नरेन्द्र मोदी ने गुजरात के नर्मदा जिले के केवडिया में ‘‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’’ के निकट नवनिर्मित केवडिया में आरोग्य वन, एकता मॉल, बच्चों के लिए पोषक पार्क का उद्घाटन किया attacknews.in

केवडिया (गुजरात), 30 अक्टूबर । प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गुजरात के नर्मदा जिले के केवडिया में ‘‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’’ के निकट नवनिर्मित आरोग्य वन, एकता मॉल और बच्चों के लिए पोषक पार्क का उद्घाटन किया।

आरोग्य वन में 15 एकड़ में औषधीय गुणों से युक्त पौधे लगाए गए हैं। इसमें 380 प्रजाति के पांच लाख पेड़ हैं। योग व आयुर्वेद को ध्यान में रखते हुए इसका विकास किया गया।

दो दिवसीय दौरे पर आज गुजरात पहुंचे प्रधानमंत्री ने पहले गांधीनगर में गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री केशुभाई पटेल और गुजराती सिनेमा के सुपरस्टार नरेश कनोडिया व उनके संगीतकार भाई महेश कनोडिया को श्रद्धांजलि अर्पित की।

यहां से प्रधानमंत्री केवडिया पहुंचे और आरोग्य वन का लोकार्पण किया। उन्होंने राज्यपाल आचार्य देवव्रत और मुख्यमंत्री विजय रूपाणी के साथ इसका अवलोकन भी किया।

प्रधानमंत्री ने एकता मॉल का भी उद्घाटन किया। इस मॉल में भारत की मौजूदा हस्तकलाओं और पारंपरिक उत्पादों का प्रदर्शन किया गया है। यहां पर पूरे देश से आए उत्पाद प्रदर्शित किए गए हैं।

एक आधिकारिक बयान के मुताबिक उसका उद्देश्य एकता का संदेश देना है। यह मॉल 35 हजार वर्गफुट में फैला हुआ है। मॉल में 20 एम्पोरियम हैं, जो प्रत्येक राज्य का प्रतिनिधत्व करते हैं। एकता मॉल को केवल 110 दिनों में निर्मित किया गया है।

प्रधानमंत्री ने बच्चों के लिए पोषक पार्क का भी उद्घाटन किया। उन्होंने पार्क का भ्रमण किया और बच्चों को आकर्षित करने वाली विभिन्न सुविधाओं का अवलोकन किया।

यह दुनिया का पहला प्रौद्योगिकी आधारित पार्क है जो 35 हजार वर्गफुट में फैला हुआ है।

पार्क में एक न्यूट्री ट्रेन की भी व्यवस्था है, जिसके स्टेशन के नाम भी काफी रोचक रखे गए हैं। जिनके फलशाखा गृहम, पायोनागिरी, अन्नपूर्णा, पोषण पुराण, स्वस्थ भारत नाम दिए गए हैं।

प्रधानमंत्री ने न्यूट्री ट्रेन की सवारी करते हुए विभिन्न स्टेशनों का मुआयना किया।

इस पार्क का उद्देश्य विभिन्न गतिविधियों के जरिए पोषक भोजन के प्रति जागरूकता फैलाना है। पार्क में इसके लिए मिरर मेज, 5डी वर्चुअल रियल्टी थिएटर और ऑगमेंटेंड रियल्टी गेम की भी व्यवस्था की गई है।

मार्च में कोरोना वायरस महामारी फैलने के बाद से मोदी का अपने गृह राज्य गुजरात का यह पहला दौरा है। इस दौरान वह केवडिया और अहमदाबाद के बीच समुद्री विमान सेवा की शुरुआत भी करेंगे।

वह सरदार पटेल जुओलॉजिकल पार्क ‘जंगल सफारी’ का उद्घाटन करेंगे, जो भारत के ‘लौह पुरुष’ की 182 मीटर लंबी प्रतिमा ‘‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’’ के पास स्थित है।

मोदी अपनी यात्रा के दौरान स्वतंत्र भारत के पहले गृह मंत्री सरदार वल्लभ भाई पटेल को 31 अक्टूबर को उनकी जयंती के दिन ‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’ जाकर श्रद्धांजलि भी अर्पित करेंगे।

मोदी ने केशुभाई, कनोडिया बंधुओं को श्रद्धांजलि दी,इसके बाद पहुंचे केवडिया

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शुक्रवार को दो दिवसीय दौरे पर अहमदाबाद पहुंचे। उन्होंने गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री केशुभाई पटेल और गुजराती सिनेमा के सुपरस्टार नरेश कनोडिया व उनके संगीतकार भाई महेश कनोडिया को श्रद्धांजलि अर्पित की तथा उनके परिजनों को सांत्वना दी।

पटेल (92) का बृहस्पतिवार की सुबह यहां निधन हो गया था। वह लंबे समय से बीमार थे। कनोडिया बंधुओं का हाल ही में निधन हो गया था।

इससे पहले प्रधानमंत्री दो दिवसीय दौरे पर आज सुबह अहमदाबाद पहुंचे।

मुख्यमंत्री विजय रूपाणी, राज्यपाल आचार्य देवव्रत और प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सी आर पाटिल सहित कई नेताओं ने हवाई अड्डे पर प्रधानमंत्री का स्वागत किया।

प्रधानमंत्री हवाई अड्डे से सीधे केशुभाई को श्रद्धांजलि देने गांधीनगर पहुंचे। वहां उन्होंने उनके परिवार के सदस्यों के साथ कुछ समय बिताया और परिजनों से बात भी की।

मोदी के जाने के बाद परिवार के एक सदस्य ने बताया, ‘‘मोदीजी ने केशुभाई के साथ बिताए दिनों को याद किया और हमसे उनके अंतिम क्षणों के बारे में पूछा।’’

प्रधानमंत्री ने बृहस्पतिवार को केशुभाई के निधन पर गहरा शोक प्रकट करते उन्हें ‘‘पितातुल्य’’ बताया था और कहा था कि उनका जाना उनके लिए ऐसी क्षति है, जो कभी पूरी नहीं हो पाएगी।

इसके बाद प्रधानमंत्री ने कनोडिया बंधुओं को श्रद्धांजलि अर्पित की और उनके परिजनों को सांत्वना दी। उन्होंने नरेश कनोडिया के पुत्र हितू कनोडिया सहित परिवार के अन्य सदस्यों के साथ कुछ समय भी बिताया।

हितू कनोडिया भाजपा के वर्तमान विधायक है। नरेश और महेश कनोडिया भाजपा से भी जुड़े थे और क्रमश: सांसद व विधायक रह चुके हैं।

हितू कनोडिया ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि प्रधानमंत्री ने उनके पिता व चाचा को याद किया और कहा कि दोनों भाई आपस में बहुत प्रेम करते थे। अब दोनों हमारे बीच नहीं रहे।

उन्होंने कहा, ‘‘मोदी जी ने अफसोस जताया कि वह पहले आकर उनसे मुलाकात नहीं कर सके।

भारतीय सेना ने इस खबर को फर्जी बताया:चीन की सेना ने पूर्वी लद्दाख में पेगोंग झील के उत्तर में फिंगर दो और तीन क्षेत्र में फिर से भारतीय सीमा का अतिक्रमण किया attacknews.in

नयी दिल्ली 30 अक्टूबर ।सेना ने मीडिया में आई उस रिपोर्ट का खंडन किया है जिसमें कहा गया है कि चीन की सेना ने पूर्वी लद्दाख में पेगोंग झील के उत्तर में फिंगर दो और तीन क्षेत्र में फिर से भारतीय सीमा का अतिक्रमण किया है।

सेना के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा है कि मीडिया में इस बारे में आई रिपोर्ट गलत है।

उल्लेखनीय है कि मीडिया में आयी एक रिपोर्ट में भारतीय जनता पार्टी के लद्दाख से पूर्व सांसद थुप्सान छेवांग के हवाले से कहा गया है कि चीन की सेना ने पूर्वी लद्दाख मे पेगोंग झील के उत्तर में फिंगर दो और तीन क्षेत्र में और आगे बढते हुए भारतीय सीमा का अतिक्रमण किया है और वहां कब्जा जमा लिया है।

सेना ने इस रिपोर्ट को पूरी तरह से फर्जी करार दिया है और कहा है कि वह इसे खारिज करती है।

भारत और चीन के बीच पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा पर पिछले पांच महीनों से सैन्य गतिरोध बना हुआ है। इसके समाधान के लिए दोनों पक्षों के बीच राजनयिक और सैन्य तथा राजनीतिक स्तर पर निरंतर बातचीत चल रही है लेकिन दोनों पक्षों के अपने रूख पर कायम रहने से अभी तक इसका ठोस हल नहीं निकला है।

दस लाख टन आलू और दीपावली तक 25,000 टन प्याज,चार लाख टन अरहर दाल,डेढ़ लाख टन उड़द दाल का आयात किया जाएगा,आलू और प्याज के दाम स्थिर हुए attacknews.in

नई दिल्ली ,30 अक्टूबर । केन्द्र सरकार ने घरेलू बाजार में आलू की उपलब्धता बढ़ाने के लिए 10 लाख टन आलू के आयात की अनुमति दी है और इसके साथ ही आलू पर आयात शुल्क 30 प्रतिशत से घटाकर दस प्रतिशत कर कर दिया गया है।

विदेश व्यापार महानिदेशालय ने शुक्रवार देर शाम जारी एक अधिसूचना में यह जानकारी दी। दस लाख टन आलू का आयात 31 जनवरी 2021 तक करना होगा । इसके अलावा भूटान से आलू आयात करने के लिए किसी अनुमति की जरूरत नहीं होगी।

