लखनऊ 11 नवम्बर । लखनऊ में आयोजित साहित्य महोत्सव में जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय के कन्हैया कुमार के साथ अभद्रता किए जाने के बाद जिला प्रशासन ने इसे रद्द कर दिया।
प्रशासन ने कहा कि आयोजकों ने पुस्तक मेले की इजाजत ली थी न कि किसी गोष्ठी या फेस्टिवल की। राजधानी के शीरोज हैंगआउट में कल रात से तीन दिन तक चलने वाले साहित्य महोत्सव को भारी हंगामे के बाद जिला प्रशासन ने पहले ही दिन रद्द कर दिया। इस कार्यक्रम में कन्हैया कुमार और मूवी अभिनेता शत्रुघन सिन्हा ने हिस्सा लिया था।
लखनऊ साहित्य महोत्सव के संस्थापक आयोजक शमीम आरजू ने बताया, कल रात पहला सत्र फिल्म अभिनेत्री दिव्या दत्ता का था जिसमें उन्होंने अपनी किताब के बारे में चर्चा की। इसके बाद जेएनयू के कन्हैया कुमार अपनी पुस्तक की चर्चा के लिए मंच पर आए तभी किसी संगठन से जुड़े कई लोग वहां आकर हंगामा और तोडफ़ोड़ करने लगे।
पुलिस ने आकर मामला शांत कराया जिसके बाद फिल्म अभिनेता शत्रुघन सिन्हा की पुस्तक पर चर्चा हुई।
आरजू ने कहा कि आज एआईएमआईएम के सांसद असदुद्दीन ओवैसी का कार्यक्रम होने वाला था लेकिन अब यह नहीं होगा। इस कार्यक्रम को फेसबुक लाइव किया जाएगा।
इस मुद्दे पर लखनऊ के जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा ने शनिवार को कहा कि साहित्य महोत्सव के आयोजकों ने केवल पुस्तक मेले के आयोजन के लिए जिला प्रशासन से अनुमति ली थी, आयोजकों ने महोत्सव में किसी नेता या अभिनेता के शिरकत करने, भाषण देने या किसी ऐसी गोष्ठी के आयोजन की जानकारी नहीं दी थी।नियमों एवं शर्तों का उल्लंघन किया गया, इसी कारण कार्यक्रम के लिये दी गई अनुमति खारिज की जाती है।attacknews
डीएम ने कहा कि शहर में निकाय चुनाव के कारण पहले से ही आचार संहिता लगी हुई है और कल शाम आयोजित महोत्सव में नेता, अभिनेता आएंगे, इसकी कोई जानकारी नहीं दी गई थी और इसलिए वहां सुरक्षा के इंतजाम नहीं किए गए थे।
साहित्य महोत्सव के आयोजक शमीम ने कहा कि हमने जिला प्रशासन को इस महोत्सव की जानकारी दी थी, लेकिन तब केवल दिव्या दत्ता का कार्यक्रम होना था। बाद में अन्य वक्ताओं के कार्यक्रम के प्रस्ताव आए। कन्हैया कुमार इस कार्यक्रम में आ रहे हैं, यह बात कई दिन पहले से अखबारों में छप रही है इसलिए प्रशासन को इसे संज्ञान में लेना चाहिए था।