भोपाल,/नईदिल्ली 25 अप्रैल ।मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कोरोना संकट के दृष्टिगत कहा कि सावधानी में ही सुरक्षा है।
श्री चौहाने ने ट्वीट के जरिये कहा है कि नागरिकों की सुरक्षा की दृष्टि से इंदौर, भोपाल, उज्जैन, जबलपुर, धार एवं खरगोन में अभी दुकानें नहीं खोली जाएंगी। उन्होंने कहा कि कंटेन्मेंट एरिया और हॉटस्पॉट के बाहर दुकान खोलने का निर्णय ज़िला प्रशासन और क्राइसिस मैनेजमेंट ग्रुप लेगा।
गांव में संक्रमित क्षेत्रों को छोड़कर खुलेंगी सभी दुकानें
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बड़ा निर्णय लेते हुए बताया है कि सभी सुरक्षात्मक उपायों एवं सोशल डिस्टेंसिंग का पूरा पालन करते हुए 26 अप्रैल से प्रदेश के संक्रमित क्षेत्रों को छोड़कर सभी गाँवों में आवश्यक वस्तुओं की दुकानें खोली जा सकेंगी। यदि कोई गांव कंटेनमेंट एरिया में है, तो वहां दुकानें खोलने की अनुमति नहीं होगी।
श्री चौहान ने बताया कि शहरी क्षेत्रों में संक्रमित क्षेत्रों को छोड़कर मोहल्लों में आवश्यक वस्तुओं की दुकानें खोली जा सकती हैं। शहरों में मुख्य बाजार, मॉल, सिनेमाघर, जिम, ब्यूटी पार्लर, सैलून आदि को खोलने की अनुमति नहीं होगी। श्री चौहान ने बताया कि इंदौर, भोपाल, उज्जैन, जबलपुर, धार, खरगोन जिले और संक्रमित क्षेत्रो में कोई भी दुकान खोलने की अनुमति नहीं होगी।
देशभर में आज से सभी दुकानों को कुछ शर्तों के साथ खोलने की अनुमति के दिशानिर्देश जारी
नयी दिल्ली, से खबर है कि कोरोना वायरस ‘कोविड-19’ के कारण चल रहे देशव्यापी लॉकडाउन के मद्देनजर गृह मंत्रालय ने कुछ शर्तों के साथ शनिवार को सभी दुकानों को खोलने की अनुमति देने के लिए दिशानिर्देश जारी किए है।
मंत्रालय की तरफ से देर रात दी गयी जानकारी के अनुसार इसके तहत 25 अप्रैल से देश भर में अब गैर जरूरी सामान की दुकानें भी खोली जा सकेंगी, लेकिन इस दौरान कुछ शर्तों का भी सख्ती से पालन करना होगा।
दुकानें खोलने की अनुमति देने वाले गृह मंत्रालय के आदेश पर स्पष्टीकरण
आज 25 अप्रैल को स्पष्ट किया है कि,गृह मंत्रालय ने दुकानों को खोलने की अनुमति देने के लिए लॉकडाउन उपायों में अपने समेकित पुनरीक्षित दिशानिर्देशों में संशोधन पर कल एक आदेश जारी किया। यह आदेश इस लिंक पर दिशानिर्देशों के साथ पढ़ा जा सकता है- ।।
https://pib.gov.in/PressReleaseIframePage.aspx?PRID=1618049
इस आदेश का तात्पर्य है कि:
• ग्रामीण क्षेत्रों में शॉपिंग मॉल में स्थित दुकानों को छोड़ कर सभी दुकानों को खोलने की अनुमति है।
• शहरी क्षेत्रों में, सभी स्टैंडअलोन दुकानों, पड़ोस की दुकानों और आवासीय परिसरों में दुकानों को खोलने की अनुमति है।
यह स्पष्ट किया जाता है कि ई-कॉमर्स कंपनियों द्वारा बिक्री केवल आवश्यक वस्तुओं के लिए ही जारी रहेगी।
यह भी स्पष्ट किया गया है कि कोविड-19 प्रबंधन के लिए राष्ट्रीय निर्देशों में बताए अनुसार शराब और अन्य वस्तुओं की बिक्री पर प्रतिबंध जारी रहेगा।
