वडोदरा, 18 मार्च । गुजरात में वडोदरा शहर के सिटी क्षेत्र के एक अस्पताल में बुधवार को लगी भीषण आग पर काबू पा लिया गया है। इस दौरान अस्पताल में भर्ती कोरोना वायरस के 17 मरीजों सहित 23 को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया।
अग्निशमन विभाग के कर्मी ने गुरुवार को बताया कि विजयवल्लभ अस्पताल में बुधवार देर रात अचानक आग लग गयी थी। सूचना मिलते ही दमकल की 18 गाड़ियों के साथ दमकल कर्मी मौके पर पहुंच गए। दमकल कर्मियों ने करीब तीन घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद मध्य रात्रि आग पर काबू पा लिया तथा अस्पताल में भर्ती 17 कोरोना मरीजों समेत 23 मरीजों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया। आग में किसी के हताहत होने की सूचना नहीं है। आग लगने के कारणों का पता लगाया जा रहा है।
आग में किसी के हताहत होने की सूचना नहीं है।आग लगने के कारणों का पता लगाया जा रहा है।पुलिस ने मामला दर्ज करके आवश्यक कार्रवाई शुरू कर दी है।
मेयर केयूर रोकाडिया ने बताया कि अस्पताल के तीसरे और चौथे फ्लोर से 17 मरीजों को रेस्क्यू किया गया है और इन्हें एसएसजी हॉस्पिटल में शिफ्ट कर दिया गया है. इनमें से कोई भी कोरोना मरीज नहीं है. अब तक कोई घायल नहीं हुआ है. विजय वल्लभ अस्पताल में कोरोना मरीजों के लिए नामित है.
वडोदरा की जिलाधिकारी शालिनी अग्रवाल ने बताया कि शहर के मांडवी क्षेत्र में स्थित श्री विजय वल्लभ सार्वजनिक अस्पताल में आग लग गई. उन्होंने कहा कि घटना में कोई हताहत नहीं हुआ है. अग्रवाल ने कहा, ‘‘कोविड-19 के 17 मरीजों समेत सभी 23 मरीजों को सुरक्षित निकाल लिया गया और अन्य अस्पतालों में स्थानांतरित कर दिया गया. कोई भी मरीज या अस्पताल कर्मी हताहत नहीं हुआ है.’’
पिछले साल भी कोविड अस्पताल में आग लगी थी,हुई थी पांच कोरोना मरीज़ों की मौत
पिछले साल 27 नवम्बर 2020 को कोविड-19 अस्पताल में लगी आग से पहले अगस्त महीने में भी अहमदाबाद के एक निजी कोविड-19 अस्पताल के आईसीयू वार्ड में आग लगने के बाद आठ कोरोना मरीज़ों की मौत हो गई थी।
पिछले साल 27 नवम्बर को गुजरात के राजकोट शहर में बृहस्पतिवार देर रात कोविड-19 अस्पताल के आईसीयू में आग लगने से पांच मरीजों की मौत हो गई थी और छह अन्य घायल हो गए थे ।
-दमकल विभाग के एक अधिकारी ने बताया था कि अस्पताल में कोरोना वायरस से पीड़ित जिन 28 अन्य मरीजों का इलाज चल रहा था, उन्हें सुरक्षित बचा लिया गया था ।
दमकल विभाग के अधिकारी जेबी थेवा ने बताया था कि मावडी इलाके के उदय शिवानंद अस्पताल के आईसीयू में बृहस्पतिवार देर रात करीब एक बजे आग लगी।यहां कुल 33 मरीज भर्ती थे, जिनमें से सात उस समय आईसीयू में भर्ती थे।
उन्होंने बताया था कि ‘हम आग लगने की जानकारी मिलते ही तुंरत मौके पर पहुंचे और 30 मरीजों को सुरक्षित वहां से निकाला।ICU में भर्ती तीन मरीजों की वहीं मौत हो गई और अन्य दो ने थोड़ी देर बाद दम तोड़ दिया।’उन्होंने बताया था कि आग पर काबू पा लिया गया ।
अधिकारी ने बताया कि वहां से बचाए गए मरीजों को कोविड-19 के अन्य अस्पतालों में भर्ती कराया गया था ।
इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक, राजकोट सिटी पुलिस कमिश्नर मनोज अग्रवाल ने बताया था कि हादसे में छह अन्य मरीज घायल हुए थे ।उन्होंने यह भी बताया था कि आग पर आधे घंटे के अंदर ही काबू पा लिया गया था.राजकोट नगरपालिका आयुक्त उदित अग्रवाल ने कहा, ‘हमारी जानकारी के मुताबिक आईसीयू में चिंगारी फूटी थी जिससे आग लग गई. अस्पताल के कर्मचारियों ने पहले आग को बुझाने की कोशिश की थी, लेकिन वह तेजी से फैल गई. बाद में उन्होंने अग्निशमन दस्ते को सूचना दी।
’राजकोट मेयर बीना आचार्य ने कहा था कि अस्पताल में आग बुझाने के सारे उपकरण मौजूद थे, साथ ही समय पर अग्निशमन दस्ते को सूचित कर एक बड़े जानमाल की हानि को रोका जा सका।
रिपोर्ट के मुताबिक, उदय शिवानंद कोविड-19 अस्पताल का संचालन गोकुल लाइफ केयर प्रा. लि. के द्वारा किया जाता है. यह एक निजी संस्था है जिसके कई अस्पताल गोकुल ब्रांड के नाम से चलाए जाते हैं.
बता दें कि इससे पहले अगस्त महीने में अहमदाबाद के एक निजी कोविड-19 अस्पताल के आईसीयू वार्ड में आग लगने के बाद आठ कोरोना मरीजों की मौत हो गई थी.अहमदाबाद में नवरंगपुर इलाके के श्रेय अस्पताल के आईसीयू वार्ड में आग लगी थी. इस हादसे के वक्त अस्पताल में 40-45 मरीज यहां भर्ती थे. मृतकों में पांच पुरुष और तीन महिलाएं शामिल थीं।