नयी दिल्ली, एक नवंबर । उद्योग मंडल फिक्की ने कहा है कि कोविड-19 से निपटने की भारत की रणनीति सही साबित हुई है और अर्थव्यवस्था जल्द पटरी पर लौटेगी और मजबूत होकर उभरेगी।
फिक्की की अध्यक्ष संगीता रेड्टी ने कहा कि अब कड़े कदम उठाने और वृद्धि के एजेंडा को आगे बढ़ाने का समय आ गया है।
रेड्टी ने कहा, ‘‘दुनियाभर की सरकारों में जीवन और आजीविका के संरक्षण के बीच संतुलन बैठाने को लेकर असमंजस रहा। भारत ने सख्त लॉकडाउन लगाया और स्वास्थ्य ढांचे को आगे बढ़ाते हुए मानव जीवन को बचाने पर ध्यान केंद्रित किया। इस रणनीति के सही नतीजे सामने आए हैं।
उन्होंने कहा कि बेहतर इलाज, चिकित्सा ढांचे के सृजन, पीपीई की आपूर्ति बढ़ाने पर ध्यान दिया गया। इससे हमारे यहां मृत्यु दर को नियंत्रित किया जा सका।
रेड्डी ने कहा, ‘‘अब आजीविका के मोर्चे पर साहसी कार्रवाई का समय है। हालिया मौद्रिक उपायों से यह सुनिश्चित हुआ है कि सरकार और नियामक अर्थव्यवस्था को उबारने के लिए हर प्रयास करेंगे। अब हमें वृद्धि के एजेंडा को तेजी से आगे बढ़ाना चाहिए।’’
उन्होंने कहा कि अर्थव्यवस्था में सुधार के शुरुआती संकेत दिखने लगे हैं।
उन्होंने कहा कि सितंबर में विनिर्माण और सेवा पीएमआई सुधरकर क्रमश: 56.8 और 49.8 पर पहुंच गए हैं। इसके अलावा ई-वे बिल निकालने की संख्या भी बढ़ी है। प्रमुख जिंसों की माल ढुलाई में सुधार हुआ है, निर्यात में सकारात्मक वृद्धि दर्ज हुई है और सितंबर में माल एवं सेवा कर (जीएसटी) का संग्रह काफी हद तक कोविड-19 के पूर्व के स्तर पर पहुंच गया है।
फिक्की की अध्यक्ष ने कहा कि भारत की आर्थिक ताकत की बुनियाद और जुझारू क्षमता कायम है।
रेड्डी ने कहा, ‘‘सरकार की प्रगतिशील नीतियां, प्रमुख बुनियादी ढांचा विकास योजनाएं और बड़ा उपभोक्ता बाजार सभी वृद्धि की गुंजाइश का संकेत देते हैं।’’