चिकित्सा ऑक्सीजन की पूर्ति की गई है।

भारतीय रेलवे द्वारा अब तक 53 ऑक्सीजन एक्सप्रेस पश्चिम मध्य रेल से गुजर कर देश भर में तरल चिकित्सा ऑक्सीजन की आपूर्ति की गई है। रेलवे ऑक्सीजन एक्सप्रेस माल गाड़ियों के प्रचालन में नए मानदंड स्थापित कर रहा है। ऑक्सीजन एक्सप्रेस की ढुलाई एक जटिल प्रक्रिया है फिर भी लंबी दूरी वाले मार्गों पर ऑक्सीजन एक्सप्रेस ज्यादातर मामलों में 55 किमी प्रति घंटे की गति से चल रही है। ग्रीन कॉरिडोर में चलने वाली इन माल गाड़ियों के परिवहन को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जा रही है और इसकी आपात आवश्यकता को समझते हुए विभिन्न क्षेत्रों के रेल अधिकारी और कर्मचारी वर्तमान चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों में निरंतर कार्य कर रहे हैं। भारतीय रेलवे द्वारा देश भर के राज्यों के लिए चलने वाली ऑक्सीजन एक्सप्रेस बोकारो, राउरकेला, अंगुल एवं रायगढ़ से चलकर पश्चिम मध्य रेल के न्यू कटनी , सागर एवं बीना स्टेशनों से गुजरते हुए दिल्ली , हरियाणा  एवं अन्य राज्यों के लिये परिवहन किया गया।

भारतीय रेलवे द्वारा 160 ऑक्सीजन एक्सप्रेस से 10300 मीट्रिक टन तरल चिकित्सा ऑक्सीजन देश भर के राज्यों को आपूर्ति की गई है।

भारतीय रेलवे, राज्यों की मांग पर यथासंभव मात्रा और कम से कम समय में तरल चिकित्सा ऑक्सीजन की आपूर्ति के लिए प्रतिबद्ध है और इस पर लगातार काम कर रहा है। तरल चिकित्सा ऑक्सीजन की आपूर्ति के लिए भारतीय रेलवे को राज्य सरकारों द्वारा उपलब्ध कराये जाते हैं।

तमिलनाडु में कोविड-19 वैक्सीन बनायी जायेगी, ऑक्सीजन संयंत्र स्थापित होंगे,घोषणा के साथ मुख्यमंत्री स्टालिन ने रेमडेसिविर खरीदने, ऑक्सीजन मंगाने के लिए जारी किये ₹50 करोड़ attacknews.in

चेन्नई, 18 मई । तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम. के. स्टालिन ने मंगलवार को कोरोना मरीजों के लिए रेमडेसिविर इंजेक्शन खरीदने तथा दूसरे राज्यों से ट्रेन के जरिए ऑक्सीजन मंगाने को लेकर मुख्यमंत्री सार्वजनिक सहायता कोष से 50 करोड़ रुपये जारी किये।

एक आधिकारिक बयान में यहां बताया कि कोविड महामारी से जंग के लिए अभी तक सीएमपीआरएफ में 69 करोड़ रुपये प्राप्त हुए हैं। इनमें से 29.44 करोड़ रुपये ऑनलाइन तथा 39.56 रुपये व्यक्तिगत रूप से मिले हैं।

तमिलनाडु में कोरोना वैक्सीन इकाईयां, ऑक्सीजन संयंत्र स्थापित होंगे: स्टालिन

तमिलनाडु सरकार ने मंगलवार को घोषणा की कि राज्य में कोविड-19 वैक्सीन बनायी जायेगी और ऑक्सीजन उत्पादन संयंत्र स्थापित किए जाएंगे।
मुख्यमंत्री एम के स्टालिन ने इस आशय की घोषणा करते हुए कहा कि घरेलू और विदेशी फर्मों के साथ समझौता कर राज्य में कोविड-19 वैक्सीन बनायी जायेगी और ऑक्सीजन उत्पादन संयंत्र स्थापित किए जाएंगे।