जैसा कि समेकित संशोधित दिशानिर्देशों में निर्दिष्ट किया गया है, इन दुकानों को उन इलाकों में खोलने की अनुमति नहीं होगी, चाहे वे ग्रामीण क्षेत्र में हों या शहरी क्षेत्र में, जिन्हें संबंधित राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों द्वारा रोकथाम वाला क्षेत्र घोषित किया हुआ है।
रेस्तरां और सैलून भी छूट के दायरे में नहीं: गृह मंत्रालय
केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने कोरोना महामारी के कारण देश भर में पिछले एक महीने से जारी पूर्णबंदी के दिशा निर्देशों में दुकानों को खोलने के संबंध में शुक्रवार रात दी गयी छूट के बारे में सफाई देते हुए कहा है कि रेस्तरां, सैलून और नाई की दुकानें इसके दायरे में नहीं आते और इन्हें खोलने की अनुमति नहीं दी गयी है।
गृह मंत्रालय ने गत 15 अप्रैल को पूर्णबंदी के संंबंध में जारी दिशा निर्देशों में संशोधन कर सभी राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों को पत्र लिखकर ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों के गैर हॉटस्पॉट वाले क्षेत्रों में दुकानों को सशर्त खोलने का आदेश दिया था। नगर निगम और नगर पालिकाओं की सीमाओं में आने वाले बाजारों तथा सिंगल और मलटी ब्रांड वाले मॉल को भी इस आदेश के दायरे से बाहर रखा गया था।
इस आदेश में ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में अकेली दुकानों , अड़ोस पड़ोस की दुकानों तथा आवासीय परिसरों में स्थित दुकानों को सशर्त खोलने की अनुमति दी गयी है।
बाद में गृह मंत्रालय ने एक सवाल के जवाब में सफाई दी कि सभी रेस्तरां, सैलून और नाई की दुकान इस छूट के दायरे में नहीं आती। मंत्रालय ने स्पष्ट किया है कि रेस्तरां तथा सैलून सेवा प्रदाता की श्रेणी में आते हैं इसलिए ये दुकान नहीं हैं और इन्हें खोलने की अनुमति नहीं होगी।
इससे पहले मंत्रालय ने एक अन्य स्पष्टीकरण में कहा था कि ई कामर्स कंपनियों को भी केवल अनिवार्य वस्तुओं की आपूर्ति की छूट रहेगी और वे गैर जरूरी वस्तुओं की आपूर्ति अभी नहीं कर सकेंगी। इसके साथ ही यह भी स्पष्ट किया गया है कि शराब और अन्य पदार्थों की बिक्री पर पहले से लागू प्रतिबंध अभी भी जारी रहेंगे
गैर हॉटस्पॉट क्षेत्रों में दुकान खोलने की सशर्त छूट
केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने कोरोना महामारी के कारण देश भर में एक महीने से भी अधिक समय से लागू पूर्णबंदी के दिशा निर्देशों में संशोधन करते हुए गैर हॉटस्पॉट वाले क्षेत्रों में कुछ शर्तों के साथ सभी दुकानोंं को खोलने की छूट दे दी है। यह छूट मॉल और नगर निगमों की सीमा में आने वाले मार्केट परिसरों में लागू नहीं होगी।
केन्द्रीय गृह सचिव ने सभी राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों को शुक्रवार देर रात लिखे पत्र में कहा है कि गत 15 अप्रैल को जारी पूर्णबंदी के दिशा निर्देशों के तहत कुछ श्रेणियों में संशोधन किया जा रहा है।
आदेश में कहा गया है कि यह संशोधन केवल गैर हॉटस्पॉट क्षेत्रों के लिए किया गया है और हॉटस्पॉट वाले क्षेत्रों में पहले की तरह ही पूर्णबंदी के सभी दिशा निर्देश लागू रहेंगे।