केंद्रीय उद्योग और वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल ने एक संवाददाता सम्मेलन में बताया कि सरकार ने आलू और प्याज की आपूर्ति बनाए रखने के लिए कईं उपाय किए हैं । सरकार ने बफर भंडारों में रखे आलू और प्याज घरेलू बाजार में उपलब्ध कराएं हैं ।इसके अलावा प्याज के आयात की भी अनुमति दी गई है और इसकी आपूर्ति दीवाली से पहले हो जाएगी।

आलू और प्याज का खुदरा मूल्य स्थिर हुआ: गोयल

श्री गोयल ने कहा कि आलू और प्याज के दाम स्थिर हो गये हैं और इनकी कमी को पूरा करने के लिए आयात शुरू कर दिया गया है ।

श्री गोयल ने शुक्रवार को यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा कि प्याज का खुदरा मूल्य नियंत्रण में आ गया है और यह 65 रुपये प्रति किलोग्राम पर स्थिर हो गया है । श्री गोयल ने कहा कि प्याज के आयात की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है और दीपावली तक 25,000 टन प्याज का आयात कर लिया जाएगा।

उन्होंने कहा कि प्याज की नई फसल आ रही है इसके साथ ही प्याज की भंडारण सीमा निर्धारित कर दी गई है । यह सीमा 23 अक्टूबर से लगाई गई है । खुदरा व्यापारियों के लिए यह सीमा दो टन और थोक व्यापारी के लिए २5 टन की है ।

श्री गोयल ने कहा कि प्याज के बीज के निर्यात पर भी रोक लगा दी गई है साथ ही प्याज के बफर स्टॉक से 36,000 टन प्याज राज्यों को उपलब्ध कराया गया है।

उन्होंने कहा कि आलू का दाम स्थिर हो गया है और खुदरा में यह 42 रुपये प्रति किलोग्राम हो गया है । दस लाख टन आलू का आयात किया जा रहा है। भूटान से 30 हजार टन आलू आने ही वाला है ।

उन्होंने कहा कि दालों के मूल्य भी नियंत्रण में हैं और इनका उत्पादन लगातार बढ़ रहा है । चार लाख टन अरहर दाल का आयात किया जा रहा है। इसी तरह से डेढ़ लाख टन उड़द दाल का आयात हो रहा है। राज्यों से दालों की आपूर्ति की जा रही है । मोजाम्बिक और म्यांमार से दाल की आपूर्ति के लिए दीर्घकालिक समझाैतें किए जा रहे हैं।

चीन के साथ चल रही तनातनी के बीच भारतीय वायु सेना को फ्रांस से नवम्बर के पहले सप्ताह में मिल सकते हैं तीन और राफेल विमान attacknews.in

नयी दिल्ली 28 अक्टूबर । पूर्वी लद्दाख में चीन के साथ चल रही तनातनी के बीच वायु सेना को फ्रांस से जल्द ही तीन और राफेल लड़ाकू विमान मिलने वाले हैं जिससे उसके पास कुल आठ राफेल विमान हो जायेंगे।

सूत्रों के अनुसार वायु सेना को आगामी पांच नवम्बर को फ्रांस से तीन और राफेल लड़ाकू विमान मिलने वाले हैं जिससे वायु सेना के बेड़े में राफेल विमानों की संख्या आठ पहुंच जायेगी क्योंकि उसे पांच विमान पहले ही मिल चुके हैं। इन विमानों को अंबाला वायु सेना स्टेशन में एक समारोह में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और उनकी फ्रांसीसी समकक्ष की मौजूदगी में वायु सेना के बेड़े में शामिल किया गया था!

भारत ने वर्ष 2016 में 36 राफेल विमानों के लिए फ्रांस के साथ करीब 59000 करोड़ रुपये का सौदा किया था।

वायु सेना को इसी महीने चार से पांच राफेल विमानों की आपूर्ति होनी थी लेकिन कुछ तकनीकी कारणों से यह आपूर्ति नहीं हो सकी और अब बताया गया है कि आगामी पांच नवम्बर को तीन विमान वायु सेना को दिये जायेंगे।

राफेल के वायु सेना के जंगी विमानों के बेड़े में शामिल होने से वायु सेना की ताकत और मारक क्षमता दोनों बढ़ी है। वायु सेना लंबे समय से लड़ाकू विमानों की कमी का सामना कर रही है और उसके स्कवैड्रनों की संख्या काफी कम हो गयी है। राफेल विमानों के आने के बाद यह दावा किया जा रहा है कि वायु सेना दो मोर्चों पर एक साथ किसी भी स्थिति से निपट सकती है।

भारत और चीन के बीच पूर्वी लद्दाख में चल रही तनातनी के बीच रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने स्पष्ट शब्दों में कहा: सेना एक इंच जमीन भी दूसरे के हाथों में नहीं जाने देगी attacknews.in

सुकना, दार्जिलंग 25 अक्टूबर । रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा है कि भारत चीन के साथ लगी सीमाओं पर शांति चाहता और सीमा पर (पूर्वी लद्दाख इलाके में) हालिया तनाव का समाधान करना चाहता है।

श्री सिंह ने यह बातें यहां पर विजयादशमी के मौके पर पश्चिम बंगाल के दार्जिलिंग जिले में सुकना युद्ध स्मार पर शस्त्र पूजा के दौरान रविवार को कही।

सुकना तथा सिक्किम के दो दिवसीय दौरे पर आए श्री सिंह आज सुबह सुकना आधार 33 बटालियन के मुख्यालय पहुंचे और शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की।

उन्होंने सिक्किम में सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) द्वारा निर्मित गंगटोक-नाथुला रोड को वैकल्प के तौर पर गंगाटोक से नाथु ला ’तक जोड़ने के कार्य का वीडियो कॉन्फ्रेंसिंह के जरिये मुआयना किया।

इससे पहले उन्होंने ट्वीट कर कहा,‘‘देशवासियों को विजयादशमी की हार्दिक बधाई। आज मैं नाथु-ला जाऊंगा तथा जवानों से मुलाकात करूंगा। मैं शस्त्र पूजा में भी शामिल होऊंगा।

सेना एक इंच जमीन भी दूसरे के हाथों में नहीं जाने देगी: राजनाथ

भारत और चीन के बीच पूर्वी लद्दाख में चल रही तनातनी के बीच रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने आज स्पष्ट शब्दों में कहा कि भारत शांति चाहता है लेकिन साथ ही वह देश को आश्वस्त करना चाहते हैं कि सेना एक इंच जमीन भी दूसरे के हाथ में नहीं जाने देगी।

पूर्वी सेक्टर की दो दिन की यात्रा पर गये श्री सिंह ने शनिवार को 33 वीं कोर के मुख्यालय में स्थिति और सैन्य तैयारियों की समीक्षा के बाद कहा , “ त्रिशक्ति कोर ने जो भूमिका निभाई है चाहे वह 62 रहा हो 67 रहा हो या 71 हो इसकी जितनी भी प्रशांस की जाये वह कम है। यदि आज इस स्थान पर खड़े रहकर हम बात कर रहे हैं तो इसका श्रेय यदि किसी को दिया जा सकता है तो यह हमारी त्रिशक्ति को दिया जा सकता है। इसके बहादुर जवानों को दिया जा सकता है । कई बहादुर जवानों ने अपने प्राणों का बलिदान दिया है।”

उन्होंने कहा , “ इस समय भारत और चीन की सीमा पर जो तनाव चल रहा है, भारत चाहता है कि यह समाप्त हो, शांति स्थापित हो, उद्देश्य हमारा यह है लेकिन कभी कभी कुछ ऐसी नापाक हरकतें होती रहती हैं। मैं पूरी तरह आश्वस्त हूं और मुझे पूरा भरोसा है कि किसी भी सूरत में हमारी सेना भारत की एक इंच ज़मीन भी दूसरे के हाथ में नहीं जाने देगी।”

उन्होंने कहा कि भारतीय सेना के जवानों से भेंट करके मुझे हमेशा बेहद ख़ुशी होती है। उनका मनोबल बहुत ऊँचा रहा है, इसकी जितनी भी प्रशंसा की जाए कम है।

उन्होंने कहा , “ हाल फिलहाल लद्दाख में भारत और चीन सीमा पर जो कुछ हुआ है उस पर निश्चित जानकारी के आधार पर मैं यह कह सकता हूं कि हमारे जवानों ने जिस तरह की भूमिका का निर्वहन किया है आगे यदि इतिहास लिखा जायेगा तो इतिहासकार जवानों की शौर्य गाथा को स्वर्ण अक्षरों में लिखेंगे। ”

सीमावर्ती क्षेत्रों में सड़कों से विकास की नयी राह खुली: राजनाथ

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने आज कहा कि सीमावर्ती क्षेत्रों में सड़कों के निर्माण से विकास की नयी राह खुली है और यह धारणा भी गलत साबित हुई है कि इन क्षेत्रों में सड़कों का विकास देश के हित में नहीं है।

रक्षा मंत्री ने आज सिक्किम में गंगटोक’ से ‘नाथू-ला’ को जोड़ने वाले एनएच 310 को राष्ट्र को समर्पित करने के मौके पर कहा कि यह मार्ग पूर्वी सिक्किम के सीमावर्ती क्षेत्रों के लोगों की जीवन रेखा है। सड़क सीमा संगठन ने करीब साढे 19 किलोमीटर लंबे इस वैकल्पिक मार्ग को बनाकर पूर्वी सिक्किम के निवासियों एवं सेना की आकांक्षाओं को पूरा किया है।

