पटना 23 अक्टूबर; राज्य में सिपाही पद पर बहाल होने के लिए केंद्रीय चयन पर्षद द्वारा ली गई परीक्षा शक के घेरे में गई है।
रविवार को करीब तीन दर्जन जिलों में परीक्षा शुरू होने से पहले ही एक बार फिर आंसर प्रश्नपत्र वाट्सएप पर वायरल हो गए। कुछ शरारती तत्वों द्वारा प्रश्न पत्र को एक सौ से लेकर पांच सौ तक में बेचा गया। पहली पाली की परीक्षा 10 बजे से हुई पर कई परीक्षार्थियों के वाट्सएप पर परीक्षा माफियाओं ने 9:54 बजे ही हैंड रिेटेन आंसर भेज दिया।
यही नहीं, कइयों के वाट्सएप पर परीक्षा शुरू होने से पहले पेपर पहुंच गया। जब अभ्यर्थी परीक्षा देकर बाहर आए तो वायरल हुए उत्तर प्रश्नपत्र को सही पाया। इनका कहना है कि आंसर पेपर आउट हुआ है।
यही नहीं, किसी ने पर्षद के अध्यक्ष केएस द्विवेदी के वाट्सएप पर भी करीब 12 बजे प्रश्नपत्र भेज दिया। उसमें पेपर का पहला पेज था जिसमें बार कोड था। द्विवेदी ने कहा कि जो बार कोड वाट्सएप पर आया है, वह सही है। पिछले रविवार को भी परीक्षा हुई थी जिसमें प्रश्नपत्र आंसर वायरल हुआ था।
पर्षदके अध्यक्ष केएस द्विवेदी ने दावा किया कि प्रश्नपत्र आउट नहीं हुआ है। किसी जिले से सूचना नहीं है। वे इस बात से सहमत दिखे कि हो सकता है कि परीक्षा माफियाओं ने पेपर अाउट कराने के लिए कुछ फर्जी कंडीडेट को बैठाया हो जो पेपर लेकर परीक्षा केंद्र से भाग गए हों।
उनका यह भी कहना है कि परीक्षा सेटर मोबाइल की घड़ी का समय गलत सेट करते हैं ताकि एग्जाम रद्द हो जाए और उन्हें दुबारा कंडीडेट से रकम लेने का मौका मिल जाए। पर्षद का काम पेपर सेट कर सुरक्षित ट्रेजरी में पहुंचाना है। परीक्षा लेने की जिम्मेवारी जिला प्रशासन की है।
9900 सिपाहियों की बहाली को लेकर रविवार को लिखित परीक्षा के तीसरे चरण में 32 जिलों में 592 केंद्रों पर 3.35 लाख परीक्षार्थी शामिल हुए। हाइटेक चीटिंग अन्य गड़बड़ी के आरोप में 50 से अधिक की गिरफ्तारी की सूचना है।
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