आदेश में व्यावसायिक और निजी प्रतिष्ठान की श्रेणी में छूट देते हुए कहा गया है कि सभी राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों के दुकान और प्रतिष्ठान अधिनियमों के तहत पंजीकृत दुकानों को खोलने की अनुमति होगी। यह आदेश आवासीय परिसरों , पडोस में बनी और अकेली दुकानों पर भी लागू होगा।
आदेश के अनुसार नगर निगमों और नगर पालिकाओं की सीमाओं में आने वाले मार्केट परिसरों को छोड़कर अन्य सभी दुकानों को भी यह छूट मिलेगी। साथ ही किसी भी सिंगल और मल्टी ब्रांड माल में दुकानाें को खेलने की अनुमति नहीं होगी।
जिन दुकानों को यह छूट दी गयी है उनमें केवल 50 प्रतिशत कर्मचारी काम करेंगे और सभी के लिए मास्क पहनना तथा सामाजिक दूरी का पालन करना अनिवार्य होगा। आदेश में यह स्पष्ट किया गया है कि ये छूट केवल गैर हॉटस्पॉट क्षेत्रों में ही लागू होगी।
लॉकडाउन के दौरान रिहायशी परिसरों, पास-पड़ोस की दुकानें खोलने की अनुमति, बड़े बाजार बंद रहेंगे
सरकार ने लॉकडाउन के दौरान शहरी इलाकों की रिहायशी कॉलोनियों के परिसरों और गली-मोहल्ले की दुकानों को खोलने की अनुमति दे दी है। लेकिन बड़े बाजारों में स्थित दुकानों को अभी खोलने की अनुमति नहीं दी गई है।
हालांकि, ग्रामीण क्षेत्रों में शॉपिंग मॉल को छोड़कर सभी दुकानों को खोलने की अनुमति दे दी गई है।
गृह मंत्रालय ने शुक्रवार देर रात जारी आदेश में कहा कि मॉल अभी बंद रहेंगे, लेकिन ग्रामीण इलाकों की दुकानों को खोला जा सकता है।
इसके साथ ही मंत्रालय ने स्पष्ट किया है कि कोविड-19 हॉटस्पॉट और ‘नियंत्रण’ वाले क्षेत्रों की दुकानें अभी नहीं खुलेंगी। इसके अलावा ई-कॉमर्स कंपनियां भी अपने मंच से सिर्फ आवश्यक वस्तुओं की बिक्री कर सकेंगी। शराब की बिक्री पर अभी प्रतिबंध रहेगा।
गृह मंत्रालय ने अपने 15 अप्रैल के आदेश में संशोधन किया है। इसके तहत गैर-जरूरी सामान की दुकानों को भी कुछ शर्तों के साथ खोलने की अनुमति दी गई है। आदेश में कहा गया है कि संबंधित राज्य और संघ शासित प्रदेश के दुकान एवं प्रतिष्ठान कानून के तहत पंजीकृत नगर निगम और नगरपालिकाओं के दायरे में आने वाली रिहायशी परिसरों और पास-पड़ोस तथा गली-मोहल्लों की दुकानों को खोला जा सकता है।
मंत्रालय ने कहा है कि नगर निगमों तथा नगरपालिकाओं की सीमा से बाहर स्थित पंजीकृत बाजारों की दुकानों को भी खोला जा सकता है। लेकिन ऐसी दुकानों को सामाजिक दूरी के दिशानिर्देशों का अनुपालन करना होगा। ऐसी दुकानों में सिर्फ 50 प्रतिशत कर्मचारियों से काम लिया जा सकेगा। इन दुकानों के कर्मचारियों के लिए मास्क पहनना अनिवार्य होगा।
हालांकि, इन इलाकों में एकल और बहु ब्रांड दुकानों को खोलने की अनुमति नहीं होगी।
आदेश में कहा गया है कि संबंधित राज्य और संघ शासित प्रदेश के दुकान एवं प्रतिष्ठान कानून के तहत पंजीकृत दुकानें, रिहायशी परिसरों और बाजार परिसरों की दुकानों को लॉकडाउन के दौरान खोलने की अनुमति होगी। एकल और बहुब्रांड आउटलेट्स नहीं खोले जा सकेंगे। नगर निगमों और नगरपालिकाओ की सीमा से बाहर की दुकानें भी खोली जा सकेंगीं। पर ऐसी दुकानों में सामाजिक दूरी के दिशानिर्देशों का अनुपालन करना होगा। सिर्फ 50 प्रतिशत कर्मचारियों को काम पर बुलाया जा सकेगा। मास्क पहनना अनिवार्य होगा।