जमीयत उलेमा ए हिंद और भीम आर्मी प्रमुख के बीच गोपनीय मुलाकात:भारत में राजनीतिक फायदे के लिए दलितों को मुस्लिमों के नजदीक लाने का बन रहा है नया गठजोड़ attacknews.in

सहारनपुर, 25 अक्टूबर । भीम आर्मी के नेता चंद्रशेखर ने बीती रात देबवंद दारूल उलूम क्षेत्र पहुंचकर जमीयत उलमाएं हिंद के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं दारूल उलूम के नव नियुक्त सदर मुदर्रिश मौलाना अरशद मदनी से उनके आवास पर पहुंचकर गोपनीय मुलाकात की।

मुलाकात के बाद न तो चंद्रशेखर ने और न ही अरशद मदनी ने दोनो के बीच हुई बातचीत का ब्यौरा मीडिया को दिया।

मदनी ने कहा कि वह कोई राजनीतिक व्यक्ति नहीं है। चंद्रशेखर उनसे मिलने आए थे। यह मुलाकात महज औपचारिक थी और उसमें राजनीतिक मुद्दो ंपर कोई चर्चा नहीं हुई।

शुक्रवार देर शाम हाईवे स्थित क्षेत्र के गांव मेघराजपुर में पार्टी के कार्यालय का उद्धघाटन करने आए आजाद समाज पार्टी के प्रमुख चंद्रशेखर आजाद देर रात मौलाना अरशद मदनी से मुलाकात करने उनके आवास पर पहुंचे।

15 मिनट तक बंद कमरे में हुई बातचीत को क्षेत्र में आगमन पर शिष्टाचार की मुलाकात बताया गया।

शनिवार को मौलाना अरशद मदनी से मुलाकात के संबंध में पूछे जाने पर उन्होंने बताया कि मैं कोई सियासी आदमी नहीं हूं। आजाद मिलने आए थे और मुलाकात कर लौट गए। जबकि चंद्रशेखर के साथ मौलान अरशद के घर पहुंचे भीम आर्मी के कार्यकर्ताओं ने बताया कि चंद्रशेखर आजााद मौलाना मदनी से आर्शीवाद लेने पहुंचे थे। बंद कमरे में क्या बात हुई होगी उन्हें मालुम नहीं है। वर्ष 2018 में भी चंद्रशेखर मौलाना अरशद मदनी से देवबंद आगमन पर मुलाकात कर चुके हैं।

कल पहुंचने पर मौलाना अरशद मदनी ने चंद्रशेखर का खुले दिल से स्वागत करते हुए उनके सिर पर हाथ रखकर अपना आर्शीवाद दिया। इसके उपरांत करीब आधे घंटे तक मौलाना मदनी व चंद्रशेखर के बीच बंद कमरे में वार्ता हुई। जिसके बाद चंद्रशेखर मीडिया से बचते हुए अपनी गाड़ी की ओर रवाना हो गए।

हालांकि इस दौरान एक सवाल के जवाब में चंद्रशेखर ने इतना जरूर कहा कि शोषित, वंचित व पिछड़े समाज को एकजुट करना उनका लक्ष्य है। इनके हक की लड़ाई वह हमेशा लड़ते रहेंगे।

इस दौरान पूर्व मंत्री दददू प्रसाद, भीम आर्मी के राष्ट्रीय अध्यक्ष विनय रतन, मंजीत नोटियाल, सुशील जायसवाल, अहमद गोड आदि मौजूद रहे।

उधर, मौलाना अरशद मदनी ने भी चंद्रशेखर से हुई मुलाकात को शिष्टाचार भेंट बताते हुए कुछ भी कहने से इंकार कर दिया। जबकि जमीयत अध्यक्ष व भीम आर्मी संस्थापक की इस गर्मजोश मुलाकात ने चर्चाओं के बाजार को गर्म कर दिया है। बहुत से लोग लोग इस मुलाकात को लोकसभा चुनाव से भी जोड़ कर देख रहे हैं।
हालांकि सूत्रों की माने तो भीम आर्मी के बैनर तले दिल्ली में होने वाले किसी बड़े कार्यक्रम की जानकारी व न्यौता देने के लिए चंद्रशेखर मौलाना अरशद मदनी के पास आए थे।

मुस्लिमों और दलितों को एक मंच पर आने की वकालत करने वाले जमीयत अध्यक्ष मौलाना मदनी का भीम आर्मी से पुराना लगाव है।

पूर्व में भीम आर्मी द्वारा दिल्ली में किये गए दो कार्यक्रमों में भी शिरकत के लिए भीम आर्मी के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने स्वयं देवबंद पहुंच मौलाना को न्यौता दिया था। हालांकि मौलाना मसरूफियत की वजह से उक्त कार्यक्रमों में शिरकत नहीं कर पाए थे लेकिन उन्होंने अपने दूत व पत्र भेजकर भीम आर्मी को अपना समर्थन दिया था।

“मन की बात” नरेन्द्र मोदी ने त्योहारों के मौसम में खरीदारी के समय स्थानीय उत्पादों को प्राथमिकता देने का आहृवान किया,घर में एक दीया भारत माता के वीर बेटे-बेटियों के सम्मान में भी जलाना है attacknews.in

नयी दिल्ली, 25 अक्टूबर । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को देशवासियों से त्योहारों के मौसम में बाजार से खरीदारी करते समय स्थानीय उत्पादों को प्राथमिकता देने का आह्वान करते हुए आग्रह किया कि वे कोरोना वायरस के इस संकट काल में संयम से काम लें और मर्यादा में रहें।

मोदी ने अपने मासिक रेडियो कार्यक्रम ‘‘मन की बात’’ की 70वीं कड़ी में देशवासियों से यह अनुरोध भी किया कि त्योहारों के इस मौसम में वे जब भी अपने घरों में दीया जलाएं तो एक दीया देश के उन वीर जवानों के नाम जलाएं जो सरहदों पर देश की सुरक्षा में लगे हैं।

उन्होंने कहा, ‘‘त्योहारों की ये उमंग और बाजार की चमक, एक-दूसरे से जुड़ी हुई है। लेकिन इस बार जब आप खरीदारी करने जायें तो ‘वोकल फॉर लोकल’ का अपना संकल्प अवश्य याद रखें। बाजार से सामान खरीदते समय, हमें स्थानीय उत्पादों को प्राथमिकता देनी है।’’

उन्होंने कहा कि बच्चों में तो त्योहारों को लेकर विशेष उत्साह रहता है कि इस बार त्योहार पर नया क्या मिलने वाला है?

उन्होंने कहा, ‘‘जब त्योहार की बात करते हैं, तैयारी करते हैं, तो सबसे पहले मन में यही आता है, कि बाजार कब जाना है? क्या-क्या खरीदारी करनी है? कोरोना के इस संकट काल में, हमें संयम से ही काम लेना है, मर्यादा में ही रहना है।’’

प्रधानमंत्री ने कहा कि देश के कई स्थानीय उत्पादों में वैश्विक होने की बहुत बड़ी शक्ति है और उनमें एक है खादी। कोरोना के समय में खादी के मास्क भी बहुत प्रचलित हो रहे हैं और देशभर में कई जगह स्व सहायता समूह और दूसरी संस्थाएं खादी के मास्क बना रहे हैं।

उन्होंने बताया कि राजधानी दिल्ली के कनॉट प्लेस स्थित खादी स्टोर में इस बार गांधी जयंती पर एक ही दिन में एक करोड़ रुपये से ज्यादा की खरीदारी हुई।

उत्तर प्रदेश के बाराबंकी की महिला सुमन देवी का जिक्र करते हुए मोदी ने कहा कि उन्होंने स्व सहायता समूह की अपनी साथी महिलाओं के साथ मिलकर खादी मास्क बनाना शुरू किया और धीरे-धीरे उनके साथ अन्य महिलाएँ भी जुड़ती चली गईं।

उन्होंने कहा, ‘‘अब वे सभी मिलकर हजारों खादी मास्क बना रही हैं’’

प्रधानमंत्री ने कहा कि त्योहारों के मौसम में सरहदों की रक्षा कर रहे सैनिकों को भी याद रखना है

उन्होंने कहा, ‘‘वे भारत-माता की सेवा और सुरक्षा कर रहें हैं। हमें उनको याद करके ही अपने त्योहार मनाने हैं। घर में एक दीया भारत माता के वीर बेटे-बेटियों के सम्मान में भी जलाना है। मैं अपने वीर जवानों से भी कहना चाहता हूं कि आप भले ही सीमा पर हैं, लेकिन पूरा देश आपके साथ है। आपके लिए कामना कर रहा है।’’

RSS की वार्षिक दशहरा रैली में संघ प्रमुख डा मोहन भागवत ने कहा:भारत एक ‘हिंदू राष्ट्र’ है और हिंदुत्व देश की पहचान का सार है,भारत को चीन के खिलाफ बेहतर सैन्य तैयारियां करने की जरूरत attacknews.in

नागपुर, 25 अक्टूबर । राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) प्रमुख मोहन भागवत ने रविवार को कहा कि भारत एक ‘हिंदू राष्ट्र’ है और हिंदुत्व देश की पहचान का सार है।

भागवत ने यहां नागपुर में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की वार्षिक दशहरा रैली को संबोधित करते हुए यह बात कही। कोरोना वायरस महामारी के दिशा निर्देशों के अनुसार संघ ने इस कार्यक्रम का आयोजन इस साल सीमित रूप से किया था। रैली का प्रसारण ऑनलाइन किया गया।

भागवत ने कहा, ‘हिंदुत्व इस राष्ट्र की पहचान का सार है। हम स्पष्ट रूप से देश की पहचान को हिंदू मानते हैं क्योंकि हमारी सभी सामाजिक-सांस्कृतिक प्रथाएं इसी के सिद्धांतों से चलती हैं।’