श्री स्टालिन ने संयुक्त समझौतों के माध्यम से इस संबंध में आवश्यक चिकित्सा अवसंरचना का निर्माण संयुक्त उपक्रम के माध्यम से करने का काम तमिलनाडु निवेश विकास निगम (टीआईडीसीओ) को सौंपा है। इस दिशा में न्यूनतम 50 करोड़ रूपए का निवेश करने वाले उपक्रमों को पूरी सहायता तथा समर्थन दिया जाएगा।

टीआईडीसीओ ने इस संबंध में 31 मई से पहले घरेलू और विदेशी कंपनियों से एक्सप्रेशन ऑफ इंटेरेस्ट (ईओआई) भी मांगा है।

एक आधिकारिक विज्ञप्ति में बताया गया कि प्राप्त होने वाली सभी ईओआई की समीक्षा की जाएगी, जिसके बाद ऑक्सीजन और वैक्सीन के निर्माण के लिए आवश्यक अवसंरचना स्थापित करने के लिए कदम उठाये जाएंगे।

श्री स्टालिन ने राज्य में कोविड-19 मरीजों के इलाज के लिए अचानक ऑक्सीजन की मांग बढ़ने के मद्देनजर अधिकारियों को ऑक्सीजन उत्पादन इकाईयां स्थापित करने के निर्देश दिये हैं।

पंचायती अखाड़ा श्री निरंजनी से निष्कासित किए जाने के बाद स्वामी आनंद गिरी और अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेन्द्र गिरी के बीच संपत्ति विवाद को लेकर तकरार बढ़ी attacknews.in

प्रयागराज,18 मई । पंचायती अखाड़ा श्री निरंजनी से निष्कासित किए जाने के बाद स्वामी आनंद गिरी और अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेन्द्र गिरी के बीच संपत्ति विवाद को लेकर तकरार बढ़ गई है।

निष्कासन के बाद एक वीडियो जारी कर स्वामी आनंद गिरी ने अखाड़े की संपत्ति को लेकर गंभीर आरोप लगाए हैं।

उन्होंने आरोप लगाया है कि सम्पत्ति विवाद में ही निरंजनी अखाड़े से ही जुड़े दो युवा संतो ने आत्महत्या कर ली थी और संदिग्ध परिस्थितयों में उनके शव मिले थे।

उन्होंने अपने वीडियो में बताया कि निरंजनी अखाड़े से जुड़े महंत आशीष गिरी महराज और महंत दिगंबर गंगा पुरी महराज की संदिग्ध परिस्थितियों में हुई मौत की जांच कराए जाने की भी मांग की है।

स्वामी आनंद गिरी ने अपनी हत्या होने की भी आशंका व्यक्त करते हुए कहा कि उनकी आवाज को दबाया जा रहा है।

उन्होंने सरकार से अपनी सुरक्षा की मांग की है।

महंत नरेन्द्र गिरी ने स्वामी आनंद गिरी के द्वारा हत्या की बात को बेबनुियाद बताते हुए इस मनगढ़त कहानी बताया है।

हिमाचल पुलिस के 2750 जवान भी कोरोना की चपेट में आए attacknews.in

शिमला, 18 मई । हिमाचल प्रदेश में कोरोना का फैलाव रोकने के लिये लागू कर्फ्यू के दौरान कानून-व्यवस्था बनाए रखने में जद्दोजहद कर रही राज्य पुलिस के अब तक लगभग 2750 जवान इस संक्रमण की चपेट में आ चुके हैं।