गृह मंत्रालय ने शनिवार को जारी बयान में कहा कि इस आदेश के तहत ग्रामीण इलाकों में शॉपिंग मॉल को छोड़कर सभी दुकानों को खोलने की अनुमति होगी। शहरी इलाकों में पास-पड़ोस और गली-मोहल्ले और रिहायशी परिसरों की दुकानें खोलने की अनुमति दी गई है। बाजारों में स्थित दुकानों और बाजार परिसरों को खोलने की अनुमति नहीं दी गई है। बयान में कहा गया है कि ई-कॉमर्स कंपनियां सिर्फ आवश्यक वस्तुओं की बिक्री कर सकेंगी।
गृह मंत्रालय ने स्पष्ट किया है कि शराब और अन्य उत्पादों की बि्क्री पर प्रतिबंध जारी रहेगा। मंत्रालय ने कहा है कि शराब की दुकानों का लाइसेंस राज्यों के आबकारी विभाग कानून के तहत दिया गया है जबकि जिन दुकानों को खोलने की अनुमति दी गई है वह राज्यों के दुकान एवं प्रतिष्ठान कानून के तहत आने वाली दुकानें होंगीं।
दुकानें दोबारा खोलने के नियमों में अधिक स्पष्टता की जरूरत : आरएआई
खुदरा कारोबार करने वाली फर्मों के संगठन रिटेलर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (आरएआई) ने शनिवार को कहा कि गली-मोहल्ले में स्वतंत्र रुप से चालाई जाने वाली परचून की दुकानों को खोलने की अनुमति और स्पष्ट करने की जरूरत है।
संगठन का कहना है कि इस आदेश की भाषा की अलग अलग व्याख्या किए जाने की संभावना है। उदाहरण के लिए उसन ‘बाजार परिसर’ (मार्केट काम्प्लेक्स) का उल्लेख किया और कहा है इन शब्दों को आसानी से नहीं समझा जा सकता है।
आरएआई ने कहा कि मौजूदा हालातों को ध्यान में रखते हुए और लॉकडाउन के दौरान अनिवार्य वस्तुओं की बिक्री करने वाली खुदरा दुकानों को खोलने के अनुभवों का फायदा उठाते हुए सरकार को सभी तरह के खुदरा दुकानों को खोलने के बारे में सोचना चाहिए। उसका यह भी कहना है कि माल को भी खोलने की अनुमति होनी चाहिए।
सरकार ने नगर निकाय क्षेत्रों में आवासीय परिसरों में स्थित दुकानों सहित गली मोहल्ले में अलग-अलग स्वतंत्र रूप से चलने वाली दुकानों को खोलने की अनुमति शुक्रवार रात को दी। हालांकि दुकानदारों को अनिवार्य सावधानी बरतनी होगी, साथ ही 50 प्रतिशत कर्मचारियों के साथ ही काम करना होगा।
गृह सचिव अजय भल्ला ने सरकारी आदेश जारी किया। इसके अनुसार नगर निकायों के दायरे में आने वाले बाजार, बहुब्रांड और एकल ब्रांड मॉल इत्यादि तीन मई तक बंद रहेंगे।
आरएआई ने कहा, ‘‘हमारा सुझाव है कि सरकार को जब सुरक्षित महसूस हो, उस दिन सामुदायिक दूरी नियमों के साथ सभी तरह के खुदरा क्षेत्र को खोल दे।’’ आरएआई ने सरकार से मॉल खोलने की भी अनुमति देने को कहा।
आरएआई ने एक बयान में कहा, ‘‘मौजूदा सरकारी आदेश की अलग-अलग व्याख्या की जा सकती है। इसके आसानी से अनुपालन के लिए इसे अधिक स्पष्ट बनाने की जरूरत है। बाजार परिसर जैसे शब्द आसानी से समझ आने वाले नहीं हैं।’’