आरएसएस प्रमुख ने कहा कि ‘हिन्दुत्व’ ऐसा शब्द है, जिसके अर्थ को धर्म से जोड़कर संकुचित किया गया है। संघ की भाषा में उस संकुचित अर्थ में उसका प्रयोग नहीं होता।

भागवत ने कहा कि यह शब्द अपने देश की पहचान, अध्यात्म आधारित उसकी परंपरा के सनातन सत्य तथा समस्त मूल्य सम्पदा के साथ अभिव्यक्ति देने वाला शब्द है।

संघ प्रमुख ने कहा, “संघ मानता है कि ‘हिंदुत्व’ शब्द भारतवर्ष को अपना मानने वाले, उसकी संस्कृति के वैश्विक व सर्वकालिक मूल्यों को आचरण में उतारना चाहने वाले तथा यशस्वी रूप में ऐसा करके दिखाने वाली उसकी पूर्वज परम्परा का गौरव मन में रखने वाले सभी 130 करोड़ समाज बन्धुओं पर लागू होता है।”

उन्होंने कहा कि ‘हिंदू’ शब्द के विस्मरण से हमको एकात्मता के सूत्र में पिरोकर देश व समाज से बाँधने वाला बंधन ढीला होता है।

भागवत ने कहा, ‘इसीलिए इस देश व समाज को तोड़ना चाहने वाले, हमें आपस में लड़ाना चाहने वाले, इस शब्द को, जेा सबको जोड़ता है, अपने तिरस्कार व टीका टिप्पणी का पहला लक्ष्य बनाते हैं।’

संघ प्रमुख ने कहा कि “राजनीतिक स्वार्थ, कट्टरपन व अलगाव की भावना, भारत के प्रति शत्रुता तथा जागतिक वर्चस्व की महत्वाकांक्षा, इनका एक अजीब सम्मिश्रण भारत की राष्ट्रीय एकात्मता के विरुद्ध काम कर रहा है।”

उन्होंने कहा, ‘हिन्दू’ किसी पंथ, सम्प्रदाय का नाम नहीं है, किसी एक प्रांत का अपना उपजाया हुआ शब्द नहीं है, किसी एक जाति की बपौती नहीं है, किसी एक भाषा का पुरस्कार करने वाला शब्द नहीं है।

उन्होंने कहा कि ‘हिन्दू’ शब्द की भावना की परिधि में आने व रहने के लिए किसी को अपनी पूजा, प्रान्त, भाषा आदि कोई भी विशेषता छोड़नी नहीं पड़ती। केवल अपना ही वर्चस्व स्थापित करने की इच्छा छोड़नी पड़ती है। स्वयं के मन से अलगाववादी भावना को समाप्त करना पड़ता है।

“भारत की विविधता के मूल में स्थित शाश्वत एकता को तोड़ने का घृणित प्रयास, हमारे तथाकथित अल्पसंख्यक तथा अनुसूचित जाति जनजाति के लोगों को झूठे सपने तथा कपोलकल्पित द्वेष की बातें बता कर चल रहा है। ’भारत तेरे टुकड़े होंगे’ ऐसी घोषणाएँ देने वाले लोग इस षड्यंत्रकारी मंडली में शामिल हैं।”

शक्ति और दायरे में भारत को चीन से बड़ा होना चाहिये : भागवत

सरसंघचालक मोहन भागवत ने कहा कि भारत को शक्ति एवं व्याप्ति (ताकत एवं दायरा) के क्षेत्र में चीन से बड़ा होना चाहिये । इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि चीन की विस्तारवादी प्रकृति से पूरी दुनिया अवगत है ।

भागवत ने कहा कि भारत को चीन के खिलाफ बेहतर सैन्य तैयारियां करने की जरूरत है । उन्होंने कहा कि अब कई देश चीन के सामने खड़े हैं ।

उन्होंने कहा, ‘चीनी घुसपैठ पर भारत की प्रतिक्रिया से चीन सकते में है। चीन की अपेक्षा भारत को अपनी शक्ति एवं दायरा बढ़ाने की आवश्यकता है ।’

संघ प्रमुख ने कहा, ‘चीन ने महामारी के बीच में हमारी सीमाओं का अतिक्रमण किया ।’ उन्होंने कहा कि उस देश (चीन) की विस्तारवादी प्रकृति से पूरी दुनिया अवगत है । उन्होंने ताइवान एवं वियतनाम का उदाहरण चीन की विस्तारवादी योजना के रूप में दिया ।

भागवत ने कहा कि हमारी मंशा सबके साथ मित्रता करने की है और यह हमारी प्रकृति है। उन्होंने कहा कि हमें किसी प्रकार से कमजोर करने अथवा खंडित करने का प्रयास कत्तई स्वीकार्य नहीं है और हमारे विरोधी अब इससे अवगत हो चुके हैं ।

उन्होंने कहा कि संशोधित नागरिकता कानून किसी खास धार्मिक समुदाय के खिलाफ नहीं है । उन्होंने कहा, ‘कुछ लोग हमारे मुसलमान भाइयों को भ्रमित कर रहे हैं’ और दावा कर रहे हैं कि यह उनकी जनसंख्या को सीमित करने के लिये है ।

उन्होंने कहा कि इस मुद्दे पर आगे चर्चा होती, इससे पहले कोरोना वायरस की तरफ ध्यान केंद्रित करना पड़ा । उन्होंने कहा कि कुछ लोगों के दिमाग में केवल सांप्रदायिक सद्भाव बिगाड़ना ही रहता है । कोरोना वायरस के कारण सब मुद्दे पीछे रह गये हैं ।

उन्होंने कहा, ‘हमें कोरोना वायरस से डरने की जरूरत नहीं है, लेकिन हमें सतर्क एवं सावधान रहना चाहिये । हम जीना नहीं छोड़ सकते हैं । कोरोना वायरस फैल रहा है लेकिन इससे मरने वालों की संख्या कम है । महामारी के कारण हमने फिर से स्वच्छता, सफाई, पर्यावरण और पारिवारिक मूल्यों के महत्व को जानना शुरू कर दिया है ।

भागवत ने कहा, ‘कोरोना वायरस ने बेरोजगारी की चुनौतियों को जन्म दिया है। कई लोगों की नौकरियां चली गयी हैं । श्रमिकों ने अब शहरों में लौटना शुरू कर दिया है लेकिन नौकरियों का अब अभाव हो सकता है । चुनौती अब विभिन्न क्षेत्रों में रोजगार के अवसर पैदा करने की है ।’

संघ प्रमुख ने कहा, ‘अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधानों को निरस्तत कर दिया गया, राम मंदिर निर्माण के उच्चतम न्यायालय के फैसले को देश ने संयम एवं समझदारी के साथ स्वीकार किया ।

RSS प्रमुख डा मोहन भागवत के संबोधन के अंश:

चीन से निपटने के लिए तैयार रहे भारत: मोहन भागवत

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के सरसंघचालक मोहन भागवत ने रविवार को विजयादशमी उत्सव के अवसर पर अपने संबोधन में कहा कि भारत को चीन से निपटने के लिए पूरी तरह से तैयार रहना चाहिए और देश अपने किसी भी शत्रु के आगे नहीं झुकेगा।

श्री भागवत ने आरएसएस के स्थापना दिवस एवं विजयादशमी के अवसर पर आयोजित एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उक्त बात कही।

चीन तथा भारत सहित अन्य पड़ोसी देशों के साथ संबंधों को लेकर आरएसएस प्रमुख ने कहा, “इस महामारी के संदर्भ में चीन की भूमिका संदिग्ध रही है, परंतु भारत की सीमाओं पर जिस प्रकार से अतिक्रमण का प्रयास अपने आर्थिक सामरिक बल के कारण मदांध होकर उसने किया वह तो सम्पूर्ण विश्व के सामने स्पष्ट है। भारत का शासन, प्रशासन, सेना तथा जनता सभी ने इस आक्रमण के सामने अड़ कर खड़े होकर अपने स्वाभिमान, दृढ़ निश्चय एवं वीरता का उज्ज्वल परिचय दिया, इससे चीन को अनपेक्षित धक्का मिला लगता है। इस परिस्थिति में हमें सजग होकर दृढ़ रहना पड़ेगा।

चीन ने अपनी विस्तारवादी मनोवृत्ति का परिचय इसके पहले भी विश्व को समय-समय पर दिया है। आर्थिक क्षेत्र में, सामरिक क्षेत्र में, अपनी अंतर्गत सुरक्षा तथा सीमा सुरक्षा व्यवस्थाओं में, पड़ोसी देशों के साथ तथा अंतरराष्ट्रीय संबंधों में चीन से अधिक बड़ा स्थान प्राप्त करना ही उसकी राक्षसी महत्त्वाकांक्षा के नियंत्रण का एकमात्र उपाय है। इस ओर हमारे शासकों की नीति के कदम बढ़ रहे हैं ऐसा दिखाई देता है। श्रीलंका, बंगलादेश, नेपाल ऐसे हमारे पड़ोसी देश, जो हमारे मित्र भी हैं और समान प्रकृति के देश हैं, उनके साथ हमें अपने सम्बन्धों को अधिक मित्रतापूर्ण बनाने में अपनी गति तीव्र करनी चाहिए। इस कार्य में बाधा उत्पन्न करने वाले मनमुटाव, मतान्तर, विवाद के मुद्दे आदि को शीघ्रतापूर्वक दूर करने का अधिक प्रयास करना पड़ेगा।”

कोरोना और मजबूत भारत:

श्री भागवत ने कोरोना के खिलाफ लड़ाई में समाज के विभिन्न वर्गाें के योगदान का उल्लेख करते हुए कहा, “शासन-प्रशासन व समाज के सभी अंगों ने मिलकर कोरोना के कारण उत्पन्न हुई परिस्थितियों का सामना किया उसके कारण विश्व के अन्य देशों की तुलना में हमारा भारत संकट की इस परिस्थिति में अधिक अच्छे प्रकार से खड़ा हुआ दिखाई देता है।”

उन्होंने कहा कि कोरोना की प्रतिक्रिया के रूप में विश्व में जागृत हुए ‘स्व’ के महत्व, पर्यावरण संरक्षण एवं संवर्धन, राष्ट्रीयता एवं अन्य सांस्कृतिक मूल्यों की महत्ता को बनाए रखने के लिए परिवार एक महत्वपूर्ण इकाई है। अपने छोटे-छोटे आचरण की बातों में परिवर्तन लाने का क्रम बनाकर, नित्य इन सब विषयों के प्रबोधन के उपक्रम चलाकर, हम अपनी आदत के इस परिवर्तन को कायम रखकर आगे बढ़ा सकते हैं। प्रत्येक कुटुम्ब इसकी इकाई बन सकता है। उन्होंने कहा कि सौहार्द को बढ़ावा देने हेतु, सभी अपनी सबकी एक बड़ी पहचान ‘हिंदुत्व’ को स्वीकार करें।

स्वदेशी और स्वावलम्बन:

स्वदेशी एवं स्वावलंबन की आवश्यकता पर बल देते हुए उन्होंने कहा, “ स्वदेशी केवल सामान एउवं सेवा तक सीमित नहीं। इसका अर्थ राष्ट्रीय आत्मनिर्भरता, राष्ट्रीय सम्प्रभुता तथा बराबरी के आधार पर अंतरराष्ट्रीय सहयोग की स्थिति को प्राप्त करना है। स्वावलम्बन में ‘स्व’ का अवलम्बन अभिप्रेत है। ‘स्व’ या आत्मतत्त्व का विचार इस व्यापक परिप्रेक्ष्य में सबको आत्मसात करना होगा, तभी उचित दिशा में चलकर यह यात्रा यशस्वी होगी।”

चिकित्सा और सेवा:

आरएसएस प्रमुख ने स्वास्थ्यकर्मियों, प्रशासन के कर्मचारियों तथा आम नागरिकों की प्रशंसा करते हुए कहा, “प्रशासन के कर्मचारी, विभिन्न उपचार पद्धतियों के चिकित्सक तथा सुरक्षा और सफाई सहित सभी काम करने वाले कर्मचारी उच्चतम कर्त्तव्य बोध के साथ मरीजों की सेवा में जुटे रहे। स्वयं को कोरोना वायरस की बाधा होने की जोखिम उठाकर उन्होंने दिन-रात अपने घर परिवार से दूर रहकर युद्ध स्तर पर सेवा का काम किया। नागरिकों ने भी अपने समाज बंधुओं की सेवा के लिए स्वयंस्फूर्ति के साथ जो भी समय की आवश्यकता थी, उसको पूरा करने में प्रयासों की कमी नहीं होने दी।”

संकट के समय स्वयंसेवकों की भुमिका:

इन परिस्थितियों में संघ के स्वयंसेवकों की भूमिका के बारे में चर्चा करते हुए श्री भागवत ने कहा, “ संघ के स्वयंसेवक तो मार्च महीने से ही इस संकट के संदर्भ में समाज में आवश्यक सब प्रकार के सेवा की आपूर्ति करने में जुट गए हैं। सेवा के इस नए चरण में भी वे पूरी शक्ति के साथ सक्रिय रहेंगे।”

घटित घटनाओं का उल्लेख:

इस अवसर पर बीते वर्ष की कुछ महत्वपूर्ण घटनाओं के विषय में चर्चा करते हुए उन्होंने कहा, “गत मार्च महीने से देश दुनिया में घटने वाली सभी घटनाओं को कोरोना महामारी के प्रभाव की चर्चा ने मानो ढक दिया है। पिछले विजयादशमी से अब तक बीते समय में चर्चा योग्य घटनाएं कम नहीं हुईं। संसदीय प्रक्रिया का अवलंबन करते हुए अनुच्छेद 370 को अप्रभावी करने का निर्णय तो विजयादशमी के पहले ही हो गया था। दीपावली के पश्चात नौ नवंबर को श्रीरामजन्मभूमि के मामले में अपना निर्णय देकर सर्वोच्च न्यायालय ने इतिहास बनाया। भारतीय जनता ने इस निर्णय को संयम और समझदारी का परिचय देते हुए स्वीकार किया। यह मंदिर निर्माण के आरंभ का भूमिपूजन इस वर्ष दिनांक पांच अगस्त को संपन्न हुआ, तब अयोध्या में समारोह स्थल पर हुए कार्यक्रम के तथा देशभर में उस दिन के वातावरण के सात्विक, हर्षोल्लासित परंतु संयमित, पवित्र व स्नेहपूर्ण वातावरण से ध्यान में आया।”

उन्होंने कहा कि देश की संसद में नागरिकता अधिनियम संशोधन कानून (सीएए) पूरी प्रक्रिया को लागू करते हुए पारित किया गया। कुछ पड़ोसी देशों से सांप्रदायिक कारणों से प्रताड़ित होकर विस्थापित किए जाने वाले बन्धु, जो भारत में आएंगे, उनको मानवता के हित में शीघ्र नागरिकता प्रदान करने का यह प्रावधान था। उन देशों में साम्प्रदायिक प्रताड़ना का इतिहास है। भारत के इस नागरिकता अधिनियम संशोधन कानून में किसी संप्रदाय विशेष का विरोध नहीं है। भारत में विदेशों से आने वाले अन्य सभी व्यक्तियों को नागरिकता दिलाने के कानूनी प्रावधान, जो पहले से अस्तित्व में थे, यथावत् रखे गए थे। परन्तु कानून का विरोध करने वाले लोगों ने अपने देश के मुसलमान भाइयों के मन में उनकी संख्या भारत में सीमित करने के लिए यह प्रावधान है ऐसा भर दिया। उसको लेकर जो विरोध प्रदर्शन आदि हुए उनमें ऐसे मामलों का लाभ उठाकर हिंसात्मक तथा उपद्रव पैदा करने वाले तत्त्व घुस गए। देश का वातावरण तनावपूर्ण बन गया। इससे उबरने के उपाय का विचार पूर्ण होने के पहले ही कोरोना की परिस्थिति आ गई, और माध्यमों की व जनता की चर्चा में से यह सारी बातें लुप्त हो गईं। उपद्रवी तत्त्वों द्वारा इन बातों को उभार कर विद्वेष व हिंसा फैलाने के षड्यंत्र पृष्ठभूमि में चल रहे हैं।

श्री भागवत ने कहा, “ यह संशोधन किसी विशेष धार्मिक समुदाय का विरोध नहीं करता। लेकिन, कानून का विरोध करने वालों ने ऐसा वातावरण बनाया कि इस देश में मुसलमानों की संख्या ना बड़े इसलिए ये क़ानून बनाया गया है।”

उन्होंने कहा, “ ‘भारत तेरे टुकड़े होंगे’ ऐसी घोषणाएँ देने वाले लोग इस षड्यंत्रकारी मंडली में शामिल हैं, नेतृत्व भी करते हैं। राजनीतिक स्वार्थ, कट्टरपन व अलगाव की भावना, भारत के प्रति शत्रुता तथा वर्चस्व की महत्वाकांक्षा, इनका एक अजीब सम्मिश्रण भारत की राष्ट्रीय एकात्मता के विरुद्ध काम कर रहा है। यह समझकर धैर्य से काम लेना होगा। भड़काने वालों के अधीन ना होते हुए, संविधान व कानून का पालन करते हुए, अहिंसक तरीके से व जोड़ने के ही एकमात्र उद्देश्य से हम सबको कार्यरत रहना पड़ेगा।”

हिंदुत्व और समाज:

आरएसएस प्रमुख ने अपने भाषण में ‘हिंदुत्व’ शब्द पर लंबी चर्चा की और विरोधियों पर इसे लेकर भ्रम फैलाने का आरोप लगाया।

श्री भागवत ने कहा, “ हिन्दुत्व ऐसा शब्द है, जिसके अर्थ को पूजा से जोड़कर संकुचित किया गया है। यह शब्द अपने देश की पहचान को, आध्यात्म आधारित उसकी परंपरा के सनातन सातत्य और समस्त मूल्य सम्पदा के साथ अभिव्यक्ति देने वाला शब्द है। हिन्दू किसी पंथ या संप्रदाय का नाम नहीं है। किसी एक प्रांत का अपना उपजाया हुआ शब्द नहीं है, किसी एक जाति की बपौती नहीं है, किसी एक भाषा का पुरस्कार करने वाला शब्द नहीं है।”

उन्होंने कहा, “जब हम कहते हैं कि हिंदुस्तान एक हिंदू राष्ट्र है तो इसके पीछे राजनीतिक संकल्पना नहीं है। ऐसा नहीं है कि हिंदुओं के अलावा यहां कोई नहीं रहेगा बल्कि इस शब्द में सभी शामिल हैं। हिंदू शब्द की भावना की परिधि में आने एवं रहने के लिए किसी को अपनी पूजा, प्रान्त, भाषा आदि कोई भी विशेषता छोड़नी नहीं पड़ती. केवल अपना ही वर्चस्व स्थापित करने की इच्छा छोड़नी पड़ती है। स्वयं के मन से अलगाववादी भावना को समाप्त करना पड़ता है।”

संघ प्रमुख ने कहा, “हमारी छोटी-छोटी पहचान भी हैं, हमारी विविधता है, कुछ पहले से थे और कुछ बाहर से आए जो यहीं शामिल हो गए. हिंदू विचार में ऐसी विविधताओं का स्वीकार और सम्मान हैं। लेकिन इस विविधता को कई लोग अलगाव कहते हैं।”

नये कृषि कानून का समर्थन:

श्री भागवत ने अप्रत्यक्ष तौर पर कृषि बिल का समर्थन भी किया। उन्होंने कहा कि ऐसी नीति चाहिए कि किसान अपने माल का भंडारण, प्रसंस्करण खुद कर सके, सारे मध्यस्थों और दलालों के चंगुल से बचकर अपनी इच्छा से अपना उत्पादन बेच सके, यही स्वदेशी कृषि नीति कहलाती है।।’

पंजाब में दलित बच्ची के साथ बलात्कार के बाद हत्या के मामले में मौन धारण करने से घिरे राहुल गांधी ने चुप्पी तोड़ी और कहा कि ,पंजाब, राजस्थान में दुष्कर्म पीड़िता के साथ नहीं होने दूंगा अन्याय attacknews.in

नयी दिल्ली , 24 अक्टूबर । पंजाब के होशियारपुर के टांडा गांव में बिहार के प्रवासी परिवार की बेटी से दुष्कर्म की घटना पर भारतीय जनता पार्टी ( भाजपा ) ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी की निंदा करते हुए पूछा है कि हाथरस में आंदोलन करने वाले पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष होशियारपुर क्यों नहीं जाते ।

भाजपा नेता एवं केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने शनिवार को एक बयान में कहा ,’बिहार के दलित प्रवासी मजदूर की छह वर्ष की बेटी के साथ टांडा गाँव में दुष्कर्म हुआ। दुष्कर्म के बाद उसको मार दिया गया। यह कैसी दर्दनाक और शर्मसार करने वाली घटना है। हम मांग करते हैं कि कांग्रेस की सरकार अपराधियों को पकड़े और कड़ी कार्रवाई करे ।“

श्री जावड़ेकर ने कहा कि “राहुल गांधी हाथरस में पॉलिटिल टूर पर जाते हैं, इसके बजाए उन्हें पंजाब, राजस्थान जाना चाहिए। उनकी सरकारों में महिलाओं के साथ क्या अन्याय हो रहा है, कैसे दुष्कर्म हो रहा है। कांग्रेस शासित पंजाब के टांडा गाँव की बेटी के परिवार वालों से कांग्रेस के किसी नेता ने मुलाक़ात नहीं की। टांडा में ना राहुल गांधी गए, ना प्रियंका गांधी गयीं। ना कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने इस घटना पर कोई टिप्पणी की। इसकी हम निंदा करते हैं, हम तेजस्वी यादव से भी पूछते हैं कि बिहार की बेटी के साथ अत्याचार पर चुप रहने वालों के साथ वो प्रचार करते हैं, यह कैसे चलेगा ?’

होशियारपुर दुष्कर्म की घटना पर कांग्रेस की चुप्पी दुखद:सीतारमण

भारतीय जनता पार्टी ( भाजपा ) ने पंजाब के होशियारपुर में छह साल की एक बच्ची से दुष्कर्म की घटना की निंदा करते हुए कहा है कि इस घटना को लेकर कांग्रेस पार्टी की चुप्पी दुखद है।

भाजपा की वरिष्ठ नेता एवं केन्द्रीय मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को यहां एक संवाददाता सम्मेलन में कहा, “होशियारपुर में बिहार के प्रवासी खेतिहर मज़दूर की छह साल की बेटी के साथ दुष्कर्म करके उसे मार डाला गया और लाश को जलाने की कोशिश की गई। इस शर्मनाक घटना पर कांग्रेस की चुप्पी दुखद है।दुष्कर्म जैसी घटनाओं को राजनीति से नहीं जोड़ा जाना चाहिए। महिलाओं की सुरक्षा हम सबकी प्राथमिकता है।“

श्रीमती सीतारमण ने कहा कि “मैं कांग्रेस पार्टी से पूछना चाहती हूं कि जहां कांग्रेस की सरकार नहीं होती है वहां आप गाड़ी में बैठकर पिकनिक में जाने जैसा विरोध दर्ज कराते हैं लेकिन होशियारपुर के लिए कुछ नहीं कहते ।“

उन्होंने कहा कि हर मुद्दे पर ट्वीट करने वाले कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने इस मुद्दे पर ढाई दिन बीत जाने के बाद भी कोई ट्वीट नहीं किया।

केन्द्रीय मंत्री ने कहा, “राहुल गांधी बिहार में राष्ट्रीय जनता दल ( राजद ) के नेता तेजस्वी यादव के साथ शुक्रवार को बिहार चुनाव प्रचार में गए लेकिन बिहार की बेटी के साथ दुष्कर्म की घटना पर कुछ नहीं बोले। राजस्थान जैसे कांग्रेस शासित प्रदेशों में उनको दुष्कर्म की घटना नहीं दिखाई देती। जबकि हाथरस के लिए सब कांग्रेस नेता इकट्ठे हो जाते हैं। कांग्रेस महिला सुरक्षा के विषय में राजनीति करके अस्तित्व ढूंढ रही है जो दुखद है।“

उन्होंने कहा कि तेजस्वी यादव और उनके भाई के ऊपर 2008 में दिल्ली में छे़ड़छाड़ के आरोप लगे थे। राजद के शासनकाल में वरिष्ठ अधिकारियों की पत्नियों के साथ दुष्कर्म की कई घटनाएं हुई थीं इसलिए राजद इन घटनाओं पर कुछ नहीं कहती।

श्रीमती सीतारमण ने कहा कि भाजपा पीड़ित परिवार को न्याय दिलाने के लिए संघर्ष करेगी और समय पर न्याय दिलवाने को सुनिश्चित करेगी।

पंजाब में दुष्कर्म की घटना पर भाजपा कर रही है राजनीति : कांग्रेस

कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि भारतीय जनता पार्टी(भाजपा)पंजाब के होशियारपुर में दुष्कर्म की घटना को लेकर राजनीति कर रही है और केंद्र में उसकी सरकार के तीन-तीन वरिष्ठ मंत्री प्रेस कॉन्फ्रेंस में घटना की निंदा कर चुनावी लाभ अर्जित करने का प्रयास कर रहे हैं।

कांग्रेस प्रवक्ता तथा महिला कांग्रेस की अध्यक्ष सुष्मिता देव ने शनिवार को यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को प्रेस कांफ्रेंस में आज देश की आर्थिक स्थिति को लेकर बात करनी चाहिए थी लेकिन उन्होंने पंजाब के होशियारपुर में दुष्कर्म की घटना का मामला उठाया और इस घटना को राजनीतिक रंग देने का प्रयास किया। इसी तरह से केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर तथा डाॅ़ हर्षवर्धन ने भी प्रेस कांफ्रेंस में देश की स्थिति पर सरकार का नजरिया रखने की बजाय इस घटना का जिक्र किया और इस पर राजनीतिक करने का प्रयास किया।

केंद्र सरकार के तीनों वरिष्ठ मंत्रियों के बयानों पर हैरानी जताते हुए उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश के हाथरस में सितंबर में एक यवती के साथ दुष्कर्म की घटना पर इन तीनों मंत्रियों ने अब तक एक शब्द नहीं बोला है लेकिन होशियारपुर की घटना पर उन्होंने तीन अलग अलग प्रेस कांफ्रेंस करके अचानक अपनी जुबान खोली और इस घटना को राजनीतिक रंग देखकर बिहार विधानसभा के चुनावों में भाजपा को फायदा देने का प्रयास किया है।

उन्होंने इसे घिनौनी राजनीति करार दिया और कहा कि पंजाब सरकार इस घटना को लेकर अत्यंत सतर्क है और वह उत्तर प्रदेश सरकार की तरह दुष्कर्म की घटना को दबाने और पीड़ित परिजनों को परेशान करने का काम नहीं कर रही है।

पंजाब, राजस्थान में दुष्कर्म पीड़िता के साथ नहीं होने दूंगा अन्याय : राहुल

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा है कि उत्तर प्रदेश के हाथरस में जिस तरह से दुष्कर्म पीड़िता के साथ अन्याय हुआ है और घटना को नकारा गया है,पंजाब और राजस्थान मे वह स्थिति नहीं आने दी जाएगी।

श्री गांधी ने शनिवार को ट्वीट किया, “पंजाब और राजस्थान सरकार उत्तर प्रदेश की तरह बलात्कार की घटना को नकार नहीं रही है और ना ही पीड़ित परिवार को धमकाया जा रहा है और ना ही न्याय के दरवाजों को बंद किया जा रहा है। यदि ऐसा होता है तो मैं वहां जाऊंगा और पीड़िता के लिए न्याय की लड़ाई लडूंगा।”

इससे पहले कांग्रेस प्रवक्ता एवं महिला कांग्रेस की अध्यक्ष सुष्मिता देव ने आज यहां संवाददाता सम्मेलन में आरोप लगाया कि भारतीय जनता पार्टी पंजाब के होशियारपुर में दुष्कर्म की घटना को लेकर राजनीति कर रही है और केंद्र में उसकी सरकार के तीन तीन वरिष्ठ मंत्री प्रेस कॉन्फ्रेंस में घटना की निंदा कर चुनावी लाभ अर्जित करने का प्रयास कर रहे हैं।

उन्होंने कहा किवित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को प्रेस कांफ्रेंस में आज देश की आर्थिक स्थिति को लेकर बात करनी चाहिए थी लेकिन उन्होंने पंजाब के होशियारपुर में दुष्कर्म की घटना का मामला उठाया और इस घटना को राजनीतिक रंग देने का प्रयास किया। इसी तरह से केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर तथा डाॅ़ हर्षवर्धन ने भी प्रेस कांफ्रेंस में देश की स्थिति पर सरकार का नजरिया रखने की बजाय इस घटना का जिक्र किया और इस पर राजनीतिक करने का प्रयास किया।

केंद्र सरकार के तीनों वरिष्ठ मंत्रियों के बयानों पर हैरानी जताते हुए उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश के हाथरस में सितंबर में एक यवती के साथ दुष्कर्म की घटना पर इन तीनों मंत्रियों ने अब तक एक शब्द नहीं बोला है लेकिन होशियारपुर की घटना पर उन्होंने तीन अलग अलग प्रेस कांफ्रेंस करके अचानक अपनी जुबान खोली और इस घटना को राजनीतिक रंग देखकर बिहार विधानसभा के चुनावों में भाजपा को फायदा देने का प्रयास किया है।

उन्होंने इसे घिनौनी राजनीति करार दिया और कहा कि पंजाब सरकार इस घटना को लेकर अत्यंत सतर्क है और वह उत्तर प्रदेश सरकार की तरह दुष्कर्म की घटना को दबाने और पीड़ित परिजनों को परेशान करने का काम नहीं कर रही है।

होशियारपुर और हाथरस की घटनाओं के बीच कोई तुलना नहीं: अमरिन्दर

पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने होशियारपुर बलात्कार मामले में भारतीय जनता पार्टी के नेताओं की टिप्पणियों को राजनैतिक शोशेबाजी करार देते हुए आज कहा कि होशियारपुर और हाथरस की घटनाओं के बीच कोई तुलना नहीं है।

कैप्टन सिंह ने होशियारपुर मामले में केन्द्रीय मंत्रियों निर्मला सीतारमण और प्रकाश जावड़ेकर की टिप्पणियों को सिरे से खारिज करते हुए कहा कि इन नेताओं की तरफ से किये दावों के उलट होशियारपुर और हाथरस की घटनाओं के बीच कोई तुलना नहीं है। उन्होंने कहा कि हाथरस घटना में उत्तर प्रदेश सरकार और पुलिस न सिर्फ सख़्त कार्रवाई को अंजाम देने में नाकाम रही बल्कि इस गंभीर मामले पर मिट्टी डालने की कोशिश करती है जिससे ऊँची जाति के साथ जुड़े दोषी सजा से बच सकें।

उन्होंने कहा कि इसके बिल्कुल उलट पंजाब पुलिस ने तुरंत कार्रवाई करते हुए दोषियों को हिरासत में लिया और एक हफ़्ते में चालान पेश करने की तैयारी की जा रही है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्होंने पुलिस महानिदेशक को निर्देश दिए हैं कि अदालतों द्वारा फास्ट ट्रैक के आधार पर केस की सुनवाई की जाये जिससे दोषियों के खि़लाफ़ सख़्त और मिसाली कार्रवाई की जा सके।

वित्त वर्ष 2018-19 के लिए जीएसटीआर-9, जीएसटीआर-9ए और जीएसटीआर- 9सी के तहत जीएसटी रिटर्न दाखिल करने की अंतिम तिथि 31 दिसंबर की गई attacknews.in

नयी दिल्ली 24 अक्टूबर । केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर एवं सीमा शुल्क बोर्ड ने वित्त वर्ष 2018-19 के लिए जीएसटीआर-9, जीएसटीआर-9ए और जीएसटीआर- 9सी के तहत जीएसटी रिटर्न दाखिल करने की अंतिम तिथि दो महीने बढ़ाकर 31 दिसंबर 2020 कर दी है।

केन्द्रीय अप्रत्यक्ष कर एवं सीमा शुल्क बोर्ड ने शनिवार को इस बाबत ट़्वीट करके जानकारी दी ।

बोर्ड ने कहा कि पहले ये रिटर्न दाखिल करने की अंतिम तिथि 31 अक्टूबर थी लेकिन कोरोना के कारण उत्पन्न स्थिति के मद्देनजर अब इस तिथि को बढ़ाकर 31 दिसंबर 2020 किया जा रहा है।

बोर्ड ने बताया कि सरकार के पास वित्त वर्ष 2018-19 के लिए जीएसटी रिटर्न भरने की तारीख को बढ़ाने के संबंध में कई सिफारिशें आ रहीं थीं। कोरोना संक्रमण के कारण लगाये गये लॉकडाउन और अन्य प्रतिबंधाें के कारण व्यापार का सामान्य संचालन शुरू नहीं हुआ है। इसी के कारण रिटर्न भरने की तिथि की मांग की जा रही थी और इस पर जीएसटी परिषद की सिफारिश के बाद रिटर्न भरने की तारीख को बढाने का निर्णय लिया गया।
बोर्ड ने कहा है कि जिन कारोबारियों का टर्नओवर दो करोड़ रुपये से कम है, उनके लिए जीएसटीआर-9 या जीएसटीआर-9ए के तहत वार्षिक रिटर्न फाइल करना वैकल्पिक है। इसी तरह जिन कारोबारियों का कुल टर्नओवर पांच करोड़ रुपये से कम है उनके लिए वित्त वर्ष 2018-19 के लिए जीसीटीआर-9सी के तहत रिटर्न भरना भी वैकल्पिक है।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गुजरात में किसान कल्याण, स्वास्थ्य देखभाल और पर्यटन से संबंधित तीन परियोजनाओं का उद्घाटन किया attacknews.in

अहमदाबाद, 24 अक्टूबर । प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को नयी दिल्ली से वीडियो लिंक के जरिये गुजरात में किसान कल्याण, स्वास्थ्य देखभाल और पर्यटन से संबंधित तीन परियोजनाओं का उद्घाटन किया।

मोदी ने राज्य के किसानों को सिंचाई और कृषि से संबंधित कार्यों के लिये दिन के समय बिजली मुहैया कराने के लक्ष्य के साथ ‘किसान सूर्योदय योजना’ की शुरुआत की।

इसके अलावा उन्होंने अहमदाबाद के यू एन मेहता हृदयरोग विज्ञान एवं अनुसंधान संस्थान में राज्य के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग द्वारा 470 करोड़ रुपये की लागत से तैयार बाल हृदय रोग अस्पताल का भी उद्घाटन किया।

मोदी ने अहमदाबाद में प्रमुख तीर्थस्थल जूनागढ़ शहर के निकट गिरनार पर्वत में 2.3 किलोमीटर लंबी रोप-वे परियोजना का भी उद्घाटन किया। इसे एशिया का सबसे लंबा मंदिर रोपवे बताया जा रहा है।

इस दौरान मोदी ने अपने संबोधन में रोप-वे परियोजना के पूरे होने में देरी को लेकर विपक्ष पर निशाना साधा।

प्रधानमंत्री ने कहा, ‘अगर उन्होंने गिरनार रोपवे की राह में रोड़े न अटकाए होते तो इसका काम वर्षों तक न रुका रहता। लोगों और पर्यटकों को काफी समय पहले ही इसका लाभ मिलना शुरू हो जाता। ‘

उन्होंने कहा, ‘एक देशवासी के तौर पर हमें ऐसी (गिरनार रोपवे) जन महत्व की परियोजनाएं लंबे समय तक रुके रहने से देश को लोगों को होने वाले नुकसान के बारे में सोचना चाहिये।’

किसान सूर्योदय योजना पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा, ‘किसानों को पानी बचा कर ‘पर ड्रॉप, मोर क्रॉप’ यानी प्रति बूंद, अधिक फसल का मंत्र अपनाना चाहिये।’’

उन्होंने कहा, ‘‘अब जब किसानों को दिन में भी बिजली मिलेगी तो उन्हें अधिक पानी बचाने पर भी जोर देना चाहिये।

भारत में शुक्रवार देर रात कोरोना संक्रमितों की संख्या 78 लाख के पार हुई और मृतकों की संख्या 1.17 लाख के पार,सक्रिय मामले हुए 6 लाख 82 हजार के करीब attacknews.in

नयी दिल्ली, 23 अक्टूबर । देश में शुक्रवार को कोरोना वायरस (कोविड-19) के सक्रिय मामलों की संख्या घटकर 6,81,971 रह गयी और संक्रमण के मामले 78 लाख की संख्या को पार करते हुए 78,10,114 तक पहुंच गये जबकि इस संक्रमण से निजात पाने वालों की संख्या 70,08,942 हो गयी है।

विभिन्न राज्यों से प्राप्त रिपोर्टों के मुताबिक आज देर रात तक संक्रमण के 50,424 नये मामलों के साथ संक्रमितों का कुल आंकड़ा 78,10,114 हो गया है और मृतकों की संख्या 565 और बढ़कर 1,17,901 हो गयी है।

देश में नये मामलों की तुलना में कोरोना महामारी से निजात पाने वालों की संख्या भी लगातार बढ़ रही है और इसी कड़ी में 62,569 कोरोना मरीजों के ठीक होने के साथ अब तक 70,08,942 लोग इस बीमारी से मुक्ति पा चुके हैं।

कोरोना संक्रमण के नये मामलों में कमी आने और इनकी तुलना में स्वस्थ लोगों की संख्या में वृद्धि होने के कारण सक्रिय मामलों में रिकॉर्ड 14,419 की कमी दर्ज की गयी है। सक्रिय मामले घटकर 6,81,971 पर आ गये हैं।

कोरोना से देश में सबसे अधिक प्रभावित महाराष्ट्र सक्रिय मामलों की संख्या घटकर 1,43,927 तक रह गयी जो सक्रिय मामलों के साथ शीर्ष पर है जबकि केरल 95,658 सक्रिय मामलों के साथ दूसरे स्थान पर है। कर्नाटक 92,927 मामलों के साथ अब तीसरे स्थान पर है

कोरोना महामारी से सबसे अधिक प्रभावित महाराष्ट्र में फिर से कोरोना संक्रमण के नये मामलों की तुलना में स्वस्थ लोगों की संख्या में वृद्धि होने से सक्रिय मामलों में शुक्रवार को फिर से गिरावट दर्ज की गयी और सक्रिय मामले घटकर 1,43927 रह गये। राज्य में इस दौरान स्वस्थ लोगों की संख्या में वृद्धि के कारण सक्रिय मामलों में 6,089 की और गिरावट दर्ज की गयी।

राज्य में पिछले 24 घंटों के दौरान 7,347 नये मामले सामने आने से संक्रमितों की संख्या बढ़कर 16,32,544 तक पहुंच गयी। इसी अवधि में 13,247 और मरीजों के स्वस्थ होने से संक्रमण से मुक्ति पाने वालों की संख्या 14,45,103 हो गयी है तथा 184 और मरीजों की मौत होने से मृतकों की संख्या 43,015 हो गयी है। राज्य में मरीजों के स्वस्थ होने की दर बढ़कर 88.52 फीसदी पहुंच गयी है जबकि मृत्यु दर महज 2.64 प्रतिशत है।

कोरोना संक्रमण के मामले में भारत दुनियाभर में अमेरिका के बाद दूसरे स्थान पर है। अमेरिका में संक्रमितों की कुल संख्या 84,24,583 हो गयी और इस हिसाब से भारत अब लगभग 6.14 लाख मामले ही पीछे हैं।

सरकार ने वाहनों के पंजीकरण दस्तावेजों में स्वामित्व विवरणों को स्पष्ट रूप से उल्लिखित करने के लिये मोटर वाहन नियमों में संशोधन को लागू किया attacknews.in

नयी दिल्ली, 23 अक्टूबर । सरकार ने वाहनों के पंजीकरण दस्तावेजों में स्वामित्व विवरणों को स्पष्ट रूप से उल्लिखित करने के लिये शुक्रवार को मोटर वाहन नियमों में संशोधन को अधिसूचित कर दिया है। यह कदम दिव्यांग व्यक्तियों की मदद करेगा।

सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय के संज्ञान में मोटर वाहनों के पंजीकरण के लिये आवश्यक केंद्रीय मोटर वाहन नियमों के तहत विभिन्न रूपों में स्वामित्व विवरण ठीक से परिलक्षित नहीं होने की बात लाये जाने के बाद यह कदम उठाया गया है।

मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ‘‘मंत्रालय ने केंद्रीय मोटर वाहन नियम 1989 के फॉर्म 20 में संशोधन के लिये 22 अक्टूबर 2020 को अधिसूचना जारी की है, ताकि वाहनों के पंजीकरण के समय स्वामित्व का विवरण स्पष्ट रूप से दर्ज हो सके। यह दिव्यांगजन के लिये विशेष लाभदायक होगा।’’

बयान में कहा गया है कि संशोधन के तहत स्वायत्त निकाय, केंद्र सरकार, धर्मार्थ ट्रस्ट, ड्राइविंग प्रशिक्षण स्कूल, दिव्यांगजन, शैक्षणिक संस्थान, स्थानीय प्राधिकरण, कई मालिकों, पुलिस विभाग आदि जैसी श्रेणियों के तहत स्वामित्व विवरणों का स्पष्ट उल्लेख किया जायेगा।

उल्लेखनीय है कि मोटर वाहनों की खरीद / स्वामित्व / संचालन के लिये सरकार की विभिन्न योजनाओं के तहत दिव्यांगजन (शारीरिक रूप से अक्षम व्यक्ति) को जीएसटी और अन्य रियायतों का लाभ प्रदान किया जा रहा है। इस संशोधन से उन्हें ये लाभ सही से मिल पाना सुनिश्चित हो सकेगा।

दीपावली से पहले राजस्थान के अजमेर में पटाखे की दुकान में भीषण अग्निकांड,बड़ा हादसा टला,कई दुकानों को चपेट में लिया attacknews.in

अजमेर, 23 अक्टूबर । राजस्थान में अजमेर के क्लाक टावर थाना क्षेत्र में आज पटाखों की एक दुकान में आग लगने से लाखों रुपए के पटाखे नष्ट हो गये जबकि आसपास की दुकानों को भी क्षति पहुंची।

पुलिस सूत्रों ने बताया कि केसरगंज पुलिस चौकी के नजदीक गोल चक्कर पर सुबह पांच बजे आग लग गयी। हालांकि इसकी सूचना करीब साढ़े छह बजे फायर ब्रिगेड को मिली। इस पर दमकल की गाड़ियां मौके पर पहुंची और दस गाड़ियों ने करीब ढाई घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पा लिया गया।

जानकारी के मुताबिक केसरगंज गोल चक्कर पर गोवर्धन पटाखा नामक बंद दुकान में सुबह पांच बजे आग लग गई। अंदर माल भरा होने से धीरे धीरे बारूद ने विकराल रूप लेना शुरू कर दिया और क्षेत्र में दीवाली से पहले ही आतिशबाजी का नजारा क्षेत्रवासियों को देखने को मिला।

इसके चलते आसपास की दुकानों को भी व्यापक क्षति पहुंची है। दुकान में किन कारणों से आग लगी इसका अभी खुलासा नहीं हुआ है।

बताया जा रहा है कि दुकान में बड़ी मात्रा में पटाखों का स्टॉक मौजूद था। पूरे हादसे में कुल कितना नुकसान हुआ इसका अभी खुलासा नहीं हो सका है।

दीपावली और विजयादशमी से ठीक पहले हुए इस अग्निकांड ने सरकार और प्रशासन पर सवालिया निशान उठाए गये हैं।

कोरोना महामारी के चलते जब सरकार पटाखों को उपयोग में नहीं लेने की हिदायत दे रही है तो फिर कारोबारी के यहां पटाखों का स्टॉक कैसे बना हुआ है।

उल्लेखनीय है कि अजमेर में दो दर्जन से ज्यादा थोक के पटाखा व्यवसायी तो है ही। किशनगढ़ में पटाखे बनाने की फैक्ट्रियां भी हैं।

मुंबई के सिटी सेंटर मॉल में लगी भीषण आग, सभी 200-300 लोगों को सुरक्षित बचाया गया ,मॉल में अधिकतर मोबाईल फोन ठीक करने और एक्सेसरी बेचने वालों की दुकानें attacknews.in

मुंबई 23 अक्टूबर ।महाराष्ट्र की राजधानी मुंबई के दक्षिण इलाके में बने चार मंजिला सिटी सेंटर मॉल में भीषण आग लग गई जिस पर अब तक काबू नहीं पाया जा सका है लेकिन राहत की बात यह रही कि इस घटना में कोई भी व्यक्ति हताहत नहीं हुआ है। सूत्रों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।

अग्निशमन दल के एक अधिकारी के अनुसार मॉल में गुरुवार रात करीब आठ बजकर 53 मिनट पर आग लग गई और इस दौरान मॉल में 200 से 300 लोग मौजूद थे। अधिकारी ने बताया कि चार मंजिला मॉल में आग लगने की सूचना मिलने के बाद अग्निशमन दल की 20 गाड़ियां घटनास्थल के लिए भेजी गई।

प्राप्त रिपोर्ट के अनुसार आग बुझाने के दौरान अग्निशमन दल का कर्मी आग में झुलस गया और उसे उपचार के लिए तत्काल मुंबई के जे जे अस्पताल में भर्ती कराया गया।

आग को शुरू में स्तर 1 (मामूली) के रूप में वर्गीकृत किया गया था लेकिन आग के अन्य भागों में फैलने के बाद लगभग 2245 बजे इसे स्तर -3 (प्रमुख) में अपग्रेड किया गया तथा बाद में लेवल 5 पर अपग्रेड कर दिया गया। आग के नियंत्रित नहीं होने के बाद मुंबई फायर ब्रिगेड ने इस ब्रिगेड कॉल को घोषित कर दिया जिसका मतलब है कि एचपीसीएल, बीपीसीएल, बीपीटी से मदद मांगी गई है। मॉल के अंदर अभी तक किसी के फंसे होने की खबर नहीं है।

मॉल के पास की कुछ इमारतों को भी फायर ब्रिगेड के अधिकारियों ने सुरक्षा उपायों के तहत खाली करा लिया है। इस बीच, फायर ब्रिगेड के अधिकारियों द्वारा सभी 200-300 लोगों को सुरक्षित बचाया गया तथा आखिरी रिपोर्ट आने तक आग पर काबू नहीं पाया जा सका था।
अग्निशमन दल के अधिकारियों के अनुसार आग लगने के कारणों का अभी पता नहीं लगाया जा सका है तथा स्थानीय लोगों का कहना है कि मॉल में अधिकतर मोबाईल फोन ठीक करने और एक्सेसरी बेचने वालों की दुकानें हैं।

मुंबई में गुरुवार को शहर में यह आग लगने की दूसरी घटना थी। इससे पहले दिन में कुर्ला पश्चिम में एक कपड़ा कारखाने में आग लग गई जिसे दो घंटे से अधिक की कोशिशों के बाद बुझाया गया।
जतिन, रवि