पुलिस विभाग के प्रवक्ता ने आज यहां यह जानकारी देते हुये बताया कि बद्दी में 99, बिलासपुर 149, चम्बा 107, हमीरपुर 92, कांगड़ा 241, किन्नौर 65, लाहौल-स्पीति 50, कुल्लू 67, मंडी 196, शिमला 267, सिरमौर 160, सोलन 114 और ऊना में 84 जवान अब तक कोरोना संक्रमित हो चुके हैं। इनके अलावा प्रथम पुलिस बटालियन जुनगा के 18, प्रथम रिजर्व बटालियन के 105, दूसरी रिजर्व बटालियन के 116, तीसरी रिजर्व बटालियन के 271, चौथी रिजर्व बटालियन के 146, पांचवी रिजर्व बटालियन के 65, छठी रिजर्व बटालियन के 109 जवान भी संक्रमित हुये हैं। साथ ही सीआईडी और पुलिस मुख्यालय समेत अन्य विभागों के 229 पुलिसकर्मी/कर्मचारी भी कोरोना संक्रमित हुये हैं।

कोरोना से पीड़ित व्यक्तियों, परिवारों की सहायता के लिए भारतीय जनता पार्टी प्रदेश में चला रही है”सेवा ही संगठन अभियान-2″, जरूरतमंदों को भोजन, दवाएं, मास्क, सैनेटाईजर सहित आवश्यक खाद्य सामाग्री का किया जा रहा है वितरण attacknews.in

भोपाल 18 मई । कोरोना महामारी से पीड़ित व्यक्तियों, उनके परिवारों की सहायता के लिए भारतीय जनता पार्टी पूरे प्रदेश में सेवा ही संगठन अभियान-2 चला रही है। इस अभियान के अंतर्गत प्रदेश भर में जरूरतमंदों को भोजन, दवाएं, मास्क, सैनेटाईजर सहित आवश्यक खाद्य सामाग्री वितरित की जा रही है। इसी क्रम में मंगलवार को भी लोगों की सहायता के लिए पार्टी के पदाधिकारी,जनप्रतिनिधि और कार्यकर्ता आगे आए।

मंडला में केंद्रीय मंत्री श्री फग्गन सिंह कुलस्ते ने मंडला जीएनएम सेंटर में कोविड मरीजों के इलाज हेतु स्थापित किए जा रहे सर्व सुविधायुक्त 100 बिस्तर वाले चिकित्सा केंद्र का निरीक्षण किया। इस अवसर पर जिलाध्यक्ष श्री भीष्म द्विवेदी, श्री सुधीर कसार, श्री अनुराग चौरसिया, श्री आशीष शर्मा, श्री आकाश क्षत्री सहित कार्यकर्ता उपस्थित थे।

इंदौर में नगर अध्यक्ष श्री गौरव रणदिवे, विधायक श्री आकाश विजयवर्गीय, श्रीमती मालिनी गौड़ एवं अन्य जनप्रतिनिधियों के निर्देशन में भाजपा कार्यकर्ताओं द्वारा जरूरतमंदों और गरीबों को राशन पर्चियां वितरित कर राशन वितरण किया जा रहा है। साथ ही अस्पतालों व बस्तियों में राशन एवं भोजन के पैकेट बांटे जा रहे हैं। विधायक श्री आकाश विजयवर्गीय ने विधानसभा क्षेत्र क्रमांक 3 में सैनिटाइजर छिड़काव प्रारंभ कराया।

जबलपुर में महर्षि अरविंद वार्ड 53 में सांसद श्री राकेश सिंह, पूर्व मंत्री श्री अंचल सोनकर व नगर अध्यक्ष श्री जी एस ठाकुर के निर्देश पर सत्यवीर जाट गोलू (पार्षद) श्रीमती अंजू अनीता जाट द्वारा विभिन्न स्थानों पर सेनिटाइज किया गया। स्वामी विवेकानंद मंडल में विभिन्न स्थानों पर किल कोरोना अभियान के तहत घर-घर पहुंचकर वैक्सीनेशन के लिए आग्रह एवं कोरोना पीड़ित परिवारों एवं जरूरतमंदो को दवाई की किट प्रदान की गई। इस अवसर पर श्री योगेश बिलोहां, श्री रंजीत ठाकुर, श्री शिवेंद्र सिंह चौहान, श्री प्रदीप पाठक, श्री विधेश भापकर उपस्थित थे।

