बागपत 27 फरवरी। भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) के प्रवक्ता राकेश टिकैत ने कहा कि किसान को दिल्ली की गद्दी और अपने खेत दोनों पर अपनी निगाह रखनी होगी। दिल्ली से किसान की निगाह हटी तो अगले 30 साल में किसान के पास जमीन नहीं बचेगी।
बामनौली गांव में शनिवार को सम्राट सलक्षपाल तोमर की जयंती के मौके पर श्री टिकैत ने राष्ट्र वन्दना चौक पर शहीदों की प्रतिमाओं पर माल्यार्पण किया। इसके बाद टिकैत ने कहा कि यह किसान के हक की लड़ाई है। किसान अगर इस बार कमजोर पड़ा तो 30 साल बाद उसके पास जमीन नहीं बचेगी। किसान की जमीन पर किसी और का कब्जा होगा। एमएसपी पर कानून अनिवार्य है। इसके बाद ही किसान बर्बाद होने से बचेगा अन्यथा किसान आज बर्बादी के मुहाने पर है। किसान को फसलों के दाम नहीं मिल रहे है। किसान गन्ने की फसल को मिलों में डाल देता है, लेकिन उसका भुगतान समय पर नहीं मिलता।
किसान आंदोलन अब हर वर्ग की लड़ाई अब हर वर्ग की लड़ाई बन चुका है-टिकैत
श्रीगंगानगर,से खबर है कि,किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा है कि तीन महीने से चल रहा किसान आंदोलन अब किसानों की लड़ाई नहीं है बल्कि यह अब हर वर्ग की लड़ाई बन गई है।
श्री टिकैत आज श्री गंगानगर जिले के पदमपुर कस्बे में संयुक्त किसान मोर्चा की महापंचायत में उमड़ आए हजारों किसानों को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा लाए गए तीन कृषि कानूनों के खिलाफ शुरू हुआ यह संघर्ष अब हर वर्ग के लोगों का संघर्ष है बन गया है।