ग्वालियर के विवेकानंद मंडल के कार्यकर्ताओं ने विभिन्न स्थानों पर पहुँचकर भोजन के पैकेट वितरित किए। इस अवसर पर जिला अध्यक्ष श्री कमल माखीजानी, श्री मनोज मुटाटकर, श्री गौरव बाजपेई, श्री महेंद्र मौर्य, श्री राजेश जैन लाला उपस्थित थे।

सिवनी में युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष श्री वैभव पवार द्वारा भाजपा कार्यालय में आमजनों को भाप मशीन एवं ऑक्सीमीटर, थर्मल गन वितरित की। इस अवसर पर श्रीकांत अग्रवाल, श्री जयदीप चौहान, श्री संजय सोनी, श्री मनोज त्रिवेदी, श्री युवराज सिंह राहंगडाले, श्री दीपक नगपुरे उपस्थित थे।

कटनी में जिला सिविल अस्पताल के पास सांसद कोविड सहायता केन्द्र में कोरोना मरीजों को दवाईयां, भोजन, काढ़ा, सेनेटाइजर, मास्क एवं अन्य सहायता प्रदान की जा रही है।

पन्ना के गुन्नौर विधानसभा में कोरोना महामारी से बचाव और आमजनों को वैक्सीन के लिए सांसद जन जागरूकता रथ चलाया जा रहा है।

सागर के विधायक श्री शैलेंद्र जैन ने नगर की जनता को सर्व सुविधा युक्त दो एंबुलेंस समर्पित की।

सीधी में पार्टी नगर मंडल के कार्यकताओं द्वारा जनता की सेवा में तैनात पुलिसकर्मियों को फल वितरित कर उनका आभार व्यक्त किया।

छिंदवाड़ा में पार्टी कार्यकर्ताओं ने जिला अस्पताल में कोरोना मरीजों एवं उनके परिजनों को भोजन पैकेट वितरित किए।

आगर के बड़ोद कोविड सेंटर में पार्टी जिलाध्यक्ष श्री गोविन्दसिंह बरखेडी के नेतृत्व में भाजपा नेता श्री मधु गेहलोत द्वारा जिला अस्पताल को ऑक्सीजन सिलेंडर सौंपे गए। मोर्चा जिला उपाध्यक्ष श्री ओम मालवीय ने ऑक्सीजन सिलेंडर आगर जिला अस्पताल को भेंट किये। इस अवसर पर मंड़ल अध्यक्ष श्री गौरव जैन, श्री सुरेश बैरागी, श्री आयुष तिवारी सहित कार्यकर्ता उपस्थित थे।

बैतूल में सांसद श्री दुर्गादास उइके द्वारा कोरोना महामारी के लिए आवश्यक मेडीकल उपकरण एवं सामग्री क्रय करने हेतू सांसद निधि से सवा करोड रू. की स्वीकृति प्रदान की।

धार के भाजपा कार्यालय में भोजन पैकेट बनाकर सेवा भारती के स्वयंसेवक एवं पार्टी के कार्यकर्ता प्रतिदिन अस्पतालों में कोविड मरीजों के परिजनों को पहुंचा रहे हैं।

झाबुआ के ग्राम धन्ना डूंगरा में जिला अध्यक्ष श्री लक्ष्मण सिंह नायक, श्री योगेन्द्र नाहर, श्री सत्येन्द्र यादव, श्रीमती अनीता भगोड़ा ने ग्रामीणजनों को मास्क वितरण किया।

छिंदवाडा में पार्टी के पदाधिकारियों एवं कार्यकर्ताओं द्वारा अस्पतालों में भर्ती कोरोना मरीजों के परिजनों के लिए प्रतिदिन भोजन पैकेट की व्यवस्था की जा रही है।

छतरपुर के बीजावर, सटई मंडल में जिलाध्यक्ष श्री मलखान सिंह, मंडल अध्यक्ष श्री राममनोहर तिवारी ने आमजनों को भोजन पैकेट वितरित किया। वैक्सीन लगाने हेतु आमजनों को जागृत करने के लिए रथ निकाला गया।

भारतीय रेल के अस्पतालों के लिए 86 ऑक्सीजन संयंत्रों की स्थापना की व्यवस्था की मंजूरी,4 संयंत्र कार्यरत, 52 को मंजूरी और 30 संयंत्रों का कार्य अंतिम चरणों में हैं attacknews.in

पूरे भारत में 86 रेल अस्पतालों में व्यापक क्षमता वृद्धि की गयी

कोविड के इलाज के लिए बिस्तरों की संख्या 2539 से बढ़ाकर 6972 कर दी गयी है

इवन्वेसिव वेंटिलेटर जोड़े गए हैं और उनकी संख्या 62 से बढ़ाकर 296 कर दी गयी है

महाप्रबंधकों को हर और अधिकार दिए गए हैं, वे हर मामले में दो करोड़ रुपए तक की लागत के साथ ऑक्सीजन उत्पादन संयंत्रों को मंजूरी दे सकते हैं

नईदिल्ली 18 मई । भारतीय रेल कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई में कोई कसर नहीं छोड़ रही है। वह एक तरफ ऑक्सीजन से लदी ऑक्सीजन एक्सप्रेस को तेजी से अलग-अलग हिस्सों में पहुंचा रही है, वहीं दूसरी ओर यात्री और माल ढुलाई की आवाजाही जारी है। भारतीय रेल ने अपनी आंतरिक चिकित्सा सुविधाओं को भी चाक-चौबंद कर लिया है।

पूरे भारत में 86 रेलवे अस्पतालों में व्यापक क्षमता वृद्धि की योजना है।4 ऑक्सीजन संयंत्र काम कर रहे हैं, 52 को मंजूरी दे दी गयी है और 30 प्रसंस्करण के विभिन्न चरणों में हैं। सभी रेल कोविड अस्पतालों को ऑक्सीजन संयंत्रों से लैस किया जाएगा।

चार मई 2021 की तारीख वाले रेलवे बीडी पत्र संख्या 2020/एफ(एक्स)II/पीडब्ल्यू/3/पीटी के तहत एमएंडपी (मशीनरी एंड प्लांट) के अंतर्गत महाप्रबंधकों को और अधिकार दिए गए हैं, वे हर मामले में दो करोड़ रुपए तक की लागत के साथ ऑक्सीजन उत्पादन संयंत्रों को मंजूरी दे सकते हैं।

बहुत सारे उपाय किए गए हैं। कोविड के इलाज के लिए बिस्तरों की संख्या 2539 से बढ़ाकर 6972 कर दी गयी है। कोविड अस्पतालों में आईसीयू बिस्तरों की संख्या 273 से बढ़ाकर 573 कर दी गयी है।

इन्वेसिव वेंटिलेटर जोड़े गए हैं और उनकी संख्या 62 से बढ़ाकर 296 कर दी गयी है। रेल अस्पतालों में महत्वपूर्ण चिकित्सा उपकरण जैसे बीआईपीएपी मशीन, ऑक्सीजन कंसन्ट्रेटर, ऑक्सीजन सिलेंडर आदि की सुविधा जोड़ने के लिए लगातार प्रयास किए जा रहे हैं। भारतीय रेल ने यह भी निर्देश जारी किया है कि कोविड प्रभावित कर्मचारियों को पैनल में शामिल अस्पतालों में जरूरत के अनुसार रेफरल आधार पर भर्ती किया जा सकता है।

रेलवे अस्पतालों में इस विशाल क्षमता वृद्धि से चिकित्सा आपात स्थितियों से निपटने के लिए बेहतर बुनियादी ढांचे की शुरुआत करने में मदद मिलेगी।

नरेन्द्र मोदी ने देश के जिला कलेक्टरों से संवाद में कहा:जब आपका जिला जीतता है, तो देश जीतता है,जब आपका जिला कोरोना को हराता है, तो देश कोरोना को हराता है attacknews.in

राज्यों को अगले 15 दिनों का कार्यक्रम पहले से देने का प्रयास किया जा रहा है

पीएम केयर्स फंड के जरिए देश के हर जिले के अस्पतालों में ऑक्सीजन संयंत्र लगाने का काम तेजी से किया जा रहा है, कई अस्पतालों में इन संयंत्रों ने काम करना शुरू भी कर दिया

प्रधानमंत्री ने कोविड-19 की स्थिति के बारे में राज्य और जिला स्तर के अधिकारियों के साथ बातचीत की

उन्होंने अधिकारियों से सर्वोत्तम उपायों को साझा करने का आग्रह किया ताकि उनका उपयोग देश के अन्य हिस्सों में किया जा सके

नईदिल्ली 18 मई ।प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से विभिन्न राज्यों और जिलों के फील्ड स्तर के अधिकारियों के साथ कोविड -19 महामारी से निपटने में उनके अनुभवों के बारे में बातचीत की।

बातचीत के दौरान, अधिकारियों ने कोविड की दूसरी लहर के खिलाफ लड़ाई का नेतृत्व करने के लिए प्रधानमंत्री का धन्यवाद किया। अधिकारियों ने अपने अनुभव साझा किए और प्रधानमंत्री को हाल के संक्रमण के मामलों में आए उछाल से निपटने के क्रम में उठाये गये अभिनव कदमों से अवगत कराया।

उन्होंने ग्रामीण क्षेत्रों में चिकित्सा से संबंधित बुनियादी ढांचे और क्षमता निर्माण को उन्नत करने की दिशा में किए जा रहे विभिन्न प्रयासों के बारे में भी बताया।

प्रधानमंत्री ने अधिकारियों से सर्वोत्तम उपायों और अभिनव कदमों को संकलित करने को कहा ताकि उनका उपयोग देश के अन्य जिलों में किया जा सके।

बातचीत के बाद अधिकारियों को संबोधित करते हुए, प्रधानमंत्री ने इस कठिन समय में देश के स्वास्थ्यकर्मियों, अग्रिम पंक्तिके कामगारों और प्रशासकों द्वारा दिखाए गए समर्पण एवं दृढ़ता की सराहना की और उनसे आगे भी इसी जोश के साथ काम करते रहने का आग्रह किया।

प्रधानमंत्री ने कहा कि देश का हर जिला एक दूसरे से अलग है और उनकी अपनी अनूठी चुनौतियां हैं।

उन्होंने जिले के अधिकारियों से कहा कि ”आप अपने जिले की चुनौतियों को ज्यादा बेहतर तरीके से समझते हैं। इसलिए जब आपका जिला जीतता है, तो देश जीतता है। जब आपका जिला कोरोना को हराता है, तो देश कोरोना को हराता है।”

उन्होंने उन अधिकारियों की सराहना की जो कोविड-19 से संक्रमित होने के बावजूद बिना छुट्टी लिए काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि ये अधिकारी कई लोगों के लिए प्रेरणा हैं और उनके द्वारा किए गए त्याग को वो समझते हैं।

प्रधानमंत्री ने कहा कि कोरोना के खिलाफ इस लड़ाई में सभी अधिकारियों की इस लड़ाई के फील्ड कमांडर की तरह बेहद अहम भूमिका है।

उन्होंने टिप्पणी की कि स्थानीय कन्टेनमेंट जोन, सक्रिय जांच और लोगों को सही एवं पूरी जानकारी इस वायरस के खिलाफ हथियार हैं। इस समय कुछ राज्यों में जहां कोरोना संक्रमितों की संख्या घट रही है, वहीँ कई अन्य राज्यों में यह संख्या बढ़ रही है। इसलिए उन्होंने घटते संक्रमण की पृष्ठभूमि में और अधिक सतर्क रहने की जरूरत पर बल दिया।

उन्होंने जोर देकर कहा कि लड़ाई हर एक जीवन को बचाने की है और हमारा ध्यान ग्रामीण और दुर्गम इलाकों की ओर होना चाहिए। उन्होंने अधिकारियों से ग्रामीण आबादी के लिए राहत सामग्री को आसानी से उपलब्ध कराने का अनुरोध किया।

प्रधानमंत्री ने अधिकारियों को सलाह दी कि वे अपने जिले के प्रत्येक नागरिक के जीवन को आसान बनाने पर ध्यान दें। उन्होंने संक्रमण को रोकने और साथ ही आवश्यक सामग्रियों की निर्बाध आपूर्ति को सुनिश्चित करने की जरूरत पर बल दिया।

उन्होंने बताया कि पीएम केयर्स फंड के जरिए देश के हर जिले के अस्पतालों में ऑक्सीजन संयंत्र लगाने का काम तेजी से किया जा रहा है और कई अस्पतालों में इन संयंत्रों ने काम करना शुरू भी कर दिया है।

प्रधानमंत्री ने बीमारी की गंभीरता को कम करने और अस्पताल में भर्ती एवं मृत्यु दर में कमी लाने में टीकाकरण के महत्व के बारे में बताया।

उन्होंने कहा कि लगातार बड़े पैमाने पर कोरोना के टीकों की आपूर्ति बढ़ाने के प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य मंत्रालय टीकाकरण की प्रणाली और प्रक्रिया को सुव्यवस्थित कर रहा है। राज्यों को अगले 15 दिनों का कार्यक्रम पहले से देने का प्रयास किया जा रहा है। उन्होंने टीकों की बर्बादी रोकने की जरूरत पर जोर दिया।

उन्होंने कहा कि बिस्तरों और टीकों की उपलब्धता की जानकारी आसानी से उपलब्ध होने पर लोगों को अधिक सुविधा हो जाती है। इसी तरह कालाबाजारी पर रोक लगनी चाहिए और ऐसा करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए। अग्रिम पंक्ति के कामगारों का मनोबल ऊंचा रखते हुए उन्हें संगठित करना चाहिए।

प्रधानमंत्री ने गांव के लोगों द्वारा अपने खेतों में सामाजिक दूरी बनाए रखने की सराहना की। उन्होंने कहा कि गांव के लोग जानकारी को समझकर उन्हें अपनी जरूरतों के अनुसार ढाल लेते हैं। यही गांव के लोगों की ताकत है।

उन्होंने कहा कि हमें कोरोनावायरस के खिलाफ सर्वोत्तम उपायों को अपनाना चाहिए। उन्होंने लोगों से कहा कि आप इस दिशा में कुछ नया करने के लिए स्वतंत्र हैं, आप इसके लिए नीति में बदलाव के बारे में सुझाव दे सकते हैं। उन्होंने लोगों से कोविड के मामलों में कमी आने के बावजूद सतर्क रहने की अपील की।

इस बैठक में गृह मंत्री, रक्षा मंत्री, स्वास्थ्य मंत्री, विभिन्न राज्यों के मुख्यमंत्री, नीति आयोगके सदस्य (स्वास्थ्य), स्वास्थ्य सचिव, फार्मास्युटिकल सचिव और प्रधानमंत्री कार्यालय, केन्द्र सरकार के विभिन्न मंत्रालयों एवं विभागों के अन्य अधिकारी भी शामिल